शपथ

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

शपथ संज्ञा स्त्री॰ [सं॰]

१. वह कथन जिसके अनुसार कहनेवाला इस बात की प्रतिज्ञा करता है कि यदि मेरा कथन असत्य हो, मैने अमुक काम किया हो, मैं अमुक काम करुँ या न करुँ इत्यादि, तो मुझपर अमुक देवता का शाप पड़े अथवा मैं अमुक पाप का भागी होऊँ आदि । कसम । दिव्य । सौगंध । उ॰— दुर्बलता का ही चिह्नविशेष शपथ है ।—साकेत, पृ॰ २२९ । क्रि॰ प्र॰—खाना ।—देना ।—लेना । मुहा॰—दे॰ 'कसम' शब्द के मुहा॰ ।

२. दिव्य । विशेष दे॰ 'दिव्य'—२१ ।

३. अभिशाप । शाप (को॰) ।

४. प्रतिज्ञा या दृढ़तापूर्वक कोई काम करने या न करने आदि के संबंध में कथन । कोल । वचन । यौ॰—शपथपत्र = हलफनामा ।