ओनंत

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

ओनंत पु † वि॰ [सं॰ अवनत] नत । नम्र । झुका हुआ । उ॰—उठे कोप जनु दारिखँ दाखा । भई ओनंत प्रेम के साखा ।—जायसी ग्रं॰ (गुप्त), पृ॰ १६० ।