फकीरी

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

फकीरी संज्ञा स्त्री॰ [अ॰ फकीरी, हि॰ फकीर + ई]

१. भिखमंगा- पन ।

२. साधुता । उ॰—मन लागो मेरी यार फकीरी में । जो सुख पावो नाम भजन में, जो सुख नाहिं अमीरी में ।— कबीर श॰, भा॰ १, पृ॰ ७० ।

३. निर्धनता ।

४. एक प्रकार का अंगूर ।

फकीरी लटका संज्ञा पुं॰ [हिं॰ फकीरी + लटका] फकीर की दी हुई या कही हुई दवा या जड़ी बूटी ।