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अटकाव

विक्षनरी से

प्रकाशितकोशों से अर्थ

शब्दसागर

अटकाव संज्ञा पुं॰ [ हिं॰ अटक+आव ( प्रत्य॰)]

१. रोक । रुकावट । प्रतिबंध । अड़चन । बाधा । विघ्न । उ॰—था समर्पण में ग्रहण का एक सुनिहित भाव; थी प्रगति, पर अड़ा रहता था सतत अटकाव ।—कामायनी, प॰ ८१ ।

२. मासिक धर्म । उ॰—ता पाछे कछूक दिन में सास को अटकाव भयो ।— दो सौ बावन॰, पृ॰ २९८ ।