अष्टमूर्ति

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

अष्टमूर्ति संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. शिव । उ॰—गनिये जु जीव आधार पुनि अष्ट (म) मूर्ति इनतें कहत ।—शकुंतला, पृ॰ ३ ।

२. शिव की आठ मूर्तियाँ क्षिति, जल, तेज, वायु, आकाश, जयमान, अर्क, और चंद्र, अथवा सर्व, भव, रुद्र उग्र, भीम, पशुपति, ईशान और महादेव ।