अस्तव्यस्त

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

अस्तव्यस्त वि॰ [सं॰] उलटा पुलटा । छिन्न भिन्न । तितर बितर । उ॰—अस्यव्यस्त है । वह भी ढक ले कौन सा अंग, न जिसमें कोई दृष्टि लगे उसे ।—झरना, पृ॰ २२ ।