आत्मत्याग संज्ञा पुं॰ [सं॰] १. परोपकार बुद्धि से अपने लाभ की ओर ध्यान न देना । दूसरों के हित के लिये अपना स्वार्थ छोड़ना । २. आत्मघात । खुदकुशी (को॰) ।