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एकहत्थो

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प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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एकहत्थो हुलूक संज्ञा पुं॰ [देशी॰ ] कुश्ती का एक पेंच । विशेष—इसमें विपक्षी जब बगल में आता है तब खिलाड़ी अपने उस बगल के हाथ को उसकी गरदन में लपेटता हे और दूसरे हाथ से उस हाथ को तानते हुए गरदन दबाकर बगली टाँग से चित करता है ।