कणिका संज्ञा स्त्री॰ [सं॰] किनका । टुकड़ा । जर्रा । उ॰—जिसकी कृपाकणिका के प्रसाद से यह शुभ अवसर... । प्रेमघन॰, पृ॰ ४६६ ।