गव्य
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प्रकाशितकोशों से अर्थ
[सम्पादन]शब्दसागर
[सम्पादन]गव्य ^१ वि॰ [सं॰] गो से उत्पन्न । जो गाय से प्राप्त हो । जैसे—दूध, दहीं, घी, गोबर, गोमूत्र आदि ।
२. गाय बैलों के अनुकूल या उपयुक्त (को॰) । यौ॰—पंचगव्य ।
गव्य ^२ संज्ञा पुं॰ [सं॰]
१. गाय का झुंड । गोसमूह । पु
२. पंचगव्य । उ॰—पंचाछरी प्रान मुद माधव गव्य सु पंचनदा सी ।—तुलसी (शब्द॰) ।
३. गोदुग्ध (को॰)
४. गोचर भूमि । चरागाह (को॰) ।
५. ज्या । प्रत्यंचा (को॰) ।
३. रँगने की वस्तु । पीत रंग । गोरोचन (को॰) ।