गोन
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प्रकाशितकोशों से अर्थ
[सम्पादन]शब्दसागर
[सम्पादन]गोन ^२ संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ गुण] मूँज आदि की बनी हुई वह रस्सी जिसे नाव खींचने के लिये मस्तूल में बाँधते हैं ।
गोन ^३ संज्ञा स्त्री॰ [देश॰] एक प्रकार की घास । विशेष—यह थूथी की तरह की होती है औऱ इसका साग बनता है ।
गोन ^४ पु संज्ञा पुं॰ [सं॰ गमन, प्रा॰ गमण] दे॰ 'गमन' । उ॰— करी सेन गोनं मिलानं दवानं । बढ़ी बेय वाजू सरित्ता कि जानं ।—पृ॰ रा॰, १२ । १८० ।