चहार
हिन्दी[सम्पादन]
प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]
शब्दसागर[सम्पादन]
चहार वि॰ संज्ञा पुं॰ [फा॰] चार । चार की संख्या । यौ॰—चहारगोशा = चौकोना । चहारचंद = चौगुना । चहारदह = चौद्ह । चौदह की संख्या । चहारयारी = मुसलमानों का सुन्नी नामक संप्रदाय जो मुहम्मद साहब के उत्तराधिकारी चार खलीफों में विश्वास रहता है जिनके नाम अबूबकर (६३२-३४ ई॰), उमर (६३४-४४), उसमान (६४४-५५ ई॰) और अली (६५५-६६ ई॰) हैं ।