जंघार

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

जंघार संज्ञा स्त्री॰ [हिं॰ जंघा + आर] वह फोड़ा जो जाँघ में हो । विशेष—यह आकृति में लंबा और कड़ा होता है और बहुत दिनों में पकता है । इसमें अधिक पीड़ा और जलन होती है ।