दरज संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ दर (=दरार)] दरार । शिगाफ । दराज । वह खाली जगह जो फटने या दरकने से पड़ जाय । उ॰— घटहिं में दया के दरजी, तो दरज मिलावहि हो । —धरम॰, पृ॰ ४८ । यौ॰— दरजबंदी = दीवार की दरारों को चूना गारा भरकर बंद करने का काम ।