दास्य

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

दास्य संज्ञा पुं॰ [सं॰] दासत्व । दासपन । सेवा । उ॰— द्रव्य के लोभ से दास्य अंगीकार करूँ ।— प्रेमघन॰ भा॰ २, पृ॰ ७४ । विशेष— दास्य, भक्ति के नव भैदों में से एक है ।