परित्राण

विक्षनरी से


हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

परित्राण संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. किसी की रक्षा करना,विशेषत:ऐसे समय में जब कोई उसे मार डालने को उद्यत हो । बचाव । हिफाजत । रक्षा ।

२. आत्मरक्षण । अपनी रक्षा ।

३. शरीर के बाल । रोंगटे ।

४. पूर्णत: रक्षण या बचाव (को॰) ।

५. पनाह । शरण । आश्रय (को॰) ।