बाँझ
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प्रकाशितकोशों से अर्थ
[सम्पादन]शब्दसागर
[सम्पादन]बाँझ ^१ संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ वन्ध्या]
१. वह स्त्री जिसे संतान होती ही न हो । वंध्था ।
२. कोई मादा जिसे बच्चा न होता हो ।
बाँझ ^२ वि॰
१. बिना संतान का । संततिरहित ।
२. निष्फल । फलरहित (वृक्ष) ।
३. व्यर्थ । बेकार । फिजूल । मुहा॰—बाँझ होना = व्यर्थ होना । उ॰—नंददास लटकत पिय प्यारी, छबि रची बिरंचि, मनो निपुनता भई बाँझ ।—नंद॰ ग्रं॰; पृ॰ ३७४ ।
बाँझ ^३ संज्ञा स्त्री॰ [देश॰] एक प्रकार का पहाड़ी वृक्ष जिसके फलों की गुठलियाँ बच्चों के गले में, उनको रोग आदि से बचाने के लिये बाँधी जाती हैं ।