भक्तिराग

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

भक्तिराग संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. भक्ति का पूर्वानुराग ।

२. पूर्ण रूपेण भक्ति में तल्लीन होना ।