मंडन

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

मंडन ^१ वि॰ [सं॰ मण्डन] श्रृंगारक । अलंकृत करनेवाला । उ॰—गाढ़े भुजदंडन के बीच उर मंडन को धारि घनआनँद यौं सुखनि समेटिहौं ।—धनानंद, पु॰ ९९ ।

मंडन ^२ संज्ञा पुं॰

१. श्रृगार करना । अलंकरण । सजाना । सँवारना ।

२. आभूषण । अलँकार (को॰)

३. युक्ति आदि देकर किसी सिद्धांत या कथन का पुष्टिकरण । प्रमाण आदि द्वारा को ई बात सिद्ध करना । 'खंडन' का उलटा । जैसे, पक्ष का मडन ।

४. ख्यात दार्शनिक मंडन मिश्र । कहा जाता है आद्य शंकराचार्य ने इन्हें शास्त्रार्थ में पराजित किया या । यौ॰—मडनकाल = सजने सँवरने का अवसर या मौका । गडनप्रिय = जिसे आभूषण प्रिय हो ।