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मगण

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प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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मगण संज्ञा पुं॰ [सं॰] कविता के आठ गणों में से एक जिसमें

३. गुरु वर्ण होते हैं । लिखने में इसका स्वरूप यह है—sss । जैसे, आमोदी, काकोली, दीवाना । इसका छंद के आदि में आना शुभ माना जाता है । कहते हैं, इसका देवता पृथ्वी है और यह लक्ष्मीदाता है ।