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मयंक

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प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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मयंक संज्ञा पुं॰ [सं॰ मृगाङ्क, प्रा॰, मयेक, मयंग] चंद्रमा । उ॰— सरद मयंक बदन छबी सीवाँ । चारु कपोल । चिबुक दर ग्रीवाँ ।—तुलसी (शब्द॰) । यौ॰—मयंकसुखी=जिसकी मुख चंद्रमा के समान हो । उ॰— तऊ न हाँति मयंकमुखी, तनक प्यास की हानि ।—मति॰ ग्रं॰, पृ॰ ४०४ ।