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रुँधना

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हिन्दी[सम्पादन]

प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]

शब्दसागर[सम्पादन]

रुँधना क्रि॰ अ॰ [सं॰ रुद्ध+ना (प्रत्य॰)]

१. मार्ग न मिलने के कारण अटकना । रुकना ।

२. उलझना । फँस जाना । उ॰— रुँधे रति संग्राम नीके । एक ते एक रणवीर जोधा प्रबल सुरत नहिं नेक अति सबल जी के । —सूर (शब्द॰) ।

३. किसी काम में लगना ।

४. रोक या रक्षा के लिये काँटेदार झाड़ों आदि से घिरना या छाना । घेरा जाना । जैसे,—रास्ता रुँधना, खेत रुँधना ।