विकच
हिन्दी[सम्पादन]
प्रकाशितकोशों से अर्थ[सम्पादन]
शब्दसागर[सम्पादन]
विकच संज्ञा पुं॰ [सं॰]
१. एक प्रकार के धूमकेतु । विशेष—इनकी संख्या ६५ है । ये बृहस्पति के पुत्र माने जाते हैं । इनमें शिखा नहीं होती । इनका वर्ण सफेद होता है और ये प्राय; दक्षिण दिशा में उदय होते हैं । इनके उदय का फल अशुभ माना जाता है । (बुहत्संहिता) ।
२. ध्वजा । केतु
३. क्षपणक ।
विकच ^२ वि॰
१. विकसित । खिला हुआ ।
२. जिसमें बाल न हो । बिना वाल का । केशहीन ।
३. विस्तृत । फंला हुआ । विस्तीर्ण (को॰) ।
४. सुस्पष्ट । व्यक्त । स्फुट (को॰) ।
५. उज्वल । दीप्तिमत् (को॰) । यौ॰—विकचश्री=विकसित सौंदर्य से युक्त । दीप्त । शोभायुक्त ।