विक्षनरी:हिंदी–असमिया शब्दकोश
अंक (पुं.) क्रोड, गोद् -- कोला
अंक (पुं.) संख्या के सूचक चिह्न -- चिह्न संख्या
अंक (पुं.) परीक्षा आदि में सफलता की सूचक इकाइयाँ (नंबर) -- रेखा, इकाई, राशि, योग-वियोग
अंक (पुं.) बहुखंडीय नाटक का एक खंड -- नाटकर अंक,
अंक (पुं.) पत्र-पत्रिकाओं का किसी निश्चित समय पर होने वाला प्रकाशन -- संख्या, क्रमांक
अंकुर (पुं.) अँखुआ -- अंकुर, गाजि
अंकुश (पुं.) लोहे का काँटा, जिससे हाथी को चलाया और वश में किया जाता है -- अंकुश, आँकुहि, गँज़ाकोह,लांसिशामू काति
अंकुश (पुं.) नियंत्रण, दबाव -- निषेध, बाधा, नियंत्रण
अंग (पुं.) शरीर के विभिन्न अवयव -- अंग
अंग (पुं.) शरीर, देह -- देह, शरीरर स्वतंत्र-यंत्र
अंग (पुं.) भाग -- भाग, बिभाग, बिषय वस्तुर
अंचल (पुं.) सीमा के आसपास का प्रदेश -- अञ्चल, देश, प्रदेशर, खण्ड
अंचल (पुं.) आँचल या पल्ला (जैसे साड़ी का) -- अञ्चल, कापोरर आग
अंडा (पुं.) कुछ विशिष्ट मादा जीवों के गर्भशय से निकलने वाला एक पिंड -- हिम, आण्डा कणी
अंत (पुं.) समाप्ति, अवसान -- अंत, शेष, अवसान
अंतरंग (वि.) घनिष्ठ, आत्मीय -- अंतरंग, अंतरर संपर्कयुक्त, बंधुवपूर्ण
अंतरंग (वि.) भीतरी -- भितरुबा, घरुआ, हृदयता
अंतर (पुं.) दो वस्तुओं के बीच की दूरी, फासला -- माज-भाग, ब्यवधान, आँर
अंतर (पुं.) भेद, भिन्नता -- भिन्नता, पार्थक्य
अंतरराष्ट्रीय (वि.) एक से अधिक राष्ट्रों के बीच परस्पर संबंध रखने वाला -- आंतर्जातिक, आंतःराष्ट्रीय
अंतरिक्ष (पुं.) पृथ्वी तथा अन्य ग्रहों या लोगों के बीच का रिक्त स्थान -- अंतरिक्ष, महाकाश
अंतिम (वि.) सबसे बाद का, आखिरी -- अंतिम, शेष
अंतिम (वि.) चरम, परम -- चरम, परम
अंदर (क्रि.वि.) भीतर -- भितरते, माज, अभ्यंतर
अंधकार (पुं.) अँधेरा -- एंधार, अंधकार, आंधार
अंधा (पुं./वि.) देखने की शक्ति से रहित -- अंध, दृष्टिहीन, अज्ञान, विवेचनहीन
अंश (पुं.) भाग, हिस्सा, खंड, टुकड़ा -- अंश, खण्ड, भाग, डोखर संपत्ति
अकड़ना (अं.क्रि.) पूरे शरीर का या उसके किसी अंगविशेष का कड़ा होना, ऐँठना -- कोँच रवा, सिरामूरिधर
अकड़ना (अं.क्रि.) घमंड दिखाना या दुराग्रह करना -- दंभालिकार, फिताहिमार
अकाल (पुं.) दुर्भिक्ष -- आकाल, दुर्भिक्ष, अनाटन, दुःसमय
अकाल (पुं.) कमी, अभाव -- अभाव, नाटनि नोहोबा
अकाल (पुं.) असमय -- नोहोबा
अकेला (वि.) बिना साथी का -- अकलशरीया, लग न थका, एकमात्र
अक्ल (स्त्री.) बुद्धि, समझ -- बुधि ज्ञान, चेतना
अक्षर (पुं.) वर्ण, स्वर और स्वररहित व्यंजन, जो इकाई के रूप में प्रयुक्त हो -- बर्ण, आखर, अक्षर
अक्षर (वि.) अविनाशी, नित्य -- अबिनाशी, नित्य
अक्सर (अव्य.) बहुधा, प्रायः -- प्रायेइ, प्राय
अखंड (वि.) जिसके खंड न हुए हों, पूरा, समूचा -- अखण्ड, पूर्ण, न भगान छिगा, अक्षुण्ण
अखबार (पुं.) समाचारपत्र -- बातरि काकत, खबर कागत, संवाद-पत्र
अखरना (अ.क्रि.) बुरा या अप्रिय लगना, खलना, खटकना -- बेया लाग
अखाड़ा (पुं.) व्यायामशाला, कुश्ती लड़ने का स्थान -- ब्यायामगार, ब्यायामशाला
अखाड़ा (पुं.) साधुओं की सांप्रदायिक मंडली या उनके रहने का स्थान -- देवतार स्थान, मंदिर
अगर (अव्य.) यदि, जो -- यदि, एनेहेले, बिकल्पे
अगर (पुं.) एक पेड़, जिसकी लकड़ी बहुत सुगंधित होती है -- एबिध सुगंधी काठ, साँचि गछरर भितरर कला सुगंधी सार
अगरबत्ती (स्त्री.) वह बत्ती जो सुगंध के निमित्त जलाई जाती है। -- धूप, धूप-काठि, धूप-शला
अगला (वि.) सबसे आगे का, सबसे पहले या सामने वाला -- आगलति, प्रथम, प्रथमांश, अग्रणी, अग्रवत्ती
अगला (वि.) भविष्य में आनेवाला -- आगामी
अगाध (वि.) अथाह, बहुत अधिक गहरा -- आथ्उनि, अगाध, बर द
अग्नि (स्त्री.) आग -- जुइ, अग्नि
अग्रज (पुं.) बड़ा भाई -- अग्रज, काकइ, ककाइदेउ
अचल (वि.) जो अपने स्थान पर बना रहे, गतिहीन, स्थिर -- अचल, गतिहीन, स्थिर, अप्रचलित, अव्यवहार्य
अचानक (क्रि.वि.) बिना पूर्व सूचना के, एकाएक, सहसा -- अकस्मात, हठात्, घपहकरे, आचंबिते
अच्छा (वि.) ठीक, उपयुक्त -- ठिक, उपयुक्त, उचित
अच्छा (वि.) जो बुरा न हो, दोष रहित -- भाल, निर्दोष, सुंदर
अच्छा (अव्य.) आश्चर्य, विस्मयादि -- भाल अच्छा, मरम
अच्छा (अव्य.) स्वीकृतिसूचक उक्ति -- NA
अजगर (पुं.) एक विशाल सर्प -- अजगर, टेंकी साँप
अजायबघर (पुं.) वह भवन, जहाँ पर पुराकालीन कलाकृतियाँ स्थायी रूप से प्रदर्शित की जाती हैं, संग्रहालय -- यादुघर, संग्रहालय, प्रत्नतात्त्विक संरक्षणशाला
अटकना (अ.क्रि.) चलते-चलते या कोई काम करते-करते रुक जाना, रुकना -- रै जा, बंधहा, आटक
अड़ना (अ.क्रि.) बीच में रुकना या फँसना -- खुंदा खा, ठेका खा, संघर्ष ह, हठकरिता
अड़ना (अ.क्रि.) हठ करना -- बिबाद कर, काजिया कर
अड्डा (पुं.) टिकने, ठहरने या बैठने का स्थान -- आड्डा, आखड़ा घाँटी
अणु (पुं.) किसी तत्व या धातु का वह बहुत छोटा अंश, जिसमें उसके सभी संयोजक अंश विद्यमान हों -- अणु, कण, कणिका
अड्डा (पुं.) अत्यंत सूक्ष्म मात्रा या वस्तु -- खुदकण कणिका
अतिथि (पुं.) मेहमान -- अतिधि, आलही
अदालत (स्त्री.) न्यायालय -- आदालत, न्यायालय, बिचारलय, काछारी
अधिक (वि.) बहुत -- अधिक
अधिक (वि.) अतिरिक्त -- अतिरिक्त, बेसी
अधिवेशन (पुं.) किसी बड़ी सभा की लगातार होने वाली बैठकों का सामूहिक नाम -- अधिबेशन, अनुष्ठान, बैठक
अधिसूचना (पुं.) किसी बात की ओर विशिष्ट रूप से ध्यान आकृष्ट करने के लिए दी जाने वाली सार्वजनिक सूचना -- बिज्ञापन, जाननी, अधिसूचना
अधूरा (वि.) जो पूरा न हो या जो समाप्त न हुआ हो -- अधुरवा, आधांकरा, असंपूर्ण
अध्यक्ष (पुं.) किसी संघ, संस्था, समिति आदि का प्रधान -- सभापति, गुरियाल, भारप्राप्त-विषय
अध्यक्ष (पुं.) स्पीकर, लोकसभा का पीठासीन अधिकारी -- अध्यक्ष, सभापति
अध्यादेश (पुं.) वह आधिकारिक आदेश, जो किसी कार्य, व्यवस्था आदि के संबंध में ऱाष्ट्रपति, राज्यपाल द्वारा निकाला गया हो -- अध्यादेश
अध्यापक (पढ़ाने वाला, शिक्षक) अध्यापकः -- अध्यापक, शिक्षक पढ़ाओंता
अध्याय (पुं.) ग्रंथ या पुस्तक का खंड या विभाग -- अध्यय, आध्या, परिच्छेद, विभाग
अध्यय (पुं.) प्रकरण -- प्रकरण
अनगिनत (वि.) जिसकी गिनती संभव न हो सके, संख्यातीत -- अगणन
अनशन (पुं.) भूख-हड़ताल -- धर्मगट विक्षोभ, प्रदर्शन
अनशन (पुं.) आहार त्याग, उपवास -- उपवास
अनाथ (वि.) जिसका पालन-पोषण करने वाला कोई न हो -- अनाथ, निराश्रय
अनाथ (पुं.) बिना माँ-बाप का -- असहाय, निराश्रय
अनाथालय (पुं.) वह स्थान जहाँ अनाथों का पालन-पोषण होता है -- अनाथालय
अनावरण (पुं.) किसी महापुरुष के चित्र, मूर्ति आदि से समारोहपूर्वक परदा हटा कर उसे सर्व साधारण के लिए दर्शनीय बनाया जाना, उद्घघाटन -- उन्मोचन, मुकुलि कराकार्य
अनिवार्य (वि.) जिसकी इतनी अधिक जरूरत हो कि उससे बचा न जा सके, अवश्यभांवी -- अनिवार्य, अव श्यभावी
अनुकरण (पुं.) नकल, अनुसरण -- अनुकरण, नकल, नकल-कराकार्य
अनुक्रमणिका (स्त्री.) किसी विशेष क्रम के आधार पर बनाई गई सूची -- अनुक्रमणिका
अनुज (पुं.) छोटा भाई -- भाइ, भातृ
अनुराग (पुं.) प्रेम, आसक्ति -- प्रीति, प्रेम, आसक्ति, भालेपोवा-भाव
अनुवाद (पुं.) एक भाषा में लिखी या कही हुई बात को दूसरी भाषा में कहने या लिखने की क्रिया, भाषांतर -- अनुवाद, भाषांतरकरण, भाङनि
अनुसंधान (पुं.) खोज, अन्वेषण -- अनुसंधान, बिचारिचोवाकार्य
अनुसार (वि.) किसी के ढंग या रूप से मिलता हुआ, अनुरूप -- अनुरूप, मते अनुसरणकारि
अनुसूचित (वि.) जिसे अनुसूची में स्थान मिला हो -- अनुसूचित, अनुसूची भुक्त
अनुसूची (स्त्री.) किसी लेख या ग्रंथ के अंत में परिशिष्ट के रूप में लगी हुई सूची -- अनुसूची, तालिका, विशद-तालिका
अनेक (वि.) एक से अधिक, कई, बहुत -- अनेक, सरह, बेसी
अन्न (पुं.) अनाज -- अन्न, आहार, खोवा वस्तु
अन्य (वि.) दूसरा -- अन्य, बेलेग, अइन, पर
अन्याय (पुं.) न्याय-विरुद्ध कार्य -- अन्याय, आन-आन, इटो सीटो
अपना (वि.) आत्मसंबंधी, निज का -- निजर, निजा
अपना (पुं.) आत्मीय, स्वजन -- आपोन, आत्मीय, स्वजन, कुटंब
अपनाना (स.क्रि.) अपना बनाना -- निजर करि ल, आत्मीकरण
अपनाना (स.क्रि.) ग्रहण करना, स्वीकार करना -- ग्रहण-कर ल, ग्रहण
अपने-आप (क्रि.वि.) स्वतः, खुद-ब-खुद -- स्वयं, निजे-निजे, स्वाभाविकत
अपमान (पुं.) अनादर, तिरस्कार, बेइज्जती -- अपमान, गौखरहानि, निंदा, तिरस्कार
अपराध (पुं.) अनुचित या दंडनीय कार्य -- अपराध, दाय, जगर
अपराध (पुं.) दोष, गलती -- दोष, त्रटि, खूँत, बिकार
अपराधी (पुं./वि.) अपराध करने वाला -- अपराधी, जगरीया
अपराह्न (पुं.) दोपहर के बाद का काल, तीसरा पहर -- आबेलि, भाटिबेला, पाच्बेला
अपाहिज (पु./वि.) लूला-लंगड़ा, विकलांग -- विकलांग, अपारग
अफसर (पुं.) अधिकारी -- अफसर बिषया
अफीम (स्त्री.) पोस्त के डंठलों से निकाला जाने वाला मादक पदार्थ -- आफिं, कानि
अभयदान (पुं.) सुरक्षा के लिए वचन -- अभयदान, आश्वास-देओँता
अभिनंदन (पुं.) किसी की उपलब्धि पर उसके प्रति शुभकामना और श्रद्धा प्रकट करना -- अभिनंदन
अभिनय (पुं.) हाव भाव के द्ववारा किसी पात्र के चरित्र का अनुकरण (दृश्य कला में) -- अभिनय, भाओ दियाकार्य
अभिनेता (पुं.) रंगमंच पर अभिनय या नाटक करने वाला -- अभिनेता, भावरीया, अभिनय करोंता
अभिप्राय (पुं.) उद्देश्य, प्रयोजन -- अभिप्राय
अभिप्राय (पुं.) आशय -- अभिप्राय, अभिष्ट, उद्देश्य
अभिभावक (पुं.) संरक्षक -- अभिभावक, तत्वावधायक
अभिमान (पुं.) अहंकार, घमंड -- अभिमान, अहंकार, ठेह, रोह
अभियान (पुं.) किसी कार्य विशेष की सिद्धि के लिए चतुर्दिक प्रयास -- अभियान
अभियान (पुं.) सैनिक आक्रमण, चढ़ाई -- आक्रम, आक्रमण
अभियुक्त (पु.) वह, जिस पर न्यायालय में कोई अभियोग चल रहा हो, मुलजिम, अपराधी -- अभियुक्त, अपराधी
अभियोग (पुं.) अपराध का आरोप -- अभियोग, आपत्ति
अभियोग (पुं.) दंड दिलाने के लिए न्यायालय से की जाने वाली फरियाद, मुकदमा -- गोचर, मोकद्दमा, दायतपेलाइ-गोचरदियाकार्य
अभिलाषा (स्त्री.) इच्छा, आकांक्षा -- अभिलाष, आकांक्षा
अभिलेख (पुं.) किसी घटना, विषय, व्यक्ति आदि से संबंधित लिखित प्रामाणिक सामग्री -- अभिलेख
अभिवादन (पुं.) श्रद्धापूर्वक किया जाने वाला नमस्कार, प्रणाम -- अभिवादन, ओलग, प्रणाम, नमस्कार
अभिशाप (पुं.) श्राप, अहित कामनासूचक शब्द -- अभिशाप शाओ
अभी (क्रि.वि.) इसी समय, इसी क्षण, तुरंत -- एतियाइ
अभी (क्रि.वि.) आजकल, इन दिनों -- आजि कालि, आजि साँप्रतिक
अभीष्ट (पुं./वि.) जिसकी इच्छा या कामना की जाए, -- अभीष्ट, ईप्सित, बांछित
अभीष्ट (पुं./वि.) मनोरथ -- मनोरथ
अभ्यास (पुं.) दक्षता प्राप्त करने के लिए दत्तचित्त होकर किसी काम को बार बार करने की क्रिया -- अभ्यास
अमर (वि.) कभी न मरने वाला -- अमर
अमर (वि.) जिसका कभी अंत, क्षय या नाश न हो -- अनंत, अक्षय, अबिनाशी
अमल (पुं.) प्रयोग, व्यवहार -- प्रयोग, निर्मल, व्यवहार, निका
अमानत (स्त्री.) धरोहर, थाती -- अमानत, बंधक, गच्छित
अमावस (स्त्री.) चांद्र मास के कृष्ण पक्ष का अंतिम दिन -- आँउसीर निशा, अमाबास्या, अमानिशा
अमिट (वि.) न मिटने वाला या नष्ट न होने वाला, स्थायी -- मचिब-नोवरा, स्थायी
अमिट (वि.) अटल, अवश्यंभावी -- अचल, अलर-अचर
अमीर (पुं/वि.) धनवान व्यक्ति, रईस -- धनी, धनवंत चहकी
अमीर (पुं/वि.) सरदार -- नेता, मुखियाल
अमुक (वि.) कोई अनिश्चित व्यक्ति अथवा वस्तु, फलां -- अमुक, अमुका
अमृत (पुं.) एक प्रसिद्ध कल्पित पेय, जिसके संबंध में यह मान्यता है कि उसके पीने से प्राणी अमर हो जाता है, सुधा, पीयुष -- अमृत
अम्ल (पुं.) खट्टापन, खटाई -- टेङा, टेङागुण
अम्ल (पुं.) तेजाब (एसिड) -- अम्ल
अरथी (अर्थी) (स्त्री.) वह तख्ता, सीढ़ी आदि जिस पर मृत शरीर को अंत्येष्टि के लिए ले जाया जाता है, जनाजा -- मराश निया, चाङि
अराजकता (स्त्री.) शासनतंत्र का अभाव -- शासनहीन, अराजकता
अराजकता (स्त्री.) अव्यवस्था -- अराजकता
अरुण (वि.) लाल रंग का रक्त वर्ण का, सुर्ख -- रड़ा, अरुण
अरुण (पुं.) गहरा लाल रंग -- रङा रङ, राङाली आभा
अरुण (पुं.) सूर्य -- पोहरर-बेलि, नवोदित सूर्य
अर्चना (स्त्री.) पूजा, वंदना -- अर्चना, पूजा, वंदन
अर्थ (पुं.) अभिप्राय, माने -- अर्थ, माने, तात्पर्य
अर्थ (पुं.) धन-संपत्ति, पैसा -- धन, संपत्ति, टका-पइचा
अर्थशास्त्र (पुं.) वह शास्त्र, जिसमें विभिन्नअर्थिक क्रियाओं का विवेचन हेता है -- अर्थशास्त्र, नीतिशास्त्र, व्यवहारशास्त्र
अर्ध (वि.) आधा -- अद्र्ध (अर्ध), आधा
अर्धमासिक (वि.) पाक्षिक, मास के अधे भाग का -- पषेकीया, अद्र्धमहिया
अर्धांगिनी (स्त्री.) धर्मपत्नी -- अर्धागिनी, सहधार्मिणी
अर्पण (पुं.) किसी को श्रद्धापूर्वक कुछ देना, सौंपना या भेंट करना -- अर्पण, दान प्रदान देओया
अलंकरण (पुं.) पदक या पदवी द्वारा विभूषित करने की क्रिया -- अलंकरण
अलंकार (पुं.) सौंदर्यवर्धक वस्तु या सामग्री, सजावट -- अलंकार, गहणा
अलंकार (पुं.) आभूषण, गहना -- अलंकार, गहना, भूषण,
अलंकार (पुं.) रचनागत विशिष्ट शब्द-योजना या अर्थ चमत्कार -- साहित्य-शोभावर्धक
अलंग (वि.) दूर हटा हुआ, पृथक -- आलग, पृथक, न लगा
अलंग (वि.) औरों से भिन्न -- भिन्न, सम्पर्क न थका
अलता (पुं.) लाख से बना हुआ वह लाल रंग जो स्त्रियाँ शोभा के लिए पैरों में लगाती हैं, महावर -- आल्ता
अलबम (पुं.) तस्वीरें रखने की किताब या कापी -- एलबाम
अलमारी (स्त्री.) काठ, लोहे आदि का या दीवार में बना एक प्रकार का ऊँचा या लंबा आधान जिसमें चीजें रखने के लिए खाने या घर बने होते हैं। -- आलमारि, काटवा तीखार-पेर
अलापना (अ.क्रि.) स्वरविस्तार करना -- तान धर, सुर मिला, आलाप
अलावा (अव्य.) अतिरिक्त, सिवाय -- बाहिरे बाजे, व्यतिरेंके
अलौकिक (वि.) जो इस लोक में न मिलता हो, लोकोत्तर -- अलौकिक अपार्थिव
अलौकिक (वि.) असाधारण, अद्भुत -- असाधारण, आचरित
अल्प (वि.) कम, थोड़ा, विरल -- अलप, अल्प
अल्प (वि.) तुच्छ -- तुच्छ
अल्पविराम (पुं.) एक विराम चिह्न (,) जो वाक्य के पदों में पार्थक्य दिखाने या बोलने में कुछ ठहराव सूचित करने के लिए प्रयुक्त होता है -- अल्पविराम, लघु आहार
अल्पसंख्यक (वि.) वह दल, पक्ष या समाज, जिसके अनुयायियों की संख्या अन्य दलों, पक्षों या समाजों से अपेक्षाकृत कम हो -- संख्यालघु
अल्पाहार (पुं.) थोड़ा, भोजन, जलपान, नाश्ता -- अल्पाहार, लघु आहार
अवकाश (पुं.) छुट्टी या फुरसत का समय -- छुट्टी, अवकाश, आजरि, अवसर
अवकाश (पुं.) रिक्त स्थान या शून्य स्थान -- खाली-ठाइ, फाँक-अवसर
अवज्ञा (स्त्री.) किसी आज्ञा या कानून को न मानना, उल्लंघन -- उलंघन, उलंघा, लंघन, अवज्ञा
अवज्ञा (स्त्री.) अनादर, अपमान -- अवज्ञा, अवमानना, सरुबुलि-भवा
अवतरण (पुं.) ऊपर से नीचे आना, उतरना -- अवतरण तललै नमाकार्य
अवतरण (पुं.) लेख, वचन आदि का उद्धृत अंश, उद्धरण -- उद्धृत-अंश
अवतार (पुं.) पौराणिक मान्यता के अनुसार ईश्वर का भौतिक या मानव रूप धारण करके इस संसार में आना -- भगवानर-अवतार
अवतार (पुं.) जिसके संबंध में यह माना जाता है कि वह ईश्वर का अंश और प्रतिनिधि है -- अवतार, आविर्भाव, अंशावतार
अवयव (पुं.) शरीर का कोई अंग -- शरीर कोनो अंग
अवयव (पुं.) किसी वस्तु का कोई अंश, भाग, हिस्सा -- कोनो वस्तुर अंश, भाग
अवरोह (पुं.) ऊँचाई से नीचे आना, उतरना -- अवरोहण, तललैनमा कार्य, प्रतिबंधक
अवरोह (पुं.) संगीत में स्वरों के ऊपर से नीचे आने का क्रम -- अवरोह
अवलंब (पुं.) आश्रय, सहारा, भरोसा -- अवलंबन, आश्रय, सहाय
अवशेष (पुं.) जो बचा रह गया हो -- अवश्ये, निश्चय
अवसर (पुं.) सुयोग, मौका -- असर, सुयोग
अवसाद (पुं.) आशा, उत्साह, शक्ति आदि का अभाव, शिथिलता, उदासी -- अवसाद, भाम, श्रँति
अवसाद (पुं.) विषाद, रंज -- विषाद, उत्साहहीनता
अवसान (पुं.) अंत, समाप्ति -- अवसान, शेष, ओर, समाप्ति
अवसान (पुं.) मरण, मृत्यु -- अंत, मृत्यु
अवहेलना (स्त्री.) अवज्ञा, तिरसस्कार, उपेक्षा -- अवज्ञा, अनादर, अवहेला, तुच्छ-ज्ञानकरा
अवांछित (वि.) जो चाहा न गया हो -- अबांछित योटो बांछाकर न हय
अवाक् (क्रि.वि.) स्तब्ध, चुप -- अबाक, आचरित, निमात
अविकल (वि.) ज्यों का त्यों -- अबिकल, अविकृत
अविकल (वि.) पूरा, संपूर्ण -- संपूर्ण सलनिनोहोवा
अविरल (वि.) घना, सघन -- घन, अबिरत
अविरल (वि.) सतत, निरंतर -- अबिराम, अनबरत
अविलंब (क्रि.वि.) बिना देर किए, तुरंत, तत्काल -- अबिलंबे, सोनकाले
अवैतनिक (वि.) बिना वेतन का -- अबैतनिक
अवैध (वि.) जो विधि या विधान के विरुद्ध हो -- अबैध, बेआइनी
अव्यवस्था (स्त्री.) व्यवस्था (क्रम, नियम, मर्यादा आदि) का अभाव -- बिश्रृंखल, उलट-पालट
अव्यवस्था (स्त्री.) प्रबंध आदि में होने वाली गड़बड़ी, कुव्यवस्था -- अब्यवस्था, खेलिमेली
अशुद्ध (वि.) जो शुद्ध न, हो, अपवित्र -- अपबित्र
अशुद्ध (वि.) जिसका शोधन या संस्कार न हुआ हो, दोषपूर्ण, त्रुटिपूर्ण -- अशुद्धि, अशुचि, चूवा
अशुद्धि (स्त्री.) शुद्ध न होने की अवस्था या भाव, अशुद्धता -- अशुद्धि
अशुद्धि (स्त्री.) त्रुटि, गलती -- भुल, त्रुटि
अशुभ (वि.) जो शुभ (भला या हितकर) न हो, अमांगलिक या बुरा -- अमंगल, अशुभ, अहित
अशुभ (पुं.) अमंगल, अहित -- अशुभ, अमांगलिक
अशुभ (पुं.) दोष या पाप -- दोष, पाप, खूँत, दाय
अश्लील (वि.) नैतिक या सामाजिक आदर्शों से च्युत, फूहड़ -- अश्लील, असभ्य, असत, अभद्र
अष्टमी (स्त्री.) शुक्ल या कृष्ण पक्ष की आठवीं तिथि -- अष्टमी-तिथि
असंख्य (वि.) जो गिनती में बहुत अधिक हो -- अगणन
असंख्य (वि.) जिसकी गिनती न हो सके, अनगिनत -- अगणन
असंगत (वि.) जो संगत न हो, बेमेल, असंबद्ध, प्रसंग-विरुद्ध -- असंगत, संगतिहीन, अमिल
असंतोष (पुं.) संतोष का अभाव -- असंतोष, अप्रसन्न
असंभव (वि.) जो कभी घटित न हो सके -- असंभव
असत्य (वि.) जो सत्य या उसके अनुरूप न हो, झूठा या मिथ्या -- असत्य, मिछा
असभ्य (वि.) जो सभ्य न हो, अशिष्ट, गँवार -- असभ्य, बर्बर, अशिष्ट, अभद्र
असमंजस (पुं.) दुविधा, अनिर्णय की स्थिति -- द्विधा, दोधोरमोर (थरो-गँरो), दोफीर
असमर्थ (वि.) जो किसी काम को कर सकने में समर्थ न हो, अशक्त -- अक्खम, अपारग, अलायक
असर (पुं.) प्रभाव -- प्रभाव
असल (वि.) वास्तविक -- आचल, प्रकृत, संचायथार्थ
असल (वि.) मूलधन -- मूलधन, मूल
असली (वि.) बिना मिलावट का, शुद्ध, खरा -- आचल, प्रकृत, संचायथार्थ
असहयोग (पुं.) औरों के साथ मिलकर काम न करने की क्रिया या भाव -- असहयोग, सहयोग न कर
असह्य (वि.) जो सहा न जा सके, उग्र, तीव्र -- असह्य, असहनीय
असाधारण (वि.) जो सामान्य न हो -- असाधारण, विशेष-त्वपूर्ण
असीम (वि.) जिसकी कोई सीमा न हो -- असीम, अनंत
असीम (वि.) बहुत अधिक, अपार -- अपार, अशेष
असुर (पुं.) दैत्य, दानव, राक्षस -- असुर, दैत्य
असुविधा (स्त्री.) सुविधा का अभाव, कठिनाई -- कठिनता, टान, कटकठिया, कोवाल, असुबिधा, असुचल
अस्तबल (पुं.) वह स्थान जहाँ घोड़े बाँधे जाते हैं, घुड़साल -- घौराशाल
अस्तव्यस्त (वि.) जिसका क्रम या व्यवस्था छिन्न-भिन्न हो चुकी हो, इधर-उधर बिखरा हुआ, तितर-बितर -- उलट-पालट, बिश्रृंखल
अस्तित्व (पुं.) होने का भाव, विद्यामानता, सत्ता -- अस्तित्व, सत्ता
अस्त्र (पुं.) फेंक कर चलाया जाने वाला हथियार -- अस्त्र
अस्थि (स्त्री.) हड्डी -- अस्थि, हाड़ (हार)
अस्थिर (वि.) जिसमें स्थिरता न हो, गतिमान, चंचल -- अस्थिर, चंचल
अस्पताल (पुं.) वह स्थान जहाँ रोगियों की चिकित्सा की व्यवस्था होती है, चिकित्सालय -- चिकित्सालय, हास्पटाल
अस्वस्थ (वि.) जो स्वस्थ न हो, बीमार या रोगी -- बेमारी, रिग्न, रुगीया, असुस्थ
अस्वस्थ (वि.) दूषित -- दूषित, बेया, मंद
अहं (पुं.) मैं हूँ का भाव, अहंकार, अभिमान -- अहंकार, दर्प
अहंकार (पुं.) अभिमान, गर्व -- अहंकार, मदरर भाव
अहाता (पुं.) चारों ओर बाड़ आदि से घिरा हुआ मैदान या स्थान -- बेरी-थोवा ठाँइ
अहाता (पुं.) चहारदीवारी -- चारिओफालो, थोवा, बेरि थोबा ठाँइ
अहिंसा (स्त्री.) हिंसा का निषेध -- अहिंसा
अहित (पुं.) भलाई का अभाव, अपकार, हानि -- अहित, अपकार, अनिष्ट, अमंगल
आँकड़े (पुं) तथ्यों को सूचित करने वाले अंक-समूह -- परिसंख्यान
आँकना (क्रि.) अंकित, करना -- आँक, चिन, आँच
आँकना (स.क्रि.) अनुमान लगाना -- अनुमान करा
आँख-मिचौनी (स्त्री.) लुका-छिपी, बच्चों का एक खेल -- लुकाभाकु, भाकूलुका
आँगन (पुं.) घर के अंदर का खुला चौकोर स्थान -- आंगन, उठोन, आंगिता
आँचल (पुं.) साड़ी का पल्ला, छोर, सिरा -- आँचल, कापोर्र आग
आंतरिक (वि.) अंदर का, भीतरी -- अंतरर, आंतरिक
आंतरिक (वि.) अंतःकरण से प्रेरित, सच्चा, वास्तविक -- आंतरिक, प्रकृत, अकृत्रिम़
आंदोलन (पुं) सोद्देश्य किया जाने वाला व्यापक सामूहिक प्रयास -- आंदोलन, विक्षोभ
आँधी (स्त्री.) धूल भरी तेज हवा, अंधड़ -- धुमुहा, धुलिर-धुमुहा
आंशिक (वि.) अंश या भाग से संबंध रखने वाला -- आंशिक
आंशिक (वि.) कुछ या थोड़ा, अपूर्ण -- अपूर्ण
आँसू (पुं) अश्रुग्रंथि से स्रवित जल कण, अश्रु -- चकुलो, चकुर, पानी
आकर्षक (वि.) अपनी ओर खींचने वाला -- आकर्षणकारी, अनोँता
आकर्षक (वि.) प्रभावित या मोहित करके अपनी ओर ध्यान खींचने वाला -- आकर्षक
आकर्षण (वि.) अपनी ओर खींचने का भाव -- आकर्षण टान
आकस्मिक (वि.) अकस्मात्, अप्रत्याशित या एकाएक घटित होने या प्रकट होने वाला, अचानक -- आकस्मिक, हठात् घटा
आकार (पुं.) आकृति, शक्ल -- आकार, आकृति, गढ़, ठह
आकार (पुं.) किसी वस्तु या व्यक्ति की लंबाई चौड़ाई, फैलाव, ऊँचाई आदि -- आकार, आयतन, आकृति, ठह
आकाश (पुं.) नभ, गगन, आसमान -- आकाश, गगन
आकाश-वाणी (स्त्री.) आकाश से सुनाई पड़ने वाली वाणी -- आकाशबाणी, दैवबाणी
आकाश-वाणी (स्त्री.) ऑल इंडिया रेडियो का हिंदी नाम -- आकाशबाणी, अनाताँर रेडिअ
आकृति (स्त्री.) वस्तु, या व्यक्ति का चित्र भावभंगिमा प्रकट करने वाली मुद्रा -- आकृति, रूप गढ़
आकृति (स्त्री.) रूप, गठन, चेहरा -- रूप, गठण, चेहेरा, गढ़
आक्रमण (पुं.) प्रहार, हमला -- आक्रमण
आक्षेप (पुं.) लांछन, दोषारोपण -- दो,रोप, जगरथरा कार्य
आखिर (पुं.) अंत, समाप्ति -- अंत ओर, अवसान
आखिर (पुं.) परिणाम -- परिणाम्, फल, शेषफल
आखिर (वि.) अंत में, बाद में या पीछे होने वाला -- पिचर, परवर्ती
आखेट (पुं.) शिकार -- चिकार, शिकार
आगंतुक (पुं.) आने वाला (व्यक्ति), अभ्यागत, अतिथि, पाहुना -- अतिथि, आलही कोनो-घटना घटिबर-लक्खन
आग (स्त्री.) अग्रि -- अग्नि, जुइ
आग (स्त्री.) जलन, डाह, संताप -- ज्वलन, दाह पोरा कार्य ताप, शोक-संताप
आगमन (पुं.) आने, पहुँचने या नए सिरे से प्रकट होने की क्रिया या भाव -- आगमन, अहा, आहाकार्य
आगामी (वि.) भविष्य में आने या होने वाला, भावी -- आगामी, भावी काल
आगे (क्रि.वि.) पहले या सामने, किसी की उपस्थिति में -- प्रत्यक्षे, आगलति, आगते-आगलि
आगे (क्रि.वि.) भविष्य में -- अगले, भविष्यतलै
आगे (क्रि.वि.) कुछ दूर और बढ़ने पर -- अलप आगत
आग्रह (पुं.) नम्रतापूर्वक बल, अनुरोध -- अनुरोध, हें, पाह
आग्रह (पुं.) किसी बात पर अड़ते हुए जोर देना, हठ -- जेद, आँकोर, आँकोर गोज
आघात (पुं.) प्रहार या चोट -- आघात, मार, कोब
आघात (पुं.) किसी दुखद घटना के कारण होने वाली मानसिक व्यथा -- मानसिक आघात, वेदना, मनत-कोब
आचरण (पुं.) चाल-चलन, चरित्र -- आचरण, चाल-चलन
आचार्य (पुं.) गुरु, शिक्षक -- गुरु, शिक्षक, आचार्य, धर्मगुरु, शिक्षागुरु
आचार्य (पुं.) विभागाध्यक्ष -- प्राध्यापक, अध्यापक
आचार्य (पुं.) किसी विषय का असाधारण पंडित -- आचार्य पण्डित, पंडितलोक, ज्ञानी
आज (क्रि.वि.) वर्तमान में -- आजि
आज (क्रि.वि.) इन दिनों में, इस काल में -- एतिया
आज (पुं.) प्रस्तुत या वर्तमान -- आजिरदिनटो
आजकल (क्रि.वि.) इन दिनों, वर्तमान काल में -- आजिरदिनत
आजकल (क्रि.वि.) वर्तमान या प्रस्तुत दिनों में, एक दो दिन में -- आजि-कालि
आजाद (वि.) स्वाधीन,मुक्त, स्वतंत्र -- स्वाधीन, मुक्त
आजीवन (क्रि.वि.) जीवन भर -- आजीबन, जीवन जुरि
आजीविका (स्त्री.) रोजी, रोजगार, धंधा -- जीविका, बृत्ति, वृत्ति, व्यवसाय
आज्ञा (स्त्री.) आदेश, हुक्म -- आज्ञा, आदेशस, हुकुम
आज्ञा (स्त्री.) अनुमति -- अनुमति, अनुज्ञा
आडंबर (पुं) दिखावा, दिखावटी ठाट-बाट -- आडंबर, जाक-जमक, बिपुल आयोजन
आढ़तिया (पुं.) आढ़त का काम करने वाला -- आढ़य सभारी
आतिशबाजी (स्त्री.) बारूद से बनी चीज़ों को जलाने का तमाशा -- आतचबाजी
आतुर (वि.) अधीर, उतावला -- आतुर, अधीर, कातर
आतुर (वि.) विकल, बेचैन -- बियाकुल
आत्मकथा (स्त्री.) अपना लिखा जीवन चरित -- आत्मजीवनी
आत्म-रक्षा (स्त्री.) अपना, बचाव -- आत्मरक्षा
आत्म-विश्वास (पु.) अपने पर विश्वास या भरोसा -- आत्मबिश्वास, आत्म प्रत्यय
आत्म-समर्पण (पुं.) अपने आपको किसी के हाथ में सौंपना -- आत्मसमर्पण
आत्म-समर्पण (पुं.) हथियार डाल देना -- अस्त्र-समर्पण
आत्महत्या (स्त्री.) अपने हाथों अपना वध, आत्मघात -- आत्महत्या, निजर, मरन, घटोवा
आत्मा (स्त्री.) शरीर में रहकर उसे जीवित रखने वाली अविनाशी, अभौतिक शक्ति, प्राण -- आत्मा, जीवात्मा, प्राण
आत्मा (स्त्री.) किसी वस्तु आदि का गूढ़, मूल तथा सार भाग -- मूल, सार, सारभाग
आदत (स्त्री.) प्रकृति, स्वभाव -- प्रकृति, स्वभाव
आदत (स्त्री.) बान, टेव -- अभ्यास
आदमी (पुं.) मनुष्य -- मानुह
आदमी (पुं.) वयस्क और प्रौढ़ व्यक्ति -- बयसीया, मानुह
आदर (पुं.) सम्मान, सत्कार, पूज्य भाव -- मान, सम्मान् सत्कार भक्ति, सन्मान
आदरणीय (वि.) आदर-योग्य -- आदरणीय
आदर्श (पुं.वि.) अनुकरणीय, श्रेष्ठ -- आदर्श, आर्ही, अनुकरणीय, चेनेकी
आदर्श (पुं.वि.) नमूना, बानगी -- आदान-प्रदान, बिनिमय
आदि (पुं.) मूल -- आदि
आदि (वि.) पहला -- आरंभ, उत्पत्ति स्थान
आदि (अव्य) इसी प्रकार और या बाकी सब भी, इत्यादि, वगैरह -- इत्यादि
आदिवासी (पुं.) किसी देश का मूल निवासी -- जलजाति
आदिवासी (पुं.) जनजाति का सदस्य -- जनजातीय लोक, अरुणाचल प्रदेशर की एक विशेष जाति
आदेश (पुं.) आज्ञा, हुक्म -- आदेश, आज्ञा, हुकुम
आद्याक्षर (पुं.) (कई पदों वाले) नाम के प्रत्येक पद का आरंभिक अक्षर, जो प्रायः हस्ताक्षर आदि के लिए प्रयुक्त होता है -- आद्यक्षर, नामर पहिला आखर, प्रथम संक्षिप्त सही
आधा (वि.) वस्तु के दो समान भागों में से प्रत्येक -- आधा, दूभागर ए भाग
आधार (पुं.) नीचे की वह वस्तु, जिसके ऊपर कोई दूसरी वस्तु टिकी या रखी हो -- आधार, आश्रय, पात्र
आधार (पुं.) कारण -- कारण
आधारभूत (वि.) आधार रूप में स्थित, मूलभूत -- आधारी, मूल
आधिकारिक (वि.) अधिकारपूर्वक कहा या किया हुआ -- कर्त्तव्यपूर्ण, आधिकारिक
आधुनिक (वि.) आजकल का , वर्तमान काल का -- आधुनिक
आध्यात्मिक (वि.) आत्मा और ब्रह्म से संबंध रखने वाला -- आध्यात्मिक
आनंद (पुं.) हर्ष, खुशी -- आनंद, हर्ष रं, संतोष
आनंद (पुं.) म़ौज -- सुखा, मजा रंङ्
आना (अ.क्रि) आगमन, दूर से पास पहुँचना -- रङ् आह, रंगियाल धेमेलिया
आना (अ.क्रि) कौशल की जानकारी होना -- अहा-कार्य, जना-जना-बुझा
आप (सर्व) स्वयं, स्वतः खुद -- निजे, स्वयं
आप (सर्व) तुम या वे के स्थान पर प्रयुक्त आदरसूचक शब्द -- आपुनि
आपसी (वि.) आपस का, पारस्परिक -- पारस्परिक
आभार (पुं.) किसी के उपकार के लिए प्रकट की जाने वाली कृतज्ञता, एहसान -- कृतज्ञता
आभास (पुं.) झलक, छाया -- आभास, छाँ, इंगित
आभास (पुं.) मिथ्याप्रतीति, भ्रम -- भ्रम, भांति
आभूषण (पुं.) अलंकार, गहने, जेवर -- गहना, भूषण, अलंकार
आमुख (पुं.) प्रस्तावना, भूमिका -- प्रस्तावना, भूमिका
आमोद-प्रमोद (पुं.) जो काम केवल चित्त प्रसन्न करने और मन बहलाने के लिए किए जाते हैं -- आमोद-प्रमोद, रंधेमाली
आय (स्त्री.) पारिश्रमिक, लाभ आदि के रूप में प्राप्त धन, आमदनी -- आय, उपार्जन, धनागम
आयकर (पुं.) राज्य की ओर से लोगों की आय पर लगने वाला कर -- आयकर
आयत (पुं.) चार भुजाओं वाला वह क्षेत्र, जिसकी आमने-सामने की भुजाएं समांतर हों और चारों कोण समकोण हों -- आयत क्षेत्र
आया (स्त्री.) दाई, बच्चों की देखभाल करने वाली सेविका -- धाइ रोगीर-परिचारिका
आया (स्त्री.) ‘आना’ क्रिया का पूर्ण कालिक/भूतकालिक रूप -- आह, क्रियार, भूत कालर, रूप
आयात (पुं.) व्यापार के लिए विदेश से माल मँगाने की क्रिया -- आचर-चाप, आमदानि
आयात (पुं.) विदेश से मँगाया हुआ माल -- आयाम
आयाम (पुं.) लंबाई, विस्तार -- दैर्घ्य, बिस्तृति, आयाम
आयुष्मान् (वि.) दीर्घजीवी, चिरंजीवी -- आयुस्मंत्, आयुस्मान
आयोजक (वि.) समारोह या कार्यक्रम का प्रबंध करने वाला -- आयोजक, आयोजन-कारीलोक, उद्योक्त
आरंभ (पुं.) शुरु, श्रीगणेश -- आरंभ, सूत्रपात, उत्पत्ति
आरती (स्त्री.) किसी मूर्ति के सामने दीपक घुमाना -- आरति, संध्या-सेवा
आरती (स्त्री.) स्तोत्र वाचन -- स्तोत्र, स्तुति
आराम (पुं.) सुख, चैन, विश्राम -- आराम, जिरणि
आराम (पुं.) रोग कम होने या दूर होने की अवस्था -- सुस्थ, सुस्थता
आरोप (पुं.) ऊपर या कहीं से लाकर बैठाना या लगाना -- आरोप लगाइ दे, अर्पण कर, स्थापन कर
आरोप (पुं.) अनुचित या नियम-विरुद्ध कार्य, इल्जाम -- दोषारोप जगरधरा-कार्य
आरोह (पुं.) ऊपर चढ़ना, सवार होना -- आरोहण, उठा, कार्य
आरोह (पुं.) नीचे से ऊपर की ओर जाना या बढ़ना -- उपर लै उठाकार्य
आरोह (पुं.) संगीत में स्वरों का चढ़ाव -- ओपर लै उठा कार्य, कारण अनुमान (संगीतर) आरोही सुर क्रमान्वये
आर्थिक (वि.) रूपए पैसे, आय-व्यय आदि से संबंधित -- आर्थिक, धन विषयक, अर्थसंबंधी
आर्द्र (वि.) गीला, तर, नम -- तिता, पानीत-तिता सेमेका
आलंब (पुं.) सहारा, आधार -- अवलंबन, आश्रय
आलंब (पुं.) रसनिष्पत्ति में सहायक एक विभाग -- NA
आलसी (पुं.) सुस्त, काहिल -- एलेहुवा सोरोपलिहा
आलस्य (पुं.) काम करने की अनिच्छा, सुस्ती, शिथिलता -- आलस्य, सोरोपाली , कामर प्रति अलीहा
आला (पुं.) दीवार में थोड़ा सा खाली छोड़ा हुआ स्थान जिसमें छोटी मोटी चीज़ें रखी जाती हैं, ताक -- बेरर खोल
आला (पुं.) कारीगरों के काम करने का उपकरण, औजार -- कारिकरर एबिध-सर्रजाम
आला (पुं.) डाक्टर का स्टेथोस्कोप -- NA
आला (पुं.) उच्च कोटि का , श्रेष्ठ बड़ा -- उच्च-बर्गीय, श्रेष्ठ
आलोक (पुं.) प्रकाश रोशनी -- आलोक, पोहर, दीप्ति
आलोचक (पुं.) गुण दोष आदि का विवेचन करने वाला, समीक्षक -- आलोचक, समीक्षक, समीक्षणकारी बिचारक
आलोचना (स्त्री.) गुण दोषों का निरुपण या विवेचन, समीक्षा -- समालोचना, समीक्षा, आलच, आलोचना बिचार
आवभगत (स्त्री.) आदर-सत्कार, खातिरदारी, आतिथ्य -- आतिथ्य, अतिथि सत्कार, सेवा-सुश्रूषा
आवरण (पुं.) परदा -- आवरण ढाकनी
आवरण (पुं.) ढक्कन -- ढाकनी, ढाकोन
आवरण (पुं.) किसी वस्तु के चारों ओर लिपटा कागज या कपड़ा -- गारर कापोर मेरिओवा कागत
आवश्यक (वि.) जिसके बिना काम न चल सकता हो, जरूरी -- आवश्यक, प्रयोजनीय, दरकारी
आवश्यकता (स्त्री.) ऐसी स्थिति जिसमें किसी चीज या बात के बिना काम ही न चल सकता हो, जरूरत -- आवश्यकता, प्रयोजनीयता, दरकार
आवश्यकता (स्त्री.) आवश्यक होने की क्रिया या भाव -- आवश्यकता, लागतियाल, प्रयोजनीय
आवागमन (पुं.) आना-जाना -- अहा-योवा, आगमन-निर्गमन
आवागमन (पुं.) जन्म-मरण का चक्र -- अकौ लाभ करा जन्म पुररुद्भाव
आवारा (पुं.) बेकार घूमने-फिरनेवाला -- निष्कर्मा, गा घेलाइ फुरा
आवारा (पुं.) आवांछनीय आचरण वाला, लफंगा -- दुष्ट, असत, अबाञ्छित
आवास (पुं.) रहने का स्थान -- आबास, थकाठाइ घर
आवाहन (पुं.) अपने पास बुलाने की क्रिया या भाव -- निमंत्रण, मंत्रेरे-आह्वान
आवाहन (पुं.) पूजन के समय किसी देवता को मंत्र द्वारा बुलाने की क्रिया -- आवाहन, आबाहनी
आविष्कार (पुं.) किसी अज्ञात वस्तु को खोज निकालना या बनाना, ईजाद -- आबिष्कार, अज्ञातर वा अप्रकटर प्राकट्य
आवृत्ति (स्त्री.) बार-बार होने की क्रिया या भाव -- मुखस्थ पाठ आबृत्ति, पुनः पुनः होवा भाव व्यंजक पाठ
आवृत्ति (स्त्री.) पुस्तक आदि का उसी रूप में फिर छपना -- पुनरमुद्रण, पुनःघुरिअहा कार्य
आवेग (पुं.) प्रबल मनोवेग -- आवेग, व्यग्रता, व्याकुलता
आवेग (पुं.) बिना सोचे-विचारे कुछ कर बैठने की क्रिया -- भावावेग, अनुभूतिर आलोड़न
आवेदन (पुं.) निवेदन, प्रार्थना -- प्रार्थना, दरखास्त, निबेदन, मिनती
आशय (पुं.) अभिप्राय, तात्पर्य, इरादा -- आशय, मन प्रवृत्ति, अभिप्राय बासना
आशा (स्त्री.) उम्मीद -- आशा, आकांक्षा, झसा
आशीर्वाद (पुं.) मंगल कामना के लिए बड़ों द्वारा कहे गए शुभवचन, आशिष -- आशीर्बाद, शुभकामना
आश्रय (पुं.) शरण, ठिकाना आशीर्वाद (पुं.) सहारा, आवलंब -- आश्रय गइना सहाय राखेता
आश्वासन (पुं.) कोई काम पूरा करने के लिए दिया जाने वाला वचन -- आश्वास, सांत्वना, प्रबोध, अभय-दान, रक्षाकर्ता, निरुपदठाई
आसन (पुं.) बैठने का कोई विशिष्ट ढंग, प्रकार या मुद्रा -- आसन, बहार बिभिन्न कौशल
आसन (पुं.) बैठने के लिए कुश आदि का बना हुआ चौकोर टुकड़ा -- आसन, ब्रिग्रह वा पुथि राखिबर यतन, योग चर्चात विविध आसन
आसान (वि.) सरल, सुगम -- सहज, सुगम, उजू
आस्तिक (वि.) ईश्वर की सत्ता को मानने वाला -- आस्तिक, वेद-विश्वासी यार ईश्वर, परलोक, पुनरजन्म आदित विश्वास
आस्तिक (वि.) धर्मनिष्ठ -- धार्मिक श्रद्धाशील
आस्था (स्त्री.) भक्तिपूर्ण विश्वास -- आस्था, निष्ठा, भरसा, सम्मान, संभम
आस्वादन (पुं.) स्वाद लेना, चखना -- आस्वादन, सोवाद लोवा कार्य
आस्वादन (पुं.) रसास्वादन (कविता आदि का) -- रसरसोवार लोवा कार्य (कविता आदिर)
आहट (स्त्री.) हल्की आवाज -- अहिबर संकेत-ध्वनि, पगध्वनि
आहार (पुं.) खाद्य पदार्थ, भोजन -- आहार, खोवावस्तु, असमीया बछरर तृतीय महीना
आहुति (स्त्री.) यज्ञ या हवन करते समय सामग्री को अग्नि में डालने की क्रिया -- आहुति, होमर जुइत उसगर्त कर द्रव्य
आहुति (स्त्री.) हवन में डाली जाने वाली सामग्री -- आहुतिर द्रव्य, हवि
इंतज़ाम (पुं.) प्रबंध, व्यवस्था -- ब्यवस्था, योगार
इंदराज (पुं.) दर्ज करना, प्रविष्टि -- भ्रतिकरण, प्रविष्टि
इकहरा (वि.) एक ही परत वाला -- एखनीया, एतरपीया एकक गोट
इकहरा (वि.) पतला -- सेरेङा डाठ न-होवा
इकाई (स्त्री.) किसी पूरे वर्ग या समूह का ऐसा भाग, जो विश्लेषण के लिए स्वतंत्रया पृथक माना जाता हो -- एकक, गोट
इकाई (स्त्री.) किसी संख्या में दाईं ओर का पहला अंक या उसका स्थान -- एकक, गोट
इक्का (पुं.) दो पहियों वाली एक छोटी गाड़ी जिसमें केवल एक घोड़ा जोता जाता है -- एक्का गाडी
इक्का (पुं.) ताश का एक बूटिवाला पत्ता -- ताच-पातर एक्का
इक्का दुक्का (वि.) अकेला-दुकेला, कोई-कोई -- दुइ एक, दुटा-एटा, कोनो कोनो
इच्छा (स्त्री.) चाह, कामना -- इच्छा, कामना, हेंपाह
इठलाना (अ.क्रि) गर्वसूचक चेष्टाएँ, इतराना -- ओफेन्दि फुरा
इतिवृत्त (पुं.) किसी विषय या घटनाओं का काल-क्रमानुसार पूर्ण विवरण -- इतिबृत, अतीतर विबरण, बुरुज्जी, इतिहास
इठलाना (पुं.) इतिहास -- इतिहास, पुरंजी
इतिहास (पुं.) व्यक्ति, समाज, विषय देश की महत्वपूर्ण घटनाओं का काल क्रमानुसार वर्णन -- इतिहास, पुरनि-कथा
इत्र (पुं.) पुष्पसार, अतर -- आरक, सुगंधि निर्यास
इधर (क्रि.) इस ओर, -- एइफाले
इधर (वि.) इस तरफ, इस स्थान पर -- एइपिने
इनकार (पुं.) न मानने की क्रिया या भाव, अस्वीकृति -- अस्वीकार
इनाम (पुं.) पुरस्कार, पारितोषिक -- पुरस्कार, बँटा
इमारत (स्त्री.) भवन -- भवन, घर
इलाका (पुं.) क्षेत्र, प्रदेश -- एलेका, क्षेत्र, लाट
इलाज (पुं.) उपचार, चिकित्सा -- चिकित्सा, रोग निरामय करा
इलाज (पुं.) प्रतिकार की युक्ति का उपाय -- प्रतिकारर उपाय, चिकित्सा, औषधि
इशारा (पुं.) संकेत -- संकेत, इंगित-इचारा
इस्तरी (स्त्री.) कपड़े की सिलवट दूर करने या तह बिठाने के लिए लोहे या पीतल का उपकरण -- इस्त्री
इस्पात (पुं.) विशेष प्रक्रिया से तैयार किया हुआ एक प्रकार का कड़ा और बढ़िया लोहा -- तीखा, लोहार उपकरण
ईंट (स्त्री.) साँचे में ढाला मिट्टी का एक छोटा खंड जो दीवार आदि बनाने के काम आता है -- इटा
ईंट (स्त्री.) ताश के चार रंगों में से लाल रंग की चौकोर बूटियों वाला एक पत्ता विशेष -- ताचर रूहितनर पात, रङापात
ईंधन (पुं.) जलाने में काम आने वाली/ पेट्रोलियम पदार्थ -- इंधन, खरि
ईख (स्त्री.) गन्ना, ऊख -- ईश्वर, प्रभु, गराकी परमात्मा, भगवान
उँड़ेलना/उडेलना (स.क्रि.) किसी तरल पदार्थ को एक बर्तन से दूसरे में डालना या जमीन पर गिरा देना -- ढाला, बाक पात्रकातिकरि बोवाइ दि
उकताना (अ.क्रि) ऊबना -- आमनि लाग, भागरि पर
उकसाना (स.क्रि.) भड़काना, उत्तेजित करना -- उचटनि, उत्तेजित कर, उद्गनि
उक्ति (स्त्री.) किसी की कही हुई बात, कथन, वचन -- एक्ति, कथा, बचन, विवृत्ति
उखाड़ना (स.क्रि.) जमी, ठहरी या लगी हुई चीज को खींचकर आधार से अलग करना -- उभाल, उघाल, एरुवा
उगना (अं.क्रि.) उदय होना, निकलना -- ओला, उदय ह ओपज
उगना (अं.क्रि.) अंकुरित होना -- अंकुरित होवा
उगना (अं.क्रि.) उपजना, पैदा होना -- गांज, अंकुरित उपजा
उगलना (स.क्रि.) खाई हुई वस्तु को मुँह से बाहर निकाल देना -- ओकाल, बमि करा, उलिओवा
उगाना (स.क्रि.) किसी बीज या पौधे को उपजाने की क्रिया -- ओपजा, उत्पन्न कर
उगाना (स.क्रि.) उत्पन्न या पैदा करना -- उत्पादन कर, उपजा कर
उघाड़ना (स.क्रि.) खोलना, अनावृत करना, नंगा करना -- बखलिया, उलिया ओला प्रकाशकर
उचटना (अं.क्रि.) किसी जमी या चिपकी हुई वस्तु का अपने आधार से अलग होना, छूटना -- खह, एर औफर बिरक्ति
उचटना (अं.क्रि.) मन का हट जाना, न लगना, ऊबना -- मन न लागिबा, आमनिलगा भागर
उचित (वि.) उपयुक्त -- उचित, उपयुक्त
उचित (वि.) न्यायसंगत, तर्क संगत -- उचित, न्याय्य, न्यायसंगत, युक्ति युक्त
उच्च (वि.) ऊँचा -- ओख, उच्च
उच्च (वि.) पद आदि में औरों से ऊपर या बड़ा -- शीर्ष स्थानीय उच्च पदस्थ
उच्च (वि.) श्रेष्ठ -- श्रेष्ठ, उत्कृष्ट
उच्चारण (पुं.) मुँह से स्वर और व्यंजनयुक्त शब्द निकालना -- उच्चारण मताकार्य कोवाकार्य
उछल-कूद (स्त्री.) बार-बार उछलने या कूदने की क्रिया -- जाँप-मरा लाफ
उछलना (अ.क्रि) वेगपूर्वक ऊपर/आगे की ओर बढ़ना -- उचाल मार, जंपिया, उचला दाङ्-खोवा
उछलना (अ.क्रि) अत्यंत प्रसन्न होना, खुशी से फूलना -- अतिकै आनंदित होवा
उजड़ना (अ.क्रि) किसी वस्तु का जमे हुए स्थान से उखड़ना -- छन-पर उजार उच्छान्नह नष्टह
उजाला (पुं.) चाँदनी, प्रकाश, रोशनी -- जोनाक, पोहर
उजाला (पुं.) प्रातःकाल होने वाला प्रकाश -- फेँडुजालि पुवा-पोहर
उठना (अ.क्रि) गिरे, झुके, बैठे या लेटे होने की स्थिति से खड़े होने की स्थिति में आना -- गातोल थिय ह उठ गा-दाङ्
उठना (अ.क्रि) ऊपर जाना अथवा बढ़ना -- उठ, गादाङ
उड़ना (अ.क्रि) पंखों या परों की सहायता से आधार छोड़कर ऊपर उठना और आकाश या वायु में इधर-उधर आना जाना -- उर शून्यत-चलिफुर, नाइकिया ह आकाशत-उरा
उड़ना (अ.क्रि) प्राकृतिक, रासायनिक आदि कारणों से पदार्थ का धीरे धीरे भाप बन जाना -- ओड़ा, नाइकीया ह उरि या
उड़ना (अ.क्रि) गायब या लुप्त हो जाना -- लुका, बाष्पी भूत ह
उतना (वि.) पहले निर्धारित मात्रा में -- सिमान, सिमानखिनि
उतरना (अ.क्रि) किसी व्यक्ति या वस्तु का ऊपर से नीचे आना -- नामा, तल ह, चापर, लै गतिकर
उतार-चढ़ाव (पुं.) नीचे उतरने और ऊपर चढऩे की अवस्था, क्रिया या भाव -- उठा-नमा, तल ओपर
उतार-चढ़ाव (पुं.) किसी वस्तु के मान, मूल्य स्तर आदि का बराबर घटते बढ़ते रहना -- कम हेबा-ओ बढ़िबा, मान बा मूल्यर खसिबा-बढ़िबा
उतारना (स.क्रि.) ऊपर से नीचे लाना -- नमा तललै या
उतारना (स.क्रि.) अलग करना (वस्त्र आभूषण) -- खोल, सोलोका
उतारना (स.क्रि.) पार या दूसरी ओर पहुँचाना (नदी आदि के) -- पार कर
उत्कंठा (स्त्री.) कुछ करने की प्रबल इच्छा, चाव -- उत्कण्ठा, प्रबल इच्छा
उत्कर्ष (पुं.) ऊपर की ओर उठने, खिंचने या जाने की क्रिया या भाव -- उत्कर्ष, उत्तम, उच्च-कोटिर
उत्कर्ष (पुं.) पद, मान, संपत्ति, भाव, मूल्य आदि में होने वाली वृद्धि -- उन्नति, संपन्नता, समृद्धि
उत्तम (वि.) गुण, विशेषता आदि में सबसे बढ़कर -- उत्तम, श्रेष्ठ, आटाइतकै-भाल
उत्तराधिकार (पुं.) मृत्यु हो जाने अथवा अपना अधिकार छोड़ देने पर किसी दूसरे को उसकी धन संपत्ति, पद आदि मिलने का अधिकार -- उत्तराधिकार, पैतृक-संपत्ति-प्राप्ति
उत्तेजना (स्त्री.) किसी व्यक्ति द्वारा बिना समझे बूझे कोई काम करने में उग्रता तथा शीघ्रता से रत होने का भाव -- उत्तेजना, उद्गनि, उद्दीपना
उत्पादन (पुं.) उत्पन्न या पैदा करने की क्रिया या भाव -- उत्पादन, उत्पन्न होवा, जन्म दिया, कार्य
उत्सव (पुं.) धूमधाम से होने वाला सार्वजनिक आयोजन -- उत्सव, उछव, समारोह, आनंद, संतोष
उत्साह (पुं.) उमंग, हौसला -- उत्साह, उद्ग्रीवित
उत्सुक (वि.) मन में तीव्र अभिलाषा रखने वाला -- उत्सुक, आग्रही, व्यग्र, उद्ग्रीव
उदय (पुं.) उद्भव -- उद्य, उद्भव, प्रकाश
उदय (पुं.) ग्रह, नक्षत्रों, तारों आदि का क्षितिज से ऊपर उठकर आकाश में आना और दृश्य होना -- उदय, उत्पत्ति, आविर्भाव, उठाकार्य
उदार (वि.) खुले हृदय वाला -- उदार, महत अकपट ओख बदान्य
उदार (वि.) जो स्वभाव से नम्र और सुशील हो और पक्षपात संकीर्णता का विचार छोड़कर सबके साथ खुले दिल से आत्मीयता का व्यवहार करता हो। -- उदार, महान ओख, बहल मनर बदान्य
उदास (वि.) खिन्न,चिंतित -- चिंतित, उदास, विषयर प्रति बिमुख, अनुरागहीन
उदासीन (वि.) अलग या दूर रहने वाला -- उदासीन, दूरत-थका, केवलिया
उदासीन (वि.) आसक्ति अथवा कामना रहित -- बैरागी, गृहस्थधर्म, पालन न करे, अविवाहित, अनासक्त
उदासीन (वि.) तटस्थ, विरक्त -- निरेपक्ष निस्पृह
उदाहरण (पुं.) नियम, सिद्धांत आदि को स्पष्ट करने के लिए प्रस्तुत तथ्य -- उदाहरण, पटेतर, निदर्शन, दृष्टांत
उदाहरण (पुं.) ऐसा आचरण, कृति या क्रिया जो दूसरों को अनुकरण करने के लिए प्रोत्साहित करे -- आर्हि, आदर्श, उदाहरण
उद्घाटन (पुं.) आवरण या परदा हटाना -- उद्घाटन, उन्मोचन मुकुलिकरा
उद्घाटन (पुं.) नया कार्य आरंभ करने के समय औपचारिक उत्सव -- उद्बोधन, उन्मोचन, मुकुलिकर समारोह
उद्देश्य (पुं.) वह बात, वस्तु या विषय, जिसका ध्यान रखकर कुछ कहा या किया जाए -- उद्देश्य, लक्ष्य
उद्धरण (पुं.) किसी ग्रंथ, लेख आदि से उदाहरण, प्रमाण, साक्षी आदि के रूप में लिया हुआ अंश -- उद्धृति
उद्यम (पुं.) परिश्रम, मेहनत -- उद्यम, परिश्रम, उत्साह-प्रचेष्टा
उद्योग (पुं.) परिश्रम, अघ्यवसाय -- परिश्रम, उद्जोग, अध्यबसाय, उद्यम
उद्योग (पुं.) काम-धंधा -- उद्योग, शिल्प व्यावसायिक प्रतिष्ठान्
उद्योग-पति (पुं.) उत्पादन-उपक्रम का स्वामी -- उद्योगपति, शिल्पपति
उद्योग-पति (पुं.) किसी भी उद्योग का स्वामी -- उद्ययोगर मालिक, शिल्प-प्रतिष्ठानर गराकी
उधेड़ना (स.क्रि.) वस्त्रों की सिलाई बुनाई खोलना -- चिलाइ, खोल, उघाल
उधेड़-बुन (स्त्री.) मन की अनिश्चयात्मक स्थिति, उलझन -- गुनागँथा, दोधोर-मोधोर
उन्नति (स्त्री.) आगे बढ़ने या विकसित होने की प्रक्रिया -- उन्नति, श्रीवृद्धि, सौभाग्य
उन्नति (स्त्री.) उच्चता -- उच्चता, समृद्धि, कृतकार्यता
उन्माद (पुं.) मस्तिष्क की असंतुलित अवस्था -- उन्मादना, बलिया, उन्मत्त
उन्माद (पुं.) साहित्य में एक संचारी भाव -- साहित्यर एटा संचारी भाव, उन्मादना भाव
उन्मूलन (पुं.) जड़ से नष्ट करना -- उभला कार्य, खांदि पेलोवा
उन्मूलन (पुं.) समाप्त करना -- निर्मूल-करा, शेष करा
उपग्रह (पु.) बड़े ग्रह की परिक्रमा करने वाला छोटा ग्रह -- उपग्रह
उपग्रह (पु.) किसी ग्रह की परिक्रमा करने के लिए आकाश में छोड़ा जाने वाला यांत्रिक गोला या पिंड -- कृत्रिम उपग्रह
उपचार (पुं.) चिकित्सा -- चिकित्सा
उपज (स्त्री.) जो उपजा हो, पैदावार, फसल -- शस्य, खेति, फचल, कृषि जात वस्तु
उपज (स्त्री.) जो बन कर तैयार हुआ हो, उत्पादन -- उत्पादन, जन्म-दिया कार्य
उपज (स्त्री.) मन की नई उद्भावना या सूझ -- उद्भाबना,नूतन कै उलिओवा
उपजना (अ.) उगना, अंकुरण -- गाँज, गँजालि, ओला
उपजना (अ.) कोई नई बात सूझना -- मनत खेला उद्भावना ह
उपजाऊ (वि.) कृषि के लिए उपयुक्त -- खेतिर-उपयुक्त, उर्बर, उर्वर, सारयुक्त
उपदेश (पुं.) धर्म और नीति के संबंध में विद्वानों द्वारा बताई गई बातें -- उपदेश, नीति, बचन, नीतिवाक्य
उपदेश (पुं.) समुचितराय -- सुपरामर्श
उपद्रव (पुं.) फसाद, दंगा -- काजिया, युँज, दोरात्म्य
उपद्रव (पुं.) हलचल, ऊधम -- उपद्रव, उत्पात, उद्भंदालि
उपनगर (पुं.) नगर के आसपास बसा हुआ क्षेत्र, छोटा नगर -- उपनगर, सरुनगर, उपकण्ठ
उपनाम (पुं.) वास्तविक नामसे भिन्न कवियों लेखकों आदि का स्वयं रखा हुआ कोई दूसरा नाम -- उपनाम, छद्मनाम, आन नाम
उपन्यास (पुं.) साहित्य की एक विधा, जिसमें वास्तविक जीवन से मिलते-जुलते चरित्रों और कार्य कलापों का गद्यात्मक चित्रण हो -- उपन्यास, दीथल,गल्प नावल्
उपभोक्ता (पुं.) उत्पादन का प्रयोजक, खपतकार -- उपभोकता, भोकता, उपभोग-करोता
उपभोग (पुं.) किसी वस्तु का व्यवहार में लाना -- उपभोग, भोजन-पानकर, उपभोग भोगकरा
उपमा (स्त्री.) गुणों के आधार पर दो वस्तुओं की समानता, अलंकार विशेष -- उपमा, तुलना, सादृश्य उपमा (साहित्यर अलंकार)
उपयोग (पुं.) प्रयोग, व्यवहार -- प्रयोग ब्यबहार
उपयोगी (वि.) प्रयोग, में लाए जाने योग्य -- उपयोगी, प्रयोजनीय
उपयोग (पुं.) प्रयोग, व्यवहार -- प्रयोग (जो), ब्यबहार, उपजोग
उपयोगी (वि.) प्रयोग, में लाए जाने योग्य -- उपयोगी, प्रयोजनीय
उपलक्ष्य (पुं.) वह बात, जिसे ध्यान में रखकर कुछ कहा या किया जाए -- उपलख्य, संदर्भ, प्रयोजन, उद्देश्य
उपला (पुं.) जलाने के लिए सुखाया हुआ गोबर -- गोबरखुँटि
उपवन (पुं.) उद्यान, बाग, पार्क -- फुलनि उपबन, उद्यान, बागिचा बहल-मुकुलि-ठाँइ
उपवास (पं.) किसी धार्मिक-सांस्कृतिक अवसर पर दिन-भर या दिन-रात भोजन न करने की क्रिया -- आपबास, लघोन, अनाहार
उपसंहार (पुं.) अंत, समाप्ति -- अंत, शेष, उपसंहार, उपसंहृत
उपसंहार (पुं.) किसी प्रकरण, विषय आदि का वह अंतिम अंश जिसमें विषय का सारांश हो -- उपसंहार, शेषभाग
उपस्कर (पुं.) औज़ार, उपकरण -- सा-सरंजाम
उपस्थिति (स्त्री) हाज़िरी -- उपस्थिति, हाजिरा
उपहार (पुं.) सद्भावपूर्वक अथवा किसी अवसर पर किसी को दी जाने वाली कोई वस्तु -- उपहार, उप-ढोकन
उपहास (पुं.) हँसी, दिल्लगी, खिल्ली, मज़ाक -- इतिकिङ्, उपहास
उपाधि (स्त्री) योग्यता, सम्मान आदि की सूचक खिताब, पदवी, डिग्री -- उपाधि, खिताब, सम्मान-सूचक-नाम
उपासक (पुं.) उपासना करने वाला -- उपासक, सेवक, भँजोता
उपासक (पुं.) आराधक -- भक्ति-करोंता, सेवक
उपासना (स्त्री) ईश्वर, देवता आदि की मूर्ति के पास बैठकर किया जाने वाला आध्यात्मिक चिंतन, पूजन, आराधन -- सेवा, उपासना आराधना, पूजा, ईश्वरर प्रति अनुराग
उपासना (स्त्री) किसी वस्तु के प्रति अत्यधिक आसक्ति की भावना -- गंभीर-अनुराग
उपेक्षा (स्त्री) अवहेलना -- उपेक्षा, अवहेला
उपेक्षा (स्त्री) अनादर -- अनादर, तुच्छ-ज्ञान
उबकाई (स्त्री) उलटी कै, मिचली, मितली -- बाँति, बमि
उबरना (अ.क्रि) उद्धार या निस्तार पाना -- तर, बाच
उबलना (अ.क्रि) आग पर रखे हुए तरल पदार्थ का फेन के साथ ऊपर उठना -- उतल, उतलि उठ, उठलिउठ
उबलना (अ.क्रि) उत्तेजित होना, आवेश में आना -- उत्तेजित ह, उचटनि, जँक
उभरना (अ.क्रि) नीचे के तल से उठकर या निकलकर ऊपर आना -- उला, उदय ह, उलिओवा
उभरना (अ.क्रि) ऊपर उठकर या किसी प्रकार उत्पन्न होकर अनुभूत या प्रत्यक्ष होना -- ओपरलै उठ उद्भासित ह
उमंग (स्त्री) कोई काम करने के लिए प्रेरित करने वाला आनंद या उत्साह -- उत्फुल्ल, उलाह, आनंद
उम्मीदवार (पुं.) किसी पद पर चुने जाने या नियुक्त होने के लिए प्रस्तुत होने वाला या अपने आपको उपस्थित करने वाला व्यक्ति प्रत्याशी -- प्रार्थी, दर्खास्तकारी, प्रत्याशी
उर्वर (वि.) उपजाऊ -- सारुवा, उर्वरा सारथका
उर्वर (वि.) जिसकी उत्पादन शक्ति अधिक हो (तत्व) -- उर्बर, सारगर्भ
उर्वरक (पुं.) खेतों को उपजाऊ बनाने के लिए डाली जाने वाली रासायनिक खाद -- रासायनिक सार
उलझन (स्त्री) जिस स्थिति में किसी प्रकार का निश्चय करना बहुत कठिन हो, पेचीदगी -- समस्या, संकट, जटिलता, जंजाल
उलझना (अ.क्रि) किसी चीज के अंगों का आपस में दूसरी चीज के अंगों के साथ इस प्रकार फँसकर लिपटना कि सहज में एक दूसरे से अलग न हो सके -- जाँट लागा
उलझना (अ.क्रि) झंझट, झगडे आदि में इस प्रकार फंसना कि जल्दी छुटकारा न हो सके -- पाकत पर
उलटना (अ, स.क्रि) सीध की विपरीत दिशा या स्थिति में जाना या होना -- ओलट, ओलोटा
उलटना (अ, स.क्रि) साधारण स्थिति से विपरीत या विरुद्ध हो जाना या करना -- घुराइदे
उलटना (अ, स.क्रि) ऊपर का भाग नीचे और नीचे का भाग ऊपर स्थिति में होना -- बिपरीत ह आलर फालर तल होवा
उलटी (स्त्री) कै, वमन -- बमि, बाँति
उलाहना (पुं.) मूल दोष या त्रुटि आदि को रोष या व्यंग्य के साथ जताना -- आपत्ति, अभियोग, गोचर बाद
उलीचना (स.क्रि.) किसी बड़े आधान या पात्र में भरे हुए जल आदि को बर्तन या हाथ से बाहर निकालना या फेंकना -- पानी सिंच, उलियाइ दिया, ओफराइ द
उल्लंघन (पुं.) आज्ञा, नियम, प्रथा, रीति आदि का पालन न करना अतिक्रमण -- उल्लंघन, उलंघन, अवज्ञा-करण
उल्लास (पुं.) आनंद, प्रसन्नता -- उल्लास, उलाह रङ्पोवा
उल्लेखनीय (वि.) जिसका वर्णन करना आवश्यक या उचित हो -- उल्लेखनीय
उसूल (पुं.) सिद्धांत -- नीति, रीति, दस्तुर
उस्तरा (पुं.) बाल मूँड़ने का छुरा -- खुर (क्षुर)
ऊँघना (अ.क्रि) झपकी लेना, नींद की आरंभिक अवस्था -- कलमटिया, टोपनी धर
ऊँचा (वि.) आधार या तल से ऊपर उठा हुआ -- ओख
ऊँचा (वि.) लंबा -- डाँगर, दीघल
ऊँचा (वि.) पद, मर्यादा आदि की दृष्टि से दूसरों से आगे बढ़ा हुआ -- ओपरर उच्च-पदस्थ
ऊँचाई (स्त्री) ऊँचे होने की अवस्था या भाव -- उच्चता, ओख
ऊँचाई (स्त्री) गौरव, बड़ाई -- गौरव, गुरुत्व
ऊपर (अव्य.) आकाश की ओर, ऊर्ध्व दिशा में -- ओपर, फाल
ऊपर (अव्य.) किसी के आधार या सहारे पर -- ओपरत
ऊपर (वि.) औरों से बढ़कर, श्रेष्ठ, उत्तम -- श्रेष्ठ, उत्तम
ऊपर (वि.) अधिक, ज्यादा -- अधिक, सरह
ऊबना (अ.क्रि) किसी वस्तु विशेष में रुचि न रह जाना, मन में विरक्ति उत्पन्न होना -- आमुवा, आमनि लाग
ऊष्मा (स्त्री) गरम होने की अवस्था, गुण या भावः गरमी, ताप -- उष्मा, उत्ताप, गरम
ऊसर (पुं.) रेत की प्रधानता वाली भूमि, जो खेती के लायक न हो -- अनुर्बर, असारुवा
ऊहापोह (पुं.) अनिश्चय की दशा में होने वाला तर्क वितर्क या सोच विचार, उधेड़-बुन -- बिचार-बिबेचना, इतस्ततः भाव
ऋण (पुं.) उधार, कर्ज -- ऋण
ऋण (पुं.) किसी का किया हुआ उपकार, एहसान -- अनुग्रह
ऋण (पुं.) घटाने या बाकी निकालने का चिह्न् (-) -- घाटि होवार चिन
ऋणदाता (वि.) ऋण देने वाला -- ऋणदाता
ऋतुराज (पुं.) बसंत ऋतु -- बसंत ऋतु
ऋषि (पुं.) वेद-मंत्रों का प्रकाश करने वाले महापुरुष या मंत्र द्रष्टा -- ऋषि
ऋषि (पुं.) आध्यात्मिक और भौतिक तत्वों का साक्षात्कार करने वाला -- तत्वदर्शी ऋषि
एकता (स्त्री.) ऐक्य का भाव -- मिलन, एकता
एकता (स्त्री.) समानता -- साम्य, समानता
एकत्र (वि.) इकट्ठा, जमा -- एकत्र, एकेलग, समवेत
एकदम (क्रि.वि.) तुरंत -- तुरंते, हठाते
एकदम (क्रि.वि.) बिल्कुल -- एकेबारे, संपूर्ण
एकनिष्ठ (वि.) अनन्य भक्त -- एकनिष्ठ, अनन्य, भक्त
एकनिष्ठ (वि.) एकाग्रचित्त -- एकाग्रचित्त
एकमत (वि.) एक ही तरह की राय रखने वाला -- एकमत
एकमत (पुं.) मत की एकता, मतैक्य -- मतैक्य, मतर मिल
एकमात्र (वि.) अकेला, एक ही -- एकमात्र, केवल
एकांत (वि.) निर्जन, सूना -- निर्जन, एकांत
एकांत (पुं.) निर्जन स्थान -- निर्जनठाँइ, एकांत ठाँइ
एकाकी (वि.) अकेला -- एकाकी, अकले
एकाग्र (वि.) तन्मय, दत्तचित्त -- एकाग्र, तन्मय
एकाधिकार (पुं.) संपूर्ण स्वामित्व -- एकाधिकार, एकछत्री अधिकार
ऐंठन (स्त्री.) मरोड़ -- मोचर-पाक
ऐंठना (अ.क्रि.) बल पड़ने के कारण मुड़ना या संकुचित होना -- मोटोका खा, भाज लाग, संकोचित ह
ऐंठना (अ.क्रि.) अकड़ दिखाना -- अहंकार कर
ऐंठना (स.क्रि.) मरोड़ना -- गोचर पका
ऐंठना (स.क्रि.) धोखा देकर लेना -- ठगा
ऐनक (स्त्री.) चश्मा -- चश्मा
ऐश्वर्य (पुं.) धन-संपत्ति, वैभव -- धन संपत्ति
ऐश्वर्य (पुं.) प्रभुत्व, शक्ति -- प्रभुत्व, शक्ति
ओजस्वी (वि.) प्रभावशाली, तेजस्वी -- ओजस्वी, प्रभाबशाली
ओजस्वी (वि.) शक्तिशाली -- शक्तिशाली
ओझल (वि.,) अदृश्य, छिपा हुआ -- अदृश्य,
ओझल (पुं.) NA -- लोत्खिबा
ओझा (NA) भूत प्रेत आदि झाड़ने वाला व्यक्ति -- ओजा, बेज, शिक्षक
औझा (NA) ब्राह्मणों की एक उप जाति -- ब्राह्मणर एटा जाति, अध्यापक
ओटना (स.क्रि.) कपास के बिनौले अलग करना -- कपाह नेओट, कपाहर परा गुटि एरुबा
ओढ़ना (स.क्रि.) किसी कपड़े आदि से बदन ढकना -- ओर, पिंध चादर
ओढ़ना (स.क्रि.) जिम्मा लेना -- दायित्व ल
ओढ़ना (पुं.) तन ढकने के लिए ऊपर से डाला जाने वाला वस्त्र -- चादर
ओर (स्त्री) दिशा, तरफ -- फाल, दिश, दिह, पिन
ओर (स्त्री) पक्ष -- पक्ष, पिने
ओला (पुं.) वर्षा में गिरने वाले बर्फ के छोटे छोटे टुकड़े -- बरषुणर शिल
ओस (स्त्री) वातावरण में फैली हुई भाप, जो जलकण रूप में पृथ्वी पर गिरती है -- नियर
ओहदा (पुं.) किसी कर्मचारी या कार्यकर्ता का पद -- पद, पदबी
औचित्य (पुं.) उचित होने की अवस्था या भाव, उपयुक्तता -- औचित्य, युक्ति
औज़ार (पुं.) हथियार, उपकरण -- सा-सरंजाम, उपकरण
औटाना (स.क्रि.) किसी तरल पदार्थ को उबालकर या खौला कर गाढ़ा करना -- उतलाइ घर कर
औद्योगिक (वि.) उद्योग-संबंधी -- औद्योगिक
औद्योगिक (वि.) वस्तुएँ तैयार करने के काम से संबंध रखने वाला -- औद्योग्करण
औद्योगी-करण (पुं.) नए-नए कल-कारखाने स्थापित करना -- औद्योगिकरण
औपचारिक (वि.) उपकार-संबंधी -- औपचारिक, चिकित्सा बिषयक
औपचारिक (वि.) दिखावटी -- वथाचार, बिधिगत, शिष्टाचार
औपचारिकता (स्त्री) औपचारिक होने की अवस्था, गुण या भाव -- यथाचारिता, आनुष्ठानिकता
औपचारिकता (स्त्री) दुनियादारी -- सांसारिकता
और (योजक (अव्य)) दो शब्दों या वाक्यों को जोड़ने वाला शब्द -- आरु, तथा, एबं
और (वि.) दूसरा -- अन्य, बेलेग
और (क्रि.वि.) अधिक -- आरु, अधिक बेचि
औरत (स्त्री) स्त्री, महिला -- महिला, तिरोता, नारी
औरत (स्त्री) पत्नी -- पत्नी, परियाल, स्त्री
औषधालय (पुं.) दवाखाना, चिकित्सालय -- औषधालय
औषधालय (पुं.) रोग नाशक जड़ी बूटी -- बनौषधि, बन दरब
औसत (पुं./वि.) मध्य, बीच का -- गड्, परिणाम, मध्यम
औसत (पुं./वि.) साधारण सामान्य -- साधारण
कंगाल (वि) अति निर्धन -- अति-निर्धन, कंगाल, दाल दरिद्र दुखिया
कंघा (पुं.) बाल झाड़ने या सँवारने का एक उपकरण -- फणि, काकै
कंजूस (वि.) धन संग्रह के लालच में आवश्यक वस्तुओं पर भी खर्च न करने वाला (व्यक्ति) कृपण -- कृपण
कंठ (पुं.) गला -- गला, कष्ठ
कंठ (पुं.) गले से निकला हुआ स्वर -- कण्ठ स्वर
कंधा (पुं.) मनुष्य के शरीर की बाँह का वह ऊपरी भाग या जोड़, जो गले के नीचे धड़ से जुड़ा रहता है -- कांध
कँपकँपी (स्त्री.) भय, शीत आदि के कारण शरीर में होने वाला कंपन -- कँपनि, थर्थरणि
कंबल (पुं.) मोटी ऊनी चादर, जो ओढ़ने के काम आती है -- कंबल
कई (वि.) एकाधिक -- एकाधिक, अनेक
कई (वि.) कुछ -- किछु, अलप
कक्ष (पुं.) किसी इमारत का भीतरी भाग, कमरा या खंड -- कोठा, खोंटाली
कक्षा (स्त्री) दर्जा, श्रेणी -- मान, श्रेणी
कचहरी (स्त्री.) न्यायालय, अदालत -- काछारी, न्यायालय, बिचारालय
कचोटना (अ.क्रि.) पीड़ा या वेदना होना -- अंतरन, दुख पा
कच्चा (वि.) खाद्य पदार्थ जो पका न हो, अधपका -- नि, सिजा, काँचियलि कोमल आपँइता, काँचियलि, अपुरठ, केचा
कटघरा (कठघरा) (पुं.) काठ का जंगलेदार घेरा -- काठगरा, काठर-गंराल
कटघरा (कठघरा) (पुं.) कचहरी में वह स्थान, जिसमें अभियुक्त खड़े होते हैं -- काठगरा, काठर-गंराल
कटार (स्त्री.) छोटी, छुरी -- कटारी
कटु (वि.) जिसके स्वाद में कड़वापन हो -- कटु, तिक्क
कट्टर (वि.) पक्का, दृढ़, निश्चयी, सिद्धांतवादी -- दृढ़मना, दृढ़ निस्चयी
कठपुतली (स्त्री.) काठ (लकड़ी) की बनी हुई पुतली, जिसे धागे या तार की सहायता से नचाया जाता है -- काठर पुतला
कठिन (वि.) जो आसानी से न हो सके, मुश्किल -- कठिन, टान, सहज न होवा
कठोर (वि.) कड़ा, सख्त -- कठोर, टान
कठोर (वि.) निर्दयी, निष्ठुर -- निर्दय, निष्ठुर, निर्मम
कड़कना (अ.क्रि) कड़कड़ का शब्द होना -- डाङर शब्द कर
कड़कना (अ.क्रि) रोषपूर्ण तेज आवाज में बोलना -- गाजनि मार
कड़वा (वि.) स्वाद में कसैला या कटु -- कटु, तिता
कडवा (वि.) कटु प्रकृति का -- कठुबा प्रकृतिर
कडवा (वि.) अप्रिय -- अप्रिय
कड़ा (पुं.) धातु का मोटा छल्ला -- कठोर, टान
कढ़ाई (स्त्री.) बेलबूटे निकालने का या बनाने का काम -- बेजिरे फल तोला काम, फुल बँचा
कतरन (स्त्री.) कपड़े कागज आदि के छोटे छोटे रद्दी टुकड़े -- कापोर, कागज आदिर सरु भाग, सरुडोखर
कतरना (स्त्री.) कपड़े कागज आदि को केंची से काटना -- काटन, कटा
कतरनी (स्त्री.) कैंची -- कोंची
कतराना (अ.क्रि.) बचना -- आँतरि फालरि फालरि काट
कतार (स्त्री.) पंक्ति -- शारी, लानि
कत्था (पुं.) खैर की लकड़ी का सत जो पान में खाया जाता है। -- खयेर, खैर, खैरा
कथनी (स्त्री.) कही हुई बात, उक्ति -- कथा, उक्ति
कथा (स्त्री) किस्सा, कहानी -- काहिनी, कथा
कथा (स्त्री) पौराणिक आख्यान -- साधुकथा, पौराणिक आख्यान
कथानक (पुं.) किसी साहित्यिक रचना की कथा-वस्तु -- कथाबस्तु, बिषयबस्तु
कद (पुं.) (व्यक्ति की) ऊँचाई -- उच्चता, शरीरर ओख
कनक (पुं.) सोना, स्वर्ण -- सोण, स्वर्ण
कनक (पुं.) धतूरा -- कनक, धातूरा
कन्यादान (पुं.) वैदिक मंत्रोच्चार के साथ कन्या को वर को सौंपना -- कन्यादान जी, जीयरी कइना आनुष्ठानिक भावे संप्रदान
कपट (पुं.) छलपूर्ण आचरण, दुराव -- कपट, शठता, प्रताड़ना
कपट (पुं.) धोखा -- धोका
कपड़ा (पुं.) वस्त्र, वसन -- कापोर, बसन, बस्त्र
कपड़ा (पुं.) पहनावा, पोशाक -- पोछाक, साजपार
कपाट (पुं.) किवाड़, दरवाजे का पल्ला -- कपाट, दुवार
कपाट (पुं.) दरवाजा, द्वार -- दुवार
कपास (स्त्री.) एक पौधा जिसके ढ़ौढ़ (फल) में से रुई निकाली जाती है -- कपाह नेओट, कपाहर परा गुटि एरुबा
कपूत (पुं.) बुरे आचरण वाला पुत्र, व्यसनी पुत्र -- कुपुत्र बेया पो बेया मता सँतान
कपूर (पुं.) सफेद रंग का एक सुगंधित घन पदार्थ, जो हवा में रखने से भाप बन कर उड़ जाता है -- कर्पूर, काफुर
कपोल (पुं.) गाल -- गाल, कपोल
कफन (पुं.) शव को लपेटने का कपड़ा -- शव ढका कापोर, शवच्छादन
कब (क्रि.वि.) किस समय -- केतिया, कोन समयत
कबाड़ी (पुं.) टूटी-फूटी या पुरानी चीजें खरीदेने और बेचने वाला -- फूटा-फटा वस्तु बेचोंता
कबूलना (स.क्रि.) स्वीकार करना -- स्वीकार कर, मानि लोवा
कब्जा (पुं.) अधिकार -- दखल, अधिकार
कब्रिस्तान (पुं.) शव दफनाने का स्थान -- कबरखाना, मरिशलि
कभी (क्रि.वि.) किसी समय, किसी अवसर पर -- कोनोएक समयत
कमंडल (पुं.) संन्यासियों का जलपात्र -- कमण्डलु
कम (वि.) परिमाण, मात्रा, संख्या में थोड़ा -- कम, ताकर
कमजोर (वि.) दुर्बल, असमर्थ -- दुर्बल, आशक्त, असमर्थ
कमर (स्त्री.) शरीर का मध्य भाग, कटि -- कँकाल
कमरबंद (पुं.) कमर का एक आभूषण -- कँकालर तङालि
कमरा (पुं.) कक्ष, कोठरी -- कोठा
कमल (पुं.) तालाबों में उगने वाला एक प्रसिद्ध फूल -- कमल, पद्म
कमान (स्त्री.) धनुष, शरासन -- धनु
कमाना (स.क्रि.) उपार्जन करना -- उपार्जन कर, आर्ज, अर्जन कर
कमी (स्त्री.) कम होने की स्थिति या भाव -- घाटि
कमी (स्त्री.) त्रुटि -- त्रुटि, दोष
कमी (स्त्री.) अभाव -- अभाव
कर (पुं.) हाथ -- हात,कर
कर (पुं.) सरकार द्वारा जनता से उगाहा हुआ धन -- टैक्स
करघा (पुं.) कपड़ा बुनने का यंत्र -- ताँत
करना (स.क्रि.) कार्य का संपादन -- कोनो काम कर, कार्य संपदन
करनी (स्त्री.) कार्य, कर्म, आचरण -- कार्य, कर्म, काम
करनी (स्त्री.) राज-मिस्त्री का एक औजार -- करणी
करवट (स्त्री.) पार्श्व के बल बैठने-लेटने की स्थिति -- काति बा बागर
करारा (वि.) कुरकुरा -- मुरमुरीया, चनका
करारा (वि.) तेज, उत्कट, उग्र -- उत्कट, उग्र, टान, चोका-धारथका
कराहना (अ.क्रि.) पीड़ा या वेदना का व्यथा-सूचक शब्द -- कँका
करुण (वि.) दुखद -- करुण, दुखदायक, शोकानह, कातर
करुण (वि.) साहित्य में एक रस -- करुण रस
करोड़पति (वि.) करोड़ों की संपत्ति वाला -- कोटिपति
कर्ज (पुं.) ऋण -- ऋण, धार
कर्तव्य (पुं.) धर्म -- कर्त्तव्य, करणीय, कररिब लगीया
कर्तव्य (पुं.) विधिसम्मत कार्य -- बाध्य-बाधकता
कर्त्ता (पुं.) रचयिता, निर्माता -- कर्ता, कराता
कर्त्ता (पुं.) व्याकरण में पहला कारक -- कर्ता, कारक
कर्त्ता (पुं.) गृहस्वामी -- घरर गराकी
कर्त्ता-धर्त्ता (पुं.) वह व्यक्ति, जिसको किसी कार्य या विषय के सभी अधिकार प्राप्त हों -- करोंता, कर्ता
कर्म (पुं.) काम, कार्य -- कर्म, काम
कर्म (पुं.) पूर्व जन्म के कार्य -- पूर्वजन्मर कर्म
कर्म (पुं.) धार्मिक कार्य -- धर्मीय कर्म
कर्म (पुं.) हिंदी व्याकरण में दूसरा कारक -- (व्याकरण)कर्म्म-कारक, द्वीतीया-विभक्ति
कर्मठ (वि.) मेहनती, अध्यवसायी -- परिश्रमी, कर्मठ
कलंक (पुं.) दाग, धब्बा -- कलङ्क, दाग, चेका
कलंक (पुं.) लांछन, निंदा -- निंदा, लांछन
कल (क्रि.वि.) आज के ठीक पहले का दिन -- कालि, योवाकालि
कल (क्रि.वि.) आज के ठीक बाद आने वाला दिन -- काइलै
कल (क्रि.वि.) चैन, आराम -- आराम, शांति
कल (स्त्री.) मशीन, यंत्र, पुर्जा -- कल, यंत्र, मेचिन
कलई (स्त्री.) सफेद रंग का प्रसिद्ध खनिज पदार्थ, राँगा -- बगिताम
कलई (स्त्री.) सफेदी -- कलाइ
कलफ (पुं.) नए धुले कपड़ों पर की जाने वाली चावल, अरारोट की माँड -- मंड़लगा सजकरा
कलम (स्त्री.) लेखनी -- कलम, लेखनी
कलम (स्त्री.) पेड़-पौधों की टहनियों से बनाया गया नया पौधा -- (गछर) कलमी
कलरव (पुं.) पक्षियों की चहचहाट -- कलरव, कलकलनि
कलश (पुं.) घड़ा, कलसा -- कलह
कलश (पुं.) मंदिरों आदि के शिखर पर लगा घड़ेनुमा कंगूरा -- कलची
कलह (पुं.) झगड़ा, विवाद -- कलह, दंद, काजिया, बिबाद
कला (स्त्री.) हुनर, आर्ट -- कला, सुकुमार शिल्प
कला (स्त्री.) चंद्र या सूर्य का अंश -- चंद्र-सूर्यर कला अंश
कलाकार (पुं.) कला-साधक -- कलाकार, शिल्पी, कला-कुशली
कलाबाजी (स्त्री.) सिर नीचा करके उलट जाने की क्रिया या खेल -- लुटिखोट, कलानिपुन
कलियुग (पुं.) पुराणानुसार चार युगों में से चौथा युग -- कलिजुग
कली (स्त्री.) बिना खिला फूल -- फुलर कलि, कुमुलिया-गुटि
कलुष (पुं.) मलिनता, गंदगी -- पाप, दुष्कर्म अधर्म
कलेजा (पुं.) यकृत, जिगर -- बुकु, यकृत, स्तन
कलेजा (पुं.) जीवट, साहस -- साहस
कल्पना (स्त्री.) अन्तःकरण मे अवास्तविक वस्तुओं के स्वरूप को उपस्थित करना -- कल्पना, धारणामूलक
कल्प-वृक्ष् (पुं.) मानव-इच्छाओं को पूर्ण करने वाला देव-लोक का एक वृक्ष -- कल्पतरु, कल्पवृक्ख
कल्याण (पुं.) हित, भलाई -- कल्याण, मंगल, हित
कवि (पुं.) कविता या काव्य का रचयिता -- कवि
कविता (स्त्री.) लय प्रधान तथा शब्द-बद्ध साहित्यिक रचना -- कविता, काव्य
कष्ट (पुं.) पीड़ा -- कष्ट, पीड़ा, क्लेश, यातना
कष्ट (पुं.) मुसीबत -- जंजाल, बिपद
कष्ट (पुं.) मेहनत, श्रम -- श्रम, गार खाटनि, परिश्रम
कसना (स.क्रि.) बंधन कड़ा करना -- आँट, कच, टानि, बांध
कसना (स.क्रि.) कसौटी पर सोने की जाँच करना, परखना -- कषटि-शिलत घँह
कसबा (कस्बा) (पुं.) छोटा शहर -- सरु नगर
कसम (स्त्री.) शपथ -- शपथ, शपत, अंगीकार
कमर (स्त्री.) कमी, न्यूनता -- कम, घाटि, न्यूनता
कसरत (स्त्री.) व्यायाम -- कसरत, ब्यायाम
कसाई (पुं.) पशुओं आदि की हत्या करने वाला, बूचड़, वधिक -- कचाइ
कसूर (कुसूर) (पुं.) दोष, अपराध -- त्रुटि, भूल, दोष, अपराध
कसैला (वि.) आँवले, फिटकरी आदि के स्वाद वाला -- केहेटा, कषाय
कसौटी (स्त्री.) सोना परखने का काला पत्थर -- कषटि-शिला
कसौटी (स्त्री.) मूल्यांकन के मानक आधार -- सूत्र, मान-निर्धारण
कस्तूरी (स्त्री.) एक विशेष नर मृग की नाभि के पास की गाँठ में पाया जाने वाला सुगंधित पदार्थ -- कस्तूरी, गांधकलाइ, मृगनाभि
कहकहा (पुं.) जोर की हँसी, ठहाका -- धेकधेकनि, डाङर हाँहि, अट्टहास्य
कहना (स.क्रि.) बोलना, बताना -- क, कथां क
कहना (पुं.) कथन, बात -- कथा, मात, उक्ति
कहाँ (क्रि.) किस स्थान पर -- कत (कोत), कोन ठाँइत, कोन-समयत
कहानी (स्त्री.) कथा, किस्सा -- काहिनी, कथा
कहानी (स्त्री.) मनगढ़ंत बात -- सजा कथा, मने गढ़ा कथा
कहावत (स्त्री.) लोक प्रचलित कथन या वाक्य -- प्रबचन, फकरा, दृष्टांत
कांखना (अ.क्रि.) मल-त्याग के समय आँतों या पेट की वायु को दबाना -- एँह कर
कांखना (अ.क्रि.) परिश्रम का काम करते समय ऊँह-आह की ध्वनि करना -- हैचादि, जर दिया
काँच (पुं.) शीशा -- काँच, चिचा
काँटा (पुं.) पेड़-पौधों की डालियों पर निकले नुकीले और कड़े अंकुर कंटक -- काँइट
काँटा (पुं.) तराजू -- तर्जु, पाल्ला
काँटा (पुं.) एक उपकरण, जिससे चीजें उठाकर खाई जाती हैं -- काँटा-चामच, काँटा
कांति (स्त्री.) चमक, आभा -- शोभा, सौंदर्य
कांति (स्त्री.) शोभा, सौंदर्य -- शोभा, सौंदर्य
काँपना (अ.क्रि.) क्रोध, भय, शीत आदि से शरीर का रह-रह कर हिलना -- कँप, कँपा, कँपनि
कागज (पुं.) सन, बाँस, चीथड़े आदि की लुगदी से बना पत्र -- कागज, काकत, तुलापात
काट-छाँट (स्त्री.) फालतू अंश काट कर अलग करने की क्रिया या भाव -- काट-कुट
काटना (स.क्रि.) औजार या शस्त्र से किसी वस्तु के टुकड़े करना -- काट, छोआकर
काटना (स.क्रि.) डंक या दाँत गड़ा कर घाव करना -- दाँतेर-कामोर
काटना (स.क्रि.) खंडन करना, गलत ठहराना -- खण्डन-कर, अमान्य कर
काठ (पुं.) लकड़ी, काष्ठ -- काठ
काठ (पुं.) ईंधन -- खरि
काढ़ना (स.क्रि.) उकेरना, नक्कासी करना -- नीरस कठुआ
काढ़ना (स.क्रि.) किसी वस्तु के भीतर से कोई चीज बाहर निकालना -- नीरस कठुआ
कातना (स.क्रि.) रूई, ऊन, रेशम आदि बट कर धागा बनाना -- पका, पाक दि कटा (सुता)
काना (वि.) जिसकी एक आँख खराब या विकृत हो -- कणा एटा-चकुरे नेदेखा
काना (वि.) कीड़ा लगा फल, सब्जी -- पोके, खोबा, पोके बिंधा
कानून (पुं.) राज्य नियम, विधि -- आइन, कानून
कानून (पुं.) सर्वमान्य नियम या रूढ़ियाँ -- नियम, नीति, रीति, आइन
काफी (वि.) पर्याप्त, यथेष्ट -- पर्याप्त, यथेष्ट
काम (पुं.) कार्य, कृत्य -- काम, कृत्य
काम (पुं.) धंधा, व्यापार, नौकरी -- बृत्ति, चाकरि
काम (पुं.) इच्छा, अभिलाषा, कामना -- कामना, इच्छा, अभिलाष
कामधेनु (स्त्री) कामनाएँ पूरी करने वाली पुराण-प्रसिद्ध गाय -- कामधेनु, सुरभि
कामना (स्त्री.) अभीष्ट, हार्दिक इच्छा -- कामना, अभिलास, इच्छा
कामयाब (वि.) सफल -- सफल, फलवती
कायम (वि.) स्थिर, पक्का, दृढ़ -- स्थिर, पका, दृढ़
कायर (वि.) डरपोक -- भीरू, कापुरुष, निरुत्साह
कायाकल्प (पुं.) काया शुद्धि की क्रिया -- कायाकल्प
कारखाना (पुं.) व्यापारिक दृष्टि से बड़ी मात्रा में वस्तु निर्माण की शाला -- कारखाना
कारण (पुं.) हेतु, उद्देश्य, प्रयोजन, वजह -- हेतु, उद्देश्य, कारण
कारण (पुं.) प्रेरक घटना या परिस्थिति -- प्रेरक घटना बा परिस्थिति, कारण
कारतूस (पुं.) बंदूक, रिवाल्वर आदि में रखकर चलाईं जाने वाली धातु, दफ्ती आदि की बनी हुई खोली जिसमें धातु की गोली और बारूद भरा होता है -- बंदुकर गुली
कारस्तानी करिस्तानी (स्त्री) हानि पहुँचाने के उद्देश्य से किया गया कोई काम, चालबाजी -- चालाकि, चलना
कारस्तानी करिस्तानी (स्त्री) करतूत -- बेया-काम, अनुचित काम
कारावास (पुं) बंदीगृह में रहने का दंड -- काराबास, कारादण्ड, बंदीशाल
कारीगर (पुं.) रचना या मरम्मत करने वाला -- कारिकर, कारु, शिल्पी
कार्य (पुं.) काम -- कार्य, काम
कार्यकर्ता (पुं.) काम करने वाला व्यक्ति, कर्मचारी -- कार्यकर्ता, कर्ता, कर्मचारी
कार्य-कारिणी (स्त्री.) संस्था आदि का कार्य चलाने वाली समिति -- कार्यनिर्बाह कमिटी, कार्यपालिका
कार्यक्रम (पुं.) कार्य संपादन विवरणिका -- कार्यक्रम, कार्यसूची
कार्यक्रम (पुं.) उक्त सूची के अनुसार होने वाला कार्य -- कार्यसूचीर विषय
कार्य-पालिका (स्त्री.) नियमों का पालन सुनिश्चित करने वाला शासकीय विभाग -- कार्यपालिका
कार्यवाही (स्त्री) कृत कार्य का विस्तार से उल्लेख -- ब्यवस्था, क्रिया, कारवाही
कार्यालय (पुं) दफ्तर -- कार्यालय, दफतर
काल (पुं.) समय -- समय, काल
काल (पुं.) मौत, मृत्यु -- मृत्यु, मरण
काल (पुं.) क्रियाओं से सूचित वह तत्व, जिससे किसी घटना या बात के घटित होने का समय ज्ञात होता है -- क्रियार काल, धातुर रूप
काला (वि.) जो काजल के रंग का हो, कृष्ण, श्याम -- कला, कला बरणर
काला (वि.) जिसमें प्रकाश न हो, अंधकारपूर्ण -- एंधार, अंधकार
काला (वि.) अनुचित, कलंकित, लांछित -- दागी कलंकित, दुर्नामी
काला बाजार (पुं.) कानून-विरोधी व्यापार -- काला-बाजार, ब्लैक मार्केट
कालीन (पुं.) मोटा बिछावन, गलीचा -- दलिछा, कार्पेट
कालीन (वि.) काल विशेष से संबंधित -- कालीन
काल्पनिक (वि.) मनगढ़ंत, कल्पित -- कल्पना-प्रसूत, मने गंढ़ा, काल्पनिक
काव्य (पुं.) साहित्यिक रचना -- काव्य, पद-साहित्य
काश्तकार (पुं.) किसान, खेतिहर -- कृषक, खेतियक
किताब (स्त्री.) पुस्तक -- किताप, ग्रंथ
किनारा (पुं.) अंतिम छोर, सिरा -- काष, तट, किनार, दाँती
किनारा (पुं.) नदी या समुद्र का छोर, तट -- कूल, पार
किफायत (स्त्री.) अनावश्यक व्यय में कटौती -- मिताचार, मितब्यय
किरकिरा (वि.) महीन, कंकड़, बालू आदि से युक्त वस्तु -- खेचखेचीया, खिंखिङिया
किराना (पुं.) पंसारी की दुकान में मिलने वाला सामान -- गेलामाल
किराया (पुं.) भाड़ा -- केरेया, भारा
किराया (पुं.) अचल संपत्ति के उपयोग के बदले में देय धन -- केरेया, भारा
किरायेदार (किराएदार) (पुं.) अचल संपत्ति किराए पर लेने वाला व्यक्ति -- भारतीया
किलकारी (स्त्री.) बच्चे की हर्ष-ध्वनि -- खिखिनि, लोत-छोवालीर हर्षोल्लास
किला (पुं.) दुर्ग, गढ़ -- किल्ला, दुर्ग, कोंठ
किवाड़ (पुं.) दरवाजे का पल्ला, कपाट -- दुवारर, पाल्ला, कपाट
किशोर (वि.) ग्यारह से पंद्रह वर्ष तक की अवस्था का बालक -- किशोर, चेमनीया
किसान (पुं.) कृषक -- कृषक, खेतियक
किस्त (स्त्री.) निश्चित समय पर दिए जाने वाले ऋण का एक भाग -- किस्ति, भाग, अंश
किस्म (स्त्री.) प्रकार -- प्रकार, बिध
किस्सा (पुं.) कहानी -- काहिनी, आख्यान, बृत्तांत
कीचड़ (पुं.) पानी मिली धूल, पंक, कर्दम -- बोका
कीट (पुं.) कीड़ा -- कीट, पोक
कीटाणु (पुं.) बहुत छोटे-छोटे कीड़े -- कीटाणु
कीटाणु (पुं.) सूक्ष्म कीट, विषाणु -- बीजाणु
कीड़ा (पुं.) उड़ने या रेंगने वला छोटा जंतु कीट -- कीट, पोक
कीमत (स्त्री.) दाम, मूल्य -- दाम, मूल्य
कीमत (स्त्री.) महत्व -- महत्व, गुरुत्व, मूल्य
कीमती (वि.) अधिक कीमत या मूल्य का, मूल्यवान -- मूल्यवान्, दामी
कीमती (वि.) महत्वपूर्ण -- गुरुत्वपूर्ण, महत्वपूर्ण
कीर्ति (स्त्री.) यश, ख्याति -- यश, कीर्ति, क्याति
कुंज (पुं.) झाड़ियों, लताओं के समूह -- कुंजबन
कुंजी (स्त्री) चाबी, ताली -- तलार चाबि
कुंजी (स्त्री) कठिन पुस्तक के अर्थ स्पष्ट करने वाली पुस्तक -- सहायक पुथि, हात-पुथि
कुंभ (पुं.) धातु, मिट्टी, आदि का पात्र, घड़ा कलश -- कलह, कुंभ, हातिरकूम
कुंभ (पुं.) ज्योतिष में ग्यारहवीं राशि -- कुंभ राशि
कुंभ (पुं.) प्रति बारहवें वर्ष मनाया जाने वाला एक प्रसिद्ध पर्व -- कुंभमेला
कुकर्म (पुं.) बुरा काम, निंदनीय कर्म -- कुकर्म बेयाकाम
कुचक्र (पुं.) हानि पहुँचाने के लिए बनाई गई योजना, साजिश -- कुचक्र, चक्रांत
कुचलना (स.क्रि.) व्यक्ति या वस्तु को पैर से रौंदना -- पिँह
कुचलना (स.क्रि.) आघात, प्रहार से दबाना -- प्रहार करि, पिहा वा गुरि करा
कुछ (वि.) अल्प, कम, थोड़ा-सा -- अलप, ताकर कम
कुछ (क्रि.वि.) अज्ञात, अनिर्दिष्ट या अनिश्चित परिमाण, मात्रा या रूप -- यि कोनो (परिमाण)
कुछ (सर्व) कोई अज्ञात अनिर्दिष्ट या अनिश्चित वस्तु या बात -- किबा
कुटिया (स्त्री.) घास-फूस की बनी झोंपड़ी, कुटी -- कुटिर, जुपुटीघर
कुटिल (वि.) टेढ़ा -- टेरा, बेकाँ, कुटिल, कुचक्री
कुटिल (वि.) मन में छल, कपट, द्वेष आदि रखने वाला कपटी, दुष्ट -- कुटिल, कपटीया, कुचक्री
कुटीर-उद्योग (पुं.) घरेलू स्तर पर वस्तुओं का उत्पादन -- कुटीर-शिल्प
कुटुंब (पुं.) परिवार -- कुटुम, संपर्कीय, जाँति मितिर
कुढ़ना (अ.क्रि.) मन ही मन दुखी और विकल होना -- संतप्त होवा, विकळ होवा
कुतरना (स.क्रि.) दाँत से छोटे-छोटे टुकड़े करना -- कुटा (दाँतेरे)
कुतूहल (पुं.) जिज्ञासा -- कौतुहल कुतूहल, औत्सुक्य, जानिबरतेपाह
कुतूहल (पुं.) आश्चर्य -- आश्चर्य, बिस्मय, आचरित
कुप्पी (स्त्री) तेल, चिकनाई आदि डालने के लिए छोटा पात्र -- तेलर कुपी
कुबड़ा (पुं.वि) पीठ की हड्डी के मुड़ जाने से ग्रस्त व्यक्ति -- कुँजा
कुमकुम (पुं.) रोली -- सिंदुर
कुमुदिनी (स्त्री.) कमल की तरह का सफेद फूलों वाला पौधा -- भेटफुल
कुम्हलाना (अ.क्रि.) मुरझाना -- मरह, लेरेला
कुम्हलाना (अ.क्रि.) चेहरे का रंग फीका पड़ना -- शँता परा
कुल (पुं.) खानदान, घराना, वंश -- कुल, बंश
कुल (वि.) पूरा सारा -- सकलो, पूर्ण, संपूर्ण
कुल देवता (पुं.) जिसकी पूजा किसी कुल में परंपरा से होती आई हो -- कुलदेवता, वंशर-इष्टदेवता
कुलीन (वि.) उच्च कुल में उत्पन्न -- कुलीन, सद्बंशज
कुल्हड़ (पुं.) मिट्टी का बना हुआ छोटा पात्र -- माटिर-पात्र, भाँड़
कुशल (वि.) चतुर, होशियार -- कुशल, पार्गत
कुशल (पुं.) खैरियत, राजी-खुशी -- कुशल-मंगल
कुश्ती (स्त्री.) एक प्रसिद्ध भारतीय खेल -- कुस्तु, मालयुँज, मल्ल
कुष्ठ (पुं.) एक संक्रामिक रोग, जिसमें शरीर की त्वचा, नसें आदि सड़ने-गलने लगती हैं, कोढ़ -- कुष्ठरोग
कुसुम (पुं.) पुष्प, फूल -- कुसुम, फुल
कूँची (कूची) (स्त्री.) तूलिका -- तुलिका
कूँची (कूची) (स्त्री.) मूँज आदि का बनाया हुआ एक प्रकार का ब्रुश -- बेरत चूण दिया ब्रुरुज, ब्राछ
कूआँ (कुआँ, कुवाँ) (पुं.) पानी निकालने के लिए जमीन में खोदा हुआ गहरा तथा गोल गड्ढा -- नाद, कुँवा
कूटना (स.क्रि.) किसी चीज को महीन करने के लिए लगातार पीटना -- कोटा, खुंदा
कूटना (स.क्रि.) भूसी अलग करने की प्रक्रिया -- NA
कूटनीति (स्त्री.) व्यक्तियों या राष्ट्रों के पारस्परिक व्यवहार में दाँव-पेच की नीति -- कूटनीति
कूटना (अ.क्रि.) छलांग लगाना -- जपिया
कृतघ्न (वि.) उपकार न मानने वाला -- कृतघ्न, अकृतज्ञ
कृतज्ञ (वि.) उपकार को मानने वाला -- अशलागी, कृतज्ञ, शलागलोवा
कृतार्थ (वि.) जिसका उद्देश्य सिद्ध हो गया हो -- कृतार्थ, कृतकार्य, सफल
कृतार्थ (वि.) लक्ष्य प्राप्त -- संतुष्ट, चरितार्थ
कृत्रिम (वि.) जो प्राकृतिक न हो, मानव निर्मित -- कृत्रिम, जाल, नकल
कृत्रिम (वि.) बनावटी, दिखावटी -- सज्जित, देखानियार
कृपा (स्त्री.) अनुग्रह, दया -- कृपा, अनुग्रह, दया
कृषि (स्त्री.) खेती-बारी -- कृषि, खेति
केंद्र (पुं.) मध्य बिंदु -- केन्द्र, मूल, प्रधान
केंद्र (पुं.) मध्य भाग -- मध्यभाग, माज, वृत्तर केंद्र-बिंदु
केंद्र (पुं.) दूर-दूर तक फैले हुए कार्यों की व्यवस्था तथा संचालन हेतु मुख्य स्थान -- मूळ बा मुख्यस्थान, केंद्र बिंदु
केवल (वि.) जिसका या जितने का उल्लेख किया जाए वही या उतना ही -- केवळ, एकमात्र
केवल (क्रि.वि.) मात्र, सिर्फ -- मात्र, माथोन मुठेइ
केश (पुं.) सिर के बाल -- केश, चुलि, मरर चुलि
केश (पुं.)
कै (स्त्री.) उलटी वमन -- बमि, बाँति
कैद (स्त्री.) अपराधियों को दंड देने के लिए बंदी बनाना -- काराबास, बंदीशालात थका
कोंपल (स्त्री.) पेड़-पौधों आदि में निकलने वाली नई मुलायम पत्तियाँ, कल्ला -- कुँहिपात
कोई (सर्व) अज्ञात, अनिर्दिष्ट वस्तु या व्यक्ति, संपूर्ण मे से एक -- कोनो, यिकोनो, कोनोबा, किबा
कोई (वि.) न जाने कौन एक, बहुतों मे से चाहे जो एक -- यिकोनो, कोनो एक
कोई (अव्य.) लगभग -- प्राये, प्रायेइ
कोठरी (स्त्री.) छोटा कमरा -- कुठरी, कोठा, खोंटाली
कोठी (स्त्री.) बहुत बड़ा, ऊँचा और पक्का मकान -- डाङर पकीघर, दालान
कोतवाल (पुं.) पुलिस का वह प्रधान कर्मचारी, जिसके अधीन कई थाने और बहुत-से सिपाही होते हैं -- दारोगा, कोतोयाल
कोतवाली (स्त्री.) कोतवाल का मुख्यालय -- पुलिच थाना, आरक्षी-चकी
कोमल (वि.) नरम, मुलायम -- कोमल, नरम, सुकुमार,मृदु
कोरा (वि.) बिल्कुल ताजा और नया, न बरता हुआ -- नतुन, पूर्व-नवीन
कोलाहल (पुं.) चीखने-चिल्लाने से होने वाला शोर -- कोलाहल, कोहलि
कोल्हू (पुं.) बीजों और गन्ने को पेरने का यंत्र -- शाल, घानी
कोश (कोष) (पुं.) किसी विशेष क्रम से शब्द और उनके अर्थ वाला ग्रंथ, कोश -- अभिधान, कोष
कोश (कोष) (पुं.) संचित द्रव्य -- पूँजि, एकत्रित-धन, धनर भँराल
कोशकार (पुं.) शब्दों का संग्रह तथा उनका संपादन करने वाला -- कोषागर, अभिधान-लिखक
कोशिश (स्त्री.) प्रयत्न, चेष्टा -- यत्न, चेष्टा
कोषाध्यक्ष (पुं.) जिसके पास कोष रहता है, खजांची -- कोषाध्यक्ष, धनर भँराल-धनरक्षक
कोष्ठक (पुं.) (), [], {}, चिन्हों में से कोई एक -- बंधनी
कोसना (स.क्रि.) सताए जाने पर किसी की अशुभ कामना करना -- अभिशाप अमंगल कामनाकर
कोंधना (अ.क्रि.) कुछ क्षणों के लिए (बिजली का) चमकना -- जिलिका, चिकमिका
कौतुक (पं.) आश्चर्य या उत्सुकताजनक विलक्षण बात -- कौतुक, रं-धेमली आमोद
कौतुक (पं.) मनोविनोद, दिल्लगी -- आनंद, फुर्ति, आमोद-प्रमोद, परिहास
कौन (सर्व) जानकारी हेतु वाचक सर्वनाम -- कोन, कोनटो, केओ-जना
कौन (सर्व) कोई व्यक्ति -- कोनोबा, कोनोबा मानुह
क्या (सर्व) प्रश्नवाचक सर्वनाम -- कि
क्या (सर्व) आश्चर्यजनक एवं उपेक्षासूचक प्रसंगों में प्रयुक्त अभिव्यक्ति -- हाँ! आश्चर्य प्रकाशक उक्ति बिशेष
क्यों (क्रि.वि.) कारण जानने के लिए प्रयुक्त प्रश्नवाचक शब्द -- किय केलेइ
क्योंकि (अव्य.) कारण यह है कि, इसलिए कि -- कारम, कियनो
क्रम (पुं.) तरतीब, सिलसिला -- क्रम, क्रमशः
क्रम (पुं.) उचित रूप से काम करने का ढंग -- क्रम, शैली
क्रमशः (क्रि.वि.) नियत क्रम के अनुसार, सिलसिलेवार -- क्रमशः, क्रमगत, क्रमानुसारि
क्रमशः (क्रि.वि.) एक-एक करके, बारी- बारी से -- क्रमे, अनुक्रमे
क्रय (पुं.) मोल लेने की क्रिया या भाव, खरीद -- क्रय, किना
क्रांति (स्त्री.) एक दशा से दूसरी दशा में बड़ा परिवर्तन -- क्रांति, बिप्लव, अयन वृत्त
क्रांतिकारी (पुं.वि.) क्रांति का प्रयत्न करने वाला -- बिप्लवी
क्रिया (स्त्री.) कोई कार्य चलते या होते रहने की अवस्था या भाव, कोई काम करने का ढंग या विधि -- कार्यविधि, प्रक्रिया, धर्म-कार्य
क्रिया (स्त्री.) व्याकरण में वे शब्द, जो किसी कार्य घटना आदि के होने या किए जाने के वाचक होते हैं -- व्याकरणत (क्रियापद)
क्रीड़ा (स्त्री.) खेलकूद -- खेला-धुला, क्रियाकलाप
क्रीड़ा (स्त्री.) आमोद-प्रमोद -- क्रीड़ा, आमोद-प्रमोद
क्रूर (वि.) निर्मम तथा हिंसक कार्य करने वाला, निर्दयी -- क्रूर, निर्दय, निष्ठुर
क्रोध (पुं.) कोप, गुस्सा -- क्रोध, खं, राग
क्लेश (पुं.) कष्टपूर्ण मानसिक स्थिति, मनोव्यथा -- क्लेश मानसिक-दुःख, पीड़ा, मनोव्यथा
क्षण (पुं.) काल का एक बहुत छोटा परिमाण, पल -- क्षण, मूहुर्त्त, अलप-समय
क्षति (स्त्री.) चोट लगने से होने वाला घाव -- खत, घा अनिस्ट
क्षति (स्त्री.) हानि, घाटा -- क्षति, हानि, लोकचान
क्षतिपूर्ति (स्त्री.) हानि या घाटे का पूरा होना -- क्षतिपूरण, क्षतिर परिवत् दियाधन
क्षत्रिय (पुं.) हिंदुओं के चार वणों में से दूसरा वर्ण -- क्षत्रिय, वर्णाश्रमस द्वितीय-वर्ण
क्षत्रिय (पुं.) उक्त वर्ण का व्यक्ति -- क्षत्रिय, लोक
क्षमता (स्त्री.) सामर्थ्य -- क्षमता, सामर्थ्य, बल
क्षमता (स्त्री.) कोई कार्य करने का कौशल -- सामर्थ्य, योग्यता
क्षमता (स्त्री.) ग्रहण या धारण करने की पात्रता -- सामर्थ्य शक्ति
क्षमा (स्त्री.) किसी भी प्रकार का अहित करने वाले व्यक्ति के प्रति मन में कोई विकार न होना -- क्षमा, दोष-मार्जना
क्षमा (स्त्री.) किसी दोषी या अपराधी को बिना किसी प्रतिकार के छोड़ देने का भाव माफ़ी -- क्षमा
क्षय (पुं.) क्रमशः तथा प्राकृतिक रूप से होने वाला ह्रास -- क्षय, ह्रास, ध्वंस, कमियोवा
क्षय (पुं.) नाश -- नाश, ध्वंस
क्षय (पुं.) यक्ष्मा (टी.बी.) नामक रोग -- यक्ष्मा, क्षयरोग, खेहरोग
क्षितिज (पुं.) जहाँ पृथ्वी और आकाश एक-दूसरे से मिलते हुए जान पड़ते हैं -- दिग्बलय, दिगंत
क्षुधा (स्त्री.) भोजन करने की इच्छा, भूख -- क्षुधा, भोक
क्षेत्र (पुं.) जोता-बोया जाने वाला भूमिखंड, खेत -- खेतिर-माटी, खेतिर पथार ठाँई
क्षेत्र (पुं.) प्राकृतिक, भौगोलिक, राजनीतिक आदि दृष्टियों से निर्दिष्ट भू-भाग -- क्षेत्र, भूभाग
क्षेत्रफल (पुं.) किसी क्षेत्र की लंबाई और चौड़ाई को गुणन करने से निकलने वाला वर्गात्मक परिमाण, रकबा -- क्षेत्रफल, परिमाण माटीकाली
खंड (पुं.) टुकड़ा, अंश -- खण्ड, टुकुरा, डोखर
खंड (पुं.) किसी संपूर्ण वस्तु का कोई विशिष्ट भाग या विभाग -- भाग, विभाग, खण्ड
खंडहर (पुं.) इमारत या भवन, खंड-खंड होकर गिरा पड़ा हो, भग्नावशेष -- भग्नावशेष
खंभा (पुं.) गोल या चौकोर रचना जिस पर छत या कोई भारी चीज टिकी रहती है -- स्तंभ, खुँटा
खगोल (पुं.) आकाश, मंडल -- आकाश मण्डल, नभोमण्डल
खटकना (अ.क्रि.) खट-खट की आवाज होना -- ठेका खाइ होवा शब्द, खट् खट् शब्द
खटकना (अ.क्रि.) बुरा मालूम होना -- मनत बाज, मनत जाग
खटाई (स्त्री.) खट्टे होने की अवस्था -- टेङा गुण
खटाई (स्त्री.) कोई खट्टी वस्तु -- टेङा बस्तु
खट्टा (वि.) जिसमें अम्लीयता हो -- टेङा, टेङे-चीया
खड़ाऊँ (स्त्री.) काठ की बनी हुई एक प्रकार की पादुका -- खरम्, काठर पादुका
खतरनाक (वि.) जोखिम-भरा -- भयावह, बिपदजनक
खतरा (पुं.) अनिष्ट, संकट आदि की आशंका -- भय, बिपद
खनिज (वि.) खान से खोद कर निकाला हुआ -- खनिज,खनिजात, भूगर्भस्थ-धातु
खनिज (वि.) खनिज पदार्थ -- खनिज पदार्थ
खपत (स्त्री.) खपने या खपाने की क्रिया अथवा भावः माल की बिक्री -- प्रयोजनीय सामग्रीर खरच बा उपभोग
खरा (वि.) विशुद्ध -- खाँटि, बिशुद्ध
खरा (वि.) ईमानदार, सच्चा और शुद्ध हृदय वाला -- खाँटि, बिशुद्ध, खाटां
खराद (पुं.) लकड़ी अथवा धातु की वस्तुओं को सुडौल तथा चिकना बनाने वाला यंत्र -- कुंद, रेंदा
खरीद (स्त्री.) मोल लेने की क्रिया या भाव, क्रय -- किना, क्रय किना-कार्य
खरीद (स्त्री.) वह जो खरीदा जाए -- किना बस्तु
खरीदना (स.क्रि.) मोल लेना, क्रय करना -- किन, किन
खरोंच (स्त्री.) नख अथवा अन्य किसी नुकीली वस्तु से छिलने के कारण पड़ा हुआ दाग या चिह्न, खराश -- आँचोर
खर्च (खरच) (पुं) धन, वस्तु, शक्ति आदि का होने वाला उपभोग, व्यय -- खरच, ब्यय
खर्च (खरच) (पुं) वह धन-राशि, जो किसी वस्तु को खरीदने या बनाने के लिए व्यय की जाती है -- खरच करा धन
खलना (क्रि.) अनुचित, अप्रिय या कष्टदायक प्रतीत होना, अखरना, खटकना -- अप्रिय लगा, अप्रीतिकर बा कष्टदायक ह
खलिहान (पुं.) जहाँ फसल काट कर रखी, माँड़ी तथा ओसाई जाती है -- खोला शस्य रका ठाँइ
खली (स्त्री.) तिलहन का वह अंश, जो उसे पेर कर तेल निकालने के बाद बचा रहता है -- खलिहै
खस्ता (वि.) भुरभुरा, बहुत थोड़ी दाब से टूट जानेवाला कुरकुरा -- मुर-मुरीया, चनका, कोमल
खस्ता (वि.) टूटा-फूटा, भग्न, दुर्दशाग्रस्त -- भङा-फुटा, भगा, दुर्दशाग्रस्त
खाँसना (अ.क्रि.) खाँसी आने या होने का सा शब्द करना, गला साफ करना -- काह, काहा
खाई (स्त्री.) दुर्ग के चारों ओर खोदा हुआ गहरा स्थान जो पानी से भरा रहता है -- खाई, खाल, दीथल-बहल
खाई (स्त्री.) युद्ध क्षेत्र में छिप कर गोली चलाने के लिए खोदे जाने वाले गड्ढे -- खाल
खाकी (वि.) खाक अर्थात् मिट्टी के रंग का, भूरा -- मटीया बा खाकी रंग
खाट (स्त्री.) चारपाई -- खाट, तक्तापोश
खाद (स्त्री.) सड़ाया हुआ गोबर, पत्ते आदि -- पचन, सार
खादी (स्त्री.) खद्दर -- खादी, खद्दर
खाद्य (वि.) जो खाए जाने योग्य हो, भोज्य -- खाद्य, भक्ष्य भोज्य
खाद्य (पुं.) खाए जाने वाले पदार्थ -- खाद्य-पदार्थ, आहार
खाद्य (पुं.) भोजन -- भोजन, आहार
खाद्यान्न (पुं.) वे अन्न जो खाने के काम आते हैं -- खाद्य शस्य
खान (स्त्री.) वह स्थान जहाँ से धातु, पत्थर आदि खोद कर निकाले जाते हैं -- खनि, आकर
खान (स्त्री.) वह स्थान , जहाँ कोई वस्तु अधिकता से होती या पाई जाती है -- आकर
खाना (स.क्रि.) भोजन करना -- खा, भोजन-कर बा करा
खाना (स.क्रि.) भोजन -- भोजन, खाना, खोवाबस्तु
खाना (स.क्रि.) दीवार, आलमारी, मेज आदि में रखने का स्थान -- बस्तु रखा ठाइ
खारा (वि.) जिसमें क्षार का अंश या गुण हो -- खार, खार-लगा खारुवा, लुणीया
खाल (स्त्री.) त्वचा, चमड़ा -- छाल, चामरा
खाली (वि.) रिक्त -- खाली, शून्य
खाली (वि.) रोजगार-रहित -- निबनुवा
खाली (वि.) जो उपयोग में न आ रहा हो -- कोनो-कामत नहा, अकामिला
खास (वि.) विशेष, विशिष्ट -- बिशिष्ट, बिशेष
खिड़की (स्त्री.) दीवार में छोटे दरवाजे की तरह का स्थान -- खिरिकी, खिड़िकी
खिन्न (वि.) उदास, विकल -- बियाकुल, उदास
खिन्न (वि.) अप्रसन्न, असंतुष्ट -- बिषण्ण, मनमरा, असंतुष्ट
खिल-खिलाना (अ.क्रि.) बहुत प्रसन्न होने पर खुलकर हँसना -- खिलखिला, खिलखिलाइ हाँहा
खिलना (अ.क्रि.) कली या फूल का पंखुड़ियाँ खोलना -- मेल, मेलखोवा खोल, बिकसित ह
खिलना (अ.क्रि.) कोई सुखद कार्य या बात होने पर आनंदित होना -- आनंद-होवा
खिलना (अ.क्रि.) सुंदर लगना, फबना -- भाल-लाग
खिलाड़ी (पुं.) खेल खेलने वाला -- खेलुवैं, खेलोंता
खिलाना (स.) भोजन कराना -- खुवा
खिलाना (स.) खेल खिलाना -- ओमला मोकोला
खिलाना (स.) दुलारना -- मरम कर
खिलौना (पुं.) बच्चों के खेलने के लिए बनाई गई धातु, मिट्टी आदि की आकृति, चीज या सामग्री -- खेल्ना, खेलार सामग्री
खिलौना (पुं.) मन बहलाने का साधन या सामग्री -- पुतला बा तेने मन मन भुलोबा सामग्री
खिसकना (अ.क्रि.) सरकना -- चुचरि या
खिसकना (अ.क्रि.) किसी वस्तु का अपने स्थान से कुछ हट जाना -- आतरि योवा
खिसकना (अ.क्रि.) चुपके से उठ कर चल देना -- आतरि दिया आतर ह
खींचना (स.क्रि.) किसी वस्तु को बलपूर्वक अपनी ओर लाना या अपने साथ लेते हुए आगे बढ़ना -- टान, आकर्षण कर
खींचना (स.क्रि.) किसी वस्तु या स्थान में स्थित किसी दूसरी वस्तु को बलपूर्वक बाहर निकालना -- टानि उलिया
खींचना (स.क्रि.) किसी वस्तु का तत्व, सार या सुगंध निकालना -- उलिया
खुजली (स्त्री.) शरीर के किसी अंग में रक्त का संचार रुक जाने के कारण होने वाली सुरसुरी -- सुरसुरणि, पिरपिरनि
खुजली (स्त्री.) खाज -- खजुवति, खजुलि
खुजाना (स.क्रि.) शरीर के किसी अंग में खुजली होने पर उस स्थान को नाखूनों अथवा उँगलियों से बार-बार मलना या रगड़ना -- चिलाउनु
खुदरा (पुं) किसी चीज के छोटे छोटे अंश, खंड या टुकड़े, फुटकर -- सरु सरु खण्ड, टुकुरा
खुदरा (पुं) वस्तु को थोड़ा थोड़ा बेचना -- खुचुरा, खुचुरिया
खुदरा (वि.) थोड़ा थोड़ा करके बिकने वाला -- खुचरा, बिक्रि
खुर (पुं.) कुछ पशुओं के पैरों का अगला सिरा, जो प्रायः गोल तथा बीच में से फटा हुआ होता है -- खुरा
खुरचना (स.क्रि.) किसी वस्तु को किसी दूसरी वस्तु पर इस प्रकार रगड़ना कि वह कुछ छिल जाए -- रोक,रोकिया
खुराक (स्त्री.) खाद्य पदार्थ, भोजन, आहार -- आहार, भोजन, खुराक
खुराक (स्त्री.) किसी पदार्थ की एक नियत मात्रा, इकाई -- खोराक
खुश (वि.) प्रसन्न, संतुष्ट -- प्रसन्न, सूखी, आनंद, संतुष्ट
खुश-किस्मत (वि.) अच्छे भाग्यवाला, सौभाग्यशाली, भाग्यवान -- भाग्य
खुशखबरी (स्त्री.) शुभ समाचार -- शुभ बार्ता, सुखबर
खुश्क (वि.) सूखा -- खुकान, शुष्क
खुश्क (वि.) चिकनाई रहित -- रुक्ष, खहटा
खुश्क (वि.) जिसमें कोमलता या रसिकता न हो -- नीरस, कर्कश
खून (पुं.) रक्त, रुधिर, लहू -- तेज
खून (पुं.) हत्या -- हत्या, बध
खूब (वि.) सब प्रकार से अच्छा और उत्तम, बढ़िया -- बेच, बढ़िया, अति उत्तम
खूब (क्रि.वि.) अच्छी तरह से भली भाँति -- बेच भालकै
खूबसूरत (वि.) सुंदर -- बढ़िया, सुंदर
खेत (पुं.) वह भू-खंड, जो फसल उपजाने के लिए जोता बोया जाता है -- खेति, खेतिर पथार
खेतिहर (पुं.) जमीन को जोत बोकर उसमें फसल उपजाने वाला व्यक्ति, किसान, कृषक -- खेतियक, कृषक
खेती (स्त्री.) खेत को जोतने -बोने तथा फसल उपजाने की कला तथा काम -- खेति, कृषि
खेती (स्त्री.) खेत में बोई हुई फसल -- शस्य, खेति
खेद (पुं.) कोई अपेक्षित काम न करने अथवा कोई काम या बात ठीक तरह से न होने पर मन में होने वाला दुख, अप्रसन्नता, रंज -- खेद, दुख, अनुशोचना
खेना (स.क्रि.) डांड़ों की सहायता से नाव ·को चलाना -- (नाओ) बा
खेल (पुं.) मन बहलाने के लिए किया जाने वाला कोई काम, क्रीड़ा -- खेल, धेमालि
खेल (पुं.) बहुत साधारण या तुच्छ काम -- साधारण बा तुच्छ काम
खेल-कूद (स्त्री.) खेल, क्रीड़ा -- खेल-धेमालि
खेल-कूद (स्त्री.) (बच्चों की) उछल-कूद, आमोद-प्रमोद, कल्लोल -- खेल-धेमालि
खेलना (अ.क्रि.) मन बहलाने के लि शारीरिक क्रियाएँ करना -- खेल
खेलना (अ.क्रि.) मजाक बनाना -- काम एरि धमालि करा
खैरात (स्त्री.) दान के रूप में दिया जाने वाला धन या पदार्थ, दान -- दान
खोखला (वि.) जिसके भीतर कुछ न हो, भीतर से रिक्त -- फोपोला
खोखला (वि.) निस्सार, थोथा -- असारुवा, असार
खोज (सत्री.) किसी नए तथ्य आदि का पता लगाने का काम, शोध, अनुसंधान -- बिचार, अनुसंधान
खोज (सत्री.) किसी खोई या छिपी हुई वस्तु को ढूँढ़ने की क्रिया -- बिचार
खोजना (स.क्रि.) किसी खोई या छिपी हुई वस्तु के पता लगाने का प्रयत्न करना, ढूँढ़ना -- बिचार
खोजना (स.क्रि.) अनुसंधान या शोध करना -- अनुसंधान
खोट (स्त्री.) मिलावट (सोना आदि में) -- सोणत दिया तामर भाँज
खोट (स्त्री.) दोष -- दोष
खोटा (वि.) मिलावटी -- भाँज, भँजाल
खोटा (वि.) हीन, अविश्वसनीय -- नकली, भँजाल
खोदना (स.क्रि.) कुदाल आदि से जमीन पर आघात करके गड़्ढ़ा बनाना -- खोदाइ कर, उत्किरण
खोदना (स.क्रि.) उक्त क्रिया द्वारा दबी पड़ी हुई वस्तु बाहर निकालना -- खांदि उलिया, खोचर
खोदना (स.क्रि.) नक्काशी करना -- खोदाइ कर उत्किरण कर
खोना (सं.) किसी वस्तु का भूल से कहीं छूट जाना -- हेरुवा
खोना (सं.) असावधानी, दुर्घटना, मृत्यु आदि के कारण क्षतिग्रस्त होना -- क्षतिग्रस्त
खोल (पुं.) किसी चीज का ऊपरी आवरण -- खोल, खोला
खोल (पुं.) विशिष्ट प्रकार के कीड़े मकोडों का प्राकृतिक आवरण -- खोला
खोलना (स.क्रि.) अनावृत करना, आवरण हटाना -- खोल एरुवा, आबरण गुछोवा
खोलना (स.क्रि.) किसी बँधी हुई वस्तु को मुक्त करना -- खोल, मुकलि कर
खोलना (स.क्रि.) मोड़ी या तह की हुई वस्तु को फैलाना -- मेल, खोल
खौलना (स.क्रि.) उबलना -- उतल, उतला
ख्याति (स्त्री.) यश, प्रसिद्धि, कीर्ति -- ख्याति, यश
गंजा (वि.पुं.) जिसके सिर के बाल झड़ गए हों -- तपा मूरा, ताक परा रोग
गंदा (वि.) अपवित्र, दूषित, बुरा -- अपवित्र, लेलेरा
गंदा (वि.) धूल, मिट्टी आदि से युक्त, मैला -- मयला, मलियन
गंध (स्त्री.) कुछ पदार्थों से सूक्ष्म कणों का वायु के साथ मिलकर होने वाला प्रसार, जिसका अनुभव नाक से होता है, बास, दुर्गंध -- गोंध, बास
गंध (स्त्री.) सुगंधित द्रव्य -- सुगंधि बस्तु
गंभीर (वि.) गहरा -- गभीर, द
गंभीर (वि.) जटिल, गूढ़ -- जटिल, गूढ़
गंभीर (वि.) शांत, धीर -- गहीन, गंभीर
गँवाना (स.क्रि.) खोना -- हेरुवा
गँवाना (स.क्रि.) नष्ट करना -- नष्ट कर
गँवार (वि.पु.) असभ्य, अशिष्ट -- अशिष्ट, असभ्य
गँवार (वि.पु.) मूर्ख, अनाड़ी -- मूर्ख, अबुज नजना
गगन (पुं.) आकाश, आसमान -- गगन, आकाश
गज (पुं.) हाथी -- गज, हाती
गज (पुं.) लंबाई की एक माप, जो छत्तीस इंच के बराबर होती है -- गज (दीघर एक जोख)
गज (पुं.) उक्त माप का उपकरण -- गज़
गजरा (पुं.) फूलों की घनी गुँथी हुई छोटी माला -- फुलर माला
गड़बड़ (पुं.) ऐसी अवस्था, जिसमें क्रम, व्यवस्था आदि का अभाव हो -- खेलिमेलि
गड़बड़ (पुं.) असावधानी, भूल आदि से कुछ का कुछ कर देने की क्रिया या भाव -- बिश्रृंखला
गड़बड़ (पुं.) उत्पात, उपद्रव -- उत्पात, उपद्रव
गढ़ (पुं.) किला, दुर्ग -- गड़, दुर्ग
गढ़ (पुं.) केंद्र, मुख्य स्थान, अड्डा -- कैंद्र, आड्डा
गढ़ना (स.क्रि.) कोई नई चीज बनाने के लिए किसी स्थूल पदार्थ को काट, छील, ढाल कर तैयार करना -- गढ़, साज, तैयार कर
गढ़ना (स.क्रि.) कोई कल्पित बात बनाना या कोई बात नमक मिर्च लगाकर सुंदर रूप में प्रस्तुत करना -- साजि क मनेगढ़ा कथा, कल्पित कथा
गण (पुं.) समूह, झुंड, वर्ग -- गण, समूह, बर्ग
गणतंत्र (पुं.) वह राज्य या राष्ट्र, जिसकी सत्ता जनसाधारण (विशेषतः मतदाताओं या निर्वाचकों) में निहित होती है -- गणतंत्र
गणना (स्त्री.) गिनती करने की क्रिया या भाव -- गणना
गणना (स्त्री.) गिनती, संख्या -- संख्या
गणित (पुं.) वह शास्त्र, जिसमें परिमाण, मात्रा, संख्या आदि निश्चित करने की रीतियों का विवेचन होता है, हिसाब -- गणित
गति (स्त्री.) चाल, रफ्तार -- गति
गति (स्त्री.) हरकत, चेष्टा, हिलना-डुलना -- चेष्टा, आचरण
गति (स्त्री.) दशा, अवस्था, हालत, स्थिति -- दशा, अवस्था
गतिरोध (पुं.) चलते हुए काम का रुक जाना -- गतिरोध
गतिरोध (पुं.) झगड़े या बातचीत के समय की ऐसी स्थिति, जिसमें दोनों पक्ष अपनी-अपनी बात पर अड़ जाते हैं और समझौते का कोई रास्ता दिखाई नहीं देता -- अचल अवस्था, बंध्य
गतिविधि (स्त्री.) कार्य-कलाप -- कार्यकलाप, गतिबिधि
गतिविधि (स्त्री.) चेष्टा, हरकत -- आचरण, चाल-चलन
गतिविधि (स्त्री.) आचरण-व्यवहार करने या रहने सहने का रंग-ढंग -- गतिबिधि
गदराना (अ.क्रि.) फलों आदि का पकना शुरु होना -- पूरठ ह, पैनत ह
गदराना (अ.क्रि.) जवानी में शरीर के अंगों का भरना और सुडौल होना -- यौवन लाभ कर, यौवनत शरीर सुदोल होवा
गद्दा (पुं.) बिछाने की मोटी रूईदार भारी तोशक -- गादी
गबन (पुं.) सरकारी या संस्थागत धन की चोरी -- तहबिल तछरुप, धन आत्मसात् करण (न)
गमला (पुं.) फूल आदि के पौधे लगाने के लिए मिट्टी या धातु का पात्र -- फुलर टाब, फुलदानी
गरजना (अ.क्रि.) गंभीर तथा घोर शब्द करना जोर से क़ड़क कर बोलना -- गर्जन करा, गर्जा
गरम (गर्म) (वि.) सामान्य से अधिक तापमान वाला, उष्ण -- आशाबा
गरम (गर्म) (वि.) उग्र, आवेश प्रधान -- उग्र, खङाल
गरिष्ठ (वि.) बहुत भारी -- गरिष्ठ
गरिष्ठ (वि.) (खाद्य पदार्थ) जो बहुत कठिनता से या देर में पचता हो -- गरिष्ठ
गरी (स्त्री.) नारियल के अंदर का वह सफेद मुलायम गूदा जो खाया जाता है -- नारिकलर शाह
गरी (स्त्री.) किसी बड़े बीज के अंदर का मुलायम गूदा, गिरी -- भितरर शाह
गरीब (वि.) निर्धन, दरिद्र -- गरीब, दुखीया
गरीब (वि.) दीन-हीन -- दीनदुखी
गरीब (वि.) निरुपाय, बेचारा -- निछला, निरुपाय
गर्व (पुं.) अपने को दूसरों से बढ़कर समझने का भाव, अभियान, घमंड -- गर्व, अभिमान
गर्व (पुं.) अपने किसी श्रेष्ठ कार्य, बात, वस्तु आदि के संबंध में होने वाला न्यायोचित अभिमान -- गर्ब, अभिमान
गलत (वि.) जो ठीक न हो, अशुद्ध -- भुल, अशुद्ध
गलत (वि.) मिथ्या असत्य -- मिछा, असत्य
गलत (वि.) अनुचित, -- अनुचित
गलती (स्त्री.) भूल, अशुद्धि, त्रुटि -- भुल, त्रुटि, अशुद्धि
गलाना (स.क्रि.) किसी ठोस वस्तु को तरल बनाना, पिघलाना -- गला गलोवा
गलाना (स.क्रि.) किसी कड़ी चीज या कच्चे अन्न आदि को उबाल कर नरम करना -- गुल, पनीया कर
गलाना (स.क्रि.) घुलाना -- गुल पनीय कर
गली (स्त्री.) सड़क से कम चौड़ा, संकरा रास्ता -- गली, रास्ता, सरु बाट
गवाह (पुं.) ऐसा व्यक्ति, जिसने कोई घटना स्वयं देखी हो अथवा जिसे किसी घटना, तथ्य, बात आदि की ठीक और पूरी जानकारी हो, साक्षी -- साक्षी, प्रत्यक्षदर्शी
गवाह (पुं.) न्यायालय में तथ्य का सत्यापन या समर्थन करने वाला -- साक्षी
गवाह (पुं.) दो पक्षों में होने वाले लेन-देन, व्यवहार, समझौते आदि के लेख पर हस्ताक्षर करने वाला -- साक्षी
गहन (वि.) घना, निविड़, गहरा -- घन, निबिड़, गहीन
गहन (वि.) दुरुह, कठिन -- दुर्गम, कठिन, दुरुह
गहना (पुं.) आभूषण, जेवर -- गहना, आभूषण
गहरा (वि.) जिसका तल चारों ओर के स्तर से नीचे की ओर अधिक दूरी तक हो -- गभीर द, अथाह
गहरा (वि.) (व्यक्ति या विषय) गूढ़, गहन, गंभीर -- गुढ़ (बस्तु बा विषय) गंभीर (व्यक्ति)
गाँव (पुं.) ऐसा स्थान, जहाँ लोग पीढ़ियों से रहते आए हों, ग्राम -- गोँ
गाड़ना (स.क्रि.) गड्ढे में रखकर मिट्टी से ढकना, दफनाना -- पोत, गाँर
गाड़ना (स.क्रि.) धरती या दीवार आदि में धँसाना -- पोत, गाँर
गाढ़ा (वि.) जो पतला न हो -- गाठ, डाठ
गाढ़ा (वि.) (रंग आदि) जो अधिक गहरा हो -- गाठ, डाठ
गाढ़ा (वि.) दृढ़, पक्का, घनिष्ठ -- दृढ़, पक्का, घनिष्ठ
गाना (स.क्रि.) लय, ताल के साथ पदों का उच्चारण करना -- गा
गाना (पुं.) गाई जाने वाली रचना, गीत -- गीत
गायक (पुं.) गाने वाला, गवैया -- गायक
ग्राहक (गाहक) (पुं.) खरीदने वाला, खरीददार -- ग्राहक, क्रोता, किनोता
गिनती (स्त्री.) गिनने की क्रिया या भाव, गणना -- गणना
गिनती (स्त्री.) संख्या -- संख्या
गिनती (स्त्री.) एक से सौ तक की अंक माला -- एकर परा शलैके संख्या
गिनना (स.क्रि.) संख्या सूचक अंकों का नियमित क्रम से उच्चारण करना, गिनती करना -- गणना कर, गंति कर
गिनना (स.क्रि.) गणना करना -- गणना करा
गिरजा (पुं.) ईसाइयों का प्रार्थना स्थल -- गीर्जा
गिरफ्तार (वि.) जो किसी अपराध के कारण पुलिस द्वारा पकड़ा गया हो -- ग्रेफ्तार करा, बंदी करा
गिरवी (स्त्री.) बंधक, रेहन -- बंधक
गिरवी (स्त्री.) बंधक रखी हुई चीज -- बंधकी बस्तु
गिराना (स.क्रि.) नीचे डालना, फेंकना -- पेला, पेलोवा
गिराना (स.क्रि.) ढहाना, जमीन पर लुढ़का देना -- खहा
गिराना (स.क्रि.) किसी वस्तु या रचना को तोड-फोड़ कर उसका नाश या ध्वंस करना -- फालि चिरि पेला, ध्वंस करा
गिरोह (पुं.) एक साथ काम करने वाले व्यक्तियों का समूह, गुट या झुंड -- एके लगे काम करा मानुहार दल बा समूह
गीत (पुं.) छोटी पद्यात्मक रचना जो गाए जाने के लिए बनी हो, गाना -- गीत
गीतकार (पुं.) गीत लिखने वाला -- गीतकार
गुंडा (वि.पुं.) बुरे चाल-चलन वाला, बदमाश -- गुण्डा, बदमाच
गुंडागर्दी (स्त्री.) गुंडों का आचरण या व्यवहार, बदमाशी -- गुण्डामि
गुंबद (पुं.) वास्तु रचना में वह शिखर, जो अदर्धगोलाकार और अंदर पोला होता है, गुंबज -- गुंबज
गुच्छा (पुं.) एक ही प्रकार की बहुत सी वस्तुओं का समूह जो एक साथ गुँथा या उपजा हो -- गुच्छ, समूह
गुजरना (अ.क्रि.) किसी स्थान से होते हुए आगे बढ़ना -- आगुवाद या आगबाढ़
गुजरना (अ.क्रि.) व्यतीत होना, बीतना -- पार ह, अतिवाहित ह
गुट (पुं.) टोली, गिरोह, छोटा दल -- समूह, दल
गुण (पुं.) वह लक्षण, जो एक वस्तु से दूसरी वस्तु को अलग करता है -- गुण
गुण (पुं.) किसी वस्तु का लाभदायक तत्व, स्वभाव -- लाभजनक बा भाल कथा
गुण (पुं.) प्रशंसनीय बात -- प्रशंसनीय कथा, गुण
गुणवान (वि.) गुणशाली, गुणी, गुणों से युक्त -- गुणवान्
गुणा (पुं.) गणित में जोड़ने की एक संक्षिप्त रीति, जिसमें कोई संख्या कई बार जोड़ने की बजाए एक बार में ही उतनी गुनी बढ़ाई जा सकती है -- गुणा, गुणन
गुदगुदाना (स.क्रि.) हँसाने या छेड़ने के लिए किसी का तलुवा, बगली आदि सहलाना -- कुटकुटा, भेकुटकटा
गुदगुदी (स्त्री.) गुदगुदाने की क्रिया या भाव -- शौबिङ्-शौबिङ् लाओबा
गुनगुना (वि.) हल्का गरम -- कुहुमीया
गुनगुनाना (स.क्रि.) धीमे स्वर में अस्पष्ट शब्दोच्चारण करते हुए गाना -- गुनगुना
गुप्तचर (पुं.) जासूस, भेदिया -- गुप्तचर, चोशंचोवा
गुफा (स्त्री.) जमीन अथवा पहाड़ के अंदर का गहरा तथा अँधेरा गङ्ढा, कंदरा -- गुहा
गुब्बारा (पुं.) बच्चों के खेलने की रबड़ की थैलीनुमा वस्तु, जिसमें हवा, गैस आदि भरी जाती है -- बेलुन
गुमनाम (वि.) अप्रसिद्ध, अनजान, अज्ञात -- अप्रसिद्ध, अख्यात
गुमनाम (वि.) बिना नाम का जिसमें किसी का नाम न लिखा हो, अनाम -- अनामी
गुरु (पुं.) विद्या देने वाला, शिक्षक -- शिक्षगुरु, शिक्षक
गुरु (वि.) भारी -- गुरु, गघुर
गुरु (वि.) कठिन, मुश्किल -- कठिन, मस्किल
गुरुकुल (पुं.) गुरु का वास स्थान, जहाँ रह कर शिष्य विद्याध्ययन करते हों -- गुरुकुल
गुरुकुल (पुं.) प्राचीन पद्धति पर स्थापित विद्यापीठ -- गुरुकुल, बिद्यापीठ
गुर्राना (अ.क्रि.) कुत्ते, बिल्ली आदि का क्रोध में मुँह बंद करके भारी आवाज निकालना -- घेड़ा, गोरगोरा
गुर्राना (अ.क्रि.) क्रोध में कर्कश स्वर से बोलना -- गोरगोरा
गुलाम (पुं.) मोल लिया हुआ व्यक्ति , दास -- गोलाम, दास
गुलाम (पुं.) ताश का एक पत्ता, जिस पर गुलाम की आकृति होती है -- गोलाम, दास
गुलाल (पुं.) रंगदार चूर्ण, जिसे होली के दिनों में एक दूसरे पर डालते या मलते हैं -- फाकु गुरि, आबीर
गुल्लक (गोलक) (स्त्री.) अल्पबचत हेतु मिट्टी या धातु का बना पात्र -- धन रखा चंदुक
गूँगा (वि.) जो बोल न सके, मूक -- मूक, बोबा
गूँज (स्त्री.) टकरा कर लौटने वाली आवाज, प्रतिध्वनि -- प्रतिध्वनि
गूँजना (अ.क्रि.) आवाज का टकराकर लौटना, किसी ध्वनि से किसी स्थान का व्याप्त होना, ध्वनि का देर तक सुनाई देते रहना -- प्रतिध्वनि ह, अनुरणित ह
गूँधना (स.क्रि.) किसी प्रकार के चूर्ण में थोड़ा पानी अथवा तरल पदार्थ मिलाकर हाथ से माँड़ना, सानना -- सान, मार
गूढ़ (वि.) छिपा हुआ, गुप्त -- लुकाइ रखा, गुप्त
गूढ़ (वि.) समझने में कठिन, दुरुह -- गूढ़, दुरुह
गूँथना (स.क्रि.) धाणों या बालों को समेट कर वेणी बनाना -- गुँध
गूँथना (स.क्रि.) पिरोना -- बेजीत सूता भरा
गुदा (पुं.) फल आदि के अंदर का कोमल और गुदगुदा सार भाग -- शाह, सार भाग
गृहयुद्ध (पुं.) देश के भीतर चलने वाला आंतरिक कलह -- गृहयुद्ध
गृहस्थी (स्त्री.) घर-बार और बाल बच्चे -- घर-संसार, परियाल गृहस्थी
गृहस्थी (स्त्री.) घर का सब सामान, माल असबाब -- गृहस्थी, घर-गृहस्थी
गृहिणी (स्त्री.) घर की मालकिन, पत्नी -- गृहिणी
गेरू (पुं.) लाल रंग का खनिज, जो रंगने और दवा के काम आता है -- गेरुमाटि
गोंद (पुं.) कुछ विशिष्ट पौधों तथा वृक्षों से निकलने वाला चिपचिपा पदार्थ -- एठा
गोता (पुं.) शरीर को जल में इस प्रकार डुबाना, जिससे शरीर का कोई अंग बाहर न रह जाए, डुबकी -- बुर, बुरण, डुब
गोद (स्त्री.) जाँघों के ऊपर का भाग, जिस पर बच्चों आदि को बैठाया जाता है, अंक -- कोला, अंक
गोदाम (पुं.) वह बड़ा स्थान, जहाँ तिजारती माल जमा करके रखा जाता है। -- गुदाम, भँराल
गोधूलि (स्त्री.) सायंकाल का वह समय, जब जंगल से चरकर लौटती हुई गायों के खुरों से धूल उड़ती है और जो शुभ कार्यों के लिए अच्छा मुहूर्त्त माना जाता है -- गोधूलि, गधूलि
गोपनीय (वि.) जिसे सार्वजनिक न किया जा सके -- गोपनीय, गोपन, अप्रकाशित
गोबर (पुं.) गाय, भैंस आदि का मल जो लीपने पोतने और सुखा कर जलाने के काम में आता हैं -- गोबर
गोरा (वि.) श्वेत वर्ण वाला (व्यक्ति), गौर -- गौर वर्णर, बगा
गोल (वि.) मंडलाकार या वृत्ताकार -- गोल, घूरणीया
गोल (पुं.) फुटबाल आदि खेलों का गोल -- बल (खेलर)
गोली (स्त्री.) शीशा, लोहा या अन्य किसी पदार्थ का छोटा गोलाकार पिंड -- गुली, बाटलु, गुटि
गोली (स्त्री.) दवा की टिकिया -- NA
गोष्ठी (स्त्री.) किसी विषय पर चर्चा करना, काव्यपाठ -- गोष्ठी, संघ
गौना (पुं.) विवाह के कुछ समय बाद वधू का मायके से विदा होकर ससुराल जाना -- बियार पिचत पोन प्रथम बार बरर सैते कइनार पतिगृहत गमन अनुष्ठान
गौरव (पुं.) आदर, प्रतिष्ठा, मान-मर्यादा -- गौरब मर्यादा, प्रतिष्ठा
गौरव (पुं.) बड़प्पन, महत्त्व -- गौरव, महत्व
ग्रंथ (पुं.) किताब, पुस्तक -- किताप, ग्रंथ
ग्रंथ (पुं.) धार्मिक या साहित्यिक दृष्टि से महत्वपूर्ण पुस्तक -- ग्रंथ, धर्मपुथि
ग्रस्त (वि) पकड़ा हुआ -- ग्रस्त, ग्रास करा
ग्रस्त (वि) पीड़ित -- पीड़ित, ग्रस्त
ग्रह (पुं.) सौरमंडल में स्थित वह पिंड, जो सूर्य की परिक्रमा करता हो -- ग्रह
ग्रह (पुं.) पकड़ने या वश में करने की क्रिया या भाव -- ग्रहण
ग्राम (पुं.) गाँव -- गाँओ
ग्रामीण (वि) ग्राम-संबंधी -- ग्रामीण, गाँओट
ग्रामीण (वि) गाँव का -- गाँवलीया
ग्वाला (पुं.) अहीर, गोप -- गुवाल, गारखीय
घंटा (पुं.) दिन-रात का चौबीसवाँ भाग, जो 60 मिनट का होता है -- घण्टा (समयर परिमाण घंटा)
घंटा (पुं.) पूजा-अर्चना आदि में स्त्रोतादि की संगति में बजाया जाने वाला वाद्य विशेष -- घण्टा, निर्धारित समय
घंटी (स्त्री.) छोटा उपकरण, जिससे ध्वनि उत्पन्न की जा सकती हो, जैसे साइकिल की या मेज पर रखी घंटी -- घंटि
घटना (अ.क्रि.) घटित होना -- घटना होवा
घटना (अ.क्रि.) कम होना -- कमा, कम होवा
घटना (स्त्री.) ऐसी बात या काम आदि, जो हो चुका हो -- घटना
घटाना (स.क्रि.) कम करना -- कमा, घाटि करा, कमाइ दिया
घटाना (स.क्रि.) गणित में किसी एक राशि में से कोई दूसरी राशि निकालना -- बियोग कर, बाद दिया
घटिया (वि.) गुण, कर्म आदि की दृष्टि से औरों की तुलना में हीन -- सस्तीया, बेया
घड़ा (पुं.) धातु, मिट्टी आदि का बना एक गोलाकार पात्र, जो प्रायः पानी भरने के काम आता है, मटका -- कलह
घनघोर (वि) अत्यंत घना, घना -- डाठ, घन, बट बेछि
घनघोर (वि) भीषण, विकट -- भीषण, भयानक, विकट
घना (वि.) जिसके अवयव या अंश आस-पास सटे हों -- डाठ, घन,
घना (वि.) गहरा -- गाढ़
घना (वि.) बहुत अधिक, अतिशय -- बहुत, अतिबेछि, अतिशय
घनिष्ठ (पुं.) जिसके साथ बहुत अधिक मित्रता या संबंध हो -- घनिठ
घबराना (अ.क्रि.) व्याकुल होना -- ब्याकुल ह, ब्याकुल होवा
घबराना (अ.क्रि.) हिचकना -- इतस्ततः कर
घबराना (अ.क्रि.) सकपकाना (आश्चर्य आदि से) -- आश्चर्यान्वित, थतमत खोवा
घमंडी (वि.) जिसे घमंड हो, अभिमानी -- अभिमानी, अहंकारी
घर (पुं.) मकान, गृह, निवास -- घर
घरेलू (वि.) घर-संबंधी -- घर
घरेलू (वि.) पालतू -- पोहनीया
घसियारा (पुं.) घास छीलने या काटने वाला -- घाँह-बेचोंता
घसीटना (स.क्रि.) किसी वस्तु को इस प्रकार खींचना कि वह जमीन से रगड़ खाता हुआ आए -- तानिबा, चोचँराइ निया कार्य
घसीटना (स.क्रि.) जल्दी-जल्दी तथा अस्पष्ट लिखना -- खरखरकै लिख
घसीटना (स.क्रि.) किसी को किसी काम में जबरदस्ती शामिल करना -- भितरुवा-करिल, टानि-आन
घाट (पुं.) नदी, झील आदि के तट पर वह स्थान, जहाँ लोग नहाते-धोते और नावों पर चढ़ते-उतरते हैं -- घाट, पार-घाट
घाटा (पुं.) नुकसान, हानि, क्षति -- घाटि, हानि, लोकसान
घाटी (स्त्री.) पर्वतीय प्रदेशों के बीच का मैदानी या सँकरा मार्ग -- उपत्यका, गिरिपथ
घातक (वि.) मार देने वाला -- घातक, बध-करोता, हत्याकारी
घातक (वि.) हानिकर -- हानिकर
घायल (वि.) जख्मी, आहत -- घाइल, आहत
घास (स्त्री.) छोटी हरी वनस्पति, जिसे चौपाए खाते हैं -- घाँह
घिसना (स.क्रि.) किसी वस्तु को किसी वस्तु पर इस प्रकार रगड़ना कि वह छीजने लगे -- माज घँह
घिसना (स.क्रि.) किसी बर्तन आदि पर जमी हुई मैल छुड़ाने के लिए उस पर कोई चीज रगड़ना माँजना -- माज, घहाँ
घिसना (अ.क्रि.) रगड़ से कटना या छीजना -- घँहा
घुँघराला (वि.) जिसमें छल्ले की तरह कई बल पड़े हों -- केँकोरा-केँकुरि
घुंघरु (पुं.) प्रायः नृत्य के समय पैरों में पहने जाने वाले चाँदी, पीतल आदि का गोल पोला दाना, जिसके अंदर कंकड़ी रहती है -- जुनुका, घुगुरा
घुटन (स्त्री.) दम घुटने की-सी अवस्था या भाव -- शवास रोध, उशाह-बंध होवा
घुटन (स्त्री.) ऐसी अवस्था, जिसमें कर्तव्य न सूझने पर मन में बहुत घबराहट होती है -- हताशा-अवस्था
घुसना (अ.क्रि.) बलपूर्वक धंसना, प्रवेश करना या आगे बढ़ना -- जोर-करि-सोमा
घुसपैठ (स्त्री.) प्रयत्न, करके या बलूपूर्वक कहीं पहुँचकर अपने लिए स्थान बनाने की क्रिया या भाव -- अनुप्रबेश
घुसपैठ (स्त्री.) अनधिकृत रूप से छिपकर प्रवेश करने की क्रिया -- अनैतिक
घूंघट (पुं.) स्त्रियों की चुँदरी, धोती, साड़ी आदि का वह भाग, जिसे वे सिर से कुछ नीचे खींच कर अपना मुँह ढँकती हैं -- ओरणि
घूँट (पुं.) तरल पदार्थ की उतनी मात्रा, जितनी एक बार मुँह में भर कर गले के नीचे उतारी जाती है -- ढोक, ढोका,
घूँसा (पुं.) बँधी हुई मुट्ठी का वह रूप, जिसमें किसी पर प्रहार किया जाता है, मुक्का -- घाँचा
घूमना (अ.क्रि.) चक्कर लगाना -- घूर
घूमना (अ.क्रि.) सैर करना -- फुरा, घूरिफुरा
घूमना (अ.क्रि.) किसी ओर मुड़ना -- घूर, ओलट-घुरा
घूरना (स.क्रि.) आँखें गड़ाकर देखना -- चकु चा, बेया-चकुरे चा
घूरना (स.क्रि.) काम या क्रोध से एकटक देखना -- सतृष्ण नयने चा, खङ्त चोवा
घूस (स्त्री.) रिश्वत -- घुष, उत्कोच, घोच
घूस (स्त्री.) चूहे के वर्ग का एक बड़ा जंतु, जो पृथ्वी के अंदर बिल खोद कर रहता है -- एबिध एंदुर
घूसखोरी (स्त्री.) रिश्वत लेने की क्रिया या भाव -- भेटी-खोबा, घोच लोवा
घेरना (स.क्रि.) चारों ओर से रोकना, अवरोध करना -- घेर, अवरोधकर
घेरना (स.क्रि.) कोई जगह इस प्रकार भरना कि औरों के लिए स्थान न रह जाए -- आबटिधर
घेरा (पुं.) लंबाई-चौड़ाई आदि का सारा विस्तार या फैलाव -- घेर, बिस्तार, परिधि
घेरा (पुं.) इस प्रकार घेर कर खड़े होने की स्थिति, जिससे उस स्थान से कोई बाहर न निकल सके -- अवरोध, आटक, बेरिधरा
घोंसला (पुं.) वृक्ष आदि पर तिनके, पत्ते आदि का बना हुआ स्थान, जिसमें पक्षी रहते तथा अंडे देते हैं। -- चराइर-बाह
घोंटना (घोटना) (स.क्रि.) गले को इस तरह दबाना कि साँस रुक जाए -- डिडि-चेषि धर, डिङि मुचर
घोंटना (घोटना) (स.क्रि.) मुँहजबानी याद रखना रटना -- मुखस्थ कर, आबृत्ति-कर
घोल (पुं.) किसी तरल पदार्थ में कोई दूसरी (घुलनशील) वस्तु मिलाकर तैयार किया हुआ मिश्रण -- घोल मिहालोवा, मिहलिकरा
घोलना (स.क्रि.) किसी तरह पदार्थ में कोई अन्य घुलनशील वस्तु मिलाना -- घोल, मिहलोवा
घोषणा (स्त्री.) जन-साधारण को जानकारी देने के उद्देश्य से जोर से कही जाने वाली बात -- घोषणा
घोषणा (स्त्री.) सार्वजनिक रूप से निकाली गई राजाज्ञा -- प्रशसनीय घोषणा
चंगुल (पुं.) शिकारी पशु-पक्षियों का टेढ़ा पंजा -- हातोरा
चंगुल (पुं.) किसी व्यक्ति के प्रभाव या वश में होने की वह स्थिति, जिसमें से निकलना सहज न हो -- कबलत, फांदत-परा
चंचल (वि.) अस्थिर -- चंचल, अस्थिर
चंचल (वि.) नटखट, शरारती -- दुष्टु, उत्पत्तीया
चंचल (वि.) जो शांत न हो, विकल, उद्विग्न -- अशांत, बिकल, उद्विग्न
चंदन (पुं.) एक प्रसिद्ध पेड़, जिसकी लकड़ी बहुत सुगंधित होती है -- चंदन
चंदन (पुं.) उक्त लकड़ी को जल में घस या रगड़ कर बनाया हुआ गाढ़ा घोल या लेप, जिसका टीका आदि लगाया जाता है -- घँहा-चंदन
चंदा (पुं.) चंद्रमा -- जोन, चंद्र
चंदा (पुं.) किसी परोपकारी अथवा सार्वजनिक कार्य के लिए दी या ली जाने वाली व्यक्तिगत आर्थिक सहायता -- चांदा, बरङणि
चंदा (पुं.) किसी संस्था/पत्रिका आदि को उसके सदस्य, ग्राहक आदि बने रहने के लिए दिया जाने वाला धन -- चांदा, बरङणि
चंद्रमा (पुं.) पृथ्वी का एक प्रसिद्ध उपग्रह, चाँद -- चंद्र, जोन
चकबंदी (स्त्री.) जमीन का बड़े-बड़े टुकड़ों में बँटवारा -- चकबंदि
चकबंदी (स्त्री.) छोटे-छोटे खेतों को एक में मिला कर उनके बड़े-बड़े चक या विभाग बनाने की क्रिया या भाव -- चकबंदि
चकराना (अ.क्रि.) चकित होना -- बिमोरत पर, आचरित ह
चकराना (अ.क्रि.) सिर घूमना -- मूर, धुरा, आचरित कर
चकराना (स.क्रि.) किसी को चक्कर या फेर में डालना, चकित करना -- आचरित कर
चकित (वि.) आश्चर्य में आया या पड़ा हुआ -- चकित, बिमोर
चक्की (स्त्री.) पीसने कूटने व दलने की मशीन के लिए पत्थर का उपकरण -- जाँत
चक्र (पुं.) गोलाकार वस्तु जैसे गाड़ी का पहिया आदि -- चका
चक्र (पुं.) गोलाकार एक अस्त्र -- (अस्त्र) चक्र
चक्र (पुं.) देश भक्ति या वीरता आदि के लिए सरकार की ओर से दिया जाने वाला पदक या तमगा -- चक्र
चखना (स.क्रि.) किसी खाद्य वस्तु का स्वाद जानने के लिए उसका थोड़ा अंश मुँह में रखना या खाना -- चाकि चोवा
चटपटा (वि.) मिर्च-मसालेदार, तीक्ष्ण स्वाद का -- चोका, जला
चटाई (स्त्री.) फूस, सींक, पतली पट्टियों आदि का बिछावन -- कठ, ढारि, ढर
चट्टान (स्त्री.) पत्थर का बहुत बड़ा और विशाल खंड -- डाङ्र-शिलाखण्ड
चढ़ना (अ.क्रि.) ऊपर की ओर बढ़ना -- चड़ा, ओपरलै ओठा
चढ़ना (अ.क्रि.) सवार होना -- उठ, बगा
चढ़ना (अ.क्रि.) उन्नति करना -- उन्नति-कर
चढ़ना (अ.क्रि.) बही खाते आदि में नामों, रकमों आदि का अंकित होना -- अंतर्मुक्तह
चढ़ाई (स्त्री.) ऊँचाई की ओर जाने वाला मार्ग -- उजनीलै, उपरैलै उठा भाग
चढ़ाई (स्त्री.) आक्रमण -- आक्रमण
चतुर (वि.) कार्य और व्यवहार में कुशल, प्रखर -- चतुर, कुशल
चतुर (वि.) चालाक, धूर्त -- चालाक, धूर्त्त
चपरासी (पुं.) कार्यालय के कागज-पत्र आदि लाने या ले जाने वाला कर्मचारी -- पियन, चाप्रासी
चपरासी (पुं.) अरदली -- पियन
चपल (वि.) स्थिर न रहने वाला -- चपल, चंचल, अस्थिर
चबाना (स.क्रि.) खाद्य वस्तुओं को दाँतों से काटकर बारीक करना -- चोबा, कामुरि खा बा चोबोवा
चबूतरा (पु.) मकान के अगले भाग में बैठने के लिए बनाई गई खुली चौकोर और चौरस जगह -- घरर-समुखर-बारांदा, चोताल
चमक (स्त्री.) प्रकाश, क्रांति -- जिलिकनि, कांति
चम़कना (अ.क्रि.) प्रकाश या ज्योति से युक्त होना -- तिरविर, पोहर-चमकनि
चम़कना (अ.क्रि.) क्रांति या आभा से युक्त होना -- पोहर
चम़कना (अ.क्रि.) उन्नति करना -- उन्नति कर, विख्यात्
चमड़ा (पुं.) मृत पशुओं की खाल का प्रसंस्कृत रूप -- चामरा, छाल
चमत्कार (पुं.) अलौकिक-सा जान पड़ने वाला काम या बात, करामात -- चमत्कार, आचरित-कार्य
चमत्कार (पुं.) आश्चर्यजनक कार्य -- आश्चर्य, बिस्मय
चरण (पुं.) किसी पूज्य व्यक्ति के पाँव के लिए आदर सूचक शब्द -- चरण, पाद, पद
चरण (पुं.) किसी छंद, श्लोक आदि की पूरी पंक्ति अथवा चौथाई भाग -- चरण, छंद
चरना (स.क्रि.) पशुओं का खेतों आदि में उगी हुई घास, पौधे आदि खाना -- चर, घाँह-खा
चरबी (चर्बी) (स्त्री.) प्राणियों के शरीर में सफेद या हल्के पीले रंग का गाढ़ा, चिकना तथा लसीला पदार्थ -- मेद, तेल
चरवाहा (पुं.) वह व्यक्ति जो दूसरों के पशुओं को चराकर अपनी जीविका चलाता हो -- गरखीया
चरस (स्त्री.) गाँजे के पौधों के डंठलों पर से उतारा हुआ एक प्रकार का हरा या हल्का पीला गोंद या चेप, जिसे लोग गाँजे या तंबाकू की तरह पीते हैं -- भङर दरे एबिध निचालगा बस्तु
चरागाह (पुं.) पशुओं के चरने का स्थान, जहाँ प्रायः घास आदि उगी रहती है -- चरणीया-पथार
चरित्र (पुं.) व्यक्ति के आचरण या व्यवहार को दिखलाने वाले लक्षणों का समुच्चय, आचरण -- आचरण, ब्यबहार
चरित्र (पुं.) कहानी, नाटक आदि का कोई पात्र -- चरित्र, पात्र
चर्चा (स्त्री.) बातचीत, वार्तालाप -- चर्चा, आलोचना
चर्चा (स्त्री.) अफवाह -- गुजब, उरा बातरि
चलचित्र (पुं.) सिनेमा (फिल्म) -- चिनेमा चलचित्र
चलना (अ.क्रि.) पैरों, पहियों आदि की सहायता से अथवा किसी प्रकार की गति से युक्त होकर आगे बढ़ना -- या, चला, फूरा
चलना (अ.क्रि.) किसी चीज का ठीक तरह से उपयोग या व्यवहार में आते रहना -- चला, चलन
चलनी (छलनी) (स्त्री.) आटा, चाय आदि छानने का उपकरण -- चालनी
चश्मा (पुं.) ऐनक -- चछमा, बित्वकु
चश्मा (पुं.) जल-स्रोत, सोता -- पानीरर-स्रोत, सुँति
चसका (पु.) किसी वस्तु या कार्य से होने वाली तृप्ति को बार-बार पाने की लालसापूर्ण प्रवृत्ति, चाट, लत -- आसक्ति, लालसा
चहकना (अ.क्रि.) पक्षियों का आनंदित होकर कूजना, चहचहाना -- चिंचिया, कल्कला
चहकना (अ.क्रि.) उमंग या प्रसन्नता से बढ़-चढ़ कर बोलना -- बरकै-कथा क
चाँटा (पुं.) हथेली तथा हाथ की उंगलियों से किसी के गाल पर किया जाने वाला प्रहार, थप्पड़, तमाचा, झापड़ -- चर, थापर
चाँदनी (स्त्री.) चाँद का प्रकाश -- जोनाक ज्योत्सना
चाँदनी (स्त्री.) छत पर या ऊपर की ओर तानने का कपड़ा -- चंद्रातप, चंदोवा
चाँदी (स्त्री.) सफेद रंग की एक चमकीली धातु, जो गहने, सिक्के आदि गढ़ने के काम आती है -- रूप (धातु)
चाकू (पुं.) फल आदि काटने का छोटा औजार, छुरी -- कटारी, छुरि
चाटना (स.क्रि.) जीभ लगाकर या जीभ से पोंछ कर खाना -- चेलेक, जुति-चा
चापलूस (वि.) खुशामदी, चाटुकार -- तोषामो-दकारी
चाबी (स्त्री.) ताली, कुंजी -- चाबि सँचार काठी
चांबुक (पुं.) कोड़ा -- एचारि, चाबुक
चारपाई (स्त्री.) खाट, छोटा पलंग -- चारपाइ, खाट, खाटिया
चारा (पुं.) पशुओं के खाने की घास, पत्ती, डंठल आदि -- घाँह-बन
चारा (पुं.) चिड़ियों, मछलियों आदि को फँसाने अथवा जीवित रखने के लिए खिलाई जाने वाली वस्तु -- टोप, आहार
चारा (पुं.) उपाय, इलाज, युक्ति -- उपाय, प्रतिकार
चाल (स्त्री.) चलने की क्रिया या भाव -- गति, खोज
चाल (स्त्री.) गति -- चाल, गति
चाल (स्त्री.) धूर्तता -- धूर्त्तालि
चाल (स्त्री.) शतरंज, ताश आदि के खेल में अपनी बारी आने पर गोटी, पत्ता आदि आगे बढ़ाने या सामने लाने की क्रिया -- पाशा-खेलर चाल
चालक (वि.) चलाने वाला (ड्राइवर) -- चालक, चलाँओता
चालक (वि.) धूर्त -- धूर्त, चतुर, टेंगर
चालान (चलान) (पुं.) रवन्ना -- चालान
चालान (चलान) (पुं.) अभियोगारंभ -- अभियोगर आरंभ
चाहना (स.क्रि.) इच्छा करना -- इच्छाकरा, हेपाहकरा
चाहना (स.क्रि.) प्रेम करना -- भाल, मरमकरा
चिंघाड़ना (अ.क्रि.) हाथी का बोलना या जोर से चिल्लाना -- (हातीये) चिञरा (चियँरा)
चिंतन (पुं.) कोई बात समझने या सोचने के लिए मन में बार-बार किया जाने वाला उसका ध्यान या विचार, मनन -- चिंता, भावना, चिंताकरा कार्य
चिंता (स्त्री.) सोच, फिक्र -- चिंता, भावना, भवाकथा
चिंता (स्त्री.) परवाह -- परोवा, केरेप
चिकना (वि.) जो छूने में खुरदरा न हो -- मिट्टि, चकचकीया चिकन
चिकना (वि.) जिस पर पैर आदि फिसले -- पिछल
चिकना (वि.) जिसमें तेल आदि कोई चिकना पदार्थ लगा हो -- तेलीया, तेलतीया
चिकित्सा (स्त्री.) रोग-निवारण का उपाय,इलाज -- चिकित्सा निरामयकरा
चिट्ठी (स्त्री.) पत्र, खत -- चिठि, पत्र
चिड़ियाघर (पुं.) वह स्थान, जहां अनेक प्रकार के पशु-पक्षी आदि जन साधारण को प्रदर्शित करने के लिए एकत्र करके रखे जाते हैं -- चिरिया खाना
चिढ़ाना (स.क्रि.) नाराज करना -- खं-तोला, बिरक्तकरा, जोका
चिढ़ाना (स.क्रि.) नकल उतारना -- मुख-भेङ्चिया
चितकबरा (वि.) सफेद रंग पर काले लाल या पीले दानों वाला -- फुटुका-फुटुकी
चिता (स्त्री.) चुनकर रखी हुई लकड़ियों का ढेर, जिस पर मुर्दा जलाया जाता है -- चिता
चित्त (पुं.) मन की एक अवस्था, अंतःकरण -- अंतःकरण, चित्त, मन
चित्र (पुं.) तस्वीर (फोटो) -- छबि, चित्र
चित्र (पुं.) पेंटिंग -- चित्र, छबि
चित्रकार (पुं.) चित्र बनाने वाला -- चित्रकार
चिनगारी (स्त्री.) आग का छोटा कण -- फिरिङनि
चिनगारी (स्त्री.) कोई ऐसी छोटी बात जिसका आगे चलकर बहुत उग्र या भीषण प्रभाव हो सकता हो (लाक्षणिक) -- फिरिङ्नि
चिपकना (अ.क्रि.) किसी लसीली वस्तु के कारण दो वस्तुओं का परस्पर जुड़ना -- लागि-धर
चिपकना (अ.क्रि.) व्यक्तियों या वस्तुओं का पार-पास सटना -- लागि-धर
चिमनी (स्त्री.) मकान या कारखाने आदि का धुआँ बाहर निकालने वाली विशेष नली, लैंप या लालटेन के काँच का आवरण -- धेँबानली, चिमनि
चिल्लाना (अ.क्रि.) जोर से बोलना, शोर करना, हल्ला करना -- चिञर, आटाहपार
चिह्न (पुं.) दाग, धब्बा, निशानी -- चिन, लक्षण
चिह्न (पुं.) वह शब्द, बात या छाप, जिससे किसी चीज की पहचान हो -- दाग, चिन
चीखना (अ.क्रि.) भावावेश में जोर से चिल्लाना -- चिञर, आटाहपार
चीखना (अ.क्रि.) बहुत जोर से बोलना या कर्ण-कटु शब्द निकालना -- टानकैक
चीरना (स.क्रि.) किसी चीज को धारदार उपकरण द्वारा काट या फाड़ कर अलग या टुकड़े करना -- फाल, छिट-फला
चुंगी (स्त्री.) स्थानीय शासन द्ववारा बाहर से आने वाले माल पर वसूल किया जाने वाला कर -- आमदानि कर
चुंबक (पुं.) एक प्रकार का पत्थर या धातु, जिसमें लोहे को अपनी ओर आकर्षित करने की शक्ति होती है -- चुंबक
चुगना (स.क्रि.) पक्षियों का अपनी चोंच से अनाज के कण, कीड़े मकोड़े आदि उठा-उठा कर खाना -- खुटिखा
चुगलखोर (वि.) किसी की हानि करने के उद्देश्य से पीठ पीछे उसकी बुराई करने वाला -- टुटकीया लगनीया
चुटकुला (पुं.) चमत्कारपूर्ण और विलक्षण उक्ति अथवा बात, जिसको सुन कर हँसी आए -- हाँहिउठाकथा
चुनना (स.क्रि.) बहुत में से कुछ को पसंद करके लेना -- बाछा
चुनना (स.क्रि.) छोटी वस्तुओं को हाथ, चोंच आदि से एक-एक करके उठाना -- बोटला
चुनरी (स्त्री.) वह रंगीन विशेषतः लाल कपड़ा, जिसके बीच-बीच में बुंदकियाँ होती हैं -- फुल-तोला क़ापोर बा ओढ़नीर
चुनाव (पुं.) चुनने की क्रिया या भाव -- बाछनि, निर्बाचन
चुनाव (पुं.) निर्वाचन -- निर्वाचन
चुनौती (स्त्री.) अपनी बात मनवाने के लिए किसी को उत्तेजित करते हुए सामना करने के लिए कहना, ललकार -- प्रत्याह्वान, आह्वान
चुप (वि.) मौन, खामोश -- मौन, निमात, चुप
चुपड़ना (स.क्रि.) किसी गीली या चिपचिपी वस्तु का लेप करना -- घँह, मालिचकर
चुभन (स्त्री.) किसी नुकीली वस्तु का दबाव पाकर किसी नरम वस्तु में धँसने की क्रिया या भाव -- बिंधा, बिंधन
चुभन (स्त्री.) उक्त क्रिया के कारण होने वाली टीस या पीड़ा -- बिंधार, बिह
चुभाना (स.क्रि.) कोई नुकीली चीज गड़ाना या धँसाना -- बिंधा
चुराना (स.क्रि.) छलपूर्वक परायी वस्तु हरण करना -- चुर कर, हरण-कर
चुराना (स.क्रि.) भय, संकोच आदि के कारण कोई चीज या बात दबा रखना या दूसरों के सम्मुख न लाना -- लुकुवा, गोपन-कर
चुस्त (वि.) फुर्तीला -- फुर्त्तियाल, रङियाल
चुस्त (वि.) खूब कसा हुआ -- बरटान, आटिल
चूकना (अ.क्रि.) भूल करना -- भुल-कर
चूकना (अ.क्रि.) सुअवसर खो देना -- सुयोग-हेरुवा
चूड़ी (स्त्री.) सोने, चाँदी, काँच, हाथीदाँत आदि से निर्मित स्त्रियों का हाथ में पहनने का एक वृत्ताकार गहना -- खारु
चूड़ी (स्त्री.) किसी पेंच के वृत्ताकार खाँचे -- पेंच
चूना (पुं.) कुछ विशिष्ट प्रकार के कंकड़ पत्थरों, शंख, सीप आदि को फूँक कर बनाया जाने वाला एक प्रसिद्ध तीक्ष्ण और सफेद क्षार, जिसका उपयोग दीवारों पर सफेदी करने और पान आदि के साथ खाने के लिए किया जाता है -- चूण
चूना (अ.क्रि.) किसी तरल पदार्थ का किसी छेद या संधि में से टपकना या बाहर निकलना -- नियर, टोप-टोप कै पर, बा परा
चूमना (स.क्रि.) होठों से होंठ, हाथ, गाल, मस्तक आदि अंगों का अथवा किसी पदार्थ का स्पर्श करना -- चुमा-खा चुंबन
चूरन (चूर्ण) (पुं.) खूब महीन पीसी हुई बुकनी (पाउडर) -- चूर्ण, गुरि, पाउडार
चूल्हा (पुं.) मिट्टी, लोहे आदि का वह उपकरण जिसमें चीजें पकाने या गरम करने के लिए कोयला, लकड़ी आदि जलाई जाती है -- चौका
चूसना (स.क्रि.) जीभ और होंठ के संयोग से किसी वस्तु (विशेषतः फल) का रस अंदर खींचना -- शोह, रस-टान
चूसना (स.क्रि.) किसी गीली वस्तु की आर्द्रता सोखा लेना -- शुहिल, शोह
चूसना (स.क्रि.) किसी का सत्व या सर्वस्व बलपूर्वक या अनुचित रूप से हड़प लेना -- शोषण कर, अन्यायभावे दखलकरा
चेहरा (पुं.) गर्दन के ऊपर का अगला भाग, जिसमें मुँह, आँख, नाक, कान, मस्तक आदि होते हैं, मुखड़ा -- मुखमंडल, चेहरा
चेहरा (पुं.) मुखौटा -- मुख
चोंच (स्त्री.) पक्षियों के मुँह का नुकीला और आगे की ओर निकला हुआ भाग -- ठाटेँ
चोट (स्त्री.) किसी वस्तु के आघात से शरीर पर होने वाला घाव -- घा, आघात
चोट (स्त्री.) वार -- मार, कोब
चोटी (स्त्री.) सबसे ऊपर का भाग -- एकेबारे ओपरर-भाग, शिखर
चोटी (स्त्री.) स्त्रियों के गुँथे हुए सिर के बाल, वेणी -- बेणी
चोटी (स्त्री.) हिंदु पुरुषों के सिर के पिछले भाग के मध्य के थोड़े से लंबे बाल, जिन्हें कटवाया नहीं जाता -- टिकनि, बेणी
चोर-बाजार (पुं.) व्यापार का वह क्षेत्र, जहाँ चीजें चोरी से और/या अधिक ऊँचे दाम पर खरीदी या बेची जाती हैं -- चोरांबजार
चोरी (स्त्री.) चुराने की क्रिया या भाव -- चुरि
चोरी (स्त्री.) दूसरों से कोई बात छिपाने की क्रिया या भाव -- गोपन करा कार्य बा भाव
चौंकना (अ.क्रि.) एकाएक किसी प्रकार की आहट, ध्वनि या शब्द सुनकर कुछ उत्तेजित अथवा विकल हो उठना -- उचप-खा, चमकि-उठा
चौंकना (अ.क्रि.) चकित होना -- चकखा, चकितह
चौक (पुं.) आँगन, सहन -- चोताल, खोला
चौक (पुं.) चबूतरा -- डाङरबेदी वा मंच
चौक (पुं.) चौराहा -- चारिआलि, चौक
चौकड़ी (स्त्री.) हिरन की वह दौड़ जिसमें वह चारों पैर एक साथ उठा कर छलाँग मारता हुआ आगे बढ़ता है -- हरिणारदौर
चौकस (वि.) जो अपनी अथवा किसी की रक्षा के लिए पूर्णतः सचेत हो -- साणुं, सावधान, सष्टम, साजू
चौकस (वि.) ठीक, दुरुस्त, संपूर्ण -- उत्तम, संपूर्ण, पूरा
चौकीदार (पुं.) किसी स्थान पर पहरे का काम करने वाला कर्मचारी -- चौकीदार, चकीदार, दुवरी, प्रहरी
चौखटा (पुं.) चौखट के आकार का ढाँचा, जिसमें शीशा या तस्वीर आदि को मढ़ा जाता है -- चौकठि, फ्रेम
चौड़ा (वि.) जिसके दोनों पाश्र्वों के बीच में अधिक विस्तार हो, जो सँकरा न हो -- बहल, बिस्तृत
चौराहा (पुं.) वह स्थान, जहाँ चारों दिशाओं से आने वाले मार्ग मिलते हों, चौरस्ता -- चारि-आलि, चौपथ
छँटनी (स्त्री.) छाँटने की क्रिया -- बाछनि
छँटनी (स्त्री.) आवश्यकता से अधिक कर्मचारियों को सेवा से हटाने का काम -- छाटाइ
छड़ी (स्त्री.) बाँस, बेंत, लकड़ी आदि की पतली लाठी -- लाखुटि, लाठी
छत (स्त्री.) चूने, कंकड़ आदि से बनी हुई घर की छाजन, पाटन -- पका, घरर चाल, चिलिं, चिलिङ
छत (स्त्री.) ऊपर का ढका भाग -- खोलामंडप
छत (स्त्री.) किसी की समाधि के स्थान पर बना हुआ मंडप -- चंदोवा
छत (स्त्री.) पैराशूट -- पेराछुट
छल (पुं.) कपट, धोखेबाजी -- छल, कपट
छलकाना (स.क्रि.) बरतन में भरे हुए जल आदि को हिलाकर गिराना -- ओफनदाइबागरिपरिब लगा कर
छलना (स.क्रि.) धोखा देना, ठगना, भुलावे में डालना -- छल कर फाकि दे
छलना (स्त्री.) धोखा, वंचना -- ठगन् प्रतारणा, फाकि
छल्ला (पुं.) सोने चाँदी आदि के तार को मोड़कर बनाई हुई अँगूठी -- आङुठि
छल्ला (पुं.) उक्त प्रकार की कोई गोलाकार आकृति -- आङुठि, घेर, गोलाकार
छाँटना (स.क्रि.) अनावश्यक अंश अलग करना -- बाछ, बाछनि
छाँटना (स.क्रि.) चुनना -- बाछ
छाज (पुं.) सरकंड़ों सींकों आदि का बना हुआ वह उपकरण जिससे अनाज फटका जाता है, सूप -- डला, कूला,
छाज (पुं.) छप्पर -- चालि, चाल
छात्र (पुं.) विद्यार्थी -- छात्र, विद्यार्थी
छात्रवृत्ति (स्त्री.) विद्यार्थी को विद्याभ्यास के लिए दी जाने वाली आर्थिक सहायता -- बृत्ति, जलपानी, छात्रबृत्ति
छात्रावास (स्त्री.) किसी स्कूल, कालेज के अंतर्गत वह स्थान जहाँ विद्यार्थी रहते हैं -- छात्राबास
छानना (स,क्रि.) आटे आदि को या तरल पदार्थ को चलनी या कपड़े से इस प्रकार निकालना जिसमें मोटा अंश रह जाए और महीन अंश नीचे गिर जाए -- चाल, छेक
छानना (स,क्रि.) खोज, जाँचना -- बिचार, परीक्षा कर
छान-बीन (स्त्री.) जाँच-पड़ताल, खोजबीन -- अनुसंधान, बिंचार-खोचार
छाप (स्त्री.) वह ठप्पा या साँचा, जिससे कोई चीज छापी जाए, ठप्पा -- छाप, साँच, मोहर
छाप (स्त्री.) प्रभाव, असर -- छाप, साँच, मोहर
छापना (स,क्रि.) यंत्रों ठप्पों आदि की सहायता से अक्षर, चित्र आदि की छपाई करना -- छपा, छापा करा
छापना (स,क्रि.) पुस्तक, लेख, समाचार-पत्र आदि प्रकाशित करना -- छपाइ-उलिया, प्रकाश कर
छापा (पुं.) ठप्पा -- छाप, छाब, प्रभाव
छापा (क्रि.) कुछ विशिष्ट वस्तुएँ पकड़ने के लिए पुलिस का अचानक धावा -- पुलिच आदिर अभियान, हठात् अभियान-चलोवा
छाया (स्त्री.) प्रकाश के अवरोध से उत्पन्न हलका अंधेरा -- छाँ, छाया
छाया (स्त्री.) परछाई, प्रतिबिंब -- प्रतिबिंब
छाया (स्त्री.) सादृश्य, प्रतिकृति -- सादृश्य, प्रतिकृति
छाल (स्त्री.) वृक्षों आदि के तने पर का कड़ा खुरदरा और मोटा छिलका -- छाल, बाकलि
छाला (पुं.) शरीर के किसी अंग पर गरम पानी आदि पड़ने अथवा लगातार रगड़ के कारण होने वाला मांस का कोमल और नरम उभार, फफोला -- जोला
छावनी (स्त्री.) वह स्थान, जहाँ सेना रहती हो, सैनिकों की बस्ती -- छाउनि (कंटोनमेन्ट), सेना निबास
छिड़कना (स.क्रि.) जल या कोई तरल पदार्थ इस प्रकार फेंकना कि उसके छींटें बिखर कर चारों ओर पड़े -- छटिया
छिड़काव (पुं.) छिड़कने की क्रिया या भाव -- छटिया
छिपाना (स.क्रि.) किसी प्राणी या वस्तु को ऐसी जगह या स्थिति में रखना, जहाँ कोई देख न सके, आवरण या ओट में रखना, ढाँकना -- लुकुवा
छिपाना (स.क्रि.) किसी को किसी बात की जानकारी न कराना या न होने देना -- लुकुवा, गोपन-करा
छींकना (अ.क्रि.) शारीरिक क्रिया जिसमें नाक से वायु बहुत जोर से शब्द करते हुए निकलती है -- हांचि मार
छिनना (स.क्रि.) किसी से कोई वस्तु आदि जबरदस्ती ले लेना -- काढ़
छिलना (स.क्रि.) किसी चीज के ऊपर की परत को खींच कर या खुरचकर उससे अलग करना -- बखलिया, चेला
छुट्टी (स्त्री.) काम बंद रहने का दिन -- छूटी, अवकाश
छुट्टी (स्त्री.) जाने की अनुमति -- बिदाय-योवार अनुमति
छुट्टी (स्त्री.) छुटकारा -- अवकाश
छुरा (पुं.) लंबे फलवाला बड़ा चाकू -- कटारि, छुरि
छूट (स्त्री.) बंधन आदि से मुक्ति, छुटकारा -- मुक्ति
छूट (स्त्री.) रियायत, सुविधा -- सुबिधा, रेहाइ
छूट (स्त्री.) कुछ करने की आजादी -- सुबिधा, रेहाइ
छूत (स्त्री.) गंदी, अशुचि या रोग संवाहक वस्तु का स्पर्श या संसर्ग -- चुवा, अशुचि
छूत (स्त्री.) अपवित्र, वस्तु को छूने से होने वाला दोष -- चुवाहोवाकार्य, अशुचिहोवा
छूना (स.क्रि.) किसी वस्तु का शरीर के किसी अंग अथवा पहने हुए वस्त्र से लगाना या स्पर्श होना -- चो, छो, छुवा
छेड़ना (स.क्रि.) किसी को उत्तेजित करने के लिए कुछ कहना या करना, चिढाना -- जोका, खङतोला
छेड़ना (स.क्रि.) किसी वस्तु को इस प्रकार छूना या स्पर्श करना कि उसके फलस्वरूप कोई क्रिया या व्यापार घटित हो -- छो, छो
छेदना (स.क्रि.) छेद अथवा सुराख करना -- बिंध
छोटा (वि.) मान, विस्तार आदि में अपेक्षाकृत कम या थोड़ा -- अल्पवयस्क
छोटा (वि.) उम्र में कम -- सरु
छोटा (वि.) तुच्छ, हीन -- तुच्छ, हीन
छोड़ना (स.) बंधन से मुक्त करना, स्वतंत्र करना -- एरि दे, मुक्तकर
छोड़ना (स.) माफ करना -- क्षमाकर, एरि-दे
छोड़ना (स.) त्याग देना -- त्यागकर
छोड़ना (स.) चलाना, फेंकना -- पेला, पेलोवा
छोड़ना (स.) किसी कार्य या उसके अंग को न करना या भूल से छोड़ देना -- आधरुचा कर
छोर (पुं.) आंतिम सिरा, किनारा -- पारि, किनार, मूर
जंग (पुं.) युद्ध -- युद्ध
जंग (पुं.) वायु और नमी के प्रभाव से उत्पन्न होकर लोहे पर जमने वाली मटमैली परत -- समर
जंगल (पुं.) वन -- हाबि, जंघल
जंगल (पुं.) निर्जन स्थान -- निजान-ठाइ, निर्जन-ठाइ
जंगला (पुं.) बरामदे, छज्जे आदि के किनारे-किनारे की गई रचना, जिसमें लोहे या लकड़ी की छड़ें या जाली लगी हो -- खिरिकि सुरुङा
जंजीर (स्त्री.) धातु की बहुत-सी कड़ियों को एक-दूसरे में पहनाकर बनाई जाने वाली लड़ी, साँकल, श्रृंखला -- शिकलि
जंतु (पुं.) प्राणी, जीव -- जंतु, प्राणी, जीव
जकड़ना (स.क्रि.) कोई चीज इस प्रकार कसकर पकड़ना या बांधना कि वह हिलडुल न सके -- टानकै-बांध
जकड़ना (स.क्रि.) शीत आदि के कोप से शरीर का ऐंठना या तन जाना, अकड़ना -- ठँटुवा-लाग, ठेटुवैधर, असाङ-होवा/थं
जगत (पु.) संसार, विश्व -- जगत, संसार, बिश्व
जगत (स्त्री.) कुएँ के चारों ओर बना हुआ चबूतरा, जिस पर खड़े होकर पानी खींचा जाता है -- जगत, रिं
जगमगाना (अ.क्रि.) अपने या दूसरे के प्रकाश से चमकने लगना -- जकमका, जकमकोवा
जटिल (वि.) कठिन, पेचीदा -- जटिल, कठिन
जड़ (वि.) जिसमें जीवन अथवा चेतना न हो, निर्जीव, अचेतन -- जड़, निर्जीव
जड़ (स्त्री.) पेड़-पौधों आदि का नीचे वाला भाग जो जमीन के अंदर हो, मूल -- शिपा, शिया
जनगणना (स्त्री.) किसी देश या राज्य के निवासियों की गिनती -- जनगणना
जनजाति (स्त्री.) जंगलों, पहाड़ों आदि पर रहने वाली आदिम जाति, जो साधारणतः एक ही पूर्वज की वंशज हो और जिसका प्रायः एक ही पेशा, रहन-सहन और विचार आदि हों -- जनजाति, आदिबासी
जनतंत्र (पुं.) ऐसी शासन प्रणाली, जिसमें देश या राज्य का शासन जनता के चुने हुए प्रतिनिधियों द्वारा होता हो -- गणतंत्र
जनता (स्त्री.) किसी देश या राज्य में रहने वाले व्यक्ति, जनसाधारण, प्रजा -- जनता, प्रजा, राइज
जनेऊ (पुं.) हिंदुओं में बालकों का यज्ञोपवीत नामक संस्कार, जिसमें सूत की तिहरी माला पहनाई जाती है -- लगुण, उपनयन
जनेऊ (पुं.) यज्ञोपवीत, ब्रह्मसूत्र -- उपनयन यज्ञसूत्र, लगुण
जन्मकुंडली (स्त्री.) वह चक्र, जिसमें जन्मकाल के ग्रहों की स्थिति बताई गई हो -- सौवरणी, जन्म-पत्रिका, कोष्ठी
जन्म-दिन (पुं.) वह दिन जब किसी ने जन्म लिया हो -- जन्मदिन, जन्म-दिवस
जन्म-भूमि (स्त्री.) वह देश, राज्य या स्थान, जहाँ किसी का जन्म हुआ हो, जन्म स्थान -- जन्मभूमि, मातृभूमि
अपना (स.क्रि.) फल-प्राप्ति के लिए किसी शब्द, पद वाक्य आदि को श्रद्धापूर्वक मन ही मन बार-बार कहना -- जप, नाम ल
जबरदस्त (वि.) प्रबल अथवा स्वभाव से कठोर घटना या प्रतिक्रिया -- जोर-जुलुम, कठोर, दृढ़, सबल
जमा (वि.) बचाकर या जोड़कर रखा हुआ -- जमा
जमा (वि.) जोड़ (गणित) -- योग
जमा (वि.) खाते या बही का वह भाग या कोष्ठक, जिसमें प्राप्त हुए धन का ब्यौरा दिया जाता है -- जमा
जमानत (स्त्री.) वह जिम्मेदारी, जो किसी न्यायालय द्वारा इस रूप में दी जाती है कि बुलाने पर न्यायालय में उपस्थित न होने की स्थिति में जमा की गई धनराशि हरजाने के तौर पर जब्त कर ली जाती है -- जामिन
जमानत (स्त्री.) किसी व्यक्ति विशेष के लिए दी गई मौखिक या लिखित जानकारी -- आमानत, जामिनर-बाबद-दिया धन
जमाना (स.क्रि.) किसी तरल पदार्थ को शीत अथवा अन्य किसी प्रक्रिया से ठोस बनाना -- खाप-खुवाइ थ
जमाना (स.क्रि.) एक वस्तु को दूसरी वस्तु पर दृढ़तापूर्वक स्थित करना या बैठाना -- खाप-खुवाइ थ
ज़माना (पुं.) काल, समय -- काल, समय
जमींदार (पुं.) जमीन का मालिक, भूमि का स्वामी -- जमींदार, माटिर-गराकी
जम्हाई (स्त्री.) एक शारीरिक क्रिया, जिसमें मनुष्य अपनी तंद्रा व सुस्ती भगाने के लिए पूरा मुँह खोलता है -- हामि
जयंती (स्त्री.) जन्मतिथि पर मनाया जाने वाला उत्सव -- जन्मोत्सव
जयंती (स्त्री.) किसी महत्वपूर्ण कार्य के आरंभ होने की वार्षिक तिथि पर होने वाला उत्सव -- जयंती
जयमाला (स्त्री.) विजेता को पहनाई जाने वाली माला -- जयमाला
जयमाला (स्त्री.) विवाह के समय फूलों आदि की वह माला, जो कन्या अपने भावी पति के गले में डालती है -- बरमाल्य
जरी (स्त्री.) सोने के वे तार, जिनसे कपड़ों पर बेल-बूटे आदि बनाए जाते हैं -- गुना, सोणाली-जरि
जरूर (क्रि.वि.) अवश्य -- अवश्ये, निश्चय
जर्जर (वि.) जीर्ण-शीर्ण, कमजोर, बेकाम -- जर्जर, दुर्बल
जर्जर (वि.) टूटा-फूटा -- भङाछिङा, जराजीर्ण
जलचर (पुं.) जल में रहने वाले जीव जल में रहने वाले जीव-जंतु -- जलचर, पानीत-चलिफुरा, जलजंतु
जलना (अ.क्रि.) आग का संयोग होने पर किसी वस्तु से लपट, प्रकाश, ताप या धुआँ आदि निकलने की स्थिति -- जला, पोरा
जलना (अ.क्रि.) उक्त प्रकार के संयोग से विकृत होना, झुलसना या भस्म होना -- जलि-नष्ट-ह
जलना (अ.क्रि.) ईर्ष्या, द्वेष आदि से कुढ़ना, संतृप्त होना -- जलि उठ, ईर्षा, द्वेष आदित जला
जलपान (पुं.) कलेवा, नाश्ता -- जलखाबा
जलप्रपात (पुं.) ऊँचाई से गिरने वाला जलप्रवाह, झरना -- जलप्रपात, झरना
जलयान (पुं.) वह यान या सवारी, जो जल में चलती हो -- जलयान, नाओ जहाज-आदि
जलवायु (पुं.) किसी प्रदेश का प्राकृतिक वातावरण (गर्मी, ठंड, वर्षा आदि) जिसका विशेष प्रभाव जीवों, जंतुओं, वनस्पतियों आदि की उपज, विकास तथा स्वास्थ्य पर पड़ता है -- जलवायु, बतर, बतर-जनित अवस्था
जलसा (पुं.) उत्सव, समारोह, अधिवेशन, बैठक -- उत्सव अधिबेशन, बैठक, समारोह
जलाशय (पुं.) तालाब, झील -- जलाशय, बिल, पुखुरी
जलूस (जुलूस) (पुं.) गलियों, बाजारों, सड़कों आदि पर प्रचार, प्रदर्शन आदि के लिए निकलने वाला लोगों का समूह -- शोभायात्रा
जल्दी (स्त्री.) शीघ्रता, तेजी, उतावलापन -- द्रुतगति, बेग
जहाँ (क्रि.वि.) जिस जगह, जिस स्थान पर -- जि ठाइत, यत
जहाज (पुं.) जलपोत -- जाहाज
जाँचना (स्त्री.) छान-बीन, परख, तहकीकात -- परीक्षा, अनुसंधान
जाँचना (स.क्रि.) किसी प्रक्रिया, प्रयोग आदि के द्वारा किसी वस्तु की प्रामाणिकता, शुद्धता आदि का पता लगाना -- परीक्षाकरिचा, बा देखा
जाँचना (स.क्रि.) किसी बात सिद्धांत आदि की उपयुक्तता, सत्यता का पता लगाना -- अनुसंधानकर
जागरण (पुं.) जागते रहने की अवस्था या भाव -- जागरण, जाग्रत-अबस्था
जागरण (पुं.) किसी उत्सव, पर्व आदि के उपलक्ष्य में रात को जागते रहने की स्थिति -- उजागरेथकाभाव
जाड़ा (पुं.) सरदी, शीत -- जार, ठांडा
जाड़ा (पुं.) शीतकाल -- शीतकाल, जारकालि
जाति (स्त्री.) जात, संप्रदाय, नस्ल -- जाति, संप्रदाय, बंश बिध प्रकार
जाति (स्त्री.) पदार्थों या जीव-जंतुओं की आकृति, गुण, धर्म आदि की समानता के विचार से किया हुआ विभाजन, वर्ग -- श्रेणी, भाग, बर्ग
जादू (पुं,) बुद्धि के कौशल् और हाथ की सफाई से दिखाया जाने वाला कोई खेल, जिसका रहस्य न समझने के कारण उसे अलौकिक कृत्य समझा जाए -- यादु, इंद्रजाल
जादू (पुं,) किसी वस्तु का वह गुण या शक्ति, जिसके कारण उस वस्तु की ओर लोग बरबस आकृष्ट हो जाते हैं, वशीकरण -- बशीकरण, वश करा मंत्र बा औषधि
जादूगर (पुं.) जादू के खेल दिखाने वाला व्यक्ति -- यादुकर
जादूगर (पुं.) आश्चर्यजनक रीति से विलक्षण कार्य करने वाला -- यादुकर, ऐंद्रजालिक
जानकारी (स्त्री.) जानकार होने की अवस्था, गुण या भाव का परिचय -- ज्ञान, परिचय
जानना (स.क्रि.) किसी बात, वस्तु, विषय आदि के संबंध की वस्तुस्थिति से अवगत होना -- जान, जना
जाना (अ.क्रि.) एक स्थान से चलकर अथवा और किसी प्रकार की गति में होकर दूसरे स्थान पर पहुँचने के लिए आगे या उसकी ओर बढ़ना, गमन या प्रस्थान करना -- या, गमन, प्रस्थान
जाल (पुं.) धागे, सुतली आदि की विरल बुनी हुई रचना, जो किसी वस्तु या प्राणी आदि को फँसाने के काम आती है -- जाल, फाँद, फाकि
जाल (पुं.) फँसाने की युक्ति या फंदा -- जाल, फंदी नकल, कृत्रिम
जालसाज (पुं.) धोखाधड़ी करने वाला, धूर्त्त -- धूर्त, बदमाच, प्रबंधक फाकिबाज, जालियात
जाला (पुं.) मकड़ी द्ववारा बुना हुआ जाला -- मकराजाल
जाला (पुं.) आँख का एक रोग, जिसमें पुतली पर झिल्ली-सी आ जाती है -- जाल, चलिहा
जाली (स्त्री.) लोहे, प्लास्टिक, कपड़े आदि की कोई वस्तु, जिसमें प्रायः नियत और नियमित रूप से छेद या कटाव हों -- जालि गढ़, गठन
जाली (वि.) झूठा, नकली या बनावटी -- नकली, सजोवा, फुटाबस्तु
जासूस (पुं.) वह व्यक्ति जो गुप्त रूप से अपराधियों प्रतिपक्षियों आदि का भेद लेता हो, गुप्तचर, भेदिया -- गुप्तचर, चोरांचोवा
जासूसी (स्त्री.) जासूस का काम, पद या विद्या -- चोरांचोवा पुलिस
जासूसी (वि.) जासूस-संबंधी -- गुप्त अनुसंधानकारी
जिज्ञासा (स्त्री.) जानने की इच्छा -- जिज्ञासा, जनार आग्रह
जीतना (क्रि.वि.) जिस मात्रा या परिमाण में -- यिमान, यत
जिम्मेदार (पुं.) वह, जिस पर किसी कार्य, वस्तु अथवा किसी बात की जवाबदेही हो -- उत्तरदायी, जबाबदेह
जिला (पुं.) किसी राज्य का वह छोटा विभाग, जो किसी एक प्रधान अधिकारी की देख-रेख में हो और जिसमें कई तहसीलें हों -- जिला
जीतना (स.क्रि.) युद्ध, मुकदमा, खेल आदि में विपक्षी के विरुद्ध सफल होना -- जयलाभकर, दमन कर, बश कर
जीतना (स.क्रि.) दमन करना, वश में करना -- जीवन अतिवाहित कर
जीना (स.क्रि.) जीवित रहना, जीवन के दिन बिताना -- चिरि, जखला
ज़ीना (पुं.) सीढ़ी -- जखला ऊपर लै लै जोवा यंत्र
जीव (पुं.) जिसमें जीवन है, प्राणी -- जीव, प्राणी
जीव (पुं.) प्राणियों में रहने वाला चेतन तत्व, जीवात्मा -- जीब, जीबात्मा
जीव विज्ञान (पुं.) वह विज्ञान, जिसमें जीव-जंतुओं, वनस्पतियों आदि की उत्पत्ति, विकास, शारीरिक रचना तथा उनके रहन-सहन के संबंध में विचार किया जाता है -- जीवविज्ञान, प्राणीविज्ञान
जीवाणु (पुं.) अतिसूक्ष्म जीव रूप, जिसे आँखों से नहीं देखा जा सकता -- जीवाणु, कीटाणु
जुआ (जूआ) (पुं.) गाड़ी, हल आदि के आगे की वह लकड़ी, जो जोते जाने वाले पशुओं के कंधों पर रखी जाती है -- युँवलि
जुआ (जूआ) (पुं.) धन आदि की बाजी लगाकर खेला जाने वाला खेल -- जुवा
जुआरी (पुं.) जिसे जुआ खेलने का व्यसन हो -- जुवारि, जुवारी पाशाबाज
जुटना (अ.क्रि.) चीज़ों, व्यक्तियों आदि का इकट्ठा होना -- गोट खा, एकत्रहोवा
जुटना (अ.क्रि.) किसी काम में जी लगाकर योग देना -- मनपुतिलाग
जुड़ना (अ.क्रि.) संबंध होना -- मेर खाइ थाक, साङोर खा
जुड़ना (अ.क्रि.) इकट्ठा होना -- एकत्रितह
जुड़वाँ (वि.1) जिनका जन्म एक साथ हुआ हो -- यँजा, यमज
जुड़वाँ (वि.1) (कोई ऐसे दो या अधिक पदार्थ) जो आपस में एक साथ जुड़े, लगे या सटे हों -- साङोरखाइथका
जुताई (जोताई) (स्त्री.) जुतने या जोते जाने की क्रिया, भाव या मजदूरी -- जोत, यह करा, नाङल चलोवा
जुरमाना (जुर्माना) (पुं.) किसी अपराध, दोष या भूल के दंड के रूप में ली जाने वाली धनराशि, अर्थ दंड -- जरिमना अर्थदण्ड
जूझना (अ.क्रि.) शारीरिक बल लगाते हुए प्रयत्न करना, संघर्ष करना, लड़ना -- युँज, संघर्षकरा
जूड़ा (पुं.) सिर के बालों को लपेट कर बनाया हुआ आकार विशेष -- खोपा, कबरी
जेब (पुं.) कुरते, कमीज आदि में रुपए-पैसे आदि रखने के लिए बनी हुई छोटी थैली -- जेप, पकेट, सरु-मोना
जेबकतरा (पुं.) दूसरों की जेब से रुपए-पैसे उड़ाने वाला -- पकेटमार, जेब–लुरुका, गाँठिकाटा
जेल (पुं.) कारा, कारागार -- जेल, कारागार, बंदीशाल
जैसा (वि.) जिस आकार-प्रकार या रूप रंग का, जिस तरह का -- येनेकुवा
जैसा (वि.) समान, सदृश -- समान, निचिना
जोंक (स्त्री.) पानी में रहने वाला एक कीड़ा, जो अन्य जीवों के शरीर से चिपक कर उनका रक्त चूसता है -- जोक
जो (सर्व) संबंधवाचक सर्वनाम, विशेषण -- यि
जोखिम (स्त्री.) हानि, अनिष्ट, घाटे की संभावना, खतरा -- लोकचान, बिपद, अनिष्टकर संभाबना, अनिष्ट
जोड़ना (स.क्रि.) दो वस्तुओं या टुकड़ों को एक-दूसरे के साथ चिपकाना, सीना, मिलाना आदि -- जोड़ा लगा
जोड़ना (स.क्रि.) अपनी ओर से कुछ मिलाना -- योग दे
जोड़ना (स.क्रि.) गणित में संख्याओं का योग करना -- योग दे
जोड़ा (पुं.) एक-सी या एक साथ काम में आने वाली दो वस्तुएँ -- जोड़ा, हाल
जोड़ा (पुं.) एक ही प्रकार के जीवों का नर-मादा का युग्म -- हाल, युग्म
जोतना (स.क्रि.) कोई चीज घुमाने या चलाने के लिए उसके आगे कोई पशु बाँधना -- जोत
जोतना (स.क्रि.) खेत को बोए जाने के योग्य बनाने के लिए उसमें हल चलाना -- चाह करा, हालबाइखेतीकरण
जोरदार (वि.) (व्यक्ति) जिसमें जोर अर्थात् बल हो -- बलवान्, बली, शक्तिशाली
जोरदार (वि.) (बात) जो तत्वपूर्ण और प्रभावशाली हो -- युक्तिपूर्ण, युक्तिसंगत
जोर-शोर (पुं.) किसी काम को पूरा करने के लिए लगाया जाने वाला बहुत अधिक जोर और दिलाया जाने वाला अधिक उत्साह तथा प्रयास -- हात-उजान-दिया-कार्य
जोश (पुं.) उबाल -- गरम, उतप, उत्साह
जोश (पुं.) आवेश, मनोवेग, उत्साह -- उत्साह
जौहरी (पुं.) हीरा, लाल आदि बहुमूल्य रत्न परखने और बेचने वाला व्यापारी -- जहरी, सोनारि
ज्ञान (पुं.) जानकारी, बोध -- ज्ञान, बोध, बुजिबरव्यक्ति
ज्ञापन (पुं.) जताने या बताने का कार्य -- ज्ञापन स्मारक-पत्र
ज्यादा (वि.) अधिक, अतिरिक्त, बहुत -- अधिक, बेछि
ज्योति (स्त्री.) प्रकाश, उजाला -- ज्योति, प्रकट
ज्योति (स्त्री.) लपट, लौ -- झलक, अग्निशिखा, जुइर आग
ज्योतिष (पुं.) ग्रह, नक्षत्रों की गति, स्थिति आदि से उत्पन्न प्रभावों का विचार करने वाला शास्त्र -- ज्योतिष, ज्योतिष-शास्त्ररा
ज्वर (पुं.) शरीर की वह गरमी, जो अस्वस्थता प्रकट करे, ताप, बुखार -- ज्वर, जर, शरीर उत्ताप
ज्वारभाटा (पुं.) चंद्रमा और सूर्य के आकर्षण से समुद्र की जलराशि का चढ़ाव और उतार -- जोवार भाटा
ज्वाला (स्त्री.) आग की लपट या लौ, अग्निशिखा -- जुइर आग, अग्निशिखा
ज्वालामुखी (पुं.) वे पर्वत, जिनकी चोटी में से धुआँ, राख तथा पिघले या जले हुए पदार्थ बराबर अथवा समय-समय पर निकलते रहते हैं -- ज्वालामुखी, अग्नेयगिरि
झंकार (स्त्री.) धातु के किसी पात्र अथवा तार पर आघात होने से निकलने वाली झनझनाहट की ध्वनि -- जनजननि
झंडा (पुं.) पताका, निशान -- पताका, निचान, ध्वजा
झगड़ा (पुं.) दो पक्षों में होने वाली कहासुनी या विवाद, लड़ाई -- काजिया, दंद
झगड़ालू (वि.) जो प्रायः दूसरों से झगड़ा करता हो -- काजियाखोर, दंदुरा
झटकना (स.क्रि.) किसी चीज को एकाएक जोर से हिलाना, झटका देना -- जोकारिदे
झटका (पुं.) हलका धक्का, झोंका, आघात -- ठेला, गता
झटपट (क्रि.वि.) अति शीघ्र, तुरंत ही, एकदम -- सोनकाले, एतियाइ
झड़प (स्त्री.) कहासुनी, तकरार -- किलाकिलि, मराकटा
झड़ी (वि.) कुछ दिनों तक लगातार होने वाली वर्षा -- नेरा-नेपेरा, बरषुण
झपकी (स्त्री.) हलकी नींद -- कलाघुमटि, चिलमिल-टोपनि
झपटना (अ.क्रि.) तेजी से लपकना -- जँपियाइ पर
झरना (पुं.) ऊँचे स्थान से नीचे गिरने वाला जल-प्रवाह, प्रपात -- झरणा, जुरि, जल-प्रपात
झरना (पुं.) चश्मा, सोता -- चश्मा
झरना (अ.क्रि.) ऊँचे स्थान से पानी या किसी चीज का लगातार नीचे गिरना -- अहरहपानी तललैबागरि अहा
झरोखा (पुं.) दीवार में बनी हुई जालीदार छोटी खिड़की, गवाक्ष -- चमक, आभा
झलक (स्त्री.) थोड़े समय के लिए होने वाला दर्शन -- चमक, आभा
झलक (स्त्री.) प्रतिबिंब -- आभाष
झाँकी (स्त्री.) किसी पूज्य या प्रिय वस्तु, घटना या व्यक्ति का सुखद अवलोकन, दर्शन -- दर्शन
झाँकी (स्त्री.) सज़ीव दृश्य, नाटकीय दृश्य, मनोहर दृश्य -- मनोरम-दृश्य, सजीब दृश्य, नाटकीय दृश्य
झाग (पुं.) किसी तरल पदार्थ के फेंटने या बिलोने से निकलने वाला फेन -- फेन बुरबुरनिर-समष्टि
झाड़ना (स.क्रि.) फटकार कर धूल-गर्द साफ करना, बुहारना -- सार
झाड़ना (स.क्रि.) फटकारना -- धमकदे
झाड़ी (स्त्री.) छोटा झाड़ या पौधा -- जोपोहा, पुलि
झाड़ी (स्त्री.) कँटीले पौधों या झाड़ों का समूह -- जोपोहा
झाडू (पुं.) लंबी सींकों अथवा ताड़ या खजूर के पत्तों आदि का वह मुट्ठा, जिससे कूड़ा करकट, धूवल आदि साफ की जाती है -- शोटा, बाढ़नी, जारु
झिझक (स्त्री.) किसी काम को करने में होने वाला संकोच, हिचक -- संकोच, द्विधा
झिड़कना (स.क्रि.) अवज्ञा या तिरस्कारपूर्वक बिगड़ कर कोई बात कहना -- चकु-पोंदोहा कै-कथा क
झील (स्त्री.) लंबा-चौड़ा प्राकृतिक जलाशय -- बिल, हृद, खाल पुष्करणी
झुँझलाना (अ.क्रि.) झल्लाना, खिझलाना, चिड़चिड़ाना -- खिंखिङाइ उठ, खिंखङा
झुँझलाहट (स्त्री.) झल्लाहट -- क्रोध, खंकरा
झुंड (पुं.) समूह -- जाक, दल, जूम
झुंड (पुं.) व्यक्तियों या जीवों का समूह -- मपै, काङ्बु
झुकना (अ.क्रि.) टेढ़ा होना, मुड़ना -- हला एफाल लै दोंवा
झुकना (अ.क्रि.) नमित होना -- मूर-तललै-ह
झुग्गी (स्त्री.) झोंपड़ी या कुटी -- जुपुरि, कुटिर, चापरघर
झुठलाना (स.क्रि.) किसी को झूठा ठहराना -- फॉकि-दे, असत्य साब्यस्त कर
झुर्री (स्त्री.) त्वचा पर पड़ने वाली शिकन -- शोटोरा
झूठ (पुं.वि.) असत्य, मिथ्या -- मिथ्या, मिछा, असत्य, अशुद्ध
झूमना (अ.क्रि.) हलकी गति में झोंके खाना -- हालि-जालि थाक्
झूमना (अ.क्रि.) नशे, नींद, प्रसन्नता या मस्ती में शरीर को धीरे-धीरे हिलाना -- दुलिथाक
झूलना (अ.क्रि.) किसी लटकी हुई चीज का बार-बार आगे पीछे होना -- दुलिथाक
झूलना (अ.क्रि.) झूले पर बैठ कर पेंग लेना -- दोलना-खेला
झूला (पुं.) किसी ऊँचे स्थान से बाधँकर लटकाई गई जंजीरों या रस्सियों पर लगा तख्ता आदि (झूलने का साधन) -- दोलना
झेंप (स्त्री.) लज्जा का अहसास, संकोच, शर्म -- लाज, संकोच, लज्जा, ब्रीड़ा
झेंपना (अ.क्रि.) लज्जित होना, शर्माना -- लज्जित ह संकुचित ह
झेलना (स.क्रि.) अपने ऊपर लेना, सहना -- सह, सहन कर, सह्य-कर
झोंकना (स.क्रि.) किसी वस्तु को आग में फेंकना -- जुइ-लगा
झोंकना (स.क्रि.) वेग से किसी चीज को डालना या फेंकना -- दलियाइ दे
झोंका (पुं.) वायु-लहरी -- बताहर-एको एकोटा कोब
झोंका (पुं.) थोड़े समय के लिए सहसा आने वाली नींद -- चिलमिल, टोपनि
झोंपड़ी (स्त्री.) घास-फूस की कुटी, झुग्गी -- जुपुरि, सरु चापरि-घर, कुटिर
झोला (पुं.) चीज़ें रखने के लिए कपड़े का थैला -- मोना
टंकार (स्त्री.) धनुष की प्रत्यंचा तान कर सहसा छोड़ने पर होने वाली ध्वनि -- टंकार
टंकार (स्त्री.) धातु खंड, तार पर आघात लगने से होने वाली टन-टन ध्वनि -- झंकार, शब्द ध्वनि झंकृत
टंकी (स्त्री.) पानी भरने का एक पात्र, हौज, कुंड -- टेंकी
टकराना (अ.क्रि.) जोर से भिड़ना -- काजिया लागा
टकराना (अ.क्रि.) मार्ग में बाधक होना, मुकाबला या सामना करना, संघर्ष होना -- संघर्ष ह
टकसाल (स्त्री.) वह स्थान जहाँ सिक्के ढाले जाते हैं -- टकशाल
टंक्कर (स्त्री.) वेग के साथ आपस में भिड़ जाना -- ठेका खा
टंक्कर (स्त्री.) संघर्ष, मुकाबला -- काजिया, दंद
टटोलना (स.क्रि.) उंगलियों से छूकर वस्तु का अनुमान करना -- चुइ-चाइ जान
टपकना (अ.क्रि.) बूँद-बूँद करके रिसना या फलों आदि का गिरना -- टप-टप कै पर
टहनी (स्त्री.) वृक्ष की शाखा, डाल, डाली -- डाल, डाली
टहलाना (अ.क्रि.) स्वास्थ्य के लिए चलना-फिरना, घूमना -- फुर
टाँकना (स.क्रि.) सूई, डोरे आदि से कोई चीज कपड़ों पर लगाना -- ढापलि-मार्
टाँका (पुं.) धागे आदि से दो टुकड़ों को आपस में जोड़ना -- चिलाई करा
टाँका (पुं.) धातुओं को ज़ोड़ने या सटाने के लिए लगाया गया जोड़ -- मोध्, जोन्
टाँगना (स.क्रि.) लटकाना -- उलमा
टाट (पुं.) सन या पटसन का मोटा कपड़ा -- शन तथा मरापाटर हाठ कापोर
टापू (पुं.) चारों ओर से जल से घिरा स्थान, द्वीप -- बालिचर, टापु, द्वीप
टालना (स.क्रि.) स्थगित करना -- स्थगित कर
टालना (स.क्रि.) बहाना करके पीछा छुड़ाना, टरकाना -- मूर पुलुका मार
टालना (स.क्रि.) निवारण करना, घटित न होने देना -- बाधा दे, हाक-लगा
टिकना (अ.क्रि.) किसी आधार पर स्थित होना -- थाक, निर्भर कर
टिकना (अ.क्रि.) यात्रा के समय विश्राम के लिए कहीं ठहरना -- क्षंतेक लै क्लांति-दूर कर, जीरनि ल
टिकाऊ (वि.) मज़बूत -- स्थायी, दीर्घायु
टिकिया (स्त्री.) गोल और चपटा छोटा टुकड़ा -- सरु टुकुरा
टीका (पुं.) तिर, बिंदी -- फोंट, तिलक
टीका (स्त्री.) किसी ग्रंथ, पद आदि का अर्थ स्पष्ट करने वाला कथन, व्याख्या -- ब्याख्या
टीका-टिप्पणी (स्त्री.) किसी प्रसंग के गुण दोषों आदि के संबंध में प्रकट किए जाने वाले विचार -- टीका-टिप्पणी, टीका
टीला (पुं.) छोटी पहाड़ी की तरह का ऊँचा भूखंड, ढूह -- टिला, ढाप
टुकड़ा (पुं.) अंश, खंड, भाग -- टुकरा, चपरा
टेक (पुं.) सहारा, आधार -- सहाय, भेटि
टेक (पुं.) हठ, आग्रह, संकल्प -- प्रतिज्ञा, संकल्प
टेक (पुं.) गाने की प्रथम पंक्ति, जो बार-बार दोहराई जाती है, मुखड़ा -- गीतर दोहोर घोषा
टेकना (स.क्रि.) अपने शरीर को अथवा किसी वस्तु को किसी दूसरी चीज के सहारे खड़ा करना या बैठाना, टिकाना -- ठेका दे, ढोका दे
टेढ़ा (वि.) जो बीच में इधर-उधर मुड़ा हो, वक्र -- बेँका
टेढ़ा (वि.) कुटिल, धूर्त -- कुटिल
टेढ़ा (वि.) मुश्किल, कठिन, उलझनपूर्ण -- कठिन, कष्टकर
टोकना (स.क्रि.) रोकना, बाधा डालना -- राख, बाधा दे
टोकरी (स्त्री.) बाँस की खमचियों या तीलियों अथवा बेंत, सरकंडे आदि का बना हुआ खुले तथा चौड़े मुँह वाला बड़ा आधान -- पाचि, खराहि
टोली (स्त्री.) छोटा समूह, मंडली या दल -- गोट, समूह, दल, जूम
टोह (स्त्री.) खोज, जाँच, तलाशी -- परीक्षा, अनुसंधान
टोह (स्त्री.) किसी अज्ञात बात का शोधः, पता लगाने की क्रिया अथवा उससे प्राप्त होने वाली जानकारी -- अनुसंधान
ठंडक (स्त्री.) शीत, सर्दी, जाड़ा -- चँचा, ठांडा
ठंडक (स्त्री.) जलन की कमी, चैन -- शांति
ठंडा (वि.) उष्णता या ताप से रहित -- चेँचा, ठाँडा, जुर
ठग (पुं.) वह जो धोखा देकर दूसरे का धन या सामान हड़प ले, कपटी, धूर्त -- ठगाँता, धूर्त
ठगना (स.क्रि.) धोखा देना, छलना -- ठगा
ठप्पा (पुं.) धातु, लकड़ी आदि की छाप या मुहर -- मोहर, छाप
ठप्पा (पुं.) ठप्पे का छापा या चिह्न -- मोहर, छाप
ठहरना (अ.क्रि.) रुकना -- र जोवा
ठहरना (अ.क्रि.) किसी स्थान पर थोड़े समय के लिए रहने के लिए रुकना -- जिरणि ल, बिरति ल
ठहाका (पुं.) जोर से हँसने का शब्द, कहकहा, अट्टहास -- अट्टहास्य, ढेकढेकनि
ठाट-बाट (पुं.) आडंबर, तड़क-भड़क, शान शौकत -- आड़ंबर, जाक-जमक
ठिकाना (पुं.) रहने या ठहरने का स्थान -- ठिकना, थका-ठाइ
ठीक (वि.क्रि.वि.) उपयुक्त -- उपयुक्त, ठीक, प्रकृत सँचा
ठीक (पु.) शुद्ध, सत्य -- सत्य, निस्चयता, सँचा, उपयुक्त
ठुकराना (स.क्रि.) पैर से ठोकर लगाना -- गोर-मारि दे, गोर मार
ठुकराना (स.क्रि.) उपेक्षा या तिरस्कारपूर्वक अस्वीकार करना -- उपेक्षा कर, अबहेला कर
ठूँठ (पुं.) वह पेड़ जिसकी डालें, पत्तियाँ आदि न रह गई हों, सूखा पेड़ -- गछर-मूढ़ा
ठूँसना (स.क्रि.) कोई चीज किसी में जबरदस्ती डालना या भरना -- हेंचि-हेँचि-भरा
ठेकेदार (पुं.) वह व्यक्ति, जो ठेके पर दूसरों के काम करता या करवाता है -- ठिकादार
ठोंकना (स.क्रि.) किसी चीज को धँसाने के लिए उसके सिरे पर जोर से आघात करना -- मरिया
ठोंकना (स.क्रि.) अच्छी तरह पीटना -- मरियाह मरियाइ, सुमा
ठोकर (स्त्री.) आघात, जो चलने में कंकड़, पत्थर आदि के धक्के से पैर में लगे -- उजुटि
ठोकर (स्त्री.) पदाघात -- गोर, पदाघात
ठोस (वि.) जिसकी रचना में अंदर कहीं खोखलापन न हो, भरपूर -- परिपूर्ण
ठोस (वि.) तथ्यपूर्ण, दृढ़, प्रामाणिक -- तथ्यपूर्ण, सारुवा, दृढ़, प्रामाणिक
डंक (पुं.) बिच्छू, मधुमक्खी आदि में पीछे का जहरीला काँटा -- शुं, जोलाहूल
डंडा (पुं.) लकड़ी का मोटा सीधा टुकड़ा -- टोकोन, लाखुटि, लाठी, लाठि
डकार (स्त्री.) भोजन करने के पश्चात् पेट में भरी वायु का कंठ से शब्द के साथ निकल पड़ने का शारीरिक व्यापार -- उगार
डकैती (स्त्री.) डाका, लूट-मार -- डकाइति, लुटमार
डग (पुं.) कदम -- खोज, कदम
डगमगाना (अ.क्रि.) लड़खड़ाना, डिगना, विचलित होना या करना -- थरक-बरक ह, विचलित कर
डरना (अ.क्रि.) भयभीत होना -- भयभीत ह
डरपोक (वि.) कायर, भीरु -- भयात्तुर, भीरु
डराना (स.क्रि.) किसी के मन में डर उत्पन्न करना, धमकाना -- धमकि दे, भय खुवा
डरावना (वि.) भयानक -- भयानक, भयंकर, भयाबह
डसना (स.क्रि.) जहरीले कीड़े का काटना -- खोट, कामोर
डाँट (स्त्री.) किसी को सचेत करने के लिए कड़ी बात करना -- धमकि दे, भय खुवा
डाँवाडोल (वि.) जो सहसा किसी आघात से हिलने-डुलने लगे -- थरक-बरक
डाँवाडोल (वि.) अनिश्चित (व्यक्ति अथवा स्थिति) -- अनिश्चित, अस्थिर
डाक (स्त्री.) पत्रों, बंडलों आदि को एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुँचाने की सरकारी व्यवस्था -- डाक, पस्ट
डाक (स्त्री.) उक्त व्यवस्था द्वारा एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुँचाया जाने वाला पत्र या सामग्री -- डाक, पस्ट
डाकघर (पुं.) डाकखाना -- डाकघर
डाका (पुं.) डकैती, लूट-मार -- डकाइति
डाकू (पुं.) डाका डालने वाला -- डकाइत, डाकु
डांल (स्त्री.) पेड़-पौधे आदि की टहनी या शाखा -- डाल, डाली
डालना (स.क्रि.) किसी आधार या पात्र में कोई चीज कुछ ऊँचाई से गिराना, छोड़ना या रखना -- बाक, बोवाइ दे
डाह (स्त्री.) ईर्ष्या, जलन, कुढ़न -- ईर्षा, दाह
डिबिया (स्त्री.) किसी वस्तु को रखने का ढक्कनदार बहुत छोटा आधान, बहुत छोटा डिब्बा -- टेमा, टेमि
डिब्बा (पुं.) सामान रखने का बड़ा ढक्कनदार आधान, जो धातु, लकड़ी आदि का बना होता है -- डबा
डिब्बा (पुं.) यात्रियों एवं माल आदि के लिए रेलगाड़ी का कक्ष -- डबा
डींग (स्त्री.) अपने बल, योग्यता या साहस के बारे में बढ़ा-चढ़ा कर बात करना, शेखी -- डांकोप
डुबाना (स.क्रि.) ऐसा काम करना, जिससे कोई चीज डूब जाए -- बुरा, जोबोरा, पानीर तललै सर
डेढ़ (वि.) मान, मात्रा, संख्या आदि की किसी एक इकाई और उसकी आधी इकाई के योग का सूचक विशेषण -- डेर
डेरा (पुं.) पैदल यात्रा आदि के समय अस्थायी रुप से बीच में ठहरने का स्थान, पड़ाव -- बाहर-विश्रामस्थल
डोंगी (स्त्री.) एक प्रकार की छोटी खुली नाव -- सरु-नाओ
डोर (स्त्री.) सूत आदि का बटा हुआ पतला मजबूत धागा -- रछि, जरि
डोर (स्त्री.) पतंग आदि उड़ाने के लिए वह धागा जिस पर मांझा लगा होता है -- रछि
डोल (पुं.) कुएँ से पानी खींचने का बरतन -- कुँवार पानी तोला पात्र, बाल्टि
डोली (स्त्री.) पालकी की तरह की एक प्रसिद्ध सवारी, जिसे दो कहार कंधे पर उठाकर चलते हैं -- डोला, डोली
डोली (स्त्री.) विवाह के समय मायके से विदा होते हुए वधू पहले पहल ससुराल जाती है -- NA
ड्योढ़ी (स्त्री.) किसी भवन या मकान के मुख्य प्रवेश द्वार के आस-पास की भूमि या स्थान -- घरर आग दुवार-मुखर, आश-पाशर ठाइ
ड्योढ़ी (स्त्री.) घर के मुख्य द्वार के अंदर का वह भाग, जिसमें से होकर घर के कमरों, आँगन आदि में जाया जाता है -- घरर आगर मुकलि बारांडा
ढंग (पुं.) कोई काम करने की रीति -- कामर नीति-नियम
ढकना (स.क्रि.) किसी पर आवरण डालना ताकि वह दिखाई न पड़े -- ढाका, लुकुओग
ढकना (पुं.) वह चीज या रचना, जिससे कोई चीज ढकी रहती है, ढक्कन -- ढाकोन, ढाकनि, साँफर
ढकेलना (स.क्रि.) धक्का देकर आगे बढ़ना -- खुंदा मारि आगलै करि दे
ढकोसला (पुं.) स्वार्थ-सिद्धि के लिए अपनाया हुआ झूठा रूप, दिखावा -- फाँकि, भाओ
ढक्कन (पुं.) ढाँकने की वस्तु -- ढाकोन, ढाकनी
ढलाई (स्त्री.) ढालने की क्रिया या भाव -- ढला कार्य बा भाव
ढलाई (स्त्री.) पिघली हुई धातु को साँचे में ढालकर बरतन, मूर्तियाँ आदि बनाने की क्रिया भाव और मजदूरी -- गलित धातु साँचत ढला कार्य वा भाव, आरु मजूरी
ढलान (स्त्री.) कोई ऐसा भूखंड, जो चपटा और समतल न हो, बल्कि तिरछा हो जिसमें नीचे की ओरj ढाल हो -- एढलीया ठाइ
ढाँचा (पुं.) कोई वस्तु या रचना बनाते समय उसके विभिन्न मुख्य अंगों को जोड़ या बाँध कर खड़ा किया हुआ आरंभिक रूप -- जकाँ
ढाँचा (पुं.) ठठरी या पंजर -- फ्रोम, साज
ढाई (वि.) दो और आधा का मान -- आढ़ै
ढाढ़स (पुं.) तसल्ली, सांत्वना, धीरज -- धैर्य, सांत्वना, भरसा
ढाबा (पुं.) वह स्थान, जहाँ रोटी, दाल आदि बिकते हैं, एक प्रकार का कच्चा और अस्थायी भोजनालय -- रुटि आदि बनोबा दोकान, चाह-दोकान, ढाबा
ढाल (स्त्री.) चमड़े धातु आदि का बना हुआ वह गोलाकार उपकरण जिसे युद्ध क्षेत्र में सैनिक लोग तलवार, भाले आदि का वार रोकने के लिए अपने बाएँ हाथ में रखते थे -- ढाल, एफाललै तल लै पेला, फाल
ढाल (स्त्री.) किसी भूखंड का ऐसा तल, जो क्षितिज के समतल न हो, बल्कि तिरछा या नीचे की ओर झुका हो, ढलान -- अवबाहिका, एढलीया-ठाइ
ढिंढोरा (ढँढोरा) (पुं.) वह डुग्गी या ढोल, जिसे बजा कर किसी बात की सार्वजनिक घोषणा की जाती है -- ढोल
ढिंढोरा (ढँढोरा) (पुं.) उक्त प्रकार से की हुई घोषणा -- ढोल-कोबाई-शुनोवा-बातरि
ढीठ (वि.) जो जल्दी किसी से डरता न हो और जो भय या संकट के समय भी अपने हठ पर अड़ा रहता हो, धृष्ट -- धृष्ट
ढीठ (वि.) जो प्रायः ऐसे अवसरों पर भी संकोच न करता हो, जहाँ बड़ों की मान मर्यादा का ध्यान रखना आवश्यक हो -- गर्बी, अभिमानी
ढीला (वि.) शिथिल -- ढिला, शिथिल
ढीला (वि.) जिसमें उचित कसाव खिंचाव या तनाव का अभाव हो -- ढिला, उजू, सहज
ढीला (वि.) जो नाप में आवश्यकता से अधिक गहरा, लंबा या चौड़ा हो -- ढिला, शिथिल
ढुलाई (स्त्री.) ढोने की क्रिया, भाव या मजदूरी -- ढोवा कार्य वा भाव बा मजूरी
ढूँढ़ना (स.क्रि.) कोई छिपी या इधर-उधर पड़ी हुई वस्तु या आँख से ओझल व्यक्ति का पता लगाना, खोजना -- बिचार, बिचरा, खुजा
ढेर (पुं.) एक स्थान पर विशेषतः एक दूसरे पर रखी हुई बहुत सी वस्तुओं का ऊँचा समूह -- दम, बेचि
ढेला (पुं.) मिट्टी या पत्थर का कड़ा टुकड़ा -- दलि चपरा
ढोंगी (वि.) झूठा आडंबर खड़ा करने वाला धोखेबाज, पाखंडी -- कपटी, प्रतारक, शठ
ढोना (स.क्रि.) पीठ या सिर पर रखकर कोई भारी चीज एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाना -- बैनि बोवा
तंग (वि.) संकरा, संकीर्ण -- संकीर्ण, ठेक
तंग (वि.) आवश्यकता से अधिक कसा हुआ और कुछ छोटा, चुस्त -- अधिक टानि बंधा
तंग (वि.) परेशान, हैरान,, कमी -- आमनिकर
तंतु (पुं.) ऊन, रेशम, सूत आदि का बटा हुआ डोरा, तागा -- तंतु, सूता, ताँत
तंदूर (पुं.) एक तरह का चूल्हा, जिसकी ऊंची गोलाकार दीवार के भीतरी भाग में रोटियाँ चिपका कर बनाई जाती है -- रुटि सेका एबिध विशेष चौका
तंद्रा (स्त्री.) हलकी नींद, ऊँघ -- तंद्रा, चिलमिल-टोपनि
तंबाकू (पुं.) एक प्रसिद्ध पौधा और उसके पत्ते जो नशे के लिए अनेक रूपों में काम में लाए जाते हैं -- धँपात
तंबू (पुं.) शामियाना, खोमा -- तंबु
तंबोली (तमोली) (पुं.) पान लगाकर बेचने अथवा पान का व्यवसाय करने वाला -- तामोल-पाणर-दोकानी
तकनीक (स्त्री.) शिल्प, पद्धति -- पद्धति, प्रणाली
तकला (पुं.) सूत कातने और लपेटने के काम आने वाली चरखे से लगी लोहे की सलाई टेकुआ -- टाकुरि
तकलीफ़ (स्त्री.) कष्ट, दुख, पीड़ा -- कष्ट, दुख, बेयालगा
तकलीफ़ (स्त्री.) विपत्ति, संकट -- बिपद, संकट
तख्त (पुं.) राजसिंहासन -- राज-सिंहासन
तख्त (पुं.) लकड़ी की बनी बड़ी चौकी -- तक्ता-पोछ, पाट
तख्ता (पुं.) लकड़ी या आयताकार बड़ा तथा समतल टुकड़ा -- तक्ता
तट (पुं.) कूल, किनारा तीर -- पार, किनार
तटस्थ (वि.) विरोध, विवाद आदि के प्रसंगों में दोनों दलों से अलग और निर्लिप्त रहने वाला, निरपेक्ष -- निरपेक्ष, तीरवर्त्ती, उदासीन
तड़पना (अ.क्रि.) अत्यंत दुखी होना, छटपटाना, तिलमिलाना -- दुखित ह छटपटनि-उठ, अस्थिर ह
तड़पना (अ.क्रि.) किसी वस्तु के लिए बेचैन होना -- आशा पालि र
तत्परता (स्त्री.) उद्यत होने की अवस्था, गुण या भाव, सन्नद्धता -- तत्परता, शीघ्रता
तत्परता (स्त्री.) मनोयोगपूर्वक काम करने का भाव, तल्लीनता -- मनोयोगिता, मनयोग
तथा (अव्य.) दो चीज़ों, बातों आदि में योग या संगति स्थापित करने वाला एक योजक अव्यय, और -- आरु, तथा
तथा (अव्य.) किसी के अनुरूप या तथा अनुसार, वैसा ही -- सत्यता, तथ्य, यथार्थ, प्रकृत
तथ्य (पुं.) सत्यता यथार्थता -- सत्यता, तथ्य
तन (पुं.) शरीर, देह, जिस्म -- शरीर, देह
तनखाह (तनख़ाह) (स्त्री.) वेतन -- दरमहा
तना (पुं.) पेड़-पौधों का जमीन से ऊपर निकला हुआ वह मोटा भाग, जिसके ऊपरी सिरे पर डालियाँ निकली होती हैं, धड़ -- गा गछ
तन्मयता (स्त्री.) मग्न अथवा दत्तचित होने की अवस्था, गुण या भाव -- तन्मयता, मग्न, एकाग्रता
तपस्या (स्त्री.) मन की शुद्धि, मोक्ष की प्राप्ति, पाप के प्रायश्चित आदि के लिए स्वेच्छा से किया जाने वाला कठोर आचरण और नियम-पालन, तप -- तपस्या
तपस्या (स्त्री.) कष्ट-सहन -- तपस्या, कष्ट-सहन
तब (क्रि.वि.) उस समय -- तेतिया, सेइ समयत
तब (क्रि.वि.) बाद में -- पाछत
तब (क्रि.वि.) उस कारणः -- सेइ कारणे
तबीयत (स्त्री.) स्वास्थ्य की दृष्टि से किसी की शारीरिक या मानसिक स्थिति, मिजाज -- स्वास्थ्य, शारीरिक वा मानसिक स्थिति
तबीयत (स्त्री.) मन का रुझान, प्रवृत्ति -- प्रबृति, स्वभाव
तमगा (पुं.) पदक -- पदक
तमाचा (पुं.) थप्पड, झापड़, चाँटा -- थापर, घोचा, खकरा मुकुटि
तमाशा (पुं.) मनोरंजक दृश्य -- खेल, हास्यपूर्ण नाटक आदि मनोरजंक दृश्य
तमाशा (पुं.) अद्भुत बात -- आचरित कथा
तय करना (NA) फैसला या निर्णय अथवा निश्चित करना -- समाधान करा, पूर्ण करा, निर्धारण
तय करना (NA) (रास्ता आदि) पूरा या समाप्त करना -- शेष करा, संपूर्ण कर
तरंग (स्त्री.) पानी की लहर, हिलोर -- ढौ, तरंग
तरंग (स्त्री.) उमंग -- उत्साह
तरंग (स्त्री.) स्वरलहरी -- स्वर-लहरी, सुर तरंग
तरकीब (स्त्री.) उपाय, युक्ति -- उपाय, पथ
तरक्की (स्त्री.) प्रगति, बढ़ोतरी, उन्नति -- उन्नति
तरक्की (स्त्री.) पदवृद्धि, पदोन्नति -- पदोन्नति, प्रगति
तरह (स्त्री.) ढंग, प्रकार, तरीका, किस्म -- प्रकार, धरन, बिधि
तरीका (पुं.) रीति, ढंग -- रीति, प्रणाली, अचार पद्धति
तरीका (पुं.) उपाय, युक्ति -- उपाय, युक्ति, परामर्श
तरुण (वि.) जवान -- तरुण, डेका, युवा कमबयसीया
तर्क (पुं.) युक्ति, दलील -- युक्ति तर्क, उपाय, परामर्श
तल (पुं.) निचला भाग, पेंदा, तला -- तलि, अधोभाग, तला
तल (पुं.) ऊपरी सतह -- ओपर फाल
तलवा (पुं.) पैर के नीचे का भाग,पदतल -- भरिर तलुवा
तलवार (स्त्री.) लोहे का एक लंबा धारदार हथियार, खङ्ग -- तरोवाल, हेंदान
तला (पुं.) पेंदा -- तलि, तला अधो भाग
तला (पुं.) जूते के नीचे का चमड़ा -- जोतार-तला भागर चामरा
तलाक (पुं.) वैधानिक रीति से विवाह संबंध का विच्छेद -- बिबाह-बिच्छेद
तसल्ली (स्त्री.) ढ़ाढ़स, दिलासा, सांत्वना -- सांत्वना, भरसा
तसल्ली (स्त्री.) संतोष -- संतोष
तसवीर (स्त्री.) चित्र -- चित्र, छबि
तस्कर (पुं.) देय शुल्क चुकाए बिना अवैधानिक रूप से एक देश का माल दूसरे देश में पहुँचने वाला -- चोरां-ब्यवसायी, असाधु-ब्यवसायी
तह (स्त्री.) परत -- तरप, स्तर
ताकना (स.क्रि.) देखना -- चा दृष्टिकर, विबेचनाकर
तागा (पुं.) डोरा -- सूता
ताज (पुं.) राजमुकुट -- मुकुट, राजमुकुट
ताजा (वि.) जो अधिक दिनों का या बासी न हो -- नतुन, गरम, ताजा
ताजा (वि.) प्रफुल्लित और स्वस्थ -- ताज़ा उत्फुल्ल
ताड़ी (स्त्री.) ताड़ के वृक्ष से निकला हुआ सफेद मादक रस -- खाजुर गछर रस, ढेंगरमद ताड़ी
ताना-बाना (पुं.) बुनाई के समय क्रमशः लंबाई तथा चौड़ाई के बल फैलाए या बुने जाने वाले सूत -- दीघ-पथालि
ताप (पुं.) उष्णता, गरमी -- ताप, उष्णता, ताप-ज्वर, मनर दुःख
ताप (पुं.) ज्वर, बुखार -- ज्वर, जर, उत्ताप
ताप (पुं.) उष्मा -- उष्मा
तापमान (पुं.) थर्मामीटर आदि द्ववारा मापी गई ताप की मात्रा -- तापमान, उष्णता-निरुपन करा
ताम्रपत्र (पुं.) ताँबे की पत्तर -- तामर पात
ताम्रपत्र (पुं.) ताँबे का वह पत्तर, जिस पर महत्वपूर्ण बात स्थाई रूप से लिखी गई हो -- ताम्रपत्र, तामर-पात, तामर-फलक
तार (पुं.) धातु का तागा-रूप -- ताँर, तंत्री, धातुर-जरी
तार (पुं.) तार द्वारा समाचार या वह कागज जिस पर उक्त समाचार पहुँचाया जाता है -- टेलिग्राम तार
तारकोल (पुं.) अलकतरा, काले रंग का एक गाढ़ा द्रव, जो लक़ड़ी आदि रँगने के काम आता है -- आलकातरा
तारतम्य (पुं.) क्रम, क्रमबद्धता -- तारतम्य, क्रमबद्धता
तारा (पुं.) नक्षत्र, सितारा -- तरा, नक्षत्र
तारा (पुं.) आँख की पुतली -- चकुर-मणि
तारीख (स्त्री.) दिनांक, तिथि -- तारिख, तिथि
तालमेल (पुं.) समन्वय, संगति -- समन्वय, मिल
ताला (पुं.) दरवाजा, संदूक आदि बंद करने का उपकरण -- तला बेंधकरा यतन
तालाबंदि (स्त्री.) कारखाने आदि का उसके मालिक द्ववारा अनिश्चित काल के लिए बंद किया जाना -- तलाबंध
तालाब (पुं.) पोखर, सरोवर -- पुखुरी, सरोबर
तालिका (स्त्री.) सूची -- सूची, तालिका
तावीज (पुं.) चाँदी, सोने आदि का वह छोटा संपुट, जो रक्षा कवच के रूप में गले या बाँह पर पहना जाता है -- ताबिज
ताश (पुं.) गत्ते या दफ्ती के 52 पत्ते, जिसमें विभिन्न खेल खेले जाते हैं -- ताच
तिजोरी (स्त्री.) लोहे की वह मजबूत छोटी अलमारी या पेटी, जिसमें कीमती वस्तुएँ रखी जाती हैं -- लोहार बाकच बा आलमारि, संदुक
तिथि (स्त्री.) चंद्रमास के किसी पक्ष का कोई दिन अथवा उसे सूचित करने वाली कोई संख्या -- तिथि
तिनका (पुं.) तृण, घासफूस -- तृण, घाँह, वन
तिपाई (स्त्री.) बैठने या सामान रखने की तीन पायों वाली ऊँची चौकी -- जाति, त्रिपादी
तिमाही (वि.) हर तीसरे महीने का, त्रैमासिक -- त्रैमासिक, तिनिमहीया
तिरंगा (वि.) तीन रंगों वाला -- तिरंगा, तिनिरङर
तिरपाल (पुं.) राल या रोगन चढ़ाया हुआ एक प्रकार का मोटा कपड़ा -- तिरपल, त्रिपल
तिलक (पुं.) केसर, चंदन आदि से ललाट पर लगाई जाने वाली गोल बिंदी या लंबी रेखा, टीका -- फाँट
तिलमिलाना (अ.क्रि.) बेचैन या विकल होना -- बिचलित-ह
तिलमिलाना (अ.क्रि.) बौखलाना -- खंकर, ओफोंदा छाटिफुटि
तिलांजलि (स्त्री.) सदा के लिए किसी से संबंध विच्छेद -- तिलांजलि
तीक्ष्ण (वि.) तेज नोंक या धार वाला, तीखा, तेज -- तीक्ष्ण, चोका, धारथका
तीक्ष्ण (वि.) उग्र, कटु -- उग्र, कटु
तीखा (वि.) कटु, अप्रिय -- कटु
तीखा (वि.) चरपरे स्वाद वाला -- कटु, तिक्त
तीखा (वि.) तेज नोंक या धार वाला -- चोक थका, जोङाल
तीर (पुं.) नदी का किनारा, तट -- पार, तीर, तट
तीर (पुं.) बाण -- बाण, काँड़
तीर्थ (पुं.) धार्मिक दृष्टि से पवित्र स्थल, पुण्य क्षेत्र -- तीर्थ, पवित्र-स्थान, लीला-क्षेत्र
तीली (स्त्री.) माचिस की सलाई -- दियाशलाइर-मकाठि
तुकबंदी (स्त्री.) साधारण पद्य रचना -- पद्य-रचना
तुतलाना (अ.क्रि.) शब्दों का अस्पष्ट उच्चारण, हकलाना -- बेलबेला, अस्पष्ट उच्चारण
तुम (सर्व.) मध्यम, पुरुष सर्वनाम, जिसका प्रयोग बराबर के व्यक्ति के लिए किया जाता है -- तुमि, तइ
तुम्हारा (सर्व.) तुम का षष्टी विभक्ति लगने पर बनने वाला रूप -- तोमार
तुरंत (क्रि.वि.) शीघ्र, झटपट -- तुरंत, एतियाइ
तुरपना (स.क्रि.) सूई-धागे से टाँके लगाना या सीना -- चिला
तुला (स्त्री.) तराजू काँटा -- तुलाचलनी, पाला
तुलादान (पुं.) किसी व्यक्ति के शरीर के भाग के बराबर तोल कर दिया जाने वाला अन्न, द्रव्य आदि का दान -- तुलादान
तुषारपात (पुं.) बर्फ का गिरना, हिमपात -- तुषारपात
तू (सर्व.) एक सर्वनाम जिसका प्रयोग मध्यम पुरुष एकवचन में अपने से छोटे व्यक्ति के लिए किया जाता है -- तइ
तूफान (पुं.) समुद्र तल से उठने वाली आँधी, जिसके साथ बादल गरजते हैं और वर्षा होती है -- तुफान, धुमुहा
तूलिका (स्त्री.) चित्र अंकित करने की कूँची -- तुलिका, तूली, शिल्पकार लेखनी
तृण (पुं.) तिनका, घास -- तृण, घाँह
तृप्ति (स्त्री.) आवश्यकता अथवा इच्छा पूरी हो जाने पर मिलने वाली मानसिक शांति या आनंद -- तृप्ति, मानसिक शांति
तेज (पुं.) दीप्ति -- दीप्ति, प्रकाश
तेज (पुं.) प्रताप -- दीप्ति, प्रकाश
तेज (वि.) तीक्ष्ण, पैनी धार वाला -- चोका
तेज (वि.) प्रखर, प्रचंड -- प्रखर, प्रचण्ड
तेरा (सर्व.) तू का संबंध कारक रूप -- तँहतर आपुनार
तेल (पुं.) तिल के बीजों या विशिष्ट वनस्पतियों को पेर कर निकाला जाने वाला स्निग्ध तरल पदार्थ -- तेल
तेली (पुं.) तेल पेरने और बेचने का पेशा करने वाली एक जाति -- तेली, तेलीया
तैयार (वि.) कुछ करने के लिए उद्यत -- तत्पर, तैयार, प्रस्तुत साजू
तैयार (वि.) जो पक कर खाने योग्य बन गया हो -- योग्य, परिपक्व
तैयार (वि.) जो बन कर बिल्कुल ठीक और हर प्रकार से दुरुस्त हो गया हो -- साजु
तैरना (अ.क्रि.) किसी का हाथ पैर आदि चलाते हुए पानी में इस प्रकार आगे बढ़ना कि वह डूबे नहीं -- साँतोर
तैराक (पुं.) वह व्यक्ति जो अच्छी तरह तैरना जानता हो -- साँतोरआँता
तोड़ना (स.क्रि.) किसी वस्तु को खंडित या नष्ट करना -- भां, भङा
तोड़ना (स.क्रि.) किसी नियम, कानून आदि का उल्लंघन करना -- भंग कर
तोड़ना (स.क्रि.) फूल, फल आदि को डाली से पृथक् करना -- अमान्यकर, भग्न कर, ध्वंस
तोड़फोड़ (स्त्री.) क्षति पहुँचाने के उद्देश्य से किसी भवन या रचना को खंडित करना -- ध्वंस
तोरण (पुं.) शोभा यां सजावट के लिए बनाया जाने वाला अस्थायी स्वागत द्वार -- प्रबेश द्वार तोरण
त्याग (पुं.) किसी चीज पर अपना अधिकार या स्वत्व हटा लेने अथवा उसे छोड़ने की क्रिया -- त्याग
त्योहार (पुं.) प्रतिवर्ष निश्चित तिथि को मनाया जाने वाला कोई धार्मिक, सांस्कृतिक या जातीय पर्व -- पर्ब, उत्सब, परब
त्रस्त (वि.) भयभीत -- भयभीत, त्रस्त
त्रस्त (वि.) पीड़ित -- पिड़ित
त्रिशूल (पुं.) लोहे का तीन फालों वाला एक प्रसिद्ध अस्त्र, जो शिवाजी का प्रधान अस्त्र है -- त्रिशूल
थकना (अ.क्रि.) श्रम के कारण शिथिल होना, श्रांत होना -- भागर
थकना (अ.क्रि.) उत्साह न रह जाना, हार जाना -- निरुत्साह ह
थन (पुं.) गाय, बकरी आदि चौपायों का वह अंग, जिसमें दूध भरा रहता है, स्तन -- ओहार, गाखीरर, थान
थपथपाना (स.क्रि.) लाड़-प्यार से आवेश शांत करने के लिए या शाबाशी देने के लिए किसी की पीठ को स्नेह से सहलाना, थपथपाना -- पिठि चपरिया
थप्पड़ (पुं.) चाँटा, तमाचा -- घोचा, खकरा मुकुटि
थलचर (पुं.) पृथ्वी पर रहने वाले जीव -- थलचर, स्थलचर
थलसेना (स्त्री.) वायुसेना और नौसेना से भिन्न वह सेना, जिसका कार्य क्षेत्र मुख्यतः स्थल तक सीमित हो -- स्थलसेना
थाती (स्त्री.) धरोहर, अमानत -- आमानत
थाती (स्त्री.) जमापूँजी, संचित धन -- संचित धन
थान (पु.) एक निश्चित लंबाई का कपड़े का टुकड़ा -- थान
थाना (पुं.) पुलिस कार्यालय पुलिस चौकी -- थाना
थापी (स्त्री.) राज या मजदूर द्वारा छत पीटने के लिए प्रयोग में लाई जाने वाली लकड़ी की चौरस हत्थेदार पट्टी -- थापि
थिरकना (अ.क्रि.) नाचने में अंगों को हाव-भाव के साथ संचालित करना -- लयलास गतित अंग संचालित ह
थूकना (अ.क्रि.) मुँह से थूक बाहर निकाल फेंकना -- थुइ पेला, थुबा
थूथन (पुं.) कुछ विशिष्ट प्रकार के पशुओं का लंबोतरा और कुछ आगे की ओर निकला हुआ मुँह -- जंतुर नाकटि, येन गाहरिर
थैला (पुं.) झोला -- थैला, बस्ता
थोक (पुं.) एक ही तरह की बहुत सी चीजों का ढेर या राशि -- दम
थोका (पुं.) चीजें खरीदने बेचने का वह प्रकार, जिसमें बहुत सी चीजें एक साथ खरीदी बेची जाती हैं, खुदरा या फुटकर का विपर्याय -- मुठाइ करा, किना बेचा पाइकारी बेचा-किना
थोड़ा (वि.) अल्प मात्रा -- अलप, कम
थोड़ा (क्रि.वि.) अल्प मात्रा में, कुछ, जरा -- अलप, कै, सामान्य परिमाणर
दंगल (पुं.) पहलवानों की कुश्ती प्रतियोगिता -- कुस्ति-प्रतियोगिता
दंगा (पुं.) उपद्रव, फसाद -- उपद्रव
दंड (पुं.) सज़ा, जुर्माना -- जरिमना, दण्ड
दंड (पुं.) बाँस या लकड़ी का डंडा -- लाखुटि
दंडनीय (वि.) दंड दिए जाने योग्य -- दंडनीय
दंपत्ती (पुं.) पति-पत्नी -- दंपती
दंभ (पुं.) अहंकार -- दंभ, दर्प
दक्षिणा (स्त्री.) यज्ञ-पूजा आदि के अंत में ब्राह्मणों और पुरोहितों को दिया जाने वाला द्रव्य -- दक्षिणा
दत्तक (पुं.) गोद लिया हुआ -- तोलनीया पो
दत्तचित्त (वि.) जो किसी कार्य में मनोयोग से लगा हुआ हो, तल्लीन -- मनयोग-पूर्वक, मनयोगी
दफनाना (स.क्रि.) मुदें को जमीन में गाड़ना -- कबर दे
दबंग (वि.) जो किसी से दबता न हो, साहसी -- साहसी, प्रभावशाली
दबदबा (पुं.) रोब, आतंक -- आतंक
दबाना (स.क्रि.) भार या दाब के नीचे लाना -- हँचधर, हँचाबा, दबोवा
दबाना (स.क्रि.) किसी बात या मामले को आगे न बढ़ने देना -- बाधा दे
दबाना (स.क्रि.) दमन करना -- दमन कर
दबाव (पुं.) दबाने की क्रिया या भाव, दाब -- हँचा
दबोचना (स.क्रि.) झपट कर दबा लेना -- जँपियाइ पर
दम (पुं.) ताकत, जोर -- शक्ति, बल
दम (पुं.) हुक्के आदि का कश -- शोहा, श्वास, दम
दम (पुं.) साँस, श्वास, प्राण -- उशाह, प्राण, दम
दमक (स्त्री.) चमक, प्रभा -- चमक
दमकल (स्त्री.) आग बुझाने का यंत्र, जिससे कोई तरल पदार्थ हवा के दबाव से वेगपूर्वक फेंका जाता है -- अग्नि-निर्वाचित यंत्र
दयनीय (वि.) दया के योग्य -- दयनीय
दया (स्त्री.) रहम, अनुकंपा, तरस -- दया अनुकंपा
दयादृष्टि (स्त्री.) दया या करुणापूर्ण दृष्टि या भावना -- कृपा दृष्टि
दर (पुं.स्त्री.) द्वार, दरवाजा -- दुवार
दर (पुं.स्त्री.) भाव (रेट) -- भाव, दर
दरखास्त (दरख्वास्त) (स्त्री.) आवेदन, प्रार्थनापत्र, अर्जी -- आबेदन, दर्खास्त, प्रार्थनापत्र
दरबान (पुं.) फाटक/प्रवेश द्वार पर तैनात चौकीदार -- दारोवाल, दुवरी
दरवाज़ा (पुं.) द्वार, कपाट, किवाड़ -- दुवार
दरार (स्त्री.) रेखा की तरह का लंबा छिद्र -- रेखार-दरे दीघलीया फुटा
दरिद्र (वि.पुं.) निर्धन, कंगाल, गरीब -- दुखीया, दरिद्र, दीन, निर्धन
दरी (स्त्री.) मोटे सूत का एक बिछावन -- दरी
दर्जन (पुं.) बारह वस्तुओं की इकाई -- दर्जन
दर्जी (पुं.) कपड़े सीने का काम करने वाला -- दर्जी
दर्पण (पुं.) मुँह देखने का शीशा, आईना -- आइना, दापोण
दर्शक (पुं.) देखने वाला -- दर्शक
दल (पुं.) गुट, टोला, समूह -- दल, समूह
दल (पुं.) फूल की पंखड़ी -- पाहि
दलना (स.क्रि.) चक्की में डालकर दो या अधिक टुकड़े करना -- दल
दलाल (पुं.) सौदा आदि करवाने में मध्यस्थता करने वाला, बिचौलिया -- दालाल, मध्यस्तताकारी
दवा (स्त्री.) औषधि -- औषध
दवा (स्त्री.) इलाज, उपचार -- चिकित्सा
दशक (पुं.) दस वर्षों की अवधि -- दशक
दस्तकारी (स्त्री.) हाथ से किया गया कारीगरी का काम, हस्तशिल्प -- हस्तशिल्प
दहकना (अ.क्रि.) इस प्रकार जलना कि लपटें निकलने लगे, धधकना -- दपदपाइ जल
दहाड़ (स्त्री.) शेर की गरज -- सिंहनाद, गोजरणि, गर्जण
दहाड़ (स्त्री.) जोर की चिल्लाहट -- गोजरणि
दहाड़ना (अ.क्रि.) शेर का गरजना -- गोजर
दहाड़ना (अ.क्रि.) जोर सो चिल्लाना -- चिञर
दहेज (पुं.) विवाह के अवसर पर कन्या पक्ष की ओर से दिया जाने वाला धन और सामान -- यौतुक
दाई (स्त्री.) उपमाता, धाय -- तोलनीया आइ
दाई (स्त्री.) प्रसूति के समय मदद करने वाली स्त्री -- धाइ
दातुन (स्त्री.) नीम, बबूल आदि की नरम टहनी का टुकड़ा, जो दाँत साफ करने के काम आता है -- दातोन
दान (पुं.) देने की क्रिया -- दिया-कार्य
दान (पुं.) धर्म आदि की दृष्टि से किसी को कोई वस्तु देने की क्रिया, खैरात -- दान
दानव (पुं.) राक्षस, असुर -- दानव, राक्षस, असुर
दानवीर (पुं.) उदारतापूर्वक दान करने वाला -- दानबीर
दाना (पुं.) अन्न या फल का कण या बीज -- गुरि, टुकुरा
दाना (पुं.) माला आदि का मनका, मूंगा -- मणिका
दाना (पुं.) छोटी गोल फुंसी -- सरु फाँहा
दाना-पानी (पुं.) अन्न-जल, खाना-पीना, जीविका -- जीविका, दाना-पानी
दानेदार (वि.) जिसमें दाने या रवे हों -- गुटि थका
दाम (पुं.) कीमत, मूल्य -- मूल्य, दाम
दायाँ (वि.) दाहिना -- सों
दारोगा (दरोगा) (पुं.) निगरानी, देख-भाल करने वाला अधिकारी -- दारोगा
दारोगा (दरोगा) (पुं.) पुलिस का एक अधिकारी -- दारोगा (पुलिश)
दावत (स्त्री.) भोज -- भोज
दावत (स्त्री.) निमंत्रण -- निमंत्रण
दावा (पुं.) अधिकार, स्वत्व, हक -- अधिकार
दावा (पुं.) स्वत्व की रक्षा या अन्याय के प्रतिकार के लिए न्यायालय में दिया हुआ प्रार्थना-पत्र नालिश -- दाबा, मकर्दमा, नालिश
दावा (पुं.) किसी बात की यथार्थता के विषय में अत्यधिक आत्मविश्वास, गर्वोक्ति -- गार्बोक्ति, दंभ
दिखावटी (वि.) जो केवल दिखाने के लिए किया गया हो -- बाहिरे रमक-जमक
दिन (पुं.) वह समय, जिसका आरंभ सूर्योदय तथा अंत सूर्योस्त से होता है, दिवस -- दिन दिवस
दिन (पुं.) चौबीस घंटे की अवधि -- दिन
दिनकर (पुं.) सूर्य -- बेलि, सूर्य
दिमाग (पुं.) सिर के भीतर का गूदा -- मेधा, मस्तिष्क
दिमाग (पुं.) सोचने-समझने की शक्ति -- मस्तिष्क
दियासलाई (स्त्री.) एक सिरे पर गंधक आदि मसाला लगाकर बनाई हुई छोटी तीली, जो रगड़ने पर जल उठती है -- दियाचलाइ, जुइशला
दिल (पुं.) हृदय -- हृदय
दिलासा (पुं.) क्षुब्ध या दुखित हृदय को दिया जाने वाला आश्वासन, तसल्ली, ढाँढस -- सात्वना, आश्वासन, भरसा
दिवंगत (वि.) जो मर गया हो, परलोकवासी -- मृत, स्वर्गगत
दिवाला (पुं.) धनहीनता की वह स्थिति, जिसमें कोई व्यक्ति अथवा संस्था अपना ऋण न चुका सके, सर्वथा अभाव की स्थिति -- देवलीया
दिवालिया (वि.) जिसका दिवाला निकल गया हो, जो सर्वथा अभाव की स्थिति में हो -- देवलीया
दिशा (स्त्री.) क्षितिज मंडल के चार मार्गों पूर्व, पश्चिम, दक्षिण, उत्तर में से एक -- दिश
दिशा (स्त्री.) ओर, तरफ -- फाले
दीक्षा (स्त्री.) किसी मंत्र की वह शिक्षा, जो आचार्य या गुरु से विधिपूर्वक शिष्य बनने अथवा किसी संप्रदाय में सम्मिलित होने के समय ली जाती है, गुरुमंत्र -- दीक्षा
दीपक (पुं.) दीया, चिराग -- चाकि
दीया (दिया) (पुं.) दीपक, चिराग -- चाकि
दीर्घा (स्त्री.) आने जाने के लिए कोई लंबा और ऊपर से छाया हुआ मार्ग -- दीर्घा
दीवार (स्त्री.) मिट्टी, ईंटों, पत्थरों आदि की प्रायः लंबी, सीधी और ऊँची रचना, जो कोई स्थान घेरने के लिए खड़ी की जाती है, भीत -- बेर
दुख (पुं.) कष्ट, क्लेश, तकलीफ -- दुखीया, दरिद्र, दीन, निर्धन
दुकान (दूकान) (स्त्री.) सौदा खरीदने और बेचने की जगह -- दोकान
दुकानदार (दूकानदार) (पुं.) दुकान का स्वामी, दुकानवाला -- दोकानी
दुतकारना (स.क्रि.) उपेक्षा या तिरस्कारपूर्वक हटाना, तिरस्कृत करना -- तिरस्कार कर
दुबला (वि.) दुर्बल, कमजोर, पतले बदन वाला -- दुर्बल, अक्षम, असमर्थ
दुभाषिया (पु.) वह मध्यस्थ व्यक्ति, जो अलग भाषाओं के बोलने वाले दो व्यक्तियों की वार्ता के समय एक को दूसरे का अभिप्राय समझाए -- दोभाषी, द्विभासी
दुरुपयोग (पुं.) किसी चीज़ या बात का अनुचित उपयोग -- दुरुपयोग
दुर्गंध (स्त्री.) बुरी गंध, बदबू -- दुर्गंध
दुर्ग (पुं.) किला, गढ़, कोट -- दुर्ग, किल्ला
दुर्घटना (स्त्री.) अचानक होने वाली दुखद घटना -- दुर्घटना
दुर्दशा (स्त्री.) बुरी हालत, दुर्गति -- दुर्दशा, दुर्गति, दुर्विपाक
दुर्भिक्ष (पुं.) अकाल -- दुर्भिक्ष, बिपत्ति
दुर्लभ (वि.) जो कठिनाई से अथवा कम मात्रा में प्राप्त होता हो, -- दुर्लभ, दुष्प्राप्य
दुलहन (दुलहिन) (स्त्री.) नई बहू, नव विवाहिता -- न बोवारी
दुलार (पुं.) लाड्-प्यार -- मरम-स्नेह
दुविधा (स्त्री.) ऐसी मनःस्थिति जिसमें दो या कई बातों में से किसी एक बात का निश्चय न हो रहा हो -- दोधोर मोधोर अवस्था
दुश्मन (पुं.) शत्रु, बैरी -- शत्रु, वैरी
दुष्ट (वि.) दूषित मनोवृत्ति वाला, दूसरों को परेशान करने वाला -- दुष्ट
दुहना (स.क्रि.) मादा जीवों के स्तनों से दूध निकालना/प्राप्त करना -- खीरोवा
दूत (पुं.) पत्र या संदेशवाहक, हरकारा -- दूत
दूत (पुं.) किसी राजा या राष्ट्र का वह प्रतिनिधि, जो राजनीतिक कार्य से अन्य राष्ट्र में भेजा गया हो या स्थायी रूप से वहाँ रहता हो -- राष्ट्रदूत
दूतावास (पुं.) राजदूत के रहने का स्थान और उसका कार्यालय -- दूतावास
दूभर (वि.) कठिन, मुश्किल -- कठिन, असह्य
दूर (क्रि.वि.) देश-काल, स्थान आदि की दृष्टि से अधिक अंतर पर, फासले पर अलग, पृथक -- दूर, पृथक
दूरदर्शन (पुं.) टेलीविजन -- दूरदर्शन
दूरबीन (स्त्री.) एक यंत्र, जिसके द्वारा दूर की वस्तुएँ समीपस्थ दिखाई देती हैं -- दूरबीन, दुर्वीण
दूरभाष (पुं.) एक यंत्र, जिसकी सहायता से दूर बैठे लोग आपस में बातचीत करते हैं, टेलीफोन -- टेलिफोन, दूरभाष
दुल्हा (पुं.) वह व्यक्ति, जिसका विवाह होने को हो या कुछ ही दिनों पहले हुआ हो, वर, नवविवाहित -- दरा, बर
दूसरा (वि.) जो गणना में दो के स्थान पर हो, पहले के बाद का -- द्वितीय
दूसरा (वि.) प्रस्तुत से भिन्न, अन्य -- आन, अन्य
दृढ़ (वि.) अविचलित -- अबिचलित, दृढ़
दृढ़ (वि.) कड़ा, मजबूत -- कठिन, दृढ़
दृढ़ (वि.) जिसमें कोई हेर-फेर न हो सके, पक्का, निश्चित -- निश्चित
दृश्य (पुं.) जो देखने में आ सके या दिखाई दे सके, जिसे देख सकते हों -- दृश्य
दृश्य (पुं.) नजारा -- दृश्य, दिठर
देखना (स.क्रि.) नेत्रों द्वारा किसी के होने का ज्ञान प्राप्त करना -- देख
देखना (स.क्रि.) निगरानी करना या रखना -- चकु राखा
देख-रेख (स्त्री.) निगरानी -- तदारक, परिदर्शन
देनदार (वि.) कर्जदार, ऋणी -- ऋणी, धारे लओता
देना (स.क्रि.) प्रदान करना -- दे, देवा
देर (स्त्री.) विलंब -- पलम, देरि
देवता (पुं.) दिव्य शक्ति संपन्न सत्ता -- दिव्य शक्ति
देवता (पुं.) देव प्रतिमा -- देव-प्रतिमा
देवी (स्त्री.) दिव्य गुण वाली शक्ति जैसी दुर्गा, लक्ष्मी, सरस्वती, पार्वती आदि -- देवी
देवी (स्त्री.) स्त्रियों के लिए एक आदरसूचक संबोधन -- देव पत्नी
देश (पुं.) राजनैतिक दृष्टि से एक विशिष्ट भू-भाग -- देश, राज्य, प्रदैश
देश (पुं.) कोई विशिष्ट भू-भाग या खंड -- देश, राष्ट्र
देशद्रोही (पुं.) षड्यंत्र रचकर अपने देश को हानि पहुँचाने वाला, देश से विश्वासघात करने वाला -- देशद्रोही
देशवासी (पु.) देश में रहने-बसने वाला -- देशवासी
देहांत (पुं.) मृत्यु, मौत -- मृत्यु, मरण
देहात (पुं.) गाँव, ग्राम -- गाँओ
दैनंदिनी (स्त्री.) डायरी, रोजनामचा -- डायेरी, दिनपंजी
दैनिकी (स्त्री.) जेब में रखी जाने वाली वह छोटी पुस्तिका, जिसमें रोज के किए जाने वाले कामों का उल्लेख होता है, दैनंदिनी, डायरी -- सरुदैनिकी, डायरी
दोपहर (पुं.) दिन के बारह बजे और उसके आस-पास का समय, मध्याह्न -- दुपरीया
दोहराना (स.क्रि.) कोई काम या बात फिर से उसी प्रकार करना या कहना, पुनरावृत्ति -- पुनराइ कर, पुनरावृत्ति कर
दोहराना (स.क्रि.) किए हुए काम को फिर से आदि से अंत तक इस दृष्टि से देखना कि उसमें कहीं कोई भूल तो नहीं रह गई, पुनरीक्षण -- पुनराइ कर, संशोधन कर
दौड़-धूप (स्त्री.) वह प्रयत्न जिसमें अनेक स्थानों पर इधर-उधर बार-बार आना-जाना पड़े -- कोनो कामत करा लरा ढपरा
दौड़ना (अ.क्रि.) इतनी तेजी से चलना कि पाँव पृथ्वी पर पूरा न पड़े, भागना -- लर, दौर
दौलत (स्त्री.) अधिकृत धन, संपत्ति -- धन-संपत्ति
द्योतक (वि.) किसी चीज को प्रकट करने वाला, परिचायक -- द्योतक, प्रकाश कराँता
द्रोही (वि.) किसी के विरुद्ध षड्यंत्र रचने वाला, विश्वासघाती -- बिश्वासघातक
द्वंद्व (पुं.) जोड़ा युगल -- युगल, जोर, हाल
द्वंद्व (पुं.) दो व्यक्तियों का परस्पर युद्ध -- द्वंद्व-युद्ध
द्वार (पुं.) दरवाजा -- दुवार
द्वीप (पुं.) चारों ओर समुद्र से घिरा हुआ भू-भाग, टापू -- द्वीप
द्वेष (पुं.) चित्त का वह भाव, जो अप्रिय वस्तु या व्यक्ति का नाश करने की प्रेरणा देता है, शत्रुता, वैर -- द्वेष, शत्रुता
धंधा (पुं.) वह उद्योग या कार्य, जो जीविका निर्वाह के लिए किया जाए -- आजीविका, जीविका
धकेलना (स.क्रि.) धक्का देना, ढकेलना -- गता मार
धड़ (पुं.) शरीर का वह बीच वाला भाग, जिसमें छाती, पीठ और पेट हैं -- गा अंश
धड़ (पुं.) तना -- गुरि (गछर)
धड़कन (स्त्री.) हृदय का स्पष्ट स्पंदन -- हृदयर कंपन, हृदयर गति
धधकना (अ.क्रि.) आग का दहकना, भड़कना -- दपदपाइ जला
धन (पुं.) संपत्ति, दौलत -- संपति
धन (पुं.) पूँजी -- पुँजि
धनवान (वि.) जिसके पास बहुत धन हो, धनी, दौलतमंद -- धनबान, धनी
धनाढ्य (वि.) बहुत बड़ा धनी -- धनी, संपतिशाली
धनुष (पुं.) कमान -- धनु
धन्यवाद (पुं.) किसी उपकार या अनुग्रह के बदले में कहा जाने वाला कृतज्ञतासूचक शब्द शुक्रिया -- धन्यबाद
धरती (स्त्री.) पृथ्वी, जमीन, भूमि -- पृथिबी, धरित्री
धरना (स.क्रि.) किसी स्थान पर किसी चीज को रखना -- थ, राख
धरना (पुं.) कोई काम कराने के लिए अड़कर बैठ जाना और जब तक काम न हो जाए, वहाँ से न हटना -- धरना
धर्म (पुं.) किसी वस्तु या व्यक्ति की वह नित्यवृत्ति, गुण या लक्षण, जो उससे कभी अलग न हो, सहजगुण -- कर्तब्य
धर्म (पुं.) मजहब -- धर्म
धर्मशाला (स्त्री.) परोपकार की दृष्टि से बनाया गया वह भवन, जिसमें यात्री बिना कोई शुल्क दिए कुछ समय तक रह सकते हैं -- धर्मशाला
धर्मात्मा (वि.पुं.) धार्मिक आचरण करने वाला -- धार्मिक ब्यक्ति, साधु
धर्मात्मा (वि.पुं.) साधु-संत -- साधु-संत
धवल (वि.) उजला, सफेद -- बगा
धवल (वि.) निर्मल -- निर्मल, मलहीन, परिष्कार
धाँधली (स्त्री.) अव्यवस्था, दुर्व्यवस्था, गड़बड़ -- अब्यबस्था, विश्रृंखला
धाँधली (स्त्री.) निरंकुशता, स्वेच्छाचारिता -- स्वेच्छा-चरिता
धागा (पुं.) बटा हुआ महीन सूत जो प्रायः सीने-पिरोने के काम आता है, डोरा -- जरि, सूता
धातु (स्त्री.) कुछ विशिष्ट प्रकार के खनिज पदार्थ -- धातु
धातु (स्त्री.) (संस्कृत व्याकरण में) क्रिया का मूल रूप -- धातु
धार (स्त्री.) पानी आदि के गिरने या बहने की धारा, प्रवाह -- सोँत, धार
धार (स्त्री.) किसी हथियार का वह तेज सिरा या किनारा, जिससे कोई चीज काटते हैं। -- धार
धारणा (स्त्री.) व्यक्तिगत विचार या विश्वास -- मत, धारणा, बिश्वास
धारणा (स्त्री.) किसी नियम, नियमावली, विधान आदि का वह स्वतंत्र अंश, जिसमें किसी एक विषय से संबंध रखने वाली सब बातों का एक अनुच्छेद में उल्लेख होता है, दफा -- धारा, दफा
धारणा (स्त्री.) निरंतर चलने वाला क्रम -- धारा, क्रम, प्रबाह
धारावाहिक (वि.) अविछिन्न क्रम या गतिवाला -- धाराबाही, अटूट
धारावाहिक (वि.) जो क्रमशः खंडों के रूप में बराबर कई अंशों अथवा अंकों में प्रकाशित होता रहे -- धाराबाहिक
धिक्कार (पुं.) भर्त्सना, लानत -- धिक्कार, भर्त्सना
धीमा (पुं.) कम वेगवाला, मंद -- कम गतिशील, मंद, धीर गति, धीर
धीर (वि.) जो शांत स्वभाव वाला हो, अविचल -- धीरस्थिर
धीर (वि.) दृढ़, अटल, दृढ़-प्रतिज्ञ -- दृढ़, अटल
धीरे (क्रि.वि.) धीमी या मंद गति से, आहिस्ता -- धीरे, लाहे-लाहे
धीरे (क्रि.वि.) नीचे या हल्के स्वर में -- लाहे लाहे
धुँधला (वि.) धुंध से भरा हुआ -- धूलिमय
धुँधला (वि.) धुएँ की तरह का कुछ-कुछ काला -- धाँवा काँवा
धुँधला (वि.) मंद, फीका -- शँता, निस्तेज
धुआँ (पुं.) जलती हुई चीजों से निकलने वाला वायवीय पदार्थ, जो कुछ कालापन लिए होता है -- धोँवा
धुन (स्त्री.) मन की लगन, तरंग -- इच्छा, आकांक्षा
धुन (स्त्री.) सनक, झक -- प्रबृत्ति
धुन (स्त्री.) गाने या बजाने का विशिष्ट ढंग -- सुर
धुनना (स.क्रि.) धुनकी से रूई साफ करना, ताकि उससे बिनौले अलग हो जाएँ -- मार पीट कर
धुनना (स.क्रि.) खूब मारना-पीटना -- मार पीट कर
धुरंधर (वि.) किसी विषय में बहुत बढ़ा-चढ़ा, प्रवीण -- प्रवीण
धुरी (स्त्री.) लकड़ी या लोहे की वह छड़ या डंडा, जो पहियों के केंद्र में रहता है और जिसके सहारे पहिया घूमता है, अक्ष -- धुरा
धुरी (स्त्री.) मूल आधार -- मूल, भेटि
धूम-धाम (स्त्री.) उल्लास से युक्त आयोजन, जिसमें खूब चहल-पहल और ठाठ-बाट हो -- लरा-ढपर, जाक-जमक, उलह-मालह
धूम्र-पान (पुं.) तंबाकू, बीड़ी, सिगरेट आदि पीना -- धूम्रपान
धृष्टता (स्त्री.) ढिठाई, दुस्साहस -- धृष्टता
धैर्य (पुं.) धीरज, सब्र -- धैर्य, सहिष्णुता
धोखा (पुं.) छल, कपट -- छल, कपट
धोखा (पुं.) भ्रम, भ्रांति -- भ्रांति, भ्रम
धोना (स.क्रि.) जल या किसी तरल पदार्थ के प्रयोग से गंदगी को साफ करना -- धो, धोव
धोना (स.क्रि.) दूर करना, मिटाना -- दूर कर, नोडोवा कर
धौंकना (स.क्रि.) आग दहकाने के लिए पंखे आदि की सहायता से जोर की हवा करना -- विचि दि जुइ जला
ध्यान (पुं.) चित्त या मन को पूरी तरह एकाग्र और स्थिर करने की क्रिया या भाव -- ध्यान निमग्न, एकाग्रचित्त
ध्यान (पुं.) सोच-विचार, मनन -- मनन, चिंतन
ध्येय (पुं.) उद्देश्य, लक्ष्य -- उद्देश्य, ध्येय, लक्ष्य
ध्रुव (वि.) अचल, अटल -- अचल, स्थिर
ध्रुव (वि.) स्थायी, नित्य, शाश्वत -- स्थायी, नित्य, शाश्वत, चिरंतन
ध्रुव (पुं.) पृथ्वी के उत्तरृ-दक्षिण सिरे -- मेरु अक्ष
ध्रुव (पुं.) वह तारा, जो पृथ्वी की अक्ष के सिरे की सीध में उत्तर की ओर दिखाई देता है। -- ध्रुब तरा
ध्वज (पुं.) झंडा, पताका -- पताका, निचान, ध्वजा
ध्वजारोहण (पुं.) झंडा फहराने की क्रिया -- पताकात्तोलन
ध्वनि (स्त्री.) आवाज, शब्द -- ध्वनि, शब्द
ध्वनि (स्त्री.) (काव्य में) व्यंग्य, व्यंग्यार्थ -- ब्यंग्य
नंगा (वि.) जो कोई कपड़ा न पहने हो, दिगंबर -- नङ्ठा, उलंग
नंगा (वि.) जिस पर कोई आवरण या आलंकारिक वस्तु न हो -- उदं
नंगा (वि.) निर्लज्ज, बेशर्म, दुष्ट, पाजी -- निर्लज्ज, निलाज
नकद (पुं.) लेन-देन में व्यवहार में आने वाला धन जो तुरंत दिया या चुकाया जाता है -- नगद
नकद (वि.) जिसका मूल्य रुपए पैसे के रूप में तुरंत चुकाया जाए -- नगद
नकद (क्रि.वि.) तुरंत भुगतान रुपए के रूप में -- नगद कै
नकदी (स्त्री.) रूपया पैसा जो तैयार या नोटों, सिक्कों आदि के रूप में सामने हो, खड़ा धन -- जमा टका
नकल (स्त्री.) किसी को कोई काम करते हुए देखकर उसी के अनुसार करने की क्रिया या भाव -- अनुकरण, नकल
नकल (स्त्री.) किसी कृति, चित्र, लेख आदि की ज्यों की त्यों तैयार की हुई प्रतिलिपि, अनुलिपि -- प्रतिलिपी अनुलिपि
नक्काशी (स्त्री.) धातु, पत्थर आदि पर खोद कर बेल-बूटे बनाने का काम या कला -- भास्कर्य
नक्काशी (स्त्री.) उक्त प्रकार से बनाए गए बेल-बूटे आदि -- धातु आदित खोदित कारु-कार्य
नक्शा (पुं.) रेखाओं आदि द्वारा किसी वस्तु की अंकित की हुई वह आकृति, जो उस वस्तु का सामान्य परिचय कराती है, मानचित्र -- मानचित्र, नकसा
नक्शा (पुं.) रूपरेखा, खाका -- आकृति, रूपरेखा
नक्षत्र (पुं.) तारा -- तारा, नक्षत्र
नक्षत्र (पुं.) चंद्रमा के पथ में पड़ने वाला 27 तारों का समूह -- नक्षत्र, तारा समूह
नख-शिख (पुं.) पैरों के नाखून से लेकर सिर के बालों तक के सब अंग, शरीर के अंग-प्रत्यंग -- नाकमुख अबधि, आपाद मस्तक
नग (पं.) नगीना, मणि -- मणि रत्न
नग (पं.) अदद या संख्यासूचक एक शब्द -- संख्या
नगर (पुं.) वह बस्ती जो गाँवों, कस्बों आदि से बड़ी हो, शहर -- चहर, नगर
नगरपालिका (स्त्री.) वह संस्था, जो नगर के स्वास्थ्य, जल, निकास, रोशनी आदि का प्रबंध करती है -- नगरपालिका
नगाड़ा (पुं.) डुगडुगी की तरह का चमड़ा मढ़ा हुआ एक प्रकार का बड़ा वाद्य यंत्र, नक्कारा -- नेगेरा
नगीना (पुं.) रत्न, मणि, नग -- मणि, रत्न
नग्न (वि.) नंगा -- नङठा, नग्न
नग्न (वि.) आवरण रहित, उघड़ा -- नजरबंदी
नजरबंद (वि.) वह बंदी, जिसकी चेष्टाओं पर नजर रखी जा सके और जो निश्चित स्थान और सीमा के बाहर आ-जा न सके -- नजरबंदी
नट (पुं.) नाटक करने वाला, अभिनेता -- अभिनेता, नट
नट (पुं.) तरह-तरह के शारीरिक करतब दिखाने वाली एक जाति -- नट, नट जाति
नटखट (वि.) चंचल, ऊधमी, शरारती -- दुष्ट, चंचल
नमस्कार (वि.) झुककर आदरपूर्वक किया गया अभिवादन -- नमस्कार
नमस्कार (वि.) अभिवादन सूचक शब्द -- नमस्कार, प्रणाम
नमूना (पुं.) इकाई जो उस वस्तु का स्वरूप बतलाने के लिए दिखाई जाती है -- नमुना
नमूना (पुं.) वह जिसे देखकर उसके अनुसार वैसा ही कुछ और बनाया जाए, प्रतिमान -- आदर्श, मानदंड
नम्रता (स्त्री.) विनीय होने का भाव -- नतुन
नया (वि.) जो अभी हाल में निकला या बना हो, नवीन -- नतुन
नर (पुं.) पुरुष, आदमी, मर्द (मादा का विपर्यय) -- नर, पुरुष
नरम (वि.) कोमल, मृदु, मुलायम -- कोमल
नरमी (नर्मी) (स्त्री.) नरम या नर्म होने की अवस्था, गुण या भाव, मृदुता, कोमलता -- कोमलता
नरेश (पुं.) राजा -- रजा
नर्तकी (स्त्री.) नाचने में प्रवीण स्त्री -- नाचनी, नर्तकी, नाचोती
नल (पुं.) गोल लंबा खंड या रचना, जिसका भीतरी भाग खोखला या पोला हो -- पाइप, नली, टेप
नलकूप (पुं.) मशीन-चालित यंत्र, जिसके द्वारा जमीन के अंदर से पानी खींचा जाता है -- नलीनाद
नव (वि.) नया, नवीन, आधुनिक -- नतुन, न
नवनीत (पुं.) ताज़ा मक्खन -- माखन, नवनीत
नवयुवक (पुं.) जो अभी हाल में जवान हुआ हो, नौजवान, तरुण -- नवयुवक, तरुण
नवीन (वि.) नया, नूतन -- नबीन, नतुन
नवीन (वि.) जो पहले-पहल या मूल रूप में बना हो, मौलिक -- मौलिक
नशाबंदी (स्त्री.) राज्य या समाज द्वारा मादक पदार्थों के बेचने-खरीदने और पान करने पर पाबंदी लगाना -- मांदकद्रव्य निषेध, मद निबारन
नष्ट-भ्रष्ट (वि.) सब तरह से खराब और बरबाद -- समुलंचे नष्ट, ध्वंस
नष्ट-भ्रष्ट (वि.) व्यर्थ, बेकार -- विनाश, अकामिला, निरर्थक
नस (स्त्री.) रक्तवाहिनी नली -- स्नायु
नसबंदी (स्त्री.) शल्य-क्रिया द्वारा पुरुष की जननेंद्रिय के वीर्य-प्रवाह के मार्ग को अवरुद्ध कर देने की क्रिया, ताकि वह प्रजनन कार्य में अक्षम हो जाए -- बंध्याकरण
नसल (नस्ल) (स्त्री.) वंश -- बंश
नलस (नस्ल) (स्त्री.) संतति -- संतान
नहाना (अ.क्रि.) स्नान करना -- गाधेवा
नाग (पुं.) सर्प, साँप -- साप
नाग (पुं.) काले रंग का बड़ा और फन वाला साँप -- फेटि साप
नागरिक (वि.) नगर में रहने वाला, नगर से संबंधित -- चहरीया, नागरिक
नागरिक (वि.) असैनिक -- असैनिक, असामरिक
नागरिक (पुं.) किसी राज्य में जन्म लेने वाला वह व्यक्ति जिसे उस राज्य में रहने, नौकरी करने, संपत्ति रखने आदि के अधिकार प्राप्त होते हैं -- नागरिक
नागिन (स्त्री.) नाग (सर्प) की मादा -- माइकी साप
नाचना (अ.क्रि.) नृत्य करना -- नाचि बागि उठ नचा, नृत्य करा
नाचना (अ.क्रि.) संगीत के स्वर में ताल स्वर के अनुसार हाव-भावपूर्ण चेष्टाएँ करना -- नृत्य कर
नाटक (पुं.) दृश्य काव्य -- नाटक
नाटक (पुं.) दिखावटी कार्य -- देखुवाबलै करा कार्य, अभिनय
नाता (पुं.) संबंध, रिश्ता -- संबंध, संपर्क
नाथ (पुं.) प्रभु, स्वामी -- गराकी, नाथ, अधिपति
नाथा (पुं.) पति को संबोधित करने वाला शब्द (नाटक अादि में) -- पति, स्वामी, गिरियेक
नाथा (पुं.) एक संप्रदाय -- NA
नाथा (स्त्री.) ऊँटों, बैलों आदि को वश में रखने के लिए नथनों में डाली जाने वाली रस्सी -- नाकी
नादान (वि.) भोला, अनुभवहीन, अकुशल या अनाड़ी -- बुद्धिहीन, अकुशल
नाप-तोल (स्त्री.) नाप-जोख -- जोख
नाप-तोल (स्त्री.) माप और वजन -- जोख
नापना (स.क्रि.) लंबाई, चौड़ाई, गहराई-ऊँचाई, परिमाण, मात्रा आदि का ठीक ज्ञान प्राप्त करना, मापना -- NA
नाम (पुं.) वस्तु, व्यक्ति आदि का बोधक शब्द संज्ञा -- नाम, संज्ञा
नाम (पुं.) ख्याति, यश, प्रतिष्ठा -- कीर्ति, यश, नाम
नामकरण (पुं.) नाम रखने की क्रिया या भाव -- नामकरण
नामकरण (पुं.) बच्चे का नाम रखने के लिए एक संस्कार -- नामकरण संस्कार
नामे (पुं.) लेखा आदि वह खाता, स्तंभ या मद जिसमें किसी पक्ष को दी गई रकम लिखी जाती है, जमा का विपर्याय -- खरच
नायक (पुं.) नेता, मार्गदर्शक -- पथ-प्रदर्शक, नेता
नायक (पुं.) काव्य, नाटक, उपन्यास आदि का प्रधान पात्र -- नायक
नायिका (स्त्री.) महिला नेता, वीरांगना, अभिनेत्री -- अभिनेत्री, नायिका, बीरंगना
नायिका (स्त्री.) काव्य, नाटक, कहानी, उपन्यास आदि का मुख्य स्त्री पात्र -- नायिका
नारा (पुं.) किसी दल, समुदाय आदि के द्वारा जुलूस आदि के साथ उच्च स्वर में बोला जाने वाला वाक्य -- ध्वनि, जयगीत, श्लोगान
नाराज (वि.) अप्रसन्न, रुष्ट -- रुष्ट
नारी (स्त्री.) स्त्री, औरत -- तिरोता, नारी, स्त्री
नाला (पुं.) गंदे पानी का निकास मार्ग, जलमार्ग -- नर्दमा, दीघलीया-खंदा खाल
नाव (स्त्री.) नौका, किश्ती -- नाओ, नौका
नाविका (पुं.) वह, जो नौका खेता हो, माँझी, मल्लाह -- नाविक, नावरीया, बैचा, नाव बाओंता
नाश (पुं.) वस्तु आदि की टूट-फूट कर ध्वस्त होने की क्रिया या भाव, ध्वंस, विध्वंस -- नाश, ध्वंस, मृत्य, हानि, क्षति
नाश (पुं.) अपव्यय, बरबादी -- अपव्यय, क्षति, हानि
नास्तिक (पुं.) ईश्वर, परलोक, मत-मतांतरों आदि को न मानने वाला -- नास्तिक, बेद न मना, निरीश्वरवादी
निंदा (स्त्री.) किसी के दोषों, बुराइयों आदि का उल्लेख -- निंदा, बदनाम, अपबाद, दुर्नाम
निःशुल्क (वि.) जिस पर कोई शुल्क या कर न लगता हो -- निःशुल्क, बिना मुल्य
निःसंतान (वि.) संतान-रहित -- निःसंतान, संतानहीन
निकट (क्रि.वि.) समय या स्थान की दृष्टि से पास ही में, समीप -- समीप, ओचर, निकट
निकम्मा (वि.) जो कोई काम न करता हो, बेकार -- निष्कर्मा, अपदार्थ
निकम्मा (वि.) जो किसी काम में आने योग्य न हो -- अकर्मण्य, अकामिला
निकलना (अ.क्रि.) भीतर से बाहर आना, प्रकट होना -- ओलाइ-आह
निकलना (अ.क्रि.) उदित होना -- उदय ह
निकासी (स्त्री.) निकलने या निकालने की क्रिया -- बहिष्कार
निकासी (स्त्री.) दुकान में रखे हुए अथवा कारखानों आदि में तैयार होने वाले माल का बिकना -- बिक्री, बिक्रय
निकृष्ट (वि.) नीच, गिरा हुआ, निम्न, घटिया -- अधम बीच तल खापर
निखट्टू (वि.) (व्यक्ति) जो कुछ भी न कमाता हो -- निष्कर्मा, उपार्जनहीन, अकामिला
निखट्टू (वि.) आलसी, बेकार -- निष्कर्मा, कुँड़े
निगलना (स.क्रि.) कोई चीज बिना चबाए ही गले के नीचे उतार लेना -- गिल, गिलि पेलोवा
निग्रह (पुं.) अवरोध, रोक -- निग्रह, दमन, अत्याचार शासन
निग्रह (पुं.) आचरण को मर्यादित करना -- NA
निचोड़ (पुं.) सार, सत्व -- रस, सार, सारांश
निचोड़ना (स.क्रि.) गीली या रसदार वस्तु से उसका रस निकालना -- शोह, चेप
निडर (वि.) निर्भय, निर्भीक -- निर्भिक, निर्भय
निडर (वि.) साहसी -- साहसी, भयशून्य
नितांत (क्रि.वि.) बहुत अधिक -- अति, बेचि, नितांत, अतिशम, एकांत
नितांत (क्रि.वि.) बिल्कुल -- संपूर्ण, पूरा, संपूर्ण, एकांत
निथारना (स.क्रि.) पानी आदि से मैल को अलग करना -- निगरा, चापर-फाललै बोवा
निदान (पुं.) मूल कारण -- उत्स, मूलकारण, निदान
निदान (पुं.) चिकित्सा शास्त्र में रोग की पहचान एवं समाधान -- रोगर-निदान, मूल कारण
निदान (पुं.) समाधान -- NA
निद्रा (स्त्री.) नींद -- टोपनि, निद्रा
निधन (पुं.) मृत्यु, देहावसान -- शिबा
निधि (पुं.) विशेष कार्य के लिए जमा किया हुआ धन -- कोष, निधि, भँराल, निधान
निपटना (अ.क्रि.) पूरा होना, संपन्न होना -- पूर्ण ह, संपन्न होवा
निपटना (अ.क्रि.) निवृत्त होना -- संपन्न होवा, पुर्ण होवा, पुरा हेवा
निपटना (अ.क्रि.) लेन-देन, झगड़े विवाद आदि का निपटना होना -- निष्पत्ति ह
निपटाना (स.क्रि.) कार्य आदि पूर्ण या संपादित करना -- संपादित कर संपूर्ण करा
निपटाना (स.क्रि.) विवाद या झगड़े को समाप्त करना -- मिमांसा कर, बिचार करा
निपुण (वि.) दक्ष, प्रवीण, कुशल -- निपुण, पार्गत, दक्ष
निबंध (पुं.) वह विचारपूर्ण विवरणात्मक विस्तृत लेख, जिसमें सब अंगों का विवेचन किया गया हो -- निबंध, रचना, प्रबंध
निबाहना (स.क्रि.) निर्वाह करना, निभाना -- निर्बाह कर, साधन कर, संपादन
निबाहना (स.क्रि.) (दायित्व, कार्य वचन आदि का) पालन करना, पूरा करना -- पूरा कर, पालन कर
निभाना (स.क्रि.) उत्तरदायित्व, कार्य, वचन आदि को पूरा करना -- कथा राख, दायित्व पूरा कर
निभाना (स.क्रि.) व्यक्ति अथवा स्थिति के -- खाप खा
निमंत्रण (पुं.) किसी अवसर विशेष पर आदरपूर्वक बुलाने की क्रिया या भाव -- निमंत्रण, कार्यर निमित्ते मता
नियंत्रण (पुं.) मनमानी रोकने के लिए बंधन लगाना, नियम आदि द्वारा रोकना -- नियंत्रण, परिचालन, संयतकरण, दमन
नियंत्रण (पुं.) व्यापारिक क्षेत्र में शासन द्वारा किसी वस्तु के मूल्य और वितरण को नियमित और सुनिश्चित करना -- नियंत्रण, शासन
नियम (पुं.) मनमानी रोकने के लिए बनाए गए आदेश/निर्देश -- बिधि, नियम, संपादन पद्धति
निरंकुश (वि.) जिस पर किसी प्रकार का नियंंत्रण न हो -- अनियंत्रित, मुकुलि मुरिया, निरंकुश
निरंकुश (वि.) स्वेच्छाचारी -- स्वेच्छाचारी, बाधा-निषेध न मना
निरंतर (वि.) लगातार -- लानिनि-छिङा, निरंतर, नियमित, सकलो, समस्त
निरस्त्रीकरण (पुं.) परस्पर युद्ध की संभावना कम करने के लिए देशों का सैनिक बल कम करना -- निरस्त्रीकरण
निरा (वि.) विशुद्ध -- विशुद्ध
निरा (वि.) केवल, सिर्फ, एकमात्र -- केवल, एक मात्र
निराकरण (पुं.) दूर करना या हटाना -- निराकरण
निराकरण (पुं.) आपत्ति आदि का तर्कपूर्वक खंडन, निवारण करना -- प्रत्याख्यान, निबारण
निराकार (वि.) जिसका कोई आकार न हो, स्वरूप रहित -- निराकार, आकृति ब शरीर न थका
निराकार (पुं.) ब्रह्म -- ब्रह्म, परमात्मा
निराधार (वि.) जिसका कोई आधार न हो, आधारहीन -- निराधार, आधार-विहीन
निरामिष (वि.) जिसमें मांस न मिला हो -- निरामिष, माछ-मङह न थका खाद्य
निरामिष (वि.) शाकाहारी -- निरामिष भोजी
निराश (वि.) जिसे आशा न रह गई हो, हताशा -- निराश, हताश, आशापूर्ण न होवा
निरीक्षक (पुं.) जाँच-पड़ताल, निरीक्षण आदि करने वाला -- परिदर्शक, निरीक्षणकर्ता
निरूपण (पुं.) छान-बीन तथा सोच विचार कर किसी बात या विषय का विवेचन करना -- निरूपण, निर्धरण
निर्जीव (वि.) प्राणरहित, जड़, अचेतन -- निर्जीव, जड़, अचेतन, प्राणशून्य
निर्णय (पुं.) निष्कर्ष, परिणाम, फैसला -- निर्णय, सिद्धांत, परिणाम निर्धारण स्थिरीकरण
निर्दय (वि.) दया-हीन, कठोर, निष्ठुर -- निर्दय, कठोर, निष्ठुर
निर्देशक (पुं.) दिशा बताने या निर्देशन करने वाला -- परिचालक, अधिकार-संचालक, आदेश बा विधान दिओंता
निर्दोष (वि.) दोषरहित -- निर्दोष, जगर-न थका
निर्दोष (वि.) जिसने कोई अपराध न किया हो, निरपराध -- निरपराध, दोष-शून्य
निर्धन (वि.) धन-रहित, गरीब -- दरिद्र, निर्धन, दुखिया
निर्धारण (पुं.) तय या निश्चित करना, दृढ़ धारणा बनाना -- निर्धारण, स्थिरकरा निर्णय
निर्बल (वि.) (शारीरिक दृष्टि से बलहीन, कमजोर) -- दुर्बल, शक्तिहीन, क्षमता न थका
निर्बल (वि.) जिसे यथेष्ट अधिकार या सत्ता प्राप्त न हो, शक्तिहीन -- अधिकारहीन, अक्षम
निर्भर (वि.) किसी दूसरे पर अवलंबित या आश्रित -- निर्भर, आश्रय, विश्वास
निर्मल (वि.) साफ, स्वच्छ -- अमोत्पा, पक्तबा, तरु-तरुबा, अरुबा-अनान्बा
निर्मल (वि.) निष्कपट, शुद्ध -- शुद्ध
निर्माण (पुं.) कोई नई चीज तैयार करना या बनाना, रचना -- निर्माण रचना
निर्यात (पुं.) माल बाहर भेजने की क्रिया या भाव -- रप्तानि, रप्तानि द्रब्य
निर्यात (पुं.) बाहर या विदेशों में भेजा हुआ माल -- रप्तानीकृत वस्तु
निर्वाचन (पुं.) किसी एक या अधिक को चुनना, चयन -- बाछनि, निर्वाचन
निवारण (पुं.) दूर करना, हटाना -- निबारण
निवेदन (पुं.) नम्रतापूर्ण अनुरोध, प्रार्थना -- आवेदन, प्रार्थना, निवेदन
निवेदन (पुं.) अर्पण, समर्पण -- अर्पण, समर्पण, प्रार्थना
निवेश (पुं.) किसी व्यापार, उद्योग आदि में धन या पूँजी लगाने का कार्य तथा इस प्रकार से लगाया हुआ धन, पूँजी आदि -- ब्यवसायत लगोवा धन आदि निवेश
निशा (स्त्री.) रात -- राति, निशा
निशान (पुं.) चिह्न या लक्षण -- चिन, लक्षण
निशान (पुं.) दाग, धब्बा -- दाग, चिन्ह
निशान (पुं.) झंडा या पताका -- पताका, निचान
निश्चय (पुं.) कोई कार्य करने का अंतिम निर्णय या संकल्प करना -- निर्णय, निश्चय
निश्चल (वि.) अविचल, स्थिर -- निश्चय, अबिचल
निश्चल (वि.) अपरिवर्तनशील -- अपरिबर्तनशील
निश्चित (वि.) (बात या प्रस्ताव) जिसके संबंध में निश्चय हो चुका हो -- निश्चित
निश्चित (वि.) जो अटल या स्थिर हो -- अटल, स्थिर
निश्छल (वि.) (व्यक्ति) छल कपट से रहित -- निष्कपट, छलनाहीन
निष्कर्ष (पुं.) विचार विमर्श आदि के उपरांत निकलने वाला परिणाम -- मंतब्य, फला-फल
निष्कर्ष (पुं.) सारांश, निचोड़ -- सारांश, मर्म, तात्पर्य
निष्काम (वि.) (व्यक्ति) जिसके मन में कामनाएँ या वासनाएँ न हों -- निष्काम, निर्लिप्त
निष्काम (वि.) (कार्य) जो बिना किसी प्रकार की कामना के किया जाए -- कामना बासनाहीन
निष्कासन (पुं.) किसी को किसी पद, क्षेत्र, स्थान, वर्ग, दल आदि से निकालना, बाहर करना या हटाना -- बहिष्कार
निष्क्रिय (वि.) क्रियारहित, निश्चेष्ट -- निष्क्रिय, अकामिला, क्रियाहीन, अलस
निष्क्रिय (वि.) अकर्मण्य, आलसी -- एलेहुबा, अकर्मण्य
निष्ठा (स्त्री.) दृढ़ निश्चय या विश्वास -- निष्ठा, विश्वास, श्रद्धा, दृढ़भक्ति
निष्ठा (स्त्री.) आस्था, श्रद्धा, भक्ति -- श्रद्धा, भक्ति, निष्ठा
निष्ठा (स्त्री.) ईमानदारी, वफादारी -- बिश्वास, बिश्षासी
निष्पक्ष (वि.) (व्यक्ति) जो किसी पक्ष या दल में सम्मिलित न हो, तटस्थ -- निरपेक्ष, निर्दलीय, निष्पक्ष
निष्पक्ष (वि.) पक्षपात-रहित -- निरपेक्ष
निष्पादन (पुं.) आज्ञा, आदेश, नियम, निश्चय आदि के अनुसार कोई काम ठीक तरह से पूरा करना -- निष्पादन, सुसंपन्न कर
निस्पंद (वि.) जिसमें किसी प्रकार की हलचल न हो -- स्थिर
निस्संदेह (वि.) जिसमें संदेह न हो, असंदिग्ध, बेशक -- निःसंदेह, असंदिग्ध
निस्संदेह (क्रि.वि.) निश्चित रूप से अवश्य -- निःसंदेह, निशिचत
नींद (स्त्री.) निद्रा -- निद्रा, टोपनि
नींव (स्त्री.) जमीन के अंदर का हिस्सा, बुनियाद -- भेँटि, भित्ति
नीचा (वि.) अधिकार, पद, मर्यादा आदि की दृष्टि से जो औरों से घटकर हो, छोटा -- सरु-तलत
नीचा (वि.) जो किसी सम धरातल या स्तर से निम्न स्तर पर स्थित हो, निम्न -- निम्न, सरु
नीचे (क्रि.वि.) किसी की तुलना में निम्न धरातल पर -- तलत
नीचे (क्रि.वि.) किसी की अधीनता या वश में -- अधीनत
नीति (स्त्री.) सदाचार, सद्व्यवहार आदि के नियम, ढंग या रीतियाँ -- रीति-निति
नीति (स्त्री.) राज्य या शासन की रक्षा और व्यवस्था के लिए स्थिर किए हुए सिद्धांत -- सिद्धांत
नीति (स्त्री.) युक्ति, तरकीब -- युक्ति, उपाय
नीलामी (स्त्री.) वस्तुओं की वह सार्वजनिक बिक्री, जिसमें सबसे अधिक या बढ़कर दाम लगाने वाले के हाथ वस्तुएँ बेची जाती हैं -- निलाम, निलाम
नीहारिका (स्त्री.) रात के समय आकाश में दिखाई पड़ने वाले घने कोहरे की तरह के प्रकाश पुंज -- नीहारिका, आकाशत नियररस्तूप, नक्षत्र-समूह
नुकसान (पुं.) हानि, घाटा -- नोक्सान, हानि
नुकसान (पुं.) किसी प्रकार होने वाली खराबी या विकार -- क्षति, विकार
नेता (पुं.) नायक -- नेता, नायक, चलाओंता
नेता (पुं.) राजनैतिक या सामाजिक दल का अगुआ -- नेता, गुरियाल, नायक, चलाओंता
नेतृत्व (पुं.) नेता का पद तथा कार्य -- नेतृत्व, नेतागिरी, नायकत्व
नैतिक (वि.) नीति-संबंधी -- नैतिक नीति-संबंधी
नैतिक (वि.) नीति-सम्मत -- नीतिसन्मत
नौकर (पुं.) सेवक -- चाकर, कृत्य काम बन करा मानुह
नौकर (पुं.) कर्मचारी -- कर्मचारी, मनिष
नौकरी (स्त्री.) नौकर बनकर सेवा अथवा कार्य करते रहने की अवस्था या भाव -- चाकरि, मजुरि लै कामकरा
नौकरी (स्त्री.) वह पद या काम जिसके लिए वेतन मिलता हो, रोजगार -- आजीविका, व्यवसा, जीवन-वृत्ति
नौका (स्त्री.) नाव, किश्ती -- नाओ, पानीत चला कठोवा यान
पंकज (वि.पुं.) कीचड़ से उत्पन्न, कमल -- पदुम, कमल, पंकज
पंक्ति (स्त्री.) कतार -- श्रेणी, शारी, पंक्ति
पंक्ति (स्त्री.) छपे हुए अक्षरों की एक सीध में पढ़ने के क्रम से लगी हुई श्रृंखला -- लाइन, शारी श्रेणी
पंख (पुं.) पक्षियों तथा कुछ जंतुओं का वह अंग, जिससे वे उड़ते है, पर -- डेउका, पाखि चराइर-आकृतिर
पंखा (पुं.) गर्मी से बचाव के लिए ताड़ धातु आदि की बनी वस्तु जिससे हवा का वेग बढ़ाया जाता हो -- बिचनि व्यजन चराइर-आकृतिर
पंचांग (पुं.) वह पंजी या पुस्तिका, जिसमें तिथि, वार, नक्षत्र, योग और करण का उल्लेख होता हो, जंत्री, पत्रा -- पंचांग, पत्रा
पंचायत (स्त्री.) गाँव या बिरादरी के चुने हुए सदस्यों की सभा, जो लोगों के झगड़ों का विचार और निर्णय तथा विकास कार्य करती है -- पंचायत, प्रतिनिधिसभा
पंछी (पुं.) पक्षी, परिंदा -- चराइ, पक्षी
पंडित (नि.) कुशल, निपुण -- निपुण, पारदर्शी
पंडित (पुं.) शास्त्रों आदि का ज्ञाता, ब्राह्मण -- पंडित, ब्राह्मण, विद्वान, शास्त्रज्ञ
पंथ (पुं.) मार्ग, रास्ता -- रास्ता, आलि, पथ, बाट, उपाय
पंथ (पुं.) धार्मिक मत या संप्रदाय -- मत, पंथा
पकड़ना (स.क्रि.) थामना -- धरा
पकड़ना (स.क्रि.) बंदी बनाना -- धर
पकाना (स.क्रि.) अन्न, फल आदि को इस प्रकार आँच, गर्मी आदि देना कि वे मुलायम होकर खाने योग्य ह जाएँ -- रांध
पक्का (वि.) दृढ़, निश्चित, स्थिर -- दृढ़ निश्चि
पक्का (वि.) अच्छी तरह से पका या पकाया हुआ -- पका, पकोवा
पक्ष (पुं.) पक्षियों का डैन या पंख -- डेउका, पाखि
पक्ष (पुं.) किसी विचार, सिद्धांत या तथ्य आदि का एक पहलू -- दिश, पक्ष
पक्ष (पुं.) चांद्रमास के दो बराबर भागों में से प्रत्येक भाग, जो प्रायः 15 दिन का होता है, पखवाड़ा -- पक्ष, भाग, दल
पक्षपात (पुं.) अनुचित रूप से किसी का पक्ष लेना -- पक्षपात, एकपक्षर एफलीया होवा कार्य
पक्षी (पुं.) परों वाला, पंछी, परिंदा -- चराइ पक्षी
पखवाड़ा (पुं.) पंद्रह दिनों का समय, पक्ष -- पष, पक्ष, चांद्र-माहर आधा
पगडंडी (स्त्री.) आने-जाने के कारण जंगल, खेत या मैदान में बना हुआ सँकरा मार्ग -- सुरुकीय बाट
पचाना (स.क्रि.) खाई हुई वस्तु को पक्वाशय की अग्नि से रस में परिणत करना -- हजम कर
पछताना (अ.क्रि.) पश्चाताप करना -- अनुतप्तह, अनुशोचना करा
पछाड़ना (स.क्रि.) कुश्ती अथवा प्रतियोगिता आदि में किसी को परास्त करना -- पराजितकर
पटकना (स.क्रि.) किसी व्यक्ति या वस्तु आदि को उठाकर झटके के साथ पृथ्वी पर गिराना -- थेकेचामारि थ
पटरी (पटड़ी) (स्त्री.) सड़क के दोनों ओर का उठा हुआ पैदल-पथ -- फुटपाथ, पारपक्ष
पटरी (पटड़ी) (स्त्री.) लोहे के लंबे छड़, जिन पर रेलगाड़ी चलती है -- रेलपथ, रेलरशारी
पटरी (पटड़ी) (स्त्री.) काठ का छोटा पतला और लंबोतरा टुकड़ा, छोटा पटरा -- पात
पटसन (पुं.) सन नामक प्रसिद्ध पौधा, जिसके डंठलों के रेंशों से रस्सी, बोरे, गलीचे आदि बनाए जाते हैं -- सन गछ, मरापातर गछ
पटसन (पुं.) सन के रेशे, जूट -- मरापात
पटाखा (पटाका) (पुं.) एक प्रकार की आतिशबाजी, जिससे जोर से पट या पटाक की ध्वनि होती है -- फटका, क्रेकार
पड़ना (अ.क्रि.) गिरना, पड़े रहना -- पर, परा
पड़ना (अ.क्रि.) लेटना, बीमार होना -- शो, बेमार ह
पड़ाव (पुं.) मार्ग में पड़ने वाला वह स्थान जहाँ सेना, काफिले, यात्री आदि कुछ समय के लिए विश्राम करने को ठहरते हैं -- शिबिर, सैन्यर-अस्थायी बाहर, अस्थायी ठाँइं
पतंग (स्त्री.) बाँस की कमानियों के ढाँचे पर कागज़ मढ़कर बनाई हुई वस्तु, जिसे तागे से बाँधकर हवा में उड़ाते हैं -- चिला, एक श्रेणीर प्रानी
पतंग (पुं.) पतंगा, शलभ -- चगा
पतन (पुं.) अधोगति, गिरावट -- पतन, अधोगति
पतन (पुं.) निंदनीय आचरण में प्रवृत्त होना -- अधःपातत
पतला (वि.) जो गाढ़ा न हो, जिसमें तरल अंश अधिक हो -- पातल
पतला (वि.) कृश, दुबला -- दुर्वल, कृश
पतला (वि.) सँकरा, बारीक -- मिहि
पता (पुं.) किसी वस्तु स्थान या व्यक्ति का ठिकाना -- ठिकाना
पता (पुं.) किसी व्यक्ति, विषय आदि के संबंध में जानकारी -- परिचय
पताका (स्त्री.) झंडा, ध्वजा -- पताका, निचान, ध्वज
पताका (स्त्री.) साहित्य में (नाटक में) आधिकारिक कथा की सहायतार्थ दूर तक चलने वाली प्रासंगिक कथा -- पताका, नाटकर कथारसरु भाग
पत्तन (पुं.) वायुयानों अथवा जलयानों के ठहरने का स्थान -- वायुयान बा जलयानर प्रोतस्रय, बंदर
पत्ता (पुं.) पेड़-पौधों की शाखाओं में लगने वाले प्रायः हरे रंग के चपटे लचीले अवयव -- पात, गछर पातल अंश
पत्ता (पुं.) ताश (प्लेइंगकार्ड) -- ताचर पात
पत्थर (पुं.) धातु से भिन्न कड़ा ठोस और भारी भूद्रव्य -- शिल, पाथर
पत्रकार (पुं.) वह व्यक्ति, जो समाचार पत्रों को नित्य नए समाचारों की सूचना देता, उन पर टीका टिप्पणी करता अथवा उनको संपादित करता हो (जर्नलिस्ट) -- बार्ताकाकत चलाआँता, सांबादिक
पत्राचार (पुं.) परस्पर एक दूसरे को पत्र लिखना, पत्र-व्यवहार -- पत्र-ब्यवहार
पथ (पुं.) मार्ग, रास्ता, राह -- बाट, आलि
पथ (पुं.) कार्य या व्यवहार की पद्धति -- पद्धति
पथ-प्रदर्शक (पुं.) किसी कार्य या व्यवहार की पद्धति बताने वाला, मार्गदर्शक -- पथ-प्रदर्शक
पथ-प्रदर्शक (पुं.) न्याय मार्ग अथवा आचरण से विमुख -- बाट एरा अबाटेयोवा
पथिक (पुं.) बटोही, राही -- पथिक, यात्री, बाटरुवा
पथ्य (वि.) गुणकारी, लाभदायक -- पथ्य, नरियात-परा मानुहर हितकारी खाद्य
पथ्य (पुं.) वह हल्का भोजन, जो रोगी व्यक्त को दिया जाए -- पथ्य, रोगीर खाब लगीया वस्तु
पद (पुं.) कदम, पाँव, पैर -- भरि, पद
पद (पुं.) वाक्य का अंश या खंड -- पद, पदवी, विषय, नाब, उपाधि
पद (पुं.) ओहदा, उपाधि -- उपाधि, विषय
पद (पुं.) छंद, श्लोक आदि का चतुर्थांश -- छंदर चतुर्थांश
पदचाप (स्त्री.) चलते समय पैरों से होने वाली ध्वनि -- पदध्वनि
पद-चिह्न (पुं.) पैरों की छाप -- पदचिह्न, भरिर चिन
पद-चिह्न (पुं.) बड़ों द्वारा बतलाए हुए आदर्श अथवा कार्य करने का ढंग -- आदर्श, परंपरा
पद्धति (स्त्री.) कार्य करने का तरीका, कार्य प्रणाली -- पद्धति, प्रणाली, उपचार, रीति
पद्धति (स्त्री.) रीति, पथ मार्ग -- रीति-नीति, कामर-करिबर-नियम
पनघट (पुं.) वह घाट या स्थान, जहाँ से लोग पानी भरकर लाते हैं -- पानी (घाट)
पनडुब्बी (स्त्री.) पानी के अंदर डूबकर चलने वाली नाव (सबमरीन) -- चाबमेरिन, पानीर तलर नौ परिवहन
परंतु (अव्य.) इतना होने पर भी, लेकिन, पर -- किंतु, सेये हलेओ तथापि
परंपरा (स्त्री.) सिलसिला, क्रम -- परंपरा, क्रम, रीति, धारा अनुक्रम
परंपरा (स्त्री.) रीति, रिवाज, प्रथा -- रीति-नीति, प्रथा
परखना (स.क्रि.) अच्छे-बुरे की पहचान करना -- चा, परीक्षाकरि चा
परदा (पुं.) आड़ या बचाव करने के लिए बीच में टाँगा जाने वाला कपड़ा आदि -- परदा, आबरण
परदा (पुं.) घूँघट -- ओरणि, आच्छादन
परदा (पुं.) टी.वी., सिनेमा आदि में प्रयुक्त पटल -- NA
परदेसी (वि.) जो अपना देश छोड़कर किसी दूसरे देश में गया हो -- बिदेशी, आनदेशर-निबासी
परम (वि.) मुख्य, प्रधान -- परम, प्रधान उत्तम, श्रेष्ठ, चरम
परम (वि.) अत्यधिक -- अत्यधिक चरम
परमाणु (पुं.) किसी तत्व का एक अविभाज्य टुकड़ा -- परमाणु, पदार्थर-क्षुद्रतम कणा
परमात्मा (पुं.) ईश्वर, परब्रह्म -- परमात्मा, ईश्वर, ब्रह्म
परमार्थ (पुं.) मोक्ष -- मुक्ति, मोक्ष चरम-सत्व, तत्व-ज्ञान
परमार्थ (पुं.) परोपकार -- परोपकार, आनर उपकार करा कार्य
परलोक (पुं.) इह लोक से भिन्न दूसरा लोक -- परलोक, देहांत
परसों (अव्य.) बीते हुए दिन से ठीक पहले वाला दिन -- परहि
परस्पर (क्रि.वि.) आपस में -- परस्पर
पराकाष्ठा (स्त्री.) चरम सीमा, हद -- पराकाष्ठा, चूड़ांत
पराक्रम (पुं.) शौर्य, सामर्थ्य, बल -- पराक्रम, बीरता शक्ति
पराग (पुं.) फूल के लंबे केसरों पर जमे रहने वाले रज कण -- पराग, रेणु
पराजय (स्त्री.) हार, विजय का उल्टा -- पराजय, पराभव, परास्तहोबा
पराधीनता (स्त्री.) दूसरे के अधीन अर्थात् पराधीन होने की अवस्था -- पराधीनता
परामर्श (पुं.) सलाह, सम्मति -- उपदेश, परामर्श, मंत्रणा, बुद्धि
परामर्श (पुं.) विवेचन, विचार -- बिबेचना
पराया (वि./पुं.) जिसका संबंध दूसरे से हो, अपने से भिन्न, आत्मीय या स्वजन से भिन्न -- आनर, लोकर, अन्यलोक
परिक्रमा (स्त्री.) चारों ओर चक्कर लगाना या घूमना -- चारिओफाले घुरा, परिक्रमा
परिक्रमा (स्त्री.) धार्मिक एवं खगोलीय संदर्भ में किसी तीर्थ, देवता या मंदिर के चारों ओर भक्ति और श्रद्धा से तथा पुण्य की भावना से चक्कर लगाने की क्रिया -- परिक्रमा, प्रदक्षिणा
परिचय (पुं.) ऐसी स्थिति जिसमें दो व्यक्ति एक दूसरे को प्रायः प्रत्यक्ष भेंट के आधार पर जानते और पहचानते हों, जान-पहचान -- चिना-चिनि, चिनाकि निदर्शन
परिचय (पुं.) किसी व्यक्ति के नाम धाम या गुण-कर्म आदि से संबंध रखने वाली बातें जो किसी को बतलाई जाएँ -- परिचय, चिनाकी निदर्शन
परिचर्या (स्त्री.) किसी के द्वारा दी जाने वाली अनेक प्रकार की सेवाएँ, सेवा सुश्रुषा -- सोध-पोच, सुश्रुषा सेवा
परिचर्या (स्त्री.) रोगी की सुश्रुषा -- शुश्रूषा सेवा
परिचारिका (स्त्री.) सेवा करने वाली स्त्री, सेविका (नर्स) -- परिचारिका, सेबिका
परिच्छेद (पुं.) अध्याय, प्रकरण -- अध्याय, परिच्छेद, प्रकरण
परिजन (पुं.) चारों ओर के लोग विशेषतः परिवार के सदस्य -- आत्मीयस्वजन, परिवालर लोक
परिजन (पुं.) अनुगामी और अनुचर वर्गः संबंधी -- अनुगामी, अनुचर वर्ग, कामबनकरा, मानुह
परिणाम (पुं.) किसी काम या बात का तर्क संगत रूप में अंत होने पर उससे प्राप्त हाने वाला फल (रिजल्ट) -- फल, परिणाम
परिणाम (पुं.) किसी कार्य के उपरांत क्रियात्मक रूप से पड़ने वाला प्रभाव (कांसीक्वेंस) -- परिणाम, शेष-फल
परित्याग (पुं.) अधिकार, स्वामित्व, संबंध तथा निजी संपत्ति आदि का सदा के लिए किया जाने वाला त्याग, पूरी तरह से छोड़ देना -- परित्याग, एरा कार्य
परिधि (स्त्री.) वृत्त की रेखा -- परिधि, सीमा, घुरनीया बस्तुर बेर
परिधि (स्त्री.) किसी गोलाकार वस्तु के चारों ओर खिंची हुई वृत्ताकार रेखा -- बैर, घुरनीया बस्तुर बेर
परिधि (स्त्री.) वह गोलाकार मार्ग, जिस पर कोई चीज चलती, घूमती या चक्कर लगाती हो -- घुरणीया पथ
परिपक्व (वि.) जो विकास आदि की दृष्टि से पूर्णता तक पहुँच चुका हो -- पका
परिपक्व (वि.) अच्छी तरह से पका हुआ -- पका
परिभाषा (स्त्री.) ऐसा कथन या वाक्य, जो किसी पद या शब्द का अर्थ या आशय स्पष्ट रूप से बतलाता या व्यक्त करता हो (डेफिनिशन) -- परिभाषा, सूत्र
परिमाण (पुं.) गिनने, तोलने, मापने आदि पर प्राप्त होने वाला फल -- संख्या जोखाकार्य, जरीप
परिमाण (पुं.) नाप-जोख, तोल आदि की दृष्टि से किसी वस्तु की लंबाई-चौड़ाई, भार, घनत्व, विस्तार आदि, मान (क्वान्टिटी) -- जोख, ओजन, परिमाण
परिमार्जनन (पुं.) साफ करने के लिए अच्छी तरह धोना -- परिमार्जित करा
परिमार्जनन (पुं.) अच्छी तरह साफ करना -- परिष्कार
परिमार्जनन (पुं.) भूलें आदि सुधारना -- शुधरणि, संशोधन
परिवर्धन (पुं.) आकार-प्रकार, विषय-वस्तु आदि में की जाने वाली वृद्धि -- परिबर्धन
परिवर्तन (पुं.) बढ़ाया हुआ अंश -- परिबर्धित अंश
परिवहन (पुं.) माल, यात्रियों आदि को एक स्थान से ढोकर दूसरे स्थान पर ले जाने का कार्य (ट्रांसपोर्ट) -- परिबहन
परिवार (पुं.) एक परिवार में और विशेषतः एक कर्ता के अधीन या संरक्षण में रहने वाले लोग, कुटुंब (फैमिली) -- परियाल
परिवार (पुं.) समान गुणधर्म वाला वर्ग -- बर्ग, फैद, कुटुंब
परिवार नियोजन (पुं.) जनसंख्या नियंत्रण का तरीका (फैमिली प्लानिंग) -- परियाल, परिकल्पना
परिवेश (पुं.) परिधि, घेरा, चारों तरफ का माहौल -- परिधि, बेर
परिशिष्ट (वि.) छूटा या बाकी बचा हुआ, अवशिष्ट -- अवशिष्ट, बाकी
परिशिष्ट (पुं.) पुस्तकों आदि के अंत में दी जाने वाली वे बातें, जो मूल में आने से रह गईं हों अथवा जो मूल में आई हुई बातों के स्पष्टीकरण के लिए हों -- बिबरणि
परिश्रम (पुं.) मानसिक या शारीरिक श्रम, मेहनत -- परिश्रम
परिषद् (स्त्री.) किसी संस्था के निर्वाचित या मनोनीत सदस्यों का समूह कौंसिल -- परिषद
परिषद् (स्त्री.) सभा -- सभा, समिति, संघ
परिष्कार (पुं.) अच्छी तरह ठीक और साफ करने की क्रिया या भाव -- परिष्कार
परिष्कार (पुं.) त्रुटियाँ, दोष आदि दूर करके सुंदर, सुरुचिपूर्ण और स्वच्छ बनाना -- निर्दोषिता, परिच्छन्नता
परिष्कार (पुं.) निर्मलता, स्वच्छता -- निर्मलता, स्वच्छता
परिस्थिति (स्त्री.) चारों ओर की स्थिति, हालत (सर्कमस्टांसिल) -- घटना परिस्थिति, चारिओफालर अवस्था
परीक्षण (पुं.) परीक्षा करने या लेने की क्रिया -- परीक्षण, परीक्षणकरा कार्य
परीक्षण (पुं.) जाँच, परख -- परीक्षा
परीक्षा (स्त्री.) किसी के गुण, धैर्य, योग्यता, सामर्थ्य आदि की ठीक ठाक स्थिति जानने या पता लगाने की क्रिया या भाव -- परीक्षा
परीक्षा (स्त्री.) जाँच-पड़ताल या देख-भाल -- निरीक्षण, परीक्षण
परोक्ष (वि.) आंखों से ओझल -- परोक्ष, अप्रत्यक्ष
परोक्ष (वि.) जो सामने न हो, अनुपस्थित -- अनुपस्थित
परोक्ष (वि.) छिपा हुआ, गुप्त -- गुप्त
परोक्ष (पुं.) आँखों के सामने न होने की अवस्था, अनुपस्थिति -- अनुपस्थिति
परोक्ष (पुं.) व्याकरण में पूर्ण भूतकाल -- भूतकाल, अतीतकाल
परोपकार (पुं.) दूसरों की भलाई का काम -- परोपकार
पर्यटक (पुं.) देश-विदेश में घूमनेफिरने वाला -- पर्यटक, भ्रमण-करोंता
पर्यटन (पुं.) अनेक महत्वपूर्ण स्थल देखने तथा मन-बहलाव के लिए किया जाने वाला भ्रमण -- पर्यटन, भ्रमण
पर्याप्त (वि.) जितना आवश्यक हो उतना सब, यथेष्ट, काफी -- यथेष्ट, पर्याप्त, प्रचुर
पर्याय (पुं.) समानार्थक शब्द -- पर्यायबाची शब्द, समानार्थक शब्द
पर्व (पुं.) ग्रंथ आदि का अंश, खंड, भाग -- अंश, भाग, अध्याय
पर्व (पुं.) उत्सव और त्योहार -- उत्सव, पर्व, पवित्र दिन
पर्वतारोहण (पुं.) पहाड़ पर चढ़ने की क्रिया -- पर्बतारोहण
पलायन (पुं.) निकल भागने या बच निकलने की क्रिया या भाव -- पयालाय, पलोवा खसि पलाइबा
पवन (पुं.) वायु, हवा -- बताह, बायु बतर
पवित्र (वि.) शुद्ध, पाक -- पवित्र
पवित्र (वि.) पूज्य व्यक्ति -- धार्मिक, पूज्यब्यक्ति
पवित्र (वि.) साफ, स्वच्छ, निर्मल -- चाफा, निका, निर्मल
पशु (पुं.) जानवर, डंगर, चौपाया -- पशु, जंतु
पश्चाताप (पुं.) पछतावा, किसी कर्म के बाद उसके अनौचित्य का भान होने पर मन में होने वाला दुःख -- पश्चाताप, अनुताप, अनुशोचना
पसारना (स.क्रि.) अधिक विस्तृत करना -- अधिक विस्तृत कर
पसारना (स.क्रि.) फैलाना -- बहला
पसीना (पुं.) ताप, परिश्रम आदि के कारण शरीर या अंगों में से निकलने वाले जलकण, स्वेद -- घाम
पहचान (पहिचान) (स्त्री.) पहचानने की क्रिया, भाव या शक्ति -- चिना कार्य बा भाव
पहचान (पहिचान) (स्त्री.) कोई ऐसा चिह्न या लक्षण जिससे पता चले कि वह अमुक व्यक्ति या वस्तु है -- चिन
पहचान (पहिचान) (स्त्री.) परिचय -- परिचय, चिनाकी
पहचानना (स.क्रि.) चित्रों, लक्षणों, रूप-रंग के आधार पर व्यक्ति या वस्तु को जानना या समझ लोना कि यह अमुक व्यक्ति या वस्तु है जिसे मैं पहले से जानता हूँ -- चिनाक्त कर, चिनाकि बा चिना
पहचानना (स.क्रि.) किसी वस्तु या व्यक्ति के गुण दोषों, योग्यताओं आदि से भली भाँति परिचित होना -- परिचित ह
पहनना (स.क्रि.) कपड़े, गहने आदि धारण करना -- पिंध, पिंध
पहनावा (पुं.) पहनने के कपड़े, पोशाक -- पोछाक, साज, बेश-भूष
पहनावा (पुं.) किसी जाति, देश आदि के लोगों द्वारा सामान्यतः पहने जाने वाले कपड़े -- पोछाक, परिधान, वेश भुषा
पहरेदार (पुं.) चौकीदार, संतरी -- चंतरी, परीया, प्रहरी
पहलवान (पुं.) कुश्ती लड़ने वाला मजबूत और कसरती व्यक्ति -- पालोयान
पहला (वि.) समय के विचार से जो आदि में हुआ हो -- प्रथम, पहिला
पहला (वि.) प्रथम -- प्रथम, पहिला
पहला (वि.) वर्तमान से पूर्व का, विगत -- आगते, अतीत, विगत
पहले (क्रि.वि.) आदि, आरंभ या शुरू में, सर्वप्रथम -- आगते, प्रथमे
पहले (क्रि.वि.) काल, घटना, स्थिति आदि के क्रम के विचार से आगे या पूर्व -- आगते, प्रथमे
पहले (क्रि.वि.) बीते हुए समय में, पूर्वकाल में, पुराने जमाने में -- आगते, आगर दिनत
पहाड़ (पुं.) पर्वत, चट्टानों का वह प्राकृतिक पुंज जो जमीन की सतह से बहुत ऊँचा होता है -- पाहार
पहाड़ा (पुं.) किसी अंक की गुणन सारणी -- पुरण नेओता
पहिया (पुं.) गाड़ी, यान आदि का वह गोलाकार हिस्सा, जिसकी धुरी पर घूमने से गाड़ी या यान आगे बढ़ता है -- चका
पहिया (पुं.) यंत्र का चक्र, यंत्रों आदि में लगा हुआ उक्त प्रकार का गोलाकार, जिसके घूमने से उस यंत्र की कोई क्रिया संपन्न होती है -- चका, चकरी
पहुँचना (अ.क्रि.) (वस्तु अथवा व्यक्ति का) एक स्थान से चलकर दूसरे स्थान पर उपस्थित या प्रस्तुत होना -- गै पा, उपस्थित होवा
पहुँचना (अ.क्रि.) किसी स्थान या पद आदि को प्राप्त होना -- लाभकर
पांडुलिपि (स्त्री.) पुस्तक, लेख आदि की हस्तलिखित या मुद्रण योग्य प्रति -- पांडुलिपि
पाक्षिक (वि.) चांद्र मास के पक्ष से संबंध रखने वाला -- पषेकीया, पषेक
पाक्षिक (वि.) जो एक पक्ष (15 दिन) में एक बार होता है -- पषेकीया
पाखंड (पुं.) दिखावटी आचरण, उपासना या भक्ति -- भंडामि, कपाटिया
पाखंड (पुं.) पूजा-पाठ आदि का आडंबर, ढकोसला ढोंग -- भंडामि
पागल (वि.) जो किसी तीव्र मनोविकार के कारण ज्ञान या विवेक खो बैठा हो, विक्षिप्त, सनकी -- पगला, बलिया
पाचक (वि.) पचाने वाला -- हजम कारक
पाचक (पुं.) वह दवा जो खाई हुई चीज को पचाती या पाचन शक्ति बढ़ाती हो -- हजमी-औषध
पाठक (पुं.) पढ़ने वाला -- पाठक, पढ़ुवै
पाठशाला (स्त्री.) वह स्थान, जहाँ विद्यार्थियों को पढ़ना लिखना सिखाया जाता है, विद्यालय -- पाठशाला, बिद्यालय, पढ़ाशालि
पाताल (पुं.) पृथ्वी के नीचे के सात लोकों में से सबसे नीचे का लोक, नाग-लोक -- पाताल, तलट-देश
पाताल (पुं.) बहुत अधिक गहरा और नीचा स्थान -- अति द चापर ठाइ निम्न स्थान
पात्र (पुं.) वह आधान, जिसमें कुछ रखा जा सके, बरतन, भाजन -- पात्र, बस्तु धोवा यतन
पात्र (पुं.) ऐसा व्यक्ति, जो किसी काम या बात के लिए सब प्रकार से उपयुक्त या योग्य समझा जाता हो -- पात्र, योग्य व्यक्ति मंत्रि
पात्र (पुं.) उपन्यास, कहानी, काव्य, नाटक आदि में वे व्यक्ति, जो कथा-वस्तु की घटनाओं के घटक होते हैं और जिनके क्रिया कलाप या चरित्र से कथा वस्तु की सृष्टि और परिपाक होता है -- पात्र, चरित्र, दरा, वर
पाना (स.क्रि.) प्राप्त करना -- पा, प्राप्त कर
पाप (पुं.) धर्म और नीति के विरुद्ध किया जाने वाला ऐसा निंदनीय आचरण या काम, जो बुरा हो और जिसके फलस्वरूप मनुष्य को नरक भोगना पड़ता हो -- पाप
पारंगत (वि.) जिसने किसी विद्या या शास्त्र का बहुत अधिक ज्ञान प्राप्त कर लिया हो -- पंडित, बिद्वान, पारंगत
पार (पुं.) झील, नदी, समुद्र आदि का दूसरी ओर का किनारा -- पार, काष
पार (पुं.) किसी काम या बात का अंतिम पार, छोर या सिरा, विस्तार या व्यक्ति की चरम सीमा या हद -- शेष सीमा
पारदर्शी (वि.) जिसके आर-पार देखा जा सके -- पारदर्शी, विचक्षण, निपुण
पारदर्शी (वि.) दूरदर्शी, पारदर्शक -- दूरदर्शी, पटु, पारग
पारस (पुं.) एक कल्पित पत्थर जिसके स्पर्श मात्र से लोहा सोना हो जाता है -- परसमणि
पारावार (पुं.) समुद्र -- सागर, समुद्र
पारिभाषिक (वि.) परिभाषा-संबंधी -- परिभाषा संबंधी
पारिभाषिक (वि.) (शब्द) जो किसी शास्त्र या विषय में अपना साधारण से भिन्न कोई विशिष्ट अर्थ रखता हो (टेक्नीकल) -- पारिभाषिक
पारिश्रमिक (पुं.) किए हुए श्रम या कार्य के बदले में मिलने वाला धन, करने की मजूरी (रिम्यूनरेशन) -- पारिश्रमिक, मजूरि, कामर वेच
पालकी (स्त्री.) बैठने का एक प्रसिद्ध साधन, जिसे कहार या मजदूर कंधे पर उठाकर एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाते हैं -- पाल्की, दोला
पालतू (वि.) (पशु-पक्षियों के संबंध में) जो घर में रखा तथा पाला गया हो (जंगली से भिन्न) -- पोहनीया
पालन (पुं.) भरण-पोषण, परवरिश -- पालन, भरण पोषण
पालन (पुं.) आज्ञा, आदेश, कर्तव्य, वचन आदि का यथावत निर्वाह -- पालन
पालना (स.क्रि.) भरण-पोषण करना, परवरिश करना -- भरण-पोषण दे
पालना (स.क्रि.) पशु-पक्षियों को अपने पास रख कर खिलाना-पिलाना, पोसना -- पोह
पालना (स.क्रि.) आज्ञा, आदेश, प्रतिज्ञा, वचन आदि के अनुसार आचरण या व्यवहार करना -- पालन कर
पालना (पुं.) शिशुओं का झूला -- NA
पावन (वि.) पवित्र -- पबित्र
पावन (वि.) (समस्त पदों के अंत में) पवित्र करने या बनाने वाला -- पबित्र करोंत्
पाश (पुं.) वह चीज, जिससे किसी को बांधा जाए, बंधन, फंदा -- फंदि, जरी लेजू
पास (क्रि.वि.) जो अवकाश, काल आदि के विचार से अधिक दूरी पर न हो, निकट, समीप -- ओचर, निकट
पास (क्रि.वि.) अधिकार में, हाथ में -- हातत
पास (क्रि.वि.) जो जाँच, परीक्षा आदि में उपयुक्त या ठीक ठहरा हो -- पाच, उत्तीर्ण
पिंजरा (पुं.) धातु, बाँस आदि की तीलियों का बना हुआ बक्से की तरह का वह आधान, जिसमें पक्षी, पशु आदि बंद करके रखे जाते हैं -- पिंजरा
पिंड (पुं.) घनी या ठोस चीज का छोटा और प्रायः गोलाकार खंड -- टुकुरा
पिंड (पुं.) जौ के आटे, भात आदि का बनाया हुआ वह गोलाकार खंड, जो श्राद्ध में पितरों के उद्देश्य से वेदी आदि पर रखा जाता है -- पिंड
पिंडदान (पुं.) कर्मकांड के अनुसार पितरों को पिंड देने का कर्म जो श्राद्ध में किया जाता है -- पिंडदान
पिचकारी (स्त्री.) नली के आकार का धातु का बना हुआ एक उपकरण, जिसके मुँह पर एक या अनेक ऐसे छोटे छोटे छेद होते हैं, जिनसे नली में भरा हुआ तरल पदार्थ दबाव से धार या फुहार के रूप में दूसरों पर या दूर तक छिड़का या फेंका जाता है -- फिचकारी
पिछला (वि.) जो पीछे की ओर हो -- पूर्वपिछ फाल
पिछला (वि.) काल, घटना, स्थिति के क्रम के विचार से किसी के पूर्व में या पहले पड़ने या होने वाला -- बिगत, आगर, पूर्ब
पिछला (वि.) बीता हुआ -- गै यौवा, बिगत
पिपासा (स्त्री.) पानी या और कोई तरल पदार्थ पीने की इच्छा, तृष्णा, तृषा, प्यास -- पियाह, तृष्णा
पिशाच (पुं.) भूत या प्रेत योनि वाला वर्ग जिसकी गणना हीन देव योनियों में होती है तथा जो वीभत्स कर्म करने वाला माना जाता है -- पिशाच, भूत-प्रेत, असत-प्रकृतिर
पीछे (क्रि.वि.) पीठ की ओर -- पिठिफाले
पीछे (क्रि.वि.) कालक्रम, देश आदि के विचार से किसी के पश्चात् या उपरांत, घटना या स्थिति के विचार से किसी के अनंतर, उपरांत, पश्चात् -- पाछत
पीछे (क्रि.वि.) किसी के कारण या खातिर, निमित्त, के लिए वास्ते -- कारणे
पीटना (स.क्रि.) हाथ, डंडे आदि से प्रहार करना, चोट पहुँचाना -- मार, आघातकर
पीटना (स.क्रि.) चौसर, शतरंज आदि के खेलों में विपक्षी की गोट या मोहरा मारना -- मार, प्रहार
पीठिका (स्त्री.) छोटा पीढ़ा, पीढ़ी -- सरु पीरा
पीठिका (स्त्री.) वह आधार, जिस पर कोई चीज विशेषतः देवमूर्ति रखी, लगाई या स्थापित की गई हो -- पीठिका, पीठिया
पीड़ा (स्त्री.) शारीरिक या मानसिक कष्ट, दर्द -- कष्ट, दुख
पीढ़ी (स्त्री.) किसी कुल या वंश की परंपरा में क्रम से आगे बढ़ने वाली संतान की प्रत्येक कड़ी या स्थिति -- कुल, बंश
पीढ़ी (स्त्री.) किसी विशिष्ट समय का वह सारा जन समुदाय जिसकी वय में अधिक छोटाई बढ़ाई न हो, लगभग समान वय वर्ग वाला -- फैद, समवयसीया
पीढ़ी (स्त्री.) छोटा पीढ़ा -- सरुपीरा
पीना (स.क्रि.) किसी तरल पदार्थ को घूँट-घूँट करके पेट में उतारना -- पी, खा, पानकरा
पीना (स.क्रि.) धूम्रपान करना या शराब आदि से नशा करना -- पी, खा
पीला (वि.) जो केसर, सोने या हल्दी के रंग का हो -- हालधीया
पीला (वि.) आभा-रहित, निष्प्रभ -- शेंता
पीसना (स.क्रि.) रगड़ कर किसी वस्तु को चूरे के रूप में बदलना -- पिह, पिहा
पुंज (पुं.) ढेर, राशि -- समूह, दम
पुकार (स्त्री.) जोर से नाम लेकर संबोधित करने की क्रिया या भाव -- चिञर, मता
पुकार (स्त्री.) आत्मरक्षा, सहायता आदि के लिए दूसरों को बुलाने की क्रिया या भाव -- आर्तनाद, चिञर
पुकारना (स.क्रि.) किसी को बुलाने, संबोधित करने या उसका ध्यान आकृष्ट करने के लिए जोर से उसका नाम लेना -- मात
पुकारना (स.क्रि.) रक्षा, सहायता आदि के लिए किसी का आह्वान करना, आवाज लगाना या चिल्लाना -- आर्तनाद कर
पुचकारना (स.क्रि.) प्यार जताते हुए मुँह से पुच पुच शब्द करना -- जंतुक मरमेरे मात
पुजारी (पुं.) किसी देवी देवता की मूर्ति या प्रतिमा की पूजा करने वाला व्यक्ति -- पुजारी, पुजक
पुण्य (वि.) धर्म-विहित और उत्तम फल-दायक -- धर्म-बिहित पुण्य
पुण्य (पुं.) अच्छे और शुभ कर्मों का संचित रूप, जिसका आगे चलकर उत्तम फल मिलता हो -- पुण्य, सतकर्म धर्म
पुण्य (पुं.) धार्मिक दृष्टि से कुछ विशिष्ट अवसरों पर कुछ विशिष्ट कर्म करने से प्राप्त होने वाला शुभ फल -- पुण्य, सत-कर्म, धर्म
पुनरावृत्ति (स्त्री.) किए हुए काम या बात को फिर से करने या दोहराने की क्रिया या भाव -- पुनराबृत्ति
पुनरीक्षण (पुं.) किसी किए हुए काम को जाँचने के लिए फिर से देखना -- पुनरीक्षण
पुनर्जन्म (पुं.) मरने के बाद फिर से उत्पन्न होना, दुबारा शरीर धारण करना -- पुनर्जन्म
पुनीत (वि.) पवित्र -- पबित्र
पुरस्कार (पुं.) किसी प्रशस्त और कठिन कार्य को सफलतापूर्वक करने पर आदर या सत्कार के रूप में दिया जाने वाला धन या वस्तु -- पुरस्कार
पुरुषार्थ (पुं.) वह मुख्य अर्थ, उद्देश्य या प्रयोजन, जिसकी प्राप्ति या सिद्धि के लिए मनुष्य का प्रयत्न करना आवश्यक और कर्तव्य हो (पुरुषार्थ चार हैं-धर्म, अर्थ, काम, मोक्ष) -- पुरुषार्थ, परिश्रम, यत्न, चेष्टा
पुरुषार्थ (पुं.) उद्योग, उद्यम -- उद्योग, चेष्टा
पुरोहित (पुं.) कर्मकांड आदि जानने वाला ब्राह्मण, जो धार्मिक कार्य, संस्कारादि संपन्न कराता है (हिंदू प्रीष्ट) -- पुरोहित, ब्राह्मण
पुल (पुं.) खाइयों, नदी-नालों, रेल लाइनों आदि के ऊपर आर-पार पाट कर बनाई हुई वह वास्तु रचना, जिस पर से होकर गाड़ियाँ और व्यक्ति इधर से उधर आते-जाते हैं, सेतु (ब्रिज) -- दलं, सेतू, साँको
पुष्प (पुं.) फूल, कुसुम -- फूल
पुष्पांजलि (स्त्री.) फूलों से भरी हुई अंजलि, जो किसी देवता या महापुरुष को अर्पित की जाती है -- पुष्पांजलि
पुस्तकालय (पुं.) वह स्थान, जिसमें विभिन्न प्रकार की पुस्तकें सुव्यवस्थित ढंग से रखी जाती हैं -- पुस्तकालय, पुथिभॅराल
पूँजी (स्त्री.) जोड़ा या जमा किया हुआ धन -- पुंजि
पूँजी (स्त्री.) ऐसा धन, जो अधिक कमाने के उद्येश्य से व्यापार आदि में लगाया गया हो अथवा ऋण आदि पर उधार दिया गया हो -- मूलधन
पूछताछ (स्त्री.) किसी बात की जानकारी के लिए उसके संबंध में एक या अनेक व्यक्तियों से बार-बार पूछना -- अनुसंधान, अन्वेषण
पूछना (स.क्रि.) किसी बात के बारे में जिज्ञासावश कोई प्रश्न करना -- सोध, सोधा
पूछना (स.क्रि.) जाँच, परीक्षा आदि के प्रसंग में किसी के सामने कुछ प्रश्न रखना कि वह उसका उत्तर दे -- सोध, प्रश्न-करा
पूछना (स.क्रि.) किसी का हाल-चाल या खोजखबर लेना -- भाल-बेया-जान
पूजना (स.क्रि.) देवी-देवता को प्रसन्न या संतुष्ट करने के लिए यथाविधि श्रद्धाभाव से जल, फूल, नैवेद्य आदि चढ़ाना -- पुज
पूजना (स.क्रि.) किसी को परम श्रद्धा, भक्ति से देखना और आदरपूर्वक उसकी सेवा तथा सत्कार करना -- आदर-सादर कर
पूजनीय (वि.) पूजा करने योग्य, अर्चनीय या आदरणीय -- पूजनीय, पूज्य
पूजा (स्त्री.) किसी देवी देवता पर विनय, श्रद्धा और समर्पण के भाव के साथ जल, फूल, फल, अक्षत आदि चढ़ाने का धार्मिक कृत्य, अर्चन, पूजन -- पूजा
पूजा (स्त्री.) बहुत अधिक आदर-सत्कार -- आदर-सादर, सत्कार
पूरा (वि.) पूरी तरह से भरा हुआ, परिपूर्ण -- परिपूर्ण, पूरा
पूरा (वि.) समग्र, समूचा, सारा, कुल -- सकलो, संपूर्ण
पूर्ण (वि.) जो पूरी तरह से भरा हुआ हो -- पूर्ण, पूरा
पूर्ण (वि.) सब प्रकार की यथेष्टता के कारण जिसमें कुछ भी अपेक्षा, अभाव या आवश्यकता न रह गई हो, सबका सब, पूरा, सारा, समस्त -- संपूर्ण भरपूर
पूर्ण (वि.) हर तरह से ठीक और पूरा -- संपूर्ण
पूर्णमासी (स्त्री.) चाँद्र मास के शुक्ल पक्ष की अंतिम तिथि, जिसमें चंद्रमा अपने पूरे मंडल से उदय होता है, पूर्णमासी -- पूर्णिमा
पूर्णिमा (स्त्री.) दे. पूर्णमासी -- पूर्णिमा, पूनम
पूर्वज (पुं.) बाप, दादा, परदादा आदि पूर्व पुरुष, पुरखा -- पूर्बपुरुष
पूर्वानुमान (पुं.) किसी भावी काम या बात के स्वरूप आदि के संबंध में पहले से किया जाने वाला अनुमान -- पूर्बानुमान
पूर्वाभास (पुं.) किसी बात या बात के संबंध में पहले से ही हो जाने वाला अनुमान -- पूर्बाभास
पूर्वाह्न (पुं.) दिन का पहला भाग, सवेरे से दोपहर तक का समय -- पूर्बाहन, पुवाबेला
पृथ्वी (स्त्री.) सौर जगत का पाँचवाँ सबसे बड़ा ग्रह, जिस पर जीवन तथा वनस्पति है -- पृथिबी
पृथ्वी (स्त्री.) आकाश तथा जल से भिन्न वह अंश, जिस पर मनुष्य तथा पशु विचरण करते तथा पेड़-पौधे उगते हैं, जमीन, मिट्टी -- भू-खंड, भू-भाग
पृष्ठभूमि (स्त्री.) पिछला भाग -- पछिफाल, पृष्ठभूमि
पृष्ठभूमि (स्त्री.) पहले की वे सब बातें और परिस्थितियाँ, जिसके आगे या सामने कोई नई विशेष बात या घटना हो और जिनके साथ मिलान करने पर उस बात या घटना का रूप स्पष्ट होता है, भूमिका (बैकग्राउंड) -- पटभूमि, पृष्ठभूमि
पेचीदा (वि.) जिसमें बहुत से पेंच हो, घुमाव-फिराव वाला -- कठिन, जटिल
पेचीदा (वि.) (काम या बात) जिसमें बहुत-सी उलझनें, कठिनाइयाँ या झंझट हों -- जटिल
पेटी (स्त्री.) कमर में लपेट कर बाँधने का तसमा, कमरबंद -- पेटी, कमरबंध
पेटी (स्त्री.) छोटा संदूक, संदूकची, छोटी डिबिया -- हाथ बाकच, पेटारि
पेड़ (पुं.) वृक्ष -- गछ, बृक्ष
पेशगी (स्त्री.) अग्रिम धन -- आगधन, अग्रिम
पेशा (पुं.) व्यवसाय, धंधा -- बेवसाय
पैदावार (स्त्री.) फसल, अन्न आदि जो खेत में बोने से पैदा होता है, उत्पादन -- उत्पादन
पोंछना (स.क्रि.) किसी सूखे कपड़े को इस प्रकार किसी अंग, वस्तु या स्थान पर फेरना कि वह उस स्थान की नमी को सोख ले -- मोच
पोत (पुं.) जहाज, जलयान -- जाहाज
पोशाक (स्त्री.) पहनावा, लिबास -- पोछाक, साज
पोषण (पुं.) पुष्ट करना, लालन-पालन -- समर्थन, पोह-पाल करा, प्रतिपाल करा
पौधा (पुं.) छोटा पेड़, नया पेड़ -- पुलि, नतुन गछ आलोवा
पौना (पौन) (वि.) तीन चौथाई -- पौने, चारिभागेर तिनभाग
पौरुष (पुं.) पुरुषार्थ, पराक्रम, उद्यम -- पौरुष, पुरुषत्व
पौष्टिक (वि.) पुष्ट करने वाला, शक्तिवर्धक -- पौष्टिक
प्याऊ (पुं.) वह स्थान, जहां राह चलते लोगों को मुफ्त पानी पिलाया जाता है -- पथिक्क पानी खुओवा ठाइ
प्यार (पुं.) स्नेह, प्रेम, अनुराग -- मरम, चेनेह
प्यारा (वि.) जो देखने में अच्छा और भला लगे -- मरमर, चेनेहर
प्यारा (वि.) स्नेह या प्रेम का पात्र -- मरमी
प्याला (पुं.) एक प्रकार की कटोरी (कप) -- पियला, काप
प्यास (स्त्री.) वह स्थिति,जिसमें जल या कोई तरल पदार्थ पीने की उत्कट इच्छा होती है, तृष्णा,पिपासा -- हेपाह
प्रकट (वि.) ज़ाहिर, स्पष्ट, उद्भूत -- स्पष्ट, व्यक्त, प्रकाशित, प्रकट
प्रकांड (वि.) उत्तम, सर्वश्रेष्ठ -- प्रकांड, श्रेष्ठ
प्रकृति (स्त्री.) विश्व में रचना या सृष्टि करने वाली मूल नियामक तथा संचालन शक्ति, कुदरत (नेचर) -- प्रकृति
प्रकृति (स्त्री.) सहज स्वाभाविक गुण, स्वभाव -- सभाव, ब्यवहार
प्रकोप (पुं.) अत्यधिक क्रोध -- अतिपात खं, प्रकोप, क्रोध
प्रकोप (पुं.) किसी बीमारी का जोर -- बेमारर-प्रकोप
प्रखर (वि.) तीक्ष्ण, उग्र, तेज -- प्रखर, उग्र
प्रगतिशील (वि.) जो आगे बढ़ रहा हो या उन्नति कर रहा हो -- प्रगतिशील, अग्रगति, उन्नतिशील
प्रचंड (वि.) अति तीव्र, भयंकर -- प्रचंड, भयंकर, प्रबल, असह्य
प्रचलित (वि.) जो उपयोग या व्यवहार में आ रहा हो -- प्रचलित, थिटो प्रचलनकरा होइसे
प्रचार (पुं.) वह प्रयास, जो किसी बात या सिद्धांत को फैलाने के लिए किया जाता है -- प्रचार, जनाजातकरा कार्य प्रकाश
प्रचुर (वि.) बहुत अधिक, प्रभूत -- प्रचुर, बहुत यथेष्ट, पर्याप्त
प्रजनन (पुं.) जन्म देना, संतान उत्पन्न करना -- संतान, उत्पादन, प्रजनन
प्रजनन (पुं.) पशुओं आदि को पाल पोस कर उनकी उन्नति और वृद्धि करना -- जनन, पशुपालन
प्रजा (स्त्री.) किसी राज्य या राष्ट्र की जनता -- प्रजा, जनता, नागरिक, जनगन, राइज
प्रजातंत्र (पुं.) प्रजा के प्रतिनिधियों द्वारा शासन व्यवस्था (डिमोक्रेसी) -- प्रजातंत्र, गणतंत्र, जनतंत्र
प्रण (पुं.) दृढ़, निश्चय, प्रतिज्ञा -- प्रतिज्ञा, अंगीकार, संकल्प
प्रणव (पुं.) प्रेम, प्रीति -- प्रेम, अनुराग, आकर्षण भाल पोवा मरम
प्रणाम (पुं.) नमस्कार, अभिवादन -- प्रणाम, नमस्कार
प्रणाली (स्त्री.) पद्धति, रीति, ढंग -- प्रणाली, पद्धति
प्रताप (पुं.) तेज, प्रभाव, पौरुष, वीरता -- पुरुषत्व, बीरत्व, शक्ति, प्रताप
प्रतिकार (पुं.) बदला चुकाने के लिए किया गया कार्य, बदला, प्रतिशोध (रिवेंज) -- प्रतिशोध, क्षुधा कार्य, प्रतिहिंसा
प्रतिकार (पुं.) किसी बात को रोकने दबाने के लिए किया जाने वाला उपाय, रोकथाम -- प्रतिरोध, बाधा-बिछिन
प्रतिकूल (वि.) जो अनुकूल न हो, विपरीत -- प्रतिकूल, बिपरीत, अनिष्टकारी
प्रतिक्रिया (स्त्री.) किसी कार्य या घटना के परिणामस्वरूप होने वाला कार्य -- प्रतिक्रिया, विपरीतक्रिया
प्रतिज्ञा (स्त्री.) शपथ, सौगंध, प्रण -- प्रतिज्ञा, पण (ग्गाँ) (न), संकल्प
प्रतिद्वंद्वी (पुं.) वह व्यक्ति या वस्तु, जो किसी दूसरे व्यक्ति या वस्तु के मुकाबले हो या जिससे उसका मुकाबला हो (राइवल) -- प्रतिद्वंद्वी, बिपक्ष
प्रतिद्वंद्वी (पुं.) एक व्यक्ति की दृष्टि में वह दूसरा व्यक्ति, जो एक ही वस्तु या पद को पाने के लिए उसी की तरह उम्मीदवार हो, प्रतियोगी (कॅनटेस्टन्ट) -- प्रतियोगी, प्रतिद्वंद्वी
प्रतिध्वनि (स्त्री.) गूँज, प्रतिशब्द -- प्रतिध्वनि, घुरिअहा शब्द
प्रतिनिधि (पुं.) वह व्यक्ति , जो दूसरों की ओर से कहीं भेजा जाए अथवा उनकी ओर से कार्य करे (रिप्रेजेंटेटिव) -- प्रतिनिधि, दायित्वग्रहण करा व्यक्ति
प्रतिपादन (पुं.) किसी विषय का सप्रमाण कथन, निरूपण, विषय का स्थापन -- प्रतिपादन, निर्णय, मीमांसा, संपादन
प्रतिबंध (पुं.) बंधन या रोक, मनाही -- बाधा, बिघिन
प्रतिबंध (पुं.) किसी काम में लगाई गई शर्ते -- प्रतिबंधक बाधा-दिओंता
प्रतिबिंब (पुं.) परछाई, प्रतिच्छाया -- प्रतिबिंब
प्रतिभा (स्त्री.) असाधारण बुद्धिबल, विलक्षण बौद्धिक शक्ति -- बौद्धिक शक्ति, प्रतिभा, बिलक्षण
प्रतिमा (स्त्री.) मूर्ति, अनुकृति -- प्रतिमा, मूर्ति
प्रतियोगिता (स्त्री.) होड़, मुकाबला -- प्रतियोगिता
प्रतिलिपि (स्त्री.) किसी लिखी हुई चीज की नकल (कापी) -- प्रतिलिपि, नकल
प्रतिशत (क्रि.वि.) हर सौ पर, फीसदी -- शतकरा, शतांश
प्रतिशोध (पुं.) बदला, प्रतिकार -- लमन् खुंबा
प्रतिष्ठा (स्त्री.) स्थापन -- प्रतिष्ठा, मान, सन्मान, मर्यादा स्थापन करा, ख्याति
प्रतिष्ठा (स्त्री.) मान, मर्यादा, इज्जत -- ख्याति थापना-कार्य
प्रतिष्ठा (स्त्री.) ख्याति, प्रसिद्धि -- स्थापना, प्रतिष्ठा, संस्थापन
प्रतिस्पर्धा (स्त्री.) होड़, प्रतियोगिता -- प्रतियोगिता, प्रतिस्पर्धा
प्रतीक (वि.) वह गोचर या दृश्य वस्तु, जो किसी अगोचर या अदृश्य वस्तु के बहुत कुछ अनुरूप होने के कारण उसके गुण रूप का परिचय कराने के लिए उसका प्रतिनिधित्व करती हो -- प्रतीक, चिन, निदर्शन
प्रतीक्षा (स्त्री.) इंतजार -- प्रतीक्षा, अपेक्षा
प्रतीक्षालय (पुं.) वह स्थान, जहाँ थोड़े समय के लिए बैठकर इंतजार किया जाता है -- प्रतीक्षालय, अपेक्षाकरा कक्ष
प्रत्यक्ष (वि.) जो आँखों के सामने स्पष्ट दिखाई दे रहा हो -- प्रत्यक्ष चकुरे देखा इंद्रिय द्वारा उपलब्ध
प्रत्यय (पुं.) विश्वास, धारण -- प्रत्यय शब्द बाधातुर पिछत लगा शब्दांस, विश्वास, प्रतीति, स्थिरधारणा
प्रत्यय (पुं.) व्याकरण में वह अक्षर या अक्षरों का समूह जो धातुओं अथवा विकारी शब्दों के अंत में लगकर उनके अर्थों में विशेषता उत्पन्न करते हैं (सफिक्स) -- प्रत्यय
प्रत्याशी (पुं.) उम्मीदवार -- प्रार्थी, प्रत्यासी
प्रत्येक (वि.) हरएक -- प्रत्येक
प्रथम (वि.) जो पहले स्थान पर हो -- प्रथम
प्रथा (स्त्री.) रीति, परिपाटी -- प्रथा, नियम
प्रदक्षिणा (स्त्री.) किसी पवित्र स्थान या देव मूर्ति के चारों ओर इस प्रकार घूमना कि वह पवित्र स्थान या मूर्ति बराबर दाहिनी ओर रहे, परिक्रमा -- प्रदक्षिण, परिक्रमा
प्रदर्शनी (स्त्री.) वह स्थान, जहाँ तरह तरह की वस्तुएँ दिखाने के लिए रखी हों -- प्रदर्शनी
प्रदेश (पुं.) भू-भाग का कोई खंड विशेष -- अंचल, भु-भाग
प्रदेश (पुं.) किसी संघ या राज्य-की कोई इकाई -- राज्य
प्रधान (वि.) सबसे बड़ा, मुख्य, मुखिया -- प्रधान, मुख्य
प्रबंध (पुं.) व्यवस्था, इंतज़ाम, बंदोबस्त -- ब्यवस्था
प्रबंध (पुं.) सुव्यवस्थित रचना -- प्रबंध, रचना, निबंध
प्रबल (वि.) जिसमें बहुत अधिक बल हो -- बली
प्रबल (वि.) तेज, प्रचंड, घोर -- प्रचंड, प्रबल
प्रभा (स्त्री.) आभा, चमक, प्रकाश -- प्रभा, पोहर, कांति, दीप्ति
प्रभात (पुं.) सूर्य निकलने से कुछ पहले का समय, प्रातःकाल -- पुवा, प्रातः, प्रभात, राति दुवा
प्रभाव (पुं.) किसी के बुद्धिबल, उच्चपद आदि के फलस्वरूप दूसरों पर पड़ने वाला दबाव (इंफ्लूएंस) -- प्रभाव, प्रभुत्व
प्रभाव (पुं.) फल, परिणाम, असर -- परिणाम, फल
प्रभु (पुं.) ईश्वर, परब्रह्म -- ईश्वर, प्रभु
प्रभु (पुं.) स्वामी, शासक -- स्वामी, गराकी
प्रमाण (पुं.) सबूत -- सिद्ध बचन, प्रमाण
प्रमाण (पुं.) जिसका वचन या निर्णय यथार्थ या सत्य माना जाए -- सिद्ध बचन, प्रमाण
प्रमुख (वि.) प्रथम, मुख्य -- प्रथम, मुख्य
प्रमुख (वि.) श्रेष्ठ, सम्मान्य, प्रतिष्ठित -- श्रेष्ठ
प्रयत्न (पुं.) कोशिश, प्रयास -- यत्न, चेष्टा
प्रयास (पु.) प्रयत्न, कोशिश -- यत्न, चेष्टा
प्रयोग (पुं.) इस्तेमाल -- ब्यवहार
प्रयोग (पुं.) अस्त्र-शस्त्र चलाना या छोड़ना -- अस्त्र-शस्त्रर ब्यवहार
प्रयोग (पुं.) वैज्ञानिक प्रयोगशाला में की जाने वाली कोई परीक्षणात्मक किया (एक्सपेरिमेंट) -- परीक्षा, प्रयोग
प्रयोगशाला (स्त्री.) वह स्थान, जहाँ विभिन्न तकनीकी विषयों से संबंधित प्रयोग किए जाते हैं (लेबोरेटरी) -- गबेषणागार, प्रयोगशाला
प्रयोजन (पुं.) उद्देश्य, हेतु -- उद्देश्य, कारण
प्रयोजन (पुं.) अभिप्राय, मतलब -- अभिप्राय, उद्देश्य
प्रलय (पुं.) संसार का अपने मूल कारण प्रकृति में सर्वथा लीन हो जाना, सृष्टि का सर्वनाश -- प्रलय
प्रलय (पुं.) भयंकर नाश या बरबादी -- ध्वंस, नाश
प्रलेख (पुं.) दस्तावेज -- खत, दलिल
प्रलोभन (पुं.) लालच -- प्रलोभन, लोभ
प्रवचन (पुं.) धार्मिक नैतिक आदि गंभीर विषयों में परोपकार की दृष्टि से कही जाने वाली अच्छी तथा विचारपूर्ण बातें -- नीति उपेदश, प्रवचन,
प्रवचन (पुं.) उपदेशपूर्ण भाषण -- उपदेशपूर्ण भाषण
प्रवास (पुं.) परदेश में रहना, विदेशवास -- प्रबास
प्रवासी (वि.) परदेस में रहने वाला, जो प्रवास में हो -- प्रबासी
प्रवाह (पुं.) बहने की क्रिया या भाव, बहाव -- धारा, प्रबाह
प्रवाह (पुं.) किसी वस्तु का अट्टू क्रम -- लानि निछिङा धारा
प्रविष्टि (स्त्री.) प्रवेश -- प्रबेश
प्रविष्टि (स्त्री.) इंदराज, बही-खाते आदि में लेखे, विवरण आदि लिखना -- भर्तिकरण
प्रवीण (वि.) निपुण, कुशल -- निपुण, दक्ष
प्रवृत्ति (स्त्री.) मन का किसी विषय की ओर झुकाव -- मनर भाव, मनौ भाव
प्रवीण (स्त्री.) मनुष्य का साधारण आचरण या व्यवहार -- स्वभाव, आचार-व्यवहार
प्रवेश (पुं.) अंदर जाने की क्रिया या भाव -- प्रबेश
प्रवेश (पुं.) किसी विशिष्ट संस्था आदि में भर्ती होना, दाखिला -- नाम, भर्तिकरण
प्रशंसा (स्त्री.) गुणों का बखान, तारीफ -- प्रशंसा
प्रशासन (पुं.) सार्वजनिक व्यवस्था की दृष्टि से किया जाने वाला कार्य, शासन (एडमिनिस्ट्रेशन) -- प्रशासन
प्रशिक्षण (पुं.) किसी व्यावहारिक या प्रायोगिक शिक्षा पद्धति से दी जाने वाली विशेष शिक्षा, सिखलाई (ट्रैनिंग) -- प्रशिख्यण, तालिम
प्रसंग (पुं.) विषय का तारतम्य, प्रकरण, संबंध -- प्रसंग, आलोचनार-विषय संगति
प्रसन्न (वि.) खुश, संतुष्ट, प्रफुल्लित -- प्रफुल्लित, प्रसन्न
प्रसारण (पुं.) फैलाना -- प्रचार
प्रसारण (पुं.) आकाशवाणी आदि सूचना माध्यमों द्वारा कार्यक्रमों और सूचनाओं को दूर-दूर तक लोगों को सुनाना, लोगों को सुनाने के लिए सूचना माध्यमों से प्रसारित करना -- प्रसारण, प्रचार
प्रसिद्ध (वि.) विख्यात, मशहूर -- प्रसिद्ध, विख्यात
प्रसूति (स्त्री.) प्रसव, उत्पत्ति -- प्रसव, उत्पत्ति
प्रसूति (स्त्री.) संतति, संतान -- संतान
प्रस्ताव (पुं.) किसी के सामने विचारार्थ रखी गई बात या सुझाव -- प्रस्ताव, परामर्श
प्रस्ताव (पुं.) उक्त का वह रूप, जो किसी सभा या संस्था के सदस्यों के समक्ष विचारार्थ रखा जाए (मोशन) -- आबेदन, प्रस्ताव
प्रस्तावना (स्त्री.) किसी ग्रंथ का वह आरंभिक वक्तव्य, जिसमें उससे संबंधित कुछ मुख्य बातों का विवेचन किया जाता है (प्रीफेस) -- प्रस्तावना, आगकथा
प्रस्तुत (वि.) मौजूद, उपस्थित, वर्तमान -- बर्तमान, उपस्थित
प्रस्तुत (वि.) प्रकरण प्राप्त, प्रासंगिक -- प्रासंगिक
प्रस्तुत (वि.) उद्यत, तैयार -- साजु, प्रस्तुत
प्रहरी (पुं.) पहरेदार -- परीया, प्रहरी, चकिदार
प्राण (पुं.) शरीर के भीतर की जीवनाधार वायु, श्वास -- प्राण, प्राणबायु
प्राणदंड (पुं.) मौत की सजा, मृत्यु दंड -- मृत्युदंड
प्राथमिकता (स्त्री.) किसी कार्य, बात या व्यक्ति को औरों से पहले दिया जाने या मिलने वाला अवसर, स्थान या अग्रता (प्राइऑरिटी) -- प्राथमिकता, अग्राधिकार
प्राथमिकता (स्त्री.) प्रथम स्थान में होने या रखे जाने की अवस्था या भाव -- प्राथमिकता, अग्राधिकार
प्रादेशिक (वि.) प्रदेश-संबंधी, प्रदेश का -- प्रादेशिक, राज्यिक
प्राप्त (वि.) जो मिला हो, लब्धा -- प्राप्त, पोवा
प्रामाणिक (वि.) जो प्रमाण के रूप में माना जाता हो या माना जा सकता हो -- प्रामाणिक
प्रामाणिक (वि.) जो शास्त्रों आदि से प्रमाणित या सिद्ध हो -- प्रामाणिक, प्रमाण
प्रायः (क्रि.वि.) लगभग, करीब-करीब -- प्रय, अधिकांश, सरह भाग तुला निशिना
प्रामाणिक (क्रि.वि.) अक्सर, अधिकतर -- प्राये
प्रायद्वीप (पुं.) स्थल का वह भाग जो तीन ओर से पानी से घिरा हो और एक ओर स्थल से लगा हो (पिनिन्रयुला) -- उपद्वीप
प्रायश्चित (पुं.) गलत अनुचित कार्य हो जाने पर अफसोस करना, पछतावा -- अनुताप
प्रायश्चित (पुं.) पाप का मार्जन करने के लिए किया जाने वाला शास्त्रविहित कर्म -- प्रायश्चित, पराचित
प्रार्थना (स्त्री.) निवेदन, याचना -- निबेदन, प्रार्थना
प्रार्थना (स्त्री.) अपने या किसी और के लिए भक्ति और श्रद्धा पूर्वक ईश्वर से कल्याण की कामना -- प्रार्थना, आवेदन
प्रिय (वि.) जिसके प्रति बहुत अधिक स्नेह या प्रेम हो, मन को अच्छा लगने वाला, प्यारा, मनभावन -- मरमर, प्रिय
प्रीतिभोज (पुं.) किसी मांगलिक या सुखद अवसर पर बंधु-बांधवों और इष्ट मित्रों को कराया जाने वाला भोजन, दावत -- प्रीतिभोज
प्रेम (पुं.) प्रीति, प्यार, स्नेह, अनुराग -- प्रेम, चेनेह, मरम, प्रीति
प्रेरक (वि.) प्रेरित करने वाला, प्रेरणा देने वाला -- प्रेरक, पठियाओंता यि पठियाय
प्रेरणा (स्त्री.) किसी को किसी कार्य में प्रवृत्त करने की प्रक्रिया या भाव -- प्रेरणा, उद्गरणि, उत्साह
प्रेषण (पुं.) भेजना, रवाना करना -- प्रेषण
प्रोत्साहन (पुं.) हिम्मत बढ़ाना -- साहस
प्रोत्साहन (पुं.) प्रोत्साहित करने के लिए कही जाने वाली बात -- उत्साहित कथा, प्रेरणा
प्रौढ़ (वि.) अच्छी या पूरी तरह से बढ़ा हुआ -- पूरठ, प्रौढ़, बयस्क
प्रौढ़ (वि.) मध्य अवस्था में पहुँचा हुआ व्यक्ति (एडल्ट) -- प्रौढ़, आदहीया, डेका, बूढ़ा
प्रौढ़ (वि.) पुष्ट, परिपक्व (मैच्योर) -- परिपूर्ण, पूरण, परिपकव
फकीर (पुं.) संत, साधु -- संतसाधू, भिखारी, सन्यासी
फकीर (पुं.) भिखमंगा, भिखारी -- भिखारी, सन्यासी
फटकना (स.क्रि.) सूप आदि के द्वारा अन्न साफ करना -- जार
फटकना (स.क्रि.) कपड़े को इस प्रकार झाड़ना कि उसमें से लगी हुई धूल या सिलवटें निकल जाएँ -- फाल
फड़कना (अ.क्रि.) शरीर के किसी अंग में स्फुरण होना -- लर, कपा
फड़कना (अ.क्रि.) कोई बहुत बढ़िया या विलक्षण चीज़ देखकर मन में उक्त प्रकार का स्फुरण होना, जो उस चीज़ के विशेष प्रशंसक होने का सूचक देता हैं। -- आनंद बिरिघ, स्फुर्ति होना
फड़कना (अ.क्रि.) पक्षियों के पर हिलना, फड़फड़ाना -- धपधपा
फबना (अ.क्रि.) किसी वस्तु का किसी पर सुंदर लगना या जँचना, -- भाल-लाग
फबना (अ.क्रि.) बात आदि का ठीक मौके पर उपयुक्त लगना -- उपयुक्त
फर्क (पुं.) दो वस्तुओं व्यक्तियों आदि में दिखाई पड़ने वाली विषमता, भिन्नता -- पार्थक्य, तफात
फर्क (पुं.) भेद-भाव, दुराव -- भेदभाव
फर्क (पुं.) हिसाब-किताब आदि में भूल-त्रुटि आदि के कारण पड़ने वाला अंतर -- भुल होवा, अंतर
फल (पुं.) पेड़ का फल -- फल
फल (पुं.) किसी प्रकार की क्रिया, घटना, प्रयत्न आदि के परिणाम के रूप में होने वाली बात, क्रिया, घटना, प्रयत्न आदि का परिणाम -- फलाफल, परिणाम
फलना (अ.क्रि.) वृक्ष का फलों से युक्त होना -- गुटि लाग, फल धरा
फलना (अ.क्रि.) किसी काम या बात का शुभ परिणाम प्रकट होना -- फलाफल घोषित ह, फलिओवा
फलना (अ.क्रि.) सुख-सुमृद्धि का कारण बनना -- सुख-समृद्धिर कारण
फसल (स्त्री.) खेत में बोए हुए अनाजों आदि की पैदावार -- शस्य, खेति
फव्वारा (पुं.) एक विशिष्ट प्रकार का उपकरण, जिसमें पानी दबाव के कारण धारा या बूंदों में नीचे गिरता है, फुहारा (फाउंटेन) -- फोहोरा
फहराना (स.क्रि.) कोई चीज इस प्रकार खुली छोड़ देना जिससे वह हवा में लहराती रहे -- उरा
फाँसना (स.क्रि.) फंदे में किसी पशु पक्षी को फँसाना -- फाँदत पेला
फाँसना (स.क्रि.) छल, ठगी, युक्ति आदि से किसी व्यक्ति को अपने लाभ के लिए फँसाना -- निजर बश कर, फांदत पेला
फाँसी (स्त्री.) प्राणदंड -- मृत्युदंड
फाँसी (स्त्री.) रस्सी का वह फंदा जिसे लोग गले में फँसाकर आत्महत्या के लिए झूल या लटक जाते हैं -- चिपजरी, खोचोरा गाँठि
फाटक (पुं.) मुख्य द्वार पर लगा हुआ बड़ा दरवाजा (मेनगेट) -- गेट, नङलामुख
फाड़ना (स.क्रि.) कागज, कपड़े आदि को बलपूर्वक खींचकर टुकड़े-टुकड़े कर देना -- फाल
फाड़ना (स.क्रि.) किसी गाढ़े द्रव पदार्थ आप के संबंध में ऐसी क्रिया करना कि उसका जलीय अंश तथा ठोस अंश अलग हो जाए -- फाल
फाड़ना (स.क्रि.) किसी वस्तु का मुँह साधारण से अधिक और दूर तक फैलाना या बढ़ाना -- NA
फालतू (वि.) आवश्यकता से अधिक, अनावश्यक -- अतिरिक्त
फालतू (वि.) बेकार -- अनुपयोगी
फिर (क्रि.वि.) दोबारा या पुनः -- आकौ, पुनराय, पुनर
फिर (क्रि.वि.) पीछे, अनंतर, उपरांत, बाद -- पाछत
फिर (क्रि.वि.) तब -- तेतिया
फीका (वि.) स्वादहीन (पदार्थ) -- सोवाद नोहोवा, स्वादहीन
फीका (वि.) जो यथेष्ट चमकीला या तेज न हो (रंग) -- शँता, निस्तेज
फीका (वि.) जिसमें आनंद की प्राप्ति न हुई हो नीरस (खेल) तमाश आदि -- निष्प्राण, नीरस
फीता (पुं.) सूत आदि की बनी हुई कम चौड़ी और लंबी पट्टी (लेस) -- लेस, जरी
फीता (पुं.) लंबाई, चौड़ाई मापने वाली पट्टी -- टेप
फीस (स्त्री.) विशिष्ट कार्यों के बदले दिया गय धन -- फिज, पारिश्रमिक
फीस (स्त्री.) वह धन, जो विद्यार्थी की शिक्षा के लिए मासिक रूप में देना पड़ता है, शुल्क -- माछुल
फुंकार (स्त्री.) वह ज़ोर की ध्वनि, जो सर्प आदि द्वारा क्रोध में वेगपूर्वक साँस बाहर निकालते समय होती है, फूत्कार, फुफकार -- फाँचफाँचणि
फुटकर (वि.) भिन्न या अनेक प्रकार का, अलग-अलग छोटे हिस्से में -- बिभिन्न धरणर
फुटकर (वि.) जो इकट्ठा या एक साथ नहीं, बल्कि अलग अलग खंडों में आता या रहता हो, खुदरा, थोक या विपर्याय (रिटेल) -- खुचुरा
फुदकना (अ.क्रि.) पक्षियों, जंतुओं आदि द्वारा उछलते हुए चलना -- जँपियाइ फुर
फुदकना (अ.क्रि.) उमंग में आकर अथवा प्रसन्नता पूर्वक उछलते हुए इधर-उधर आना जाना -- आनंदते इफाले-सीफाले घुरि-फुर
फुलझड़ी (स्त्री.) छोटी, पतली डंडी वाली आतिशबाजी, जिसमें से फूल की सी चिनगारियाँ निकलती हैं -- फुलजारि
फुलवारी (स्त्री.) फूलों से भरा छोटा उद्यान या बगीचा -- फुलनि, बागिछा
फुसफुसाना (अ.क्रि.) बहुत ही धीमे या दबे स्वर में बोलना -- फुचफुचा
फुहार (स्त्री.) ऊपर से गिरने वाली पानी की या किसी तरल पदार्थ की छोटी छोटी बूँदें -- बुरबुरणि
फुहारा (पुं.) जमीन से फूट पड़ने वाली पानी की या तेल, पेट्रोल की तेज धार -- झरणा
फुहारा (पुं.) एक विशिष्ट प्रकार का उपकरण, जिसमें पानी या किसी तरल पदार्थ की बूँदें निरंतर गिरती हैं, फव्वारा (फाउंटेन) -- फोहोरा
फूँकना (स.क्रि.) मुँह का विवर समेटकर वेग के साथ हवा छोड़ना, मुँह से हवा भरकर किसी नली आदि से वेगपूर्वक हवा छोड़ना -- फु मार
फूँकना (स.क्रि.) आग लगाना, जलाना या सुलगाना -- जुइ जला
फूँकना (स.क्रि.) बुरी तरह से नष्ट या बरबाद करना -- ध्वंस कर, नष्ट कर
फूट (स्त्री.) आपसी अनबन या बिगाड़ -- काजिया, मनो मालिन्य, बिरोध, कलह
फूट (स्त्री.) एक प्रकार की बड़ी ककड़ी जो पकने पर प्रायः खेतों में ही फट जाती है -- चिराल
फूल (पुं.) पुष्प, कुसुम -- कुसुम, फुल, पुष्प
फूल (पुं.) शव के जल जाने के बाद बची हुई हड्डियाँ -- दाहकर्म पाछत बाछि थका हाड़, अस्थि-हाड़
फूलदान (पुं.) फूल सजाने के लिए मिट्टी, धातु, शीशे आदि का बना पात्र, गुलदान -- फुलदानी
फूलना (अ.क्रि.) पेड़-पौधों में फूल आना -- फुला मुकुलिह
फूलना (अ.क्रि.) बहुत अधिक उभर जाना या ऊँचा होना, सूजना -- बेछिकै आइ
फूलना (अ.क्रि.) उमंग से भर जाना, बहुत प्रसन्न होना -- आनंदित ह
फेंकना (स.क्रि.) किसी वस्तु को वेग से दूर हटाना -- दलियाइ दे
फेन (पुं.) बुलबुलों का समूह, झाग -- फेन बुखरनीर समष्टि
फेरा (पुं.) परिक्रमा, किसी चीज़ के चारों ओर घूमने की क्रिया या भाव -- चारिओ-फाले घूरा-कार्य
फोरा (पुं.) बार-बार कहीं आने जाने की क्रिया या भाव, चक्कर -- अहायोवा करिथका कार्य
फोरा (पुं.) विवाह के समय वर-वधू द्वारा की जाने वाली अग्नि की परिक्रमा -- प्रदक्षिण, अलप अकनमान चरि ओ फाले घुरा कार्य
फैलना (अ.क्रि.) किसी चीज का विस्तार होना -- बियपि पर
फैलना (अ.क्रि.) किसी बात आदि का व्यापक क्षेत्र में चर्चा का विषय बनना -- बियपि पर
फोड़ना (स.क्रि.) शीशा, चीनी या मिट्टी आदि की कोई वस्तु खंड-खंड करना या तोड़ना, किसी खोखली या वायु भरी वस्तु को आघात या दबाव द्वारा तोड़ना -- भाङ्गकर डोखर कर
फोड़ना (स.क्रि.) किसी दल या पक्ष के व्यक्ति को प्रलोभन देकर अपनी ओर मिलाना -- फुचलाइ-निजर फलीया कर भङा
बंगला (पुं.स्त्री.) चारों तरफ से खुला हुआ एक मंजिला मकान -- बङला, घर
बंगला (पुं.स्त्री.) बंगाल की भाषा -- बङला भाषा, बग भाषा
बंजर (वि.स्त्री.) भूमि जिस पर कुछ पैदा न हो -- शुकान चापरि
बंद (वि.) बँधा हुआ, कसा हुआ -- बंध
बंद (वि.) चारों ओर की दीवारों आदि से घिरा (स्थान) -- आबरि थका
बंद (वि.) बाधायुक्त -- बाधायुक्त
बंदनवार (पुं.) आम, अशोक आदि की पत्तियों को रस्सी में टाँक कर बनी श्रृंखला, जो शुभ अवसरों पर दरवाजों आदि पर लटकाई जाती है -- तोरण, प्रधान-प्रवेश-द्वार
बंदरगाह (पुं.) समुद्र के किनारे का वह स्थान, जहाँ जहाज ठहरते हैं (सी पोर्ट, हार्बर) -- बंदर, सागर, पारर जाहाज बंधा ठाइ
बंदी (पुं.) कैदी (प्रिजनर) -- बंदी कयेदी, आटक-थकालोक
बंदूक (स्त्री.) ऐसा अस्त्र, जिसमें कारतूस, गोली आदि भरकर इस प्रकार छोड़ी जाती है कि लक्ष्य पर लगे (गन, राइफल, मस्केट) -- बंदुक
बंधक (पुं.) गिरवी या रेहन -- बंधक, धारवाले वस्तु
बकना (स.क्रि.) ऊटपटांग या व्यर्थ की बातें करना -- बक, अतिरिक्त कथा क, बलक
बकाया (वि.) बाकी बचा हुआ -- बाकी, थका, अवशिस्ट
बकाया (पुं.) किसी काम, बात या राशि का वह अंश, जिसकी अभी पूर्ति होनी शेष हो -- बाकी, अंश
बगीचा (पुं.) छोटा बाग या फुलवारी -- फुलनी बागिछा
बचत (स्त्री.) व्यय से बची रहने वाली राशि -- राहि धन, संचय
बचत (स्त्री.) लागत आदि निकालने के बाद बचा हुआ धन, मुनाफा, लाभ -- लाभ प्राप्ति, मुनाफा
बचना (अ.क्रि.) उपयोग, व्यय आदि के बाद जो कुछ शेष रहे -- हाते जमा ह, राहि धन
बचना (अ.क्रि.) बंधन, विपद, संकट आदि से किसी प्रकार सुरक्षित रहना -- बाचि थाक
बचना (अ.क्रि.) किसी कार्य, व्यक्ति से संकोच करना -- आँतरि थाक
बचपन (पुं.) बाल्यावस्था -- लराकाल, बाल्यबस्था, शैशव
बच्चा (पुं.) नवजात शिशु -- शिशु, लरा, कम नयसीमा खरा-छोवाली
बच्चा (पुं.) बालक -- लरा, पुरुष-शिशु
बजना (अ.क्रि.) किसी चीजॉ पर आघात किए जाने पर निकली ध्वनि -- शब्द ह, ध्यनि कर, शब्द तोल
बजना (अ.क्रि.) संगीत अथवा वाद्य यंत्र से ध्वनि निकालना -- बाद्य, ध्वनि ह, बाध्ययंत्र ध्वनि उत्पन्न ह
बजे (अ.) समय-मान, जैसे दस बजे ( क्लॉक) -- बजा
बटुआ (पुं.) कपड़े चमड़े आदि का खानों वाला तथा ढक्कन-दार आधान, जिसमें रुपए-पैसे रखे जाते हैं (पर्स) -- बटुआ, बैग, जोलाङा खुरान थका पात्र
बड़ा (वि.) किसी वस्तु का वह गुण, जो आकार, आयतन या माप में दूसरी वस्तु से अधिक होता है -- डाङर, बिशाल
बड़ा (वि.) पद, गरिमा, गुण आदि की दृष्टि से श्रेष्ठ -- जेष्ठ
बड़ा (वि.) उरद की दाल का एक प्रकार का नमकीन पकवान -- बर
बड़ाई (स्त्री.) बड़े होने की अवस्था या भाव -- श्रेष्ठत्त, डाङर बा महान होवार भाव बा कार्य
बड़ाई (स्त्री.) प्रशंसा, तारीफ -- प्रशंसा
बढ़ना (अ.क्रि.) आकार, क्षेत्र, परिमाण, विस्तार, सीमा आदि में वृद्धि होना -- डाङर बा महान होवार भाव बा कार्य
बढ़ना (अ.क्रि.) आगे की ओर चलना -- आग-बाढ़, अग्रसर ह
बढ़ना (अ.क्रि.) किसी प्रकार की उन्नति होना -- उन्नति ह
बढ़ाना (स.क्रि.) किसी को बढ़ने में प्रवृत्त करना -- आग-बढ़ा
बढ़ाना (स.क्रि.) परिमाण, मात्रा, संख्या आदि में वृद्धि करना -- बुद्धि कर, बढ़ोवा
बढ़ाना (स.क्रि.) किसी प्रकार की व्याप्ति में विस्तार करना -- विस्तारित कर
बढ़िया (वि.) जो गुण, रचना, रूप-रंग आदि की दृष्टि से उच्च कोटि का हो, उत्तम, उम्दा -- सुंदर, उत्तम, सुदृश्य, शोभन, धूनिया
बताना (स.क्रि.) किसी को कोई जानकारी देना -- परिचय करा, कोवा जाननी-दिया
बताना (स.क्रि.) किसी प्रकार का निर्देश या संकेत करना -- संकेत कर, इंगित कर
बत्तीसी (स्त्री.) मनुष्य के 32 दातों का समूह -- बत्रिश दाँत
बदनाम (वि) जिसकी निंदा हो रही हो, कुख्यात -- बदनाम, कुख्यात, निंदि
बदलना (अ.क्रि.) परिवर्तन होना -- पबिर्तन ह बा कर
बदला (पुं.) प्रतिकार, पलटा -- प्रतिशोध, प्रतिकार
बदसूरत (वि.) भद्दी सूरत वाला, कुरूप -- कुरुप, कुत्सित, कदाकार
बधाई (स्त्री.) मुबारकबाद -- अभिनंदन
बधाई (स्त्री.) मंगल अवसर का गाना-बजाना -- मांगलिक गीत-बाद्य
बधिर (वि.) बहरा -- कला, बधिर, श्रवणशक्तिहीन
बनजारा (पुं.) वह व्यक्ति जो बैलों आदि पर सामान लादकर बेचने के लिए एक देश से दूसरे देश को जाता है, एक खानाबदोश जाति -- गरुर ओपरत बोजकरि बिदेशत बेपार करा बेपारी
बनाना (स.क्रि.) किसी वस्तु को तैयार करना -- मानुहे करा, सजा कृत्रिम जाल
बनाना (स.क्रि.) किसी की प्रशंसा करते हुए उसे उपहासास्पद या मूर्ख बनाना -- अति प्रशंसा करि मानुहक हाँहियाबर पात्र कर
बनावटी (वि.) वास्तविकता से परे, ऊपरी या बाहरी -- सजा कृत्रिम मानुहेकरा
बनावटी (वि.) वास्तविकता के अनुकरण पर बनाया हुआ, कृत्रिम, नकली -- सजा कृत्रिम जाल
बनिया (पुं.) व्यापार करने वाला व्यक्ति, वैश्य -- बैश्य, चारि वर्णर तृतीय वर्ण
बनिया (पुं.) आटा, दाल, नमक, मिर्च आदि बेचने वाला दुकानदार -- गेलामालर दोकानी बेपारी
बरसना (अ.क्रि.) वर्षा होना -- पर, बरषूण होवा, बारिषा
बरसना (अ.क्रि.) किसी चीज का बहुत आधिक मात्रा, मान, संख्या में लगातार गिरना -- बरषूण परा, बरषा, बरषून
बरसात (स्त्री.) बारिश, वर्षा-ऋतु -- बर्षाऋतु, वर्षा, बारिषा
बरसी (स्त्री.) किसी के मरने के बाद हर वर्ष पड़ने वाली तिथि -- मृत्युबार्षिकी
बरसी (स्त्री.) मृत का वार्षिक श्राद्ध -- बछेरे किया श्राद्ध
बराती (पुं.) किसी की बारात में सम्मिलित होने वाला व्यक्ति -- बरयात्री
बराबर (वि.) जो तुलना के विचार से एक-सा हो, समान -- समान, तुल्य
बराबर (वि.) (तल) जो ऊँचा-नीचा या खुरदरा न हो, सम -- समान, सम
बराबर (क्रि.वि.) लगातार, निरंतर -- एकेराहे, निरंतर
बर्फ (स्त्री.) हिम (स्नो) -- बरफ, हिम
बर्फ (स्त्री.) बहुत अधिक ठंडक के कारण जमा हुआ पानी जो ठोस हो जाता है और आघात लगने पर टुकड़े टुकड़े हो जाता है (आइस) -- बरफ
बर्बर (वि.) जंगली, असभ्य -- बर्बर, असभ्य
बल (पुं.) जोर, शक्ति, ताकत -- बल, जोर, शक्ति
बल (पुं.) कपड़ों आदि पर पड़ने वाली सिलवट, शिकन -- शोटोरा, काँच, चिन रेखा, भाँज
बलवान (वि.) शक्तिशाली, ताकतवर -- बलवान, शक्तिशाली
बलात्कार (पुं.) बलात् या बलपूर्वक कोई काम करना -- बलेरे करा काम
बलात्कार (पुं.) किसी लड़की अथवा स्त्री के साथ उसकी इच्छा के विरुद्ध बलपूर्वक किया जाने वाला चौनाचार -- बलात्कार, नारी-घर्षण
बलिदान (पुं.) किसी उद्देश्य या बात के लिए अपने प्राण दे देना, कुर्बानी -- आत्मोत्सर्ग, उछर्गा
बलिदान (पुं.) देवताओं को प्रसन्न करने के उद्देश्य से किसी पशु का किया जाने वाला वध, बलि -- बलिदान, बलि
बल्कि (अव्य.) ऐसा नहीं का आशय सूचित करने वाला अव्यय प्रत्युत, वरन -- बरं, किंतु
बवंडर (पुं.) आँधी, तूफान -- बा-मारली, घूर्णीबताह
चहकाना (स.क्रि.) चकमा या भुलावा देना -- ठग, छलना कर
बहना (अ.क्रि.) द्रव पदार्थ का धारा के रूप में किसी नीचे तल की ओर प्रवाहित होना -- ब, बोवा
बहरा (वि.पुं) जिसे सुनाई न पड़ता हो, बधिर -- कला, बधिर
बहलाना (स.क्रि.) किसी को प्रसन्न या शांत करना -- आनंद दि, आमोद दि, फुचुला
बहस (स्त्री.) तर्क, युक्ति आदि के द्वारा होने वाला खंडन-मंडन, विवाद -- तर्क-बितर्क, बाद-बिबाद
बहादुर (वि.) वीर, शूर-वीर, सूरमा -- बीर, साहसी, शूर
बहाना (पुं.) तथ्य को छिपाने के लिए चालाकी की बात -- छलना, चेलु
बहार (स्त्री.) फूलों के खिलने का मौसम, वसंत-ऋतु -- फुल फुला-काल, बसंत काल
बहार (स्त्री.) सौंदर्य आदि के फलस्वरूप होने वाली रमणीयता या शोभा -- शोभा, रमणीयता
बहिर्मुख (वि.) जिसका मुँह बाहर की ओर हो -- बहिर्मुखी
बहिर्मुख (वि.) जो बाहर की ओर उन्मुख या प्रवृत हो -- बहिर्मुख, विषयासक्त
बहिष्कार (पुं.) जाति समुदाय आदि से बाहर निकालना -- बहिष्कार, बाहिर करा कार्य
बहिष्कार (पुं.) देश विदेश के माल का सामूहिक व्यवहार त्याग (बायकाट) -- बर्जन, त्याग, अस्वीकार
बही-खाता (पुं.) हिसाब-किताब लिखने की पुस्तक -- बही-खाता, हिसाबरखा खाता
बहुत (वि.) परिमाण, मात्रा, आदि में अधिक -- बहुत, यथेष्ट
बहुत (क्रि.वि.) अधिक परिमाण या मात्रा में, ज्यादा -- बेछिकै, बेछि, अत्यधिक
बहुभाषी (पुं.) बहुत भाषाएँ जानने-बोलने वाला -- बहुभाषी, कथकी
बहुभाषी (पुं.) बहुत बोलने वाला, बकवादी -- बरके कथा कओँता, कथकी
बहुमूल्य (वि.) जिसका मूल्य बहुत हो, महार्घ -- बहुमूलीया, दामी नर मूल्यवान
बहुमूल्य (वि.) जो गुण, महत्व की दृष्टि से अति उपयोगी हो -- बहुमूलीय, मूल्यवान
बहुरूपिया (पुं.) अनेक प्रकार के रूप धारण करने वाला -- बहुरूपी, बहु रूप-धारी
बहू (स्त्री.) पुत्रवधू, नव विवाहिता स्त्री -- न-कइना, बोवरी
बहू (स्त्री.) पत्नी -- पत्नी, घैनी
बाँग (स्त्री.) भोर के समय में मुरगे के बोलने का स्वर -- (पुवार) कुकुरार डाक
बाँग (स्त्री.) मसजिद में नमाज पढ़ने के लिए मुल्ला द्वारा की जाने वाली उच्च स्वर में पुकार -- आजान
बाँझ (वि.स्त्री.) वह स्त्री जो संतान उत्पन्न न कर सके -- बंध्या, बांझा, संतान दिवले अक्षम नारी
बाँटना (स.क्रि.) किसी चीज को कई भागों में विभक्त करना, वितरण -- बिला, भगाइ दिया, बितरण
बाँध (पुं.) वह वास्तु-रचना, जो किसी नदी की धारा को रोकने अथवा किसी ओर प्रवृत्त करने के लिए बनाई गई हो (डैम) -- बांध, भेटा, मथाउरि
बाँधना (स.क्रि.) डोरी, रस्सी आदि कसकर किसी चीज के चारों ओर लपेटना -- बांन्ध, बंन्धा
बाँधना (स.क्रि.) कागज, कपड़े आदि से किसी चीज को इस प्रकार लपेटना कि वह बाहर न निकले (पैक) -- बांध, बंधा
बाँसुरी (स्त्री.) मुरली या वंशी -- बाँही, बंशई, बाँशी
बाकी (वि.) जो व्यय या क्षय होने के बाद बच रहा हो -- बाकी, अवशेष
बाकी (स्त्री.) गणित में बड़ी संख्या में से छोटी संख्या घटाने पर निकलने वाला फल -- बाकी, अवशेष, बियोग फल
बागडोर (स्त्री.) लगाम -- लेकाम, लेगाम
बाजार (पुं.) वह स्थान, जहाँ अनेक चीजों की बिक्री व खरीद के लिए दुकानें होती हैं -- बजार, हाट
बाजीगार (पुं.) जादू के खेल दिखाने वाला, नट, जादूगर -- बाजिकर, जादुकर, ऐंद्रजालिक
बाट (स्त्री.) राह, रास्ता, मार्ग -- बाट, पथ, आलि
बाट (पुं.) पत्थर, लोहे आदि का वह टुकड़ा जो चीजें तौलने के काम आता है (वेट्स) -- बाढ़, वृद्धि ह, डाँगरह
बाढ़ (स्त्री.) नदी नाले में जलस्तर का सीमा से अत्यधिक बढ़ जाना -- बानपानी, बन्या, प्लावन
बाण (पुं.) एक प्रकार का नुकीला अस्त्र, जो कमान या धनुष पर चढ़ाकर चलाया जाता है, तीर -- बाण काँरा शर कुमंत्र
बातचीत (स्त्री.) वार्तालाप -- कथाबार्त्ता, बातरि संवाद
बाद (अव्य.) पश्चात्, अनंतर, पीछे -- पिचत
बादल (पुं.) मेघ -- मेघ, डाबर ऐलुहुआ
बादशाह (पुं.) सम्राट, शासक -- बादशाह, सम्राट
बाधक (वि.) विघ्न या अड़चन डालने वाला -- बिधिनि हाक दे, निषेधकर, बाधा-दिओंता
बाधक (पुं.) बाधा के रूप में होने वाला -- बाधा, बाधक
बाधा (स्त्री.) रोक, रुकावट, अड़चन -- बाधा, बंध
बाप (पुं.) पिता, जनक -- बाप, पिता, देउता, गुरुस्थानीय
बायाँ (वि.) दायाँ का उल्टा, वाम (लैफ्ट) -- बाँओ, नाम-फाल
बारूद (स्त्री.) गंधक, शोरे, कोयले आदि का वह मिश्रण, जो विस्फोटक होता है और तोपें, बंदूकें आदि चलाने के काम आता है -- बारुद, खार
बारे में (अव्य.) किसी के प्रसंग, विषय या संबंध में -- प्रसंगते, संदर्भत
बाल (पुं.) बालक, बच्चा -- बाल, बालक, शिशु
बाल (पुं.) जीव-जंतुओं के शरीर में त्वचा से ऊपर निकले हुए तंतु जो रोयों से मोटे होते हैं, केश, सिर के बाल -- नोम, चुलि
बाली (स्त्री.) कानों में पहनने का एक वृत्ताकार आभूषण -- काण फुल, काण बालि
बाली (स्त्री.) अनाज की हरी नन्हीं बाल, सिट्टा -- शस्यर शुं
बालू (पुं. /स्त्री.) पत्थरों का चूर्ण, जो रेगिस्तानों में या नदियों के तटों पर पड़ा रहता है, रेत -- बालि, शिलर-गुड़ि
बावला (वि. /पुं.) विक्षिप्त, पागल, दीवाना -- पगला, बलिया
बासी (वि.) जो एक या अधिक दिन पहले बना या पका हो ताजा का विपर्यय -- बाही, आगदिना परि रै जोवा
बाहर (क्रि.वि.) किसी क्षेत्र, घेरे, विस्तार आदि की सीमा से परे, अंदर और भीतर का विपर्यय -- बाहिर, बाहिरत
बिंदी (स्त्री.) गोलाकार टीका, जो स्त्रियाँ माथे पर लगाती हैं -- सेंदुरर फोट
बिंदी (स्त्री.) शून्य सूचक चिह्न, सिफर -- बिंदु
बिंब (पुं.) किसी आकृति की वह झलक, जो किसी पारदर्शक पदार्थ में दिखाई पड़ती है, परछाई -- बिंब, प्रतिबिंब
बिंब (पुं.) प्रतिमूर्ति -- प्रतिमूर्त्ति, आर्चि बा पानीत-फलित होवा छबि
बिखरना (अ.क्रि.) किसी वस्तु के घटकों का अधिक क्षेत्र में फैल जाना -- सिचरित ह, छिटिक
बिखरना (अ.क्रि.) अलग अलग या दूर दूर होना -- सिचरित ह
बिखेरना (स.क्रि.) वस्तुओं को बिना किसी सिलसिले के फैलाना या डालना -- छटिया, सिँच
बिगाड़ना (स.क्रि.) ऐसी क्रिया, जिससे किसी काम, चीज या बात में खराबी आ जाए, खराब करना -- नष्टकर, बिकृत कर, हानि कर
बिछाना (स.क्रि.) दूर तक फैलाना या बिखेरना, फैलाना -- सिँच, छटि चा
बिछुड़ना (अ.क्रि.) अलग होना -- बेलेग ह, एर
बिछौना (पुं.) बिछावन, बिस्तर -- बिछना, शय्या
बिजली (स्त्री.) बादलों की रगड़ के कारण उत्पन्न होने वाला प्रकाश (लाइटनिंग) -- बिजुली, बिद्युत
बिजली (स्त्री.) घर्षण, ताप और रासायनिक क्रियाओं से उत्पन्न होने वाली एक शक्ति, जिससे ताप और प्रकाश उत्पन्न होता है (इलेक्ट्रिसिटि) -- विद्युत, तड़ित शक्ति
बिजलीघर (पुं.) वह स्थान, जहाँ रासायनिक प्रक्रियाओं, जल-प्रपातों आदि से बिजली उत्पन्न व वितरित की जाती है (पावर हाउस) -- विद्युत शक्ति केंद्र, पावार हाउछ
बिना (अव्य.) बगैर -- बिना, अबिहने
बिना (अव्य.) अतिरिक्त, सिवा -- बाहिर, उपरिओ
बिनौला (पुं.) कपास का बीज -- कपाहर गुटि
बिरादरी (स्त्री.) किसी एक ही जाति या वर्ग के लोग जो सामाजिक उत्सवों पर एक दूसरे के यहाँ आते-जाते हैं (समाज) -- समाज, ज्ञाति
बिरादगी (स्त्री.) भाईचारा, बंधुत्व -- आत्मीयता, भातृत्व
बिल (पुं.) जमीन के अंदर खोद कर बनाया हुआ जीव–जंतुओं के रहने का स्थान -- जीव-जंतु थका गाँत, गाँत
बिल (पुं.) हिसाब चुकता करने के लिए दिया जाने वाला वह कागज, जिसमें प्राप्य मूल्य का ब्यौरा रहता है, भुगतान अनुरोध -- बिल, आदेयक, रचिद
बिलकुल (क्रि.वि.) पूरा-पूरा, कूल, सब, जितना हो, उतना सब -- संपूर्ण, पुरा
बिलकुल (क्रि.वि.) निरा, निपट -- एकेबारे
बिलखना (अ.क्रि.) रोना, कलपना, विलाप करना -- कांद, बिना
बिलोना (स.क्रि.) किसी तरल पदार्थ को मथानी आदि से अच्छी तरह हिलाना, मथना -- घाँट, घाँट, जोकार
बिस्तर (पुं.) बिछावन या बिछौना -- बिछना, शय्या
बीच (पुं.) किसी वस्तु का वह केंद्रीय अंश या भाग, जहाँ से उसके सभी छोर समान दूरी पर पड़ते हैं, मध्य -- माज, मध्य, केंद्र
बीच (अव्य.) दरमियान, अंदर, में -- माजत, भितराज
बीज (पुं.) अन्न आदि का वह कण, जो खेत में बोने के काम आता है (सीड) -- बीज, सँच
बीजक (पुं.) सूची, फेहरिस्त -- तालिका, लिष्टि
बीजक (पुं.) वह सूची, जिसमें किसी को भेजे जाने वाले माल का ब्यौरा, दर, मूल्य आदि लिखा रहता है (इन्वायस) -- इनभयछ, चालानी बस्तुर बिबरणी
बीजगणित (पुं.) गणित की वह शाखा, जिसमें अक्षरों को अज्ञात संख्याएं मानकर वास्तविक मान या संख्याएँ जानी जाती हैं (अलजेबरा) -- बीजगणित
बीनना (स.क्रि.) छोटी-छोटी चीजों को उठाना या चुनना, छाँटना -- बोटल, तोल, गोटा, बाछ
बीमा (पुं.) किसी प्रकार की विशेषतः आर्थिक हानि पूरी करने की जिम्मेदारी जो कुछ निश्चित धन लेकर उसके बदले में की जाती है (इंश्योरेन्स) -- बीमा
बीमार (वि.) वह व्यक्ति, जो किसी रोग से पीड़ित हो, रोगी -- बेमार, रोगी
बुझाना (स.क्रि.) ऐसी क्रिया करना जिससे आग जलना बंद हो जाए -- नुमुवा, लोपकर
बुझाना (स.क्रि.) शांत करना -- ज्वलिथका अवस्था न होवा नुमा
बुढ़ापा (पुं.) बूढ़ा होने की अवस्था या भाव, वृद्धावस्था -- बृद्धत्व, बृद्धावस्था बूढ़ा, प्रबीन, अवस्था, जरा-काल
बुद्धि (स्त्री.) विचार या निश्चय करने की शक्ति, अकल, समझ -- बुद्धि, ज्ञान, बोध, बूजार, उपाय, उपदेश
बुनकर (पुं.) कपड़ा बुनने वाला कारीगर, जुलाहा -- ताँती
बुनना (स.क्रि.) करघे पर वस्त्र बनाना -- कापोर ब
बुनना (स.क्रि.) ऊन, तार आदि से स्वेटर, चटाई आदि बनाना -- गाँठ, सि
बुरा (वि.) खराब, दोषयुक्त -- बेया, असत् अनुचित, निकृष्ट, असुस्थ, कुकर्म
बुरादा (पुं.) लकड़ी चीरने या धातु रेतने पर उसमें से निकलने वाला महीन अंश, चूरा -- काठर-गुरि
बुलाना (स.क्रि.) किसी को अपनी ओर आने के लिएआवाज या संकेत देना -- माताः आह्वान कर, रिङया चियँर
बूटी (स्त्री.) ऐसी जंगली वनस्पति, जिसका उपयोग औषध आदि के रूप में होता है -- बनौषधि, दरबर गछ/लता
बूटी (स्त्री.) छोटे पौधों या फूलों के आकार का कोई अंकन या चित्रण -- कापोरत तोला फुल, बुटा
बूढ़ा (वि.पुं.) बड़ी आयु का प्राणी, वृद्ध -- बूढ़ा, बृद्ध, पैनत, पूरठ
बेईमान (वि.) जिसकी नीयत ठीक न हो -- अबिश्वासी, अधर्मी
बेईमान (वि.) अविश्वसनीय -- अबिश्वासी
बेगार (स्त्री.) ऐसा काम, जो जबरदस्ती और बिना पारिश्रमिक दिए करवाया जाए -- बेगार, बेगारि, एनेए-कामकरि दिया मानुह
बेगार (स्त्री.) बेमन का काम, अनिच्छा से किया गया काम -- लाक पाक कै करा काम
बेचना (स.क्रि.) कोई चीज या संपत्ति मूल्य लेकर देना -- बेच, बिक्री-कर
बेचारा (वि.) निःसहाय, दीन, गरीब -- निछला, दरिद्र, दीनहीन
बेल (पुं.) एक प्रसिद्ध फल, जो पेट के रोग के लिए गुणकारी होता है -- बेलेग ह, एर
बेल (पुं.) लता -- लता
बेल (पुं.) कपड़े आदि पर टाँका जाने वाला फीता -- पटि, पाटि
बेलबूटा (पुं.) किसी चीज पर लताओं, पेड़ पौधों आदि का अंकन या चित्र -- कापोरत बा आन किहबात तोला फुल जालि
बैठक (स्त्री.) बैठने का स्थान -- बैठकखाना, बहा घर, बहा कोठा
बैठक (स्त्री.) सभासदों का एकत्र होना -- बैठक, सभा
बैठना (अ.क्रि.) आसीन होना अथवा स्थान ग्रहण करना -- बह, आसन ल
बैर (पुं.) शत्रुता या बदला लेने की भावना, दुश्मनी -- बैर, शत्रुता, बैरिता
बैरा (पुं.) होटलों आदि में खाना खिलाने वाला सेवक -- बेहेरा
बैल (पुं.) गाय का नर, जो गाड़ी और हल आदि में जोता जाता है -- बलध, मता गरु
बैलगाड़ी (स्त्री.) बैल द्वारा खींची जाने वाली गाड़ी -- गरुर गाड़ी
बोझ (पुं.) वजन, भार -- बोजा, भार
बोतल (स्त्री.) शीशी -- बटल
बोना (स.क्रि.) पेड़-पौधे उगाने के लिए जमीन में बीज डालना -- गुटि सिंचा कार्य, रोपण, बपन
बोलचाल (स्त्री.) वार्तालाप -- कथाबार्ता, आलाप
बोलना (अ.क्रि.) शब्द, ध्वनि आदि को स्वर मे उच्चारित करना -- बोल क, मात
बोलना (अ.क्रि.) शब्दों द्वारा कहकर विचार प्रकट करना -- रोषयुक्त कथा क
बौखलाना (अ.क्रि.) आवेश या क्रोध में आकर अंड-बंड बकना -- तर्जन गर्जन कर
बौखलाना (अ.क्रि.) मानसिक संतुलन खो बैठना -- हिताहित ज्ञान होरूवा
बौछार (स्त्री.) बूंदों की झड़ी जो हवा के झोंके से तिरछी गिरती हो -- आछारकणि एछारेखणि
बौछार (स्त्री.) बहुत अधिक संख्या में लगातार किसी वस्तु का बरसना -- बर्षण
बौद्धिक (वि.) बुद्धि संबंधी, बुद्धि द्वारा ग्रहण किए जाने के योग्य -- बौद्धिक
ब्यौरा (पुं.) वृत्तांत, किसी घटना के अंतर्गत एक बात का उल्लेख या कथन -- बितं बातरि, विशद बिबरण
भंडार (भांडार) (पुं.) कोष, खजाना -- राज कोष, भाण्डार
भंडार (भांडार) (पुं.) अन्नादि रखने का स्थान -- भँराल
भँवर (पुं.) जलावर्त -- चाकनैया
भक्ति (स्त्री.) निष्ठा, विश्वास या श्रद्धा -- भक्ति/भकति
भगवान (पुं.) परमेश्वर -- भगवान्, भगवेत ईश्वर
भगवान (पुं.) पूज्य/ आदरणीय और महिमाशाली -- पूज्य, श्रद्धास्पद
भड़काना (स.क्रि.) आग को तेज करना, उत्तेजित या क्रुद्ध करना -- ज्वलोवा, खंतोला, उत्तोजित कर, खंक तोल
भड़कीला (वि.) जिसमें खूब चमक-दमक हो -- जकमक, रंचङीया
भद्र (वि.) शिष्ट, सभ्य, सुशिक्षित -- भद्र, शिष्ट
भरती (भर्ती) (स्त्री.) प्रवेश, दाखिला -- प्रेश
भरती (भर्ती) (स्त्री.) नियुक्ति -- NA
भरना (स.क्रि.) खाली बरतन आदि में कोई चीज डालना, उड़ेलना, रखना -- भरा, बाक
भरना (स.क्रि.) रिक्तता अथवा हानि की पूर्ति करना -- क्षति पुरोवा, क्षतिर परिवर्त्ते दिया धन
भला (वि.) अच्छा, नेक -- भाल, साधु, श्रेष्ठ, भद्र, शांत सद्भाव
भला (पुं.) हित, लाभ -- हित, लाभ
भवन (पुं.) प्रासाद, महल, घर, मकान, इमारत -- भवन, महल, गृह घर
भविष्य (पुं.) आने वाला समय, भविष्यत् काल -- भविष्यत, भावीकाल, आगाम, अनागत
भव्य (वि.) सुंदर और प्रभावशाली, शानदार -- भव्य, प्रभावशाली, डाँगर-दील, शिष्ट
भाँपना (स.क्रि.) रंग-ढंग से जान लेना, ताड़ लेना -- अनुमान कर, धारणा-कर
भागना (अ.क्रि.) दौड़ना -- दौर, भाग
भागना (अ.क्रि.) जान बचाना, पीछा छुड़ाना -- पला
भाग्य (पुं.) किस्मत, तकदीर, नसीब -- भाग्य, कपाल
भाना (अ.क्रि.) रुचना, अच्छा लगना, पसंद आना -- पछंद ह, भाल लाग
भारतीय (वि.) भारत में उत्पन्न अथवा उससे संबंधित -- भारतीय
भारतीय (पुं.) भारतवासी -- भारतबासी
भारी (वि.) अधिक भार वाला, वजनी -- गधुर
भारी (वि.) दुःखी, उदास (मन आदि) -- दुखी, उदास, शोकावह
भावना (स्त्री.) चिंतन, ध्यान -- चिंता, भावना
भावना (स्त्री.) विचार, ख्याल, इच्छा -- कल्पना, इच्छा
भाषण (पुं.) व्याख्यान -- भाषण, कथा, उक्ति
भाषा (स्त्री.) बोलकर, लिखकर अथवा ध्वनि-संकेतों द्वारा भावों को प्रकट करने का साधन, बोली, जबान -- भाषा, शब्द-योगे भाव-प्रकाश उपभाषा, कथ्य-आंचलिक भाषा
भिक्षु (पुं.) भिखारी -- भिखारी, मगनीया
भिक्षु (पुं.) संन्यासी, विशेषतः बौद्ध संन्यासी -- बौद्ध भिक्षु
भिखारी (पुं.) भीख माँगने वाला, कंगाल, अकिंचन -- भिखारी, मगनीया, काङाल, दरिद्र, दुखिया अवस्था
भिगोना (स.क्रि.) पानी से गीला या तर करना, पानी में डालना -- तिता, भिजा
भिन्न (वि.) अलग, पृथक -- भिन्न, पृथक, बेलेग
भिन्न (पुं.) गणित में किसी पूरा इकाई का छोटा अंश या टुकड़ा -- भग्नांश, अंश
भीड़ (स्त्री.) जन समूह -- बहु, मानुहर समागम बा भिर
भीरु (पुं.) कायर, डरपोक -- भीरू, भयातुर
भीषण (वि.) भयानक, डरावना -- भीषण, भयानक
भीषण (वि.) दुष्परिणाम के रूप में होने वाला, विकट -- भीषण
भुगतान (पुं.) मूल्य आदि चुकाने की क्रिया या भाव, अदायगी -- आदाय, परिशोध
भुनाना (स.क्रि.) किसी खाद्य पदार्थ को अंगारों पर सेंककर या गरम बालू में पकाने अर्थात् भूनने का काम किसी दूसरे से कराना -- भजा
भुनाना (स.क्रि.) नोट, रुपए आदि को छोटे सिक्कों में बदलवाना -- (टका-पइचा) भङाकर
भुरभुरा (वि.) हलके दबाव से जिसके कण या रवे अलग-अलग हो जाएँ -- चनका, मुरमुरीया
भूकंप (पुं.) भूगर्भ में होने वाली उथल-पुथल से धरती के हिलने की अवस्था, भूचाल -- भूँइकँप, भूमिकंप
भूख (स्त्री.) भोजन की इच्छा, क्षुधा -- भोक हाबा, क्षुधा
भूख (स्त्री.) कोई चीज़ प्राप्त करने की उत्कट इच्छा -- लोभ, कामना
भूख-हड़ताल (स्त्री.) किसी नीति या कार्य आदि के प्रति विरोध प्रकट करते हुए अपने उद्देश्य की प्राप्ति के लिए भोजन, अन्न-जल आदि ग्रहण न करना (हंगर-स्ट्राइक) -- अनशन, धर्मघट
भूचाल (पुं.) (दे.) भूकंप -- भूकंप, भुमिकंप
भूत (वि.) बीता हुआ, अतीत, भूतकाल -- भूत, अतीत, अशरीरी, जगतर-सृष्टिर मूल उपादन
भूत (पुं.) प्रेत, पिशाच -- भूत, प्रेत, अशरीरी, अपदेवता
भूतपूर्व (वि.) पूर्ववर्ती, पहला -- पूर्बबर्ती, भूतपूर्व
भूमि (स्त्री.) जमीन, धरती -- पृथिबी, माटी, स्थान
भूमि (स्त्री.) पृथ्वी जो सौर जगत के एक ग्रह के रूप में है -- भूमि, माटि, देश
भूमिका (स्त्री.) ग्रंथ आदि की प्रस्तावना -- भूमिका, पातनि आग कथा
भूमिका (स्त्री.) किरदार -- अभिनय
भूमिका (स्त्री.) किसी क्षेत्र विशेष में किसी व्यक्ति द्वारा किया गया कार्य -- कार्य बा भूमिका
भूरा (वि.) मटमैला, खाकी -- खाकी बा माटिया रङ्र
भूरा (पुं.) खाकी रंग -- NA
भूल-चूक (स्त्री.) लेखे या हिसाब में दृष्टि–दोष आदि के कारण होन वाली गलती, अशुद्धि -- भुला भटका, बढ़ा-टुटा
भूलना (अ.क्रि.) याद न रहना, विस्तृत होना -- पाहर, पाहरणि
भूलना (अ.क्रि.) गलती या त्रुटि करना -- भुल कर
भेजना (स.क्रि.) रवाना करना, प्रेषण करना -- पठिया प्रेरण करा
भेद (पुं.) अंतर, फरक -- भेद, अंतर, पेट चला रोग
भेद (पुं.) रहस्य, मर्म -- रहस्य, मर्म, गोपनीय कथा
भेद (पुं.) प्रकार, तरह -- प्रकार, तरह
भोला (वि.) छल-कपट, रहित सीधा सादा, सहज-विश्वासी -- बम भोला, खोला अंतरर
भोला (वि.) बुद्धू -- मूर्ख
भौतिक (वि.) लौकिक, सांसारिक -- लौकिक, ऐहिक, सांसारिक
भौतिक (वि.) पंचभूतों से संबंध रखने वाला -- भौतिक
भ्रम (पुं.) मिथ्या ज्ञान, कुछ का कुछ समझना, धोखा -- भ्रम, भ्रांति, त्रुटि पाहरि मोया
भ्रमण (पुं.) घूमना-फिरना, विचरण -- भ्रमण, फुरण-बिचरण पर्यटन
भ्रभर (पुं.) भौंरा, मधुप, भँवर -- भ्रमर, भोमोरा
भ्रष्ट (वि.) बुरे आचार-विचार वाला -- भ्रष्ट, असत् बिच्युत, पतित
भ्रष्ट (वि.) (मार्ग से) च्युत, विचलित -- स्खलित, पतित
मंगल (वि.) कल्याणकारी, शुभ -- मंगल-जनक, शुभ, कल्याणकारी, शुभाशुभ निर्णय
मंगल (पुं.) कल्याण, भलाई , हित -- मंगल, कल्याण
मंगल (पुं.) सौर मंडल का एक ग्रह -- मंगलग्रह
मंगल (पुं.) मंगलवार -- मंगलबार
मंगल-सूत्र (पुं.) सधवा स्त्रियों द्वारा गले में पहना जाने वाला पवित्र सूत्र -- मंगलसूत्र
मंगलाचरण (पुं.) शुभकार्य के आरंभ में पढ़ा जाने वाला मांगलिक मंत्र, श्लोक, पद्यमय रचना आदि -- मंगलाचरण
मंगलाचरण (पुं.) ग्रंथ के आरंभ में मंगल की कामना तथा उसकी निर्विघ्न समाप्ति के लिए लिखा जाने वाला पद्य -- मंगलाचरण
मंच (पुं.) सभा-समितियों में ऊँचा बना हुआ मंडप, जिस पर बैठकर सर्वसाधारण के सामने किसी प्रकार का कार्य किया जाए रंगमंच (स्टेज) -- मंच, सजा-चा
मंच (पुं.) कुछ विशिष्ट प्रकार के कार्य कलापों के लिए उपयुक्त क्षेत्र (फोरम) -- मंच, फोराम, बेदी
मंजिल (स्त्री.) गंतव्य (डेस्टिनेशन) -- लक्ष्य, गंतव्य स्थान
मंजिल (स्त्री.) पड़ाव, मुकाम -- जिरणिघर
मंत्र (पुं.) देवताओं को प्रसन्न करने अथवा सिद्धि आदि प्राप्त करने वाला शब्द समूह -- मंत्र, उपासन करा बचन, वश करिबले व्यवहार-करा बाक्य उपदेश, नाति
मंत्र (पुं.) कार्य-सिद्धि का ढंग, गुर -- उपाय, गुप्त-परामर्श
मंत्री (पुं.) मंत्रणा अथवा परामर्श देने वाला -- मंत्री, परामर्शदाता, उपदेष्टा, प्रधान बिषया
मंत्री (पुं.) अमात्य -- मंत्री, अमात्य
मंत्री (पुं.) सचिव -- सचिव
मंदा (वि.) जिसकी माँग कम हो (सौदा), जिसमें तेजी न हो (व्यापार) -- सस्तीया, घोर, मंदा
मंदिर (पुं.) देवालय -- मंदिर, देवालय, आलय, आश्रय
मक्कार (वि.) कपटी, छली -- कपटीया, धूर्त
मखमल (स्त्री.) एक तरह का चिकना तथा रोएँदार कपड़ा -- मखमल
मगर (पुं.) घड़ियाल -- धरियाल, मकर, राशि चक्रर दशम राशि
मगर (अव्य.) लेकिन, परंतु -- किंतु
मग्न (मगन) (वि.) किसी काम या बात में तन्मय, लीन -- मग्न, तन्मय, बिभोर
मच्छरदानी (स्त्री.) जालीदार कपड़े का बना हुआ आवरण, जिसका उपयोग मच्छरों से बचाव के लिए किया जाता है, मसहरी -- आँठुवा, महरी
मजदूर (पुं.) शारीरिक श्रम द्वारा जीविका कमाने वाला व्यक्ति -- मजुर, श्रमिक, बनुआ
मजदूरी (स्त्री.) मजदूर का काम -- मजदुरि
मजदूरी (स्त्री.) भाड़े या वेतन के रूप में मजदूर को दिया जाने वाला धन -- मजुरि, परिश्रमिक
मजबूत (वि.) दृढ़, पक्का, टिकाऊ -- मजबुत, दृढ़
मजबूत (वि.) हृष्ट-पुष्ट तगड़ा, शक्तिशाली (देह) -- शक्तिशाली
मजाक (पुं.) परिहास, हँसी, दिल्लगी -- हाँहि धेमालि
मझधार (स्त्री.) नदी आदि के बीच की धारा -- माजर सुति बा धार
मझधार (स्त्री.) किसी काम या बात के मध्य की स्थिति -- अनिश्चयता
मठ (पुं.) साधु-संन्यासियों के रहने का स्थान -- मठ, आश्रम, दल, देवालय
मतदान (पुं.) चुनाव में मत देने की क्रिया -- भोट, दान, मतदान
मताधिकार (पुं.) किसी चुनाव या विषय में मत देने का अधिकार -- भोटाधिकार
मथना (स.क्रि.) दूध, दही को मथानी आदि से बिलोना -- मथ, घोंट, मंथन
मथानी (स्त्री.) दही मथने का काठ का बना हुआ एक उपकरण -- घोंटनी
मद (पुं.) नशा, मस्ती -- मद, अहंकार, दर्प हातिर-हिमेलू
मद (पुं.) अहंकार या गर्व -- गर्ब, अहंकार
मद (पुं.) मतवाले हाथी का कनपटी से बहने वाला गंधयुक्त द्रव्य -- मद, हिमेजु
मदारी (पुं.) बाजीगर -- बाजिकर, जादुकर
मदारी (पुं.) बंदर भालू आदि नचाकर जीविका चलाने वाला -- बांदर बा भालुक नचुवाइ फुरा मानुह
मदिरा (स्त्री.) शराब, मद्य -- मदिरा, मद, सुरा
मद्ययप (पुं.) जो मदिरापान करता हो, शराबी -- मद्य, मदपी, मदाही, मद्यपायी
मधु (पुं.) शहद -- मौ, मकरंद, फूलर मौ
मधु (पुं.) शराब -- फटिका, मद
मधु (पुं.) बसंत ऋतु -- बसंतकाल, चत माह
मधुर (वि.) मीठा, जिसका स्वाद मधु के समान हो -- मधुर, मिठा
मध्यस्थ (पुं.) आपस में मेल या समझौता कराने वाला, बिचौलिया -- मध्यस्थ, माजर, अभ्यंतर, माजत थका, समद्द्रवर्ती
मन (पुं.) मनुष्य के अंतःकरण का वह अंश, जिससे वह अनुभव, इच्छा, बोध और संकल्पविकल्प करता है -- मन, अंतःकरण, हृदय बिबेचना, तर्क
मन (पुं.) वजन में चालीस सेर -- मोन, ओजनत चल्लीस सेर
मनचाहा (वि.) जिसे मन चाहता हो, इच्छानुसार -- बांछित, मनोमत, इच्छानुसारी
मनोरंजन (पुं.) दिल बहलाव, मन की प्रसन्नता -- मनोरंजन, मनत-रं लगोवा
मनोरथ (पुं.) अभिलाषा, वांछा, इच्छा -- मनोरथ, वाच्छा, अभिलाष
मनोरम (वि.) जिसमें मन रमने, लगे, सुंदर या आकर्षक -- मनोरम, रमणीय, आकर्षणीय, सुंदर, मनोलोभा
ममता (स्त्री.) अपनत्व का भाव, ममत्व -- ममता, आत्मीयता, स्नेह
ममता (स्त्री.) मन में होने वाला मोह या लोभ का भाव -- ममता, मोह, मरम, आसक्ति
मरना (अ.क्रि.) मृत्यु को प्राप्त होना, प्राणांत होना -- मर, दुका, मृत्यु शस्यर थोक
मरना (अ.क्रि.) खेलों में खिलाड़ियों का हार जाना -- दम (ढेरी) (खेलात) मर, हार
मरहम (मलहम) (पुं.) घाव आदि पर उपचार के लिए लगाया जाने वाला औषधियों का लेप -- मलम, प्रलेप सानि दिया औषध
मरोड़ना (स.क्रि.) किसी चीज में घुमाव, बल आदि डालने के उद्देश्य से उसे कुछ जोर से घुमाना, ऐंठना -- मोचर, पकाइ दें, नइर भाँज (नदी का मोड़)
मर्म (पुं.) किसी बात के अंदर छिपा हुआ तत्व, भेद, रहस्य -- मर्म, रहस्य, सार कथा, तात्पर्य हृदय
मर्यादा (स्त्री.) सीमा, हद -- सीमा, हद, मर्यादा, संभ्रम
मर्यादा (स्त्री.) लोकप्रचलित व्यवहार नियम आदि, लोकाचार -- लोकाचार, शिष्टाचार
मलना (स.क्रि.) किसी पदार्थ को कहीं लगाने के उद्देश्य से रगड़ना -- घँह, लगा, मोहार, मोचार
मलना (स.क्रि.) लेप करना -- लेओ दि
मलबा (पुं.) कूड़ा-करकट, टूटी या गिराई हुई इमारत का ईंट-पत्थर, चूना आदि -- जाबर जेँथर, मलि, ध्वंसाबशेष
मलिन (वि.) मैला-कुचैला, गंदा -- मलिन, मलियन, म्लान
मलिन (वि.) उदास, म्लान -- म्लान, विमर्श, लेतेरा मलि-युक्त
मल्लाह (पुं.) नदी में नाव खेकर अपनी जीविका अर्जित करने वाला व्यक्ति, केवट, माँझी -- नावरीया, माजी, नावर गुरुयाल कैवर्त्त
महँगा (वि.) जिसका दाम अधिक हो -- महङ्गा/दामी, पावलै टान मरगीया
महँगाई (स्त्री.) उचित से अधिक मूल्य पर वस्तुओं की बिक्रि -- महङदरत बेचा, मूल्य बृद्धि
महत्ता (स्त्री.) बड़प्पन, महिमा, महत्व -- महत्व, गुरुत्व, वृहतत्व डाङर
महत्व (पुं.) बड़प्पन, महिमा -- महत्व, डाङर गुण उदारल
महत्वाकांक्षा (स्त्री.) महत्व प्राप्त करने की आकांक्षा, उच्चाकांक्षा -- उच्चाकांक्षा, बड़ होबार हेपाह
महल (पुं.) भवन, प्रासाद -- महल, प्रासाद, आट्टालिका
महान (वि.) बहुत बड़ा, विशाल -- महान, विशाल, उच्चमना
महान (वि.) उच्च कोटि का -- ओख-खापर, श्रेष्ठ, उच्चमना
महापुरुष (पुं.) महिमाशाली पुरुष, श्रेष्ठ जन -- महापुरुष, साधु-पुरुष, असाधारण-शक्ति संपन्न-पुरुष
महा विद्यालय (पुं.) उच्च शिक्षा देने वाला विद्यालय, कॉलेज -- महाबिद्यालय, कलेज
महिला (स्त्री.) स्त्री, औरत -- महिला, तिरोता, नारी, भद्रलोकर स्त्री
माँग (स्त्री.) माँगने की क्रिया या भाव, याचना -- मागन, भिक्ष, याच, खोज, माग
माँग (स्त्री.) किसी निश्चित मूल्य पर किसी चीज की खरीद या चाही जाने वाली मात्रा -- चाहिदा
माँग (स्त्री.) सिर के बालों को विभक्त करने से बनने वाली रेखा, सीमंत -- सेँओता, बा सीमंत, मूर मेलाइ दूभागकरा चूलिर माजर रेखा
माँगना (स.क्रि.) किसी से यह कहना कि आप अमुक वस्तु या धन दें, याचना करना -- खोजा, बिचरा यचा
माँजना (स.क्रि.) पात्र को अच्छी तरह से साफ करने के लिए राख, साबुन आदि से अच्छी तरह मलना या रगड़ना -- माज, घँह
माँजना (स.क्रि.) किसी काम या चीज का अभ्यास करना ताकि कार्य में महारथ हासिल हो या पूर्ण सफलता मिले -- अभ्यास-कर
मांस (पुं.) शरीर में हड्डियों तथा चमड़े के बीच का मुलायम तथा लचीला पदार्थ -- मांस, मङह खाद्य हिचापे व्यवहत पशु पक्षीर
माड़ना (स.क्रि.) गूँधना, सानना -- मार, सान
माड़ना (स.क्रि.) अन्न की बालों में से दाने झाड़ना -- मार, मरणा मार
मातृभाषा (स्त्री.) अपने जन्म स्थान या घर में बोली जाने वाली भाषा -- मातृभाषा, निजजातिर भाषा
मातृभूमि (स्त्री.) जन्मभूमि, स्वदेश -- मातृभूमि, जन्मभूमि, स्वदेश
मादक (वि.) नशा उत्पन्न करने वाला नशीला -- मादक, रागियाल, रागि-लगोवा
माधुर्य (पुं.) मधुरता, मिठास -- माधुर्य, मधुरता, सौंदर्य, लालित्य
माधुर्य (पुं.) काव्य का एक गुण -- काब्यर-एटा-गुण
माध्यम (पुं.) साधन, जरिया -- माध्यम, यार माजेदि कार्यसंपन्न हय
मानक (पुं.) वस्तुओं के आकार-प्रकार महत्व आदि जाँचने का कोई आदर्श मानदंड या रूप -- मान, मानक
मानकीकरण (पुं.) एक ही वर्ग की बहुत सी वस्तुओं के गुण, महत्व आदि का एक मानक रूप स्थिर करने की क्रिया या भाव (स्टैंडर्डाइजेशन) -- मान-निरूपण, मानकीकरण, मान-निर्धारण
मानना (स.क्रि.) स्वीकार करना, सहमत होना -- मान, स्वीकार-करा
मानना (स.क्रि.) (किसी के प्रति) श्रद्धा रखना, गुण योग्यता आदि का कायल होना -- मानि ल
मानव (पुं.) मनुष्य, आदमी -- मानब, मानुह-जाति
मानवता (स्त्री.) मानव होने की अवस्था या भाव -- मानवता, मानवत्व
मानवता (स्त्री.) मनुष्य के आदर्श तथा स्वाभाविक गुणों, भावनाओं आदि का प्रतीक या समूह -- मानवत्व, मनुष्यत्व, मानुहरस, गुण बा गौरव
मानसिक (वि.) मन-संबंधी -- मानसिक, मन-संबंधी
मान्य (वि.) मानने योग्य -- मान्य, सम्मान-पाबर-योग्य, सर्वजन ग्राह्य
मान्य (वि.) आदरणीय, सम्मान का अधिकारी -- मान्य, माननीय, सन्मानीय
माप (स्त्री.) मापने की क्रिया या भाव -- जोख, जोखा-कार्य
माप (स्त्री.) मापने पर ज्ञात होने वाला नाप, परिमाण, मात्रा या मान -- जोखा, माप
मापन (स.क्रि.) वस्तु का विस्तार, घनत्व या वजन मालूम करना -- जोख
माफ (वि.) क्षमा किया हुआ -- क्षमा-करा, मार्जुना रेहाइ
मायका (मैका) (पुं.) विवाहित स्त्री की दृष्टि से उसके माता-पिता का घर और परिवार, नैहर, पीहर -- आइर-घर
मारना (स.क्रि.) जान लेना, हत्या करना -- मार, बध-कर
मारना (स.क्रि.) पीटना, प्रहार करना, चोट पहुँचाना -- मार, कोबा
मारना (स.क्रि.) मानसिक या शारीरिक आवेग दबाना या रोकना -- शामकट, दमन कर
मार्ग (पुं.) रास्ता, पथ, राह -- मार्ग, पथ, बाट, साधनार पंथ, गुह्य द्वार
मार्ग (पुं.) माध्यम, साधन -- माध्यम
मार्मिक (वि.) मर्म स्थान पर प्रभाव डालने वाला, मर्मस्पर्शी -- मर्मस्पर्शी, मर्मभेदी, कष्टदायक
माल (पुं.) प्रत्येक ऐसी मूल्यवान वस्तु, जिसका कुछ उपयोग होता है -- माल, बस्तु, संपत्ति
माल (पुं.) धन-संपत्ति, रुपया-पैसा, दौलत -- धन-संपत्ति
मालूम (वि.) जाना हुआ, ज्ञात, विदित -- ज्ञात, जना, विदित, अवगत
मिटाना (स.क्रि.) दाग, निशान आदि दूर करना -- गुचा, खेदा, एरुवा
मिटाना (स.क्रि.) नष्ट करना, बरबाद करना -- नष्ट कर
मिट्टी (स्त्री.) धरती की ऊपरी सतह का वह भुरभुरा मुलायम तत्व, जिसमें प्रायः पेड़ पौधे उगते हैं -- माटि, मृत्तिका, ठाइ, भूमि, पृथिवी
मिठाई (स्त्री.) विशिष्ट प्रकार की बनाई हुई खाने की मीठी चीजें -- मिठाइ
मितभाषी (वि.) कम तथा आवश्यकतानुसार बोलने वाला व्यक्ति -- मितभाषी, अल्पभाषी, कमकथाकोवा
मित्र (पुं.) दोस्त, सखा -- मित्र, बंधु, मिता, सुहृद
मिथ्या (वि.) असत्य, झूठा -- मिछा, असत्य, अशुद्ध
मिथ्या (वि.) कृत्रिम, बनावटी -- कृत्रिम
मिलनसार (वि.) जिसकी प्रवृत्ति सबसे मिल जुल कर रहने की हो -- सरबरही, अमायिक
मिलान (पुं.) तुलनात्मक दृष्टि अथवा ठीक होने की जाँच करने के लिए दो या अधिक चीजों या बातों का आपस में साथ रखकर मिलाया और देखा जाना -- मिलोवा कार्य, मिलाइ चोवा कार्य
मिलान (पुं.) गुण, दोष, विभिन्नता या समानता जानने के लिए दो चीजों या बातों के संबंध में किया जाने वाला विवेचन, तुलना -- तुलना, रिजनि
मिलाना (स.क्रि.) मिश्रित करना, एक करना, मिलावट करना -- मिहला, मिला, मिल कर, मिश्रितकर
मिलाना (स.क्रि.) जोड़ना, सटाना -- लग लगा, जोर लगा, रिजा, प्राप्तिकर, तुलनाकर
मिलाना (स.क्रि.) एक व्यक्ति का दूसरे व्यक्ति से मेल मिलाप कराना, भेंट कराना -- साक्षात् करा, चिनाकि करि दिया
मिलाना (स.क्रि.) तुलना करना, जाँच करना -- रिजा, तुलना-कर
मिलाना (स.क्रि.) किसी को अपने पक्ष में लाना -- निजर पक्षलै आना
मिलावट (स्त्री.) किसी बढ़िया वस्तु में घटिया वस्तु का मेल -- भँजाल, मिहलि
मिश्रण (पुं.) दो या अधिक चीजों को एक में मिलाना, मिलावट करना या मिलाना, मिलावट -- मिश्रण, मिहलि करा
मिश्रण (पुं.) उक्त प्रकार से मिलाने से तैयार होने वाला पदार्थ या रूप -- मिश्रण, मिश्र
मीठा (वि.) जिसमें मिठास हो, मधुर रस वाला -- मिठा, मिष्ट
मीठा (वि.) धीमा, मंदा -- मृदु, लाहे-लाहे
मिनाकीरी (स्त्री.) सोने-चाँदी पर होने वाला मीने का रंगीन काम -- मिनाकरा-काम
मुँडेर (स्त्री.) छत के चारों ओर मेंड़-जैसी दीवार -- पेरापेट
मुकदमा (पुं.) वह विवादास्पद विषय, जो न्यायालय के सामने विचार और निर्णय के लिए प्रस्तुत किया जाए -- गोचर, मोकर्दमा, मामला, नालिश, अभियोग
मुकुट (पुं.) एक प्रसिद्ध शिरोभूषण, जिसे राजा लोग पहनते हैं और जो प्रायः देवी-देवताओं की मूतियों के सिर पर पहनाया जाता है -- मुकुट, किरीट
मुक्त (वि.) जो किसी प्रकार के बंधन से छूट गया हो -- मुक्त, मुकति, ढाकलि, खोला
मुक्त (वि.) मोक्ष-प्राप्त, भव बंधन से मुक्त -- मोक्ष, मोक्षप्राप्त
मुक्त (वि.) छूटा हुआ, फेंका हुआ -- एरि दिया, पेलाइ-दिया
मुक्ति (स्त्री.) किसी प्रकार के बंधन आदि से छुटकारा -- मुक्ति, बंधन परा ओलाइ अहा
मुक्ति (स्त्री.) धार्मिक क्षेत्र में वह स्थिति, जिसमें जीव जन्म-मरण के बंधन से छूट जाता है, मोक्ष -- मोक्ष, उद्धार, जीवर पुनर्जन्म, लाभर परा अत्याहति
मुख (पुं.) मुँह -- मुख, आनन, मोहाना
मुख (पुं.) किसी वस्तु का अगला या ऊपरी खुला भाग -- मुख, प्रवेश पथ, अग्र भाग, मुखा
मुखपृष्ठ (पुं.) किसी ग्रंथ या पुस्तक का सबसे ऊपर वाला वह पृष्ठ, जिसमें उस पुस्तक तथा उसके लेखक का नाम छपा होता है -- (कितापर) बेटुपात, किताबर-डाठ ढाकनी
मुख्य (वि.) प्रधान, खास -- मुख्य, प्रधान, श्रेष्ठ
मुख्य (वि.) महत्वपूर्ण या सारभूत -- मुख्य, मूल
मुख्यालय (पुं.) किसी संस्था का केंद्रीय तथा प्रधान कार्यालय -- प्रधान कार्यालय
मुग्ध (वि.) मोहित, मूढ़ -- मुग्ध, मोहित, बशीभूत
मुट्ठी (स्त्री.) हथेली की वह स्थिति, जिसमें उँगलियाँ अंदर की ओर मोड़कर बंद कर ली जाती हैं -- मुठि, मुष्टि, मुठा
मुट्ठी (स्त्री.) उतनी वस्तु जितनी मुट्ठी में आ सके -- एमुठि (परिमाण) मुष्टिर
मुट्ठी (स्त्री.) मुट्ठी की चौड़ाई का माप -- भिरतर धरा परिमाण
मुद्रण (पुं.) छापने की क्रिया या भाव -- मुद्रण, छपा
मुद्रण (पुं.) मुद्रा से अंकित करना, मोहर लगाना -- मोहर मरा
मुद्रणालय (पुं.) जहाँ छापने का काम होता है, छापाखाना -- छपाखाना, प्रेछ, मुद्रणालय
मुद्रा (स्त्री.) आँख-मुँह, हाथ आदि की ऐसी क्रिया, जिससे मन की कोई विशिष्ट प्रवृत्ति या भाव प्रकट हो -- मुद्रा, टका-पइचा, छाप मोहर
मुद्रा (स्त्री.) चिह्न, नाम आदि अंकित करने की मुहर , सील -- मोहर, मुद्रा, छाप
मुद्रा (स्त्री.) क्रय विक्रय का आधिकारिक माध्यम, सिक्का -- मुद्रा, टका पइचा
मुद्रा (स्त्री.) ऐसी अंगूठी जिस पर किसी का नाम या कोई वैयक्तिक चिह्न अंकित हो -- नाम लिखा अंगुलि
मुनाफा (पुं.) क्रय-विक्रय में आर्थिक दृष्टि से होने वाला लाभ, नफा -- लाभ, प्राप्ति, मुनाफा
मुरझाना (अ.क्रि.) फूल-पत्तों आदि का सूखने लगना, कुम्हलाना -- मरह, जँइ-पर
मुरझाना (अ.क्रि.) उदास या सुस्त होना, कांति, श्री आदि से रहित होना -- कुमुलाइ, उदास ह, शेंता पर
मुर्दनी (स्त्री.) चेहरे से प्रकट होने वाला मुर्दे जैसा भाव -- मृत्युर-लक्षण-प्रगट ह, शवयात्रा, प्रानहीन-देह
मुश्किल (वि.) कठिन, दुष्कर, दुस्साध्य -- कठिन, टान, आहूकाल, असुविधा, मस्किल
मुश्किल (स्त्री.) कठिनाई, परेशानी -- कठिनता अभाव, कष्ट, असुविधा, मस्किल
मुस्कान (स्त्री.) मंद-मंद हँसी, स्मित -- मिचिकिया हाँहि, मिचकनि अलप-हाँहि
मुहावरा (पुं.) वह वाक्यांश, जो अपने अभिधार्य से भिन्न किसी और अर्थ में रूढ़ हो गया हो -- जतुवा ठाँच, प्रवाद, अभ्यास बचन भंगी प्रवाद
मुहूर्त (पुं.) काल का एक मान, जो दिन-रात के तीसवें भाग के बराबर होता है -- महूरत, आनुष्ठानिक शुभारंभ
मुहूर्त (पुं.) ज्योतिष के अनुसार शुभा शुभ समय -- शुभ क्षण, मंगलजनक समय
मुहूर्त (पुं.) श्रीगणेश, आरंभ -- शुभारंभ, अनुष्ठानिक, समयत आरंभ
मूक (वि.पु.) गूँगा -- बोबा, अँकरा
मूलभूत (वि.) आधार-रूप, बुनियादी -- बुनियादी, मूलीभूत, उत्स, आदिकारण-स्वरूप
मूल्यांकन (पुं.) मूल्य अथवा उपयोगिता निर्धारित या निश्चित करने की क्रिया या भाव -- मूल्याकंन, मूल्य निर्णय करा कार्य
मृत्यु (स्त्री.) मरण, मौत -- मृत्यु, मरण, जीवनर-समाप्ति यम
मेहँदी (स्त्री.) एक प्रकार की झाड़ी, जिसकी पत्तियाँ हाथ-पैर रंगने सजाने के काम आती हैं -- जेतुका
मेखला (स्त्री.) करधनी, कमरबंद, पेटी -- पेटी, करधनी पर्वतर-नामनि (मेखला-असमिया स्त्रियों की कमर में बाँधकर पहना जाने वाला लहंगा
मेधावी (वि.) असाधारण बुद्धि वाला, बुद्धिमान -- मेधावी, बुद्धिमान, तीक्ष्ण-स्मरणशक्ति संपन्न
मेरा (सर्व.वि.) मै का संबंध कारक -- मोर, वक्तार-निजर
मेरु-दंड (पुं.) मनुष्यों और बहुत से जीवों में पीठ के बीचों-बीच गरदन से लेकर कमर तक जाने वाली एवं माला की तरह गुँथी हुई हड्डी -- मेरुदण्ड, राजहाड़ पृथिवीर घूरणर अक्ष
मेहतर (पुं.) सफाई कर्मचारी -- मेतर, मल-परिष्कार करा लोक
मैं (सर्व) सर्वनाम उत्तम-पुरुष में कर्ता का रूप, स्वयं, खुद -- निजक बुजोवा शब्द, मइ, वक्ता स्वयं
मैदान (पुं.) विस्तृत क्षेत्र या भूखंड, दूर तक फैली हुई सपाट जमीन -- पथार समतल-ठाँइ, खेतीकरा ठाँइ
मैदान (पुं.) पर्वतीय क्षेत्र से भिन्न समतल भू-भाग -- समथूमि, समतल, खला-बमा न होवा भैयाम
मैदान (पुं.) खेल आदि का स्थान -- खेल पथार
मैदान (पुं.) युद्ध-क्षेत्र, रण-भूमि -- रणथली, रणक्षेत्र
मैल (स्त्री.) शरीर, कपड़े आदि की गंदगी, गर्द, धूल आदि -- मलि, मल
मैल (स्त्री.) किसी के प्रति मन में संचित दुर्भाव -- ईर्षा, कपट
मैलखोरा (वि.) धूल, गर्द आदि पड़ने पर भी जो मैला न दिखाई दे, जो मैल को छिपा सके -- सहजे-लेतेरा नोहोवा
मैला (वि.) जिस्म पर मैल जमी हो, गर्द, धूल आदि पड़ी हो, गंदा, अस्बच्छ -- मलिन, लेतेरा
मैला (पुं.) विष्ठा -- बिष्ठा, गु
मोटा (वि.) जिसकी देह में मांस मेद अधिक हो, स्थूलकाय -- मोटा, शक्त, मांसल, स्थूल
मोटा (वि.) जो पतला या बारीक न हो (कपड़ा आदि) -- डाठ, मोटा
मोदक (पुं.) आनंद देने वाला -- मोदक, आनंद-दिओंता, भाङर गुड़ित चेनी, मशला मिहलाइ प्रस्तुत कर औषध बा खाद्य
मोदक (पुं.) लड्डू -- लाडू, लारु-घुरनीया मिठाइ
मोल (पुं.) कीमत, मूल्य, दाम -- मोल, मूल्य, गुनर-आदर
मोह (पुं.) स्नेह, लगाव -- मोह, चेनेह, प्रीति, मरम पोवार-बासना लोभ
मोहक (वि.) मोह उत्पन्न करने वाला -- मोहक, मोहमय, मनोमुग्ध-कर
मोहक (वि.) मन को आकृष्ट करने वाला, लुभावना -- मोहनीय, मुग्ध-करिब परा
मौत (स्त्री.) मरण, मृत्यु -- मरण, मृत्यु
मौन (पुं.) न बोलने की क्रिया या भाव, चुप्पी -- मौनता, मौन
मौन (वि.) जो न बोले, चुप -- अँकरा मौन, निमात, नीरव, मौन-ब्रती
मौलिक (वि.) मूल-संबंधी, मूलगत -- मौलिक
मौलिक (वि.) जो किसी की छाया, अनुवाद, अनुकृति आदि न हो -- खाटि, मौलिक, प्रथमे उद्भावन-करा
मौसम विज्ञान (पुं.) मौसम की जानकारी से संबंध रखने वाला विज्ञान -- बतर-बिज्ञान, बतरर-कारक समूह अध्ययन करि आग जाननी दिब परा विद्या
म्यान (पुं.) तलवार, कटार आदि रखने का कोष या गिलाफ -- फाक, तरोवाल बा दा कटारी सवुवाई थोवा छालर आवरण
यंत्र (पुं.) औज़ार, उपकरण -- सरंजाम, उपकरण, यंत्रपाति
यथार्थ (वि.) जैसा है वैसा, वास्तविक जो अपने अर्थ (आशय, उद्देश्य, भाव आदि) के ठीक अनुरूप हो, वास्तविक -- यथार्थ, प्रकृत, सत्य
यथार्थ (पुं.) वास्तविकता -- यथार्थ, प्रकृत, सत्य
यद्यपि (अव्य.) यद्यपि, अगर ऐसा है -- यद्यपि, यदिओ
यशस्वी (वि.) जिसका यश चारों ओर फैला हो -- यशस्वी, ख्यातिमान
यह (सर्व) एक सर्वनाम, जिसका प्रयोग वक्ता और श्रोता को छोड़कर निकट के और सब मनुष्यों तथा पदार्थों के लिए होता है -- इ, एइ, इए, ये
या (अव्य.) विकल्पसूचक शब्द, अथवा -- बा, अथबा, नतुबा किंना
याचक (वि.पुं.) माँगने वाला, भिक्षुक -- मगनीया, भिखारी, थाचोंता
यातना (स्त्री.) घोर कष्ट -- यातना, कष्ट, यंत्रणा
यातायात (पुं.) एक स्थान से दूसरे स्थान पर आते-जाते रहने की क्रिया या भाव, आना-जाना -- यातायात, आह-जाह, अहा-योवा कार्य, गमनागमन
याद (स्त्री.) स्मरण रखने की क्रिया या भाव -- सोँवरण, स्मृति मने राखिबा
यान (पुं.) वह उपकरण या साधन, जिस पर सवार होकर यात्रा की जाती है अथवा माल ढोया जाता है -- यान, वाहन, गाड़ी
युक्त (वि) किसी के साथ जुड़ा, मिला या लगा हुआ -- युक्त, लग-लगा, संलग्न
युक्त (वि) सम्मिलित -- सम्मिलित, मिलित
युग (पुं.) काल, समय -- युग, काल, कालर-भाग, बार बछर-काल
युग (पुं.) काल-गणन के विचार से कल्प के चार उप विभाग (सत, त्रेता, द्वापर और कलि में से प्रत्येक) -- युग, एके लगे दूटो
युगल (वि.पुं.) युग्म, जोड़ा -- युगल, युग्म, योर युरीया
युगम (पुं.) दो चीज़ें, जो प्रायः या सदा साथ आती या रहती हों, जोड़ा -- युग्म, युगल, युरीया
युद्ध (पुं.) अस्त्र-शस्त्रों की सहायता से दो पक्षों में होने वाली लड़ाई, रण, संग्राम -- जुद्ध, रण, समर, संग्राम
युवक (पुं.) जवान आदमी -- युवक, डेका, डेका लरा, तरुण पुरुष
योगदान (पुं.) किसी को सहायता देने, हाथ बँटाने की क्रिया या भाव -- योगदान, सहयोग, संबंध-स्थापन
योगी (पुं.) वह, जो योग की साधना करता हो -- योगी, साधक, तपस्वी
योग्य (वि.) योग्यता रखने वाला, काबिल, लायक, उपयुक्त, उचित -- योग्य, लायक, समर्थ, उपयुक्त
योग्यता (स्त्री.) योग्य होने की अवस्था या भाव, काबिलियत, गुण -- गुण, मुनासिब, उपयुक्ता
योजना (स्त्री.) किसी कार्य को निष्पादित करने का प्रस्तावित कार्यक्रम (प्लान) -- योजना, परिकल्पना आँचनि
यौवन (पुं.) युवा या युवती होने की अवस्था या भाव -- यौवन, डेका-अवस्था, तरुण-बयस
रंग (पुं.) वर्ण (कलर) -- रं, रहन वरण, बोल रंजक द्रव्य धेमालि
रँगना (स.क्रि.) रंग में डुबा कर किसी चीज को रंगीन करना -- रं दि बोला, आमोद-प्रमोद
रंगमंच (पुं.) वह ऊँचा उठा हुआ स्थान जहाँ पर पात्र अभिनय करते हैं -- रंगमंच, नाट्यशाला, अभिनयर गीत-वाद्य परिवेशनर मञ्च
रँभाना (अ.क्रि.) गाय का मुँह से आवाज करना -- हेंबेलिया
रक्तपात (पुं.) लहू का गिरना या बहना, खून-खराबा -- रक्तपात, तेज-ओलोवा-कार्य
रक्षा (स्त्री.) ऐसा काम, जो आक्रमण, आपद, नाश से बचने या बचाने के लिए किया जाता है, बचाव -- रक्षा, रक्षण, परित्राण, बिपदर परा उद्धार, प्रतिपालन
रखना (स.क्रि.) किसी स्थान पर स्थित करना -- राख, थ, स्थापन-कर, नियोग कर
रगड़ (स्त्री.) रगड़ने की क्रिया या भाव -- घँहन, घर्षण
रगड़ (स्त्री.) वह चिह्न, जो किसी चीज से रगड़े जाने पर दिखाई देता है, खरोंच -- आँचोर, घँहनिर-चिन
रचना (स्त्री.) रचने की क्रिया या भाव, बना कर तैयार की हुई चीज, कृति, साहित्यिक कृति -- रचना, रच, रचना कर लिपिबद्धकर
रजनी (स्त्री.) रात, रात्रि -- रजनि, राति
रटना (स.क्रि.) कंठस्थ करना -- मुखस्थ कर, निंदा करि फुर
रण (पुं.) लड़ाइ, युद्ध -- रण, जुद्ध, संग्राम, समर
रति (स्त्री.) काम क्रीड़ा -- रति, कामकेलि, मैथुन, कामक्रीड़ा
रति (स्त्री.) साहित्य में श्रृंगार रस का स्थायी भाव -- रतिरस, श्रृंगार रस स्थायी भाव, आसक्ति ओजनर सरु एकक
रत्न (पुं.) बहुमूल्य पत्थर, जो आभूषण आदि में जड़े जाते हैं -- रत्न, बहुमिलिया वस्तु, श्रेष्ठ संपद
रफ्तार (स्त्री.) चाल, गति -- चाल, गति
रमणी (स्त्री.) सुंदर नारी, युवती -- रमणी, सुंदरी-युक्ती, नारी
रमणीक (वि.) सुंदर, मनोहर -- रमणीय, मनोहर, सुंदर, आनंद-दायक
रवि (पुं.) सूर्य -- सूर्य, रबि
रश्मि (स्त्री.) किरण -- रश्मि किरण, पोहर-आदिये गति करा सरल रेखा
रस (पुं.) शोरबा -- रस, जोल निर्यास सोवाद
रस (पुं.) मन में उत्पन्न होने वाला वह भाव, जो काव्य आदि पढ़ने या नाटक आदि देखने से होता है, काव्यानंद -- (काब्यार) रस, अलंकार शास्त्रर-गुण
रसायन (पुं.) द्रव का अशोधित रूप, पौष्टिक औषधि -- रसायन (औषध), श्लेष्मा
रसीला (वि.) रस से भरा हुआ, रसदार, स्वादिष्ट -- रलास, सरस, जीपाल, आनंद-जन्मोवा
रस्सा (पुं.) मोटी डोरी -- जरी, रचि
रहट (पुं.) खेतों में सिंचाई के लिए कुएँ से पानी निकालने का चक्राकार यंत्र (पर्शिंयन व्हील) -- पथारलै नादर पानी तुलि निया यंत्र
रहस्य (पुं.) मर्म या भेद की बात, गुप्त बात -- रहस्य, गुढ़, गोपन, कौतुक
रहित (वि.) (से) बिना, (से) खाली, विहीन -- रहित, बिहीन, बातिल, स्थगित
राक्षस (पुं.) निशाचर, दैत्य -- राक्षस, दैत्य
राग (पुं.) अनुराग, प्रेम -- प्रेम, अनुराग, आसक्ति रंग, रंजक द्रव्य, रँगा बरण
राग (पुं.) शास्त्रीय संगीत का विशिष्ट गान-प्रकार -- (संगीतर) राग (छह राग-विशेष)
राज (पुं.) राज्य, राजकीय शासन -- राज्य, राज्यर अंश
राज (पुं.) मकान बनाने वाला कारीगर (मेसन) -- राज-मिस्त्री
राजकुमार (पुं.) राजा का पुत्र -- राजकुमार, राजकोँवर
राजचिह्न (पुं.) राजकाज के संबंध में उपयोग किया जाने वाला कोई भी चिह्न या साधन जो शासक के प्राधिकार का द्योतक हो -- राजलक्षण, दण्ड-इत्यादि राजकीय चिन
राजदूत (पुं.) किसी राजा या राज्य का दूत -- राजदूत, कटकी रजाइ-पठोवा-दूत
राजद्रोही (पुं.) वह व्यक्ति जिसने सत्ता के विरुद्ध विद्रोह किया हो, बागी -- राजद्रोही, देशद्रोही, प्रचलित शासन-व्यवस्था विपक्षे द्रोह
राजधानी (स्त्री.) किसी राज्य का वह नगर, जो उसका शासन केंद्र हो -- राजधानी
राजनीति (स्त्री.) वह नीति या पद्धति, जिसके द्वारा किसी राज्य का प्रशासन सुचारु रूप से चलाया जाता है (स्टेटमैन शिप) -- शासन पद्धति, राजनीति
राजनीति (स्त्री.) गुटों, वर्गों आदि की पारस्परिक स्पर्धा वाली स्वार्थपूर्ण नीति (पॉलिटिक्स) -- राजनीति, कूटनीति, शासन पद्धति
राजभाषा (स्त्री.) किसी देश की वह भाषा, जो राजकाज तथा न्यायालयों आदि में प्रयोग में आती हो -- राजभाषा, प्रधान-भाषा, शासनर-भाषा
राजमार्ग (पुं.) मुख्य मार्ग, राजपथ -- राजपथ
राजस्व (पुं.) वह धन, जो राजा या राज्य को आधिकारिक रूप से मिलता हो -- राजह, राजस्व, राजकर
राजा (पुं.) वह व्यक्ति , जो किसी राज्य या भूखंड का मालिक हो, नृपति, भूपति -- रजा नृपति, भूपति, देशर-अधिपति
रात्रि (स्त्री.) रात, निशा -- निशा, राति
राशि (स्त्री.) किसी पदार्थ का समूह -- राशि, समूह, धूप
राशि (स्त्री.) गणित में कोई ऐसी संख्या जिसके संबंध में जोड़, गुणा, भाग आदि क्रियाएँ की जाती हैं -- (अंकर) राशि, संख्या
राशि (स्त्री.) ज्योतिष शास्त्र के अंतर्गत क्रांति वृत्त में पड़ने वाले 12 तारा समूहों में से कोई एक -- (ज्योतिषत) राशि, बारोटां चिन
राष्ट्र (पुं.) राज्य, देश किसी निश्चित और विशिष्ट क्षेत्र में रहने वाले लोग, जिनकी भाषा और रीति-रिवाज एक से होते हैं -- राष्ट्र, देश, शासन-यंत्र
राष्ट्रगान (पुं.) किसी राष्ट्र या देश का मान्यता प्राप्त विशिष्ट गान, जो राष्ट्रीय उत्सवों आदि पर गाया जाता हो -- राष्ट्रीय संगीत
राष्ट्रध्वज (पुं.) किसी भी राष्ट्र या देश का मान्यता प्राप्त झंडा -- राष्ट्रीय पताका
राष्ट्रभाषा (स्त्री.) राष्ट्र की ऐसी भाषा, जिसका प्रयोग उसके निवासी सार्वजनिक कामों के लिए करते हों -- राष्ट्र-भाषा, उमैहतिया भाषा
राष्ट्रमंडल (पुं.) ब्रिटेन तथा स्वतंत्र राष्ट्रों का मंडल, जो कभी ब्रिटेन के अधीन थे (कामनवेल्थ) -- कामन वेल्थ, राष्ट्र-मंडलं
राष्ट्रवादी (वि.) राष्ट्रवाद से संबंधित -- जातीयता बादी, देशभक्त
राष्ट्रवादी (पुं.) राष्ट्र के प्रति निष्ठा रखने वाला -- NA
राष्ट्रीयकरण (पुं.) सरकारी अधिकार क्षेत्र में लेने की क्रिया या भाव -- राष्ट्रीयकरण, सरकारर-द्ववारा परिचालनार भार ग्रहण
रास्ता (पुं.) मार्ग, पथ -- रास्ता, पथ, बाट
रिमझिम (स्त्री.) वर्षा की फुहार, छोटी छोटी बूँदों की वर्षा -- किनकिनीया-बरषुण
रिवाज (पुं.) प्रथा, चलन -- प्रथा, रीति, नियम
रिश्वतखोरी (स्त्री.) घूस लेने की क्रिया -- घोच खोवा कार्य, उत्कोच-लोवा-काम
रीझना (अ.क्रि.) मोहित होना, किसी पर प्रसन्न होना -- मोहित ह, मुग्ध ह
रीति (स्त्री.) प्रथा, रिवाज -- रीति, प्रथा, चलित-नियम
रीति (स्त्री.) काम करने का विशिष्ट ढंग या तरीका, कायदा -- कायदा, पद्धति, रचनाशैली
रुकना (अ.क्रि.) ठहरना, थमना -- र, थाम
रुकावट (स्त्री.) विघ्न, बाधा, अटकाव -- बाधा, बांधकता
रुचना (अ.क्रि.) रुचि के अनुकूल प्रतीत होना, अच्छा लगना, भाना -- भाल लाग, जुति लाग
रुचि (स्त्री.) अच्छा लगने की वृत्ति -- रुचि, इच्छा, सेवाद, सौंदर्य
रुचि (स्त्री.) दिलचस्पी -- रुचि, जुति, शोभा, सौंदर्य
रुपया (पुं.) सौ पैसे के मूल्य का भारतीय सिक्का या नोट -- टका, टका-पइसा, मुद्रा
रुष्ट (वि.) रोष से भरा हुआ, क्रुद्ध -- रुष्ट, क्रुद्ध, रुष्अ
रुष्ट (वि.) रूठा हुआ, अप्रसन्न -- असंतुष्ट, ओफोंदा-लगा
रूखा (वि.) जिसमें चिकनाहट का अभाव हो, शुष्क, नीरस -- रुक्ष, कठुवा, शुकानं, नीरस, खहटा अमृसन
रूठना (अ.क्रि.) रुष्ट या अप्रसन्न होना -- असंतुष्ट ह, रुष्ठ ह
रूढ़ि (स्त्री.) परंपरा से चली आई कोई ऐसी प्रथा, जिसे साधारणतया सभी लोग मानते हों -- प्रचलन, रीति, परंपरा उत्पत्ति
रूपक (पुं.) ऐसी साहित्यिक रचना, जिसका अभिनय हो सके, नाटक -- रूपक, नाटक, बेशधारण
रूपक (पुं.) साहित्य में एक प्रकार का अर्थालंकार (मेटाफर) -- रूपक, उपमा-उपमेय-अभेदक अलंकार
रूपरेखा (स्त्री.) रेखाओं द्वारा ऐसा अंकन, जिससे किसी के रूप का स्थूल ज्ञान होता हो (स्केच) -- आँचनि, रूपरेखा, मूल-विषय-वस्तु
रूपरेखा (स्त्री.) किसी कार्य या बात के संक्षिप्त रूप (आउट-लाइन), योजना आदि का खाका -- रुपरेखा, आकृति बा सीमा-निर्देशकरेखा
रूपांतर (पुं.) रूप-परिवर्तन -- रूपांतर, अन्य रूप परिवर्तन
रेंगना (अ.क्रि.) पेट के बल सरकना (क्रीप) -- चोँचर, बगुवा
रेखागणित (पुं.) ज्यामिति (जिओमिट्री) -- ज्यामिति, आँक-आँच ज्यामितिककार्य
रेखाचित्र (पुं.) केवल रेखाओं से बनाया गया कोई चित्र या आकृति (स्केच) -- रेखाचित्र, केवल-रेखाइ तोला चित्र
रेजगारी (स्त्री.) छोटे सिक्के, छुट्टा -- भंडा-पइचा, खुचरा, भँगिनिया पइचा
रेत (स्त्री.) बालू -- बालि
रेलगाड़ी (स्त्री.) भाप, डीजल, बिजली आदि से लोहे की पटरियों पर चलने वाली गाड़ी -- रेलगाड़ी, लोर-गड़ परा चला दीघल-गाड़ी
रोक (स्त्री.) प्रतिबंध -- बंध, निषेध
रोक (स्त्री.) रोकने (बाधा डालने या निषेध करने) की क्रिया या भाव -- बाधा, प्रतिरोध
रोकथाम (स्त्री.) किसी प्रवृत्ति, रोग आदि के उन्मूलन तथा प्रसार आदि को रोकने के उपाय -- रोध, बंध, असुख
रोग (पुं.) बीमारी -- रोग, बेमार, व्याधि
रोचक (वि.) अच्छा लगने वाला, मनोरंजक -- रोचक, सुस्वादु, मनोरंजक
रोजगार (पुं.) धंधा, पेशा, आजीविका का साधन -- बृत्ति, जीविकार-उपाय, आर्जन
रोना (अ.क्रि.) आँसू बहाना, रुदन करना -- कांद, बिलाप-कर
रोम (पुं.) शरीर पर के बाल, रोआँ -- नोम, कापारत-आँह गात गजा चुलि
रोली (स्त्री.) हल्दी और चूने के योग से बना एक प्रकार का चूर्ण, जिससे तिलक लगाया जाता है -- रोली, सुगंधी, हालधीया गुडि
रोशनदान (पुं.) रोशनी, हवा आदि आने का छोटा रास्ता, गवाक्ष, वातायन -- खिरिकि, बातायन, सुरुङा
रोष (पुं.) क्रोध, गुस्सा, कोप -- रोष, क्रोध खं
रौंदना (स.क्रि.) किसी चीज़ को पैरों तले पीसना, कुचलना -- गचक, खचक
रौनक (स्त्री.) चमक-दमक, शोभा -- शोभा, जेउति, जाक-जमक
रौनक (स्त्री.) चहल-पहल, जमघट -- हेँचा-ठेला, भीड़
लँगड़ाना (अ.क्रि.) लँगड़ा कर चलना -- लेङेरा, लेकेचिया
लंगर (पुं.) लोहे का बहुत भारी काँटा, जिसे नदी, समुद्र आदि में गिरा कर जहाज आदि को रोक कर स्थिर किया जाता है -- लंगर, नाओ-जाहाज-आँकोरा-यतन
लंगर (पुं.) वह स्थान, जहाँ पका हुआ भोजन पंगत में बैठे भक्तों और गरीबों को खिलाया जाता है तथा इस प्रकार बाँटा जाने वाला भोजन -- दुखीया दरिद्रक खाद्य बिलोवा ठाइ
लंपट (वि.) कामी, विषयी -- लंपट कामुक
लंबा (वि.) जो अधिक ऊँचा हो -- अति ओख, दीघल
लंबा (वि.) अधिक विस्तार वाला, दीर्घकायिक -- बिस्तृत, सुदीर्घ
लकड़ी (स्त्री.) कटे पेड़ का कोई भी सूखा भाग, शाख, टहनी आदि -- शुकान काठ
लकीर (स्त्री.) रेखा (लाइन) -- रेखा
लक्षण (पुं.) किसी वस्तु या व्यक्ति में होने वाला कोई ऐसा गुण या विशेषता जो सहसा औरों में दिखाई न देती हो (फीचर, करेक्टरिस-टिक्स) -- लक्षण, बैशिष्ट, चिन, शुभाशुभ-बुजोवा
लक्षण (पुं.) शरीर में दिखाई पड़ने वाले वे चिहन आदि, जो किसी रोग के सूचक हों या सामुद्रिक के अनुसार शुभाशुभ के सूचक हों -- लक्षण, चिन, स्वभाव, चरित्र
लक्षणा (स्त्री.) वह शब्द शक्ति, जो सामान्य अर्थ से अन्य अर्थ प्रकट करती हो -- लक्षणा, आरोपित-अर्थ-बुझोवा
लक्ष्मण रेखा (स्त्री.) ऐसी सीमा, जिसका अतिक्रमण नहीं किया या सके -- लक्ष्मण-रेखा
लक्ष्मी (स्त्री.) धन-संप्पत्ति की देवी, श्री, धन संप्पति -- धन-संपत्तिर अधिष्ठात्री-देवी, धन-ऐश्वर्य शोभा, श्री, धान-चाउल
लक्ष्य (पुं.) निशाना -- लक्ष्य, उद्देश्य, काम्य-विषय
लक्ष्य (पुं.) अभीष्ट वस्तु, उद्देश्य -- उद्देश्य, दृष्टि आघात-कील खोजा वस्तु
लखपती (पुं.) लाखों रुपए का मालिक, बहुत अमीर व्यक्ति -- लाखपति, बहुटका-थका-लोभ
लगन (स्त्री.) मन का किसी ओर लगना, धुन, लौ -- आसक्ति, रति, ध्यान, तन्मयता
लगन (पुं.) विवाह या अन्य शुभ कार्य का मुहूर्त्त -- लग्न, शुभक्षण, ध्यान-तन्मयता
लगान (पुं.) सरकार को मिलने वाला भूमि कर, भूकर -- राजह, खाजाना
लगाना (अ.क्रि.) जोड़ना, संलग्न करना -- जोरा, लगलगा, संयोग करा
लगाना (अ.क्रि.) रोपना -- रो, पोत, रोपण करिबा
लगाम (स्त्री.) बाग, रास -- लेकाम, लेगाम
लगाव (पुं.) जुड़ने का भाव, स्नेह -- मरम, स्नेह
लगाव (पुं.) दिलचस्पी -- आकर्षण
लघुतम (वि.) सबसे छोटा -- आटाइतकै सरु, हीन, अपदस्थ
लचकना (अ.क्रि.) दबाव आदि पड़ने के कारण किसी लंबी चीज का मध्य भाग पर से कुछ झुकना या मुड़ना -- कँकाल हाल
लज्जा (स्त्री.) लाज, शर्म, हया -- लाज, संकोच, क्रीड़ा
लटकना (अ.क्रि.) ऊँची जगह से नीचे की ओर लंबित होना -- ओलमा
लटकना (अ.क्रि.) काम पूरा न होना, देर होना -- असंपूर्ण है, थाक बा र
लट्टू (पुं.) लकड़ी का एक खिलौना, जिसके मध्य में कील जड़ी होती है और जो चलाए जाने पर उक्त कील पर घूमने या चक्कर लगाने लगता है (स्पिनिंग टॉप) -- लाटुम, लाटिम
लड़कपन (पुं.) बाल्यावस्था, बचपन -- शैशब, लराकाल, बाल्यकाल
लड़कपन (पुं.) बचकाना आचरण -- लरालि
लड़का (पुं.) बालक, जो अभी युवक न हुआ हो -- लरा, पुत्र-संतान, कम-बयसीया लोक
लड़का (पुं.) पुत्र -- पो, पुत्र
लड़खड़ाना (अ.क्रि.) चलते समय सीधे न रह सकने के कारण इधर-उधर झुकना, डगमगाना -- ढलं पलं कर, थरक-बरक कर, लरक-फरक
लड़ना (अ.क्रि.) लड़ाई करना, भिड़ना, झगड़ना -- युँज, काजिया-कर, संग्राम-करा
लता (स्त्री.) जमीन पर या किसी आधार पर फैलने वाला पौधा, बेल -- लता, लतिका
लदना (अ.क्रि.) बोझ या भार से युक्त होना -- बोजाइ ह, गधुर ह
लपकना (अ.क्रि.) सहसा तेजी से या फुर्ती से आगे बढ़ना -- बेगेरे आग बाढ़, जोरेर-ओलोवा-जुइ
लपकना (अ.क्रि.) फेंकी गई किसी वस्तु को जमीन पर गिरने से पूर्व पकड़ लेना -- थाप मारि धर
लपट (स्त्री.) आग की लौ, ज्वाला -- जुइर शिखा
लपेटना (स.क्रि.) सूत, कपड़े आदि को किसी चीज के चारों ओर फेरा देकर बाँधना -- मेरियाब, पका नुरिया
लय (पुं.) एक वस्तु का दूसरी वस्तु में विलीन होना, समा जाना -- लय, लीन काल-परिमाण
लय (स्त्री.) स्वर के आरोह-अवरोह का ढंग -- लय, लीन, विलीन-होवा, नाश
ललकार (स्त्री.) लड़ने के लिए प्रतिपक्षी को दी गई चुनौती -- आहवान, प्रत्याहवान
ललकारना (स.क्रि.) विपक्षी को लड़ने की चुनौती देना -- प्रत्याहवान कर
ललचाना (स.क्रि.) कोई चीज देखकर किसी के मन में लोभ का भाव जगना -- लोभ लगा, लालायित कर
ललाट (पुं.) माथा -- कपाल
ललाट (पुं.) भाग्य -- भाग्य
ललित (वि.) मनोहर, सुंदर -- मनोहर, सुंदर, ललित, सुकोमल
लहर (स्त्री.) हिलोर, मौज, तरंग (वेव) -- लहर, ढौ, तरंग, शारी
लहराना (अ.क्रि.) हवा के झोंकों से हिलना-डुलना -- हाल-जाल, दोलायित
लहलहाना (अ.क्रि.) हरा भरा होना, पनपना -- लहपहकै बाढ़, लहपहा
लहू-लुहान (वि.) खून से तर-बतर -- तेजेरे लुतुरि-पुतुरि
लाँघना (स.क्रि.) डग भर कर या छलाँग लगाकर पार करना, फाँदना -- चेरा, पार ह
लांछन (पुं.) चरित्र पर धब्बा, कलंक -- कलंक, चका, दाग, अपमान
लाख (पुं.) सौ हजार की अंकों में सूचक संख्या-1,00,000 -- लाख, लक्ष
लाख (वि.) जो संख्या में सौ हजार हो -- NA
लागत (स्त्री.) किसी पदार्थ के निर्माण में होने वाला खर्च -- गढ़नी, खरच
लाचारी (स्त्री.) मजबूरी, असमर्थता, विवशता -- असमर्थता, असहाय अवस्था, दुर्बल, मूर्छित
लाड़-प्यार (पुं.) प्रेमपूर्ण व्यवहार, दुलार -- आदर-सादर, आदर-चेनेह
लाभ (पुं.) प्राप्ति, लब्धि -- लाभ, प्राप्ति, आय
लाभ (पुं.) फायदा, नफा -- लाभ, उपकार
लाभदायक (वि.) जो लाभ कराता हो, लाभ देने वाला -- लाभजनक, लाभदायक, उपकारी
लाभांश (पुं.) लाभ का वह अंश, जो हिस्सेदारों को लगाई गई पूँजी के अनुपात में मिलता हो (डिविडेन्ड) -- लाभांश, हाते जमार अंश
लाल (पुं.) छोटा और प्रिय बालक, प्यारा बच्चा, पुत्र, बेटा -- सोणाइ, बोपाइ, पुत्र, रङा
लाल (पुं.) माणिक नामक रत्न -- माणिक (रत्न)
लाल (वि.) रक्तवर्ण का, सुर्ख -- रङा, रङचुवा, पाचक-रस
लालच (पुं.) कोई वस्तु पाने की बहुत बड़ी इच्छा, लोभ -- लालसा, लोभ, स्पृहा हेंपाह
लालटेन (स्त्री.) हाथ में लटकाने योग्य चिमनीदार लैंप, कंडील -- लेंप
लाश (स्त्री.) किसी प्राणी का मृत शरीर, शव -- श, लाच, मरा श
लिपि (स्त्री.) वर्णमाला के अक्षर लिखने की एक प्रणाली, अक्षरों-वर्णों के चिहन -- लिपि, हातेलिखा पाण्डुलिपि, लिखित-प्रतीक-चिन
लीन (वि.) जो किसी में समा गया हो -- लीन, बिलीन मिलि-योवा
लीन (वि.) जो किसी काम में इस प्रकार लगा हुआ हो कि उसे और बातों का ध्यान न रहे, तन्मय -- मग्न, बिभोर, तन्मय
लीपना (स.क्रि.) किसी वस्तु पर गाढ़े या पतले तरल पदार्थ का लेप करना -- लिप, लेओ दि
लुटेरा (पुं.) लूटने वाला, डाकू -- डकाइत, डाकु, लुटियार
लुभाना (अ.क्रि.) आकृष्ट, मोहित या राग-युग्त होना, लालच में पड़ना -- आकृष्ट कर, मुग्ध कर
लू (स्त्री.) ग्रीष्म ऋतु में चलने वाली बहुत गर्म हवा -- लु (बायु), उत्तप्क-बताह
लू (स्त्री.) ग्रीष्म ऋतु में गर्म हवा लग जाने से होने वाली एक बीमारी -- रदे धरा, ठँक
लूट (स्त्री.) जबरदस्ती छीनने की क्रिया -- लुट, लुटि-लोवा बस्तु बा संपत्ति
लेकिन (अव्य.) परंतु, किंतु, मगर -- किंतु, पिचे
लेखक (पुं.) पत्र-पत्रिका आदि के लिए लेख लिखने वाला या साहित्यिक ग्रंथ लिखने वाला व्यक्ति -- लेखक, लिखक, रचक, ग्रंथकार
लेखा-जोखा (पुं.) हिसाब-किताब -- हिचाब-पत्र
लेटना (अ.क्रि.) विश्राम करने के लिए लंबाई के बल पड़े रहना -- दीघल दि, आराम कर, धुलि-बोका चोंचराइ ने
लेन-देन (पुं.) किसी को कुछ देने और उससे कुछ लेने का व्यवहार -- आदान-प्रदान, लेन-देन, संपर्क
लेन-देन (पुं.) उधार लेने-देने का व्यवहार -- धार, लेन-देन
लेना (स.क्रि.) थामना, पकड़ना -- धार ल
लेना (स.क्रि.) खरीदकर या उधार के रूप में प्राप्त करना -- किन, ल
लेप (पुं.) गीली या घोली हुई चीज, जो किसी दूसरी चीज पर पोती जाए -- लेओ, लेप, डाठ-आवरण
लेप (पुं.) शरीर पर लगाया जाने वाला उबटन आदि -- गात-घँहा बस्तु, प्रलेप
लोक कथा (स्त्री.) लोक विशेषत: ग्राम्य लोगों में प्रचलित कोई प्राचीन गाथा (फोक टेल) -- किंबदंति, प्रवाद, साधुकथा, राइजर-मुखर-कथा-मात
लोककला (स्त्री.) अंचल विशेष में परंपरागत प्रचलित नृत्य, गीत आदि कलाएँ -- लोक कला, लोक-संस्कृति, परंपरागत-भाव, प्रचलित कला
लोकगीत (पुं.) जनसाधारण में गीत -- लोकगीत, परंपरागत भावे-प्रचलित-गीत
लोकप्रिय (वि.) ज़ो जनसाधारण को प्रिय हो -- लोकप्रिय, जनप्रिय राइजर-मनत रं लगोवा
लोक संगीत (पुं.) परंपरा से चला आया वह संगीत, जो लोक में प्रचलित हो -- लोक-संगीत, राइजर परंपरागत संगीत
लोकापवाद (पुं.) लोक निंदा, बदनामी -- लोकापबाद, परनिंदा
लोकोक्ति (स्त्री.) लोकोक्ति -- लोकोक्ति, प्रबचन, जनश्रुति
लोभ (पुं.) दूसरे की वस्तु पाने की प्रबल कामना, लालच -- लोभ, लालसा, प्रबल इच्छा
लोरी (स्त्री.) छोटे बच्चों के सुलाने के लिए गाए जाने वाले गीत -- निचुकनि गीत
लोहा (पुं.) प्राय: काले रंग की एक प्रसिद्ध धातु -- लो, लोहा, धातु विशेष
लौ (स्त्री.) आग की लपट, ज्वाला -- जुइर-शिखा
लौ (स्त्री.) लगन, धुन -- अनुराग, निचा, एकाग्रता, तन्मयता
लौकिक (वि.) सांसारिक -- लौकिक, ऐहिक, सांसारिक
लौटना (अ.क्रि.) वापस आना या जाना -- घूर, ओलट, ओभत
लौटना (अ.क्रि.) पीछे की ओर घूमना, मुड़ना -- घूर, पिच होहँक, ओभता
वंश (पुं.) जीव या प्राणी की संतान, परंपरा, कुल -- बंश, कुल, फैद, गोष्ठी
वंशज (पुं.) वंश विशेष में उत्पन्न संतान -- बंशज, संतान, सति-संतति
वंशावली (स्त्री.) किसी वंश में उत्पन्न पुरुषों की पूर्वोत्तर क्रम सूची -- बंशावली, वंशर विस्तृत बिबरण थका तालिका, बुरञ्जी
वकालत (स्त्री.) वकील का काम या पेशा -- उकालति, उकीलर-काम-व्यवसाय
वकालत (स्त्री.) किसी के पक्ष का किया जाने वाला मंडन, पक्ष समर्थन -- उकालति, पक्ष समर्थन
वचन-बद्ध (वि.) जिसने किसी को कोई काम करने या न करने का वचन दिया हो -- बचन बद्ध
वध (पुं.) अस्त्र-शस्त्र से की जाने वाली हत्या -- बध, हत्या, प्राणनाशर-कार्य
वधू (स्त्री.) ऐसी कन्या, जिसका विवाह हो रहा हो, अथवा हाल में हुआ हो, दुलहन -- न-कइना, बोवारी
वधू (स्त्री.) पत्नी -- बधु, घैनी, पत्नी, स्त्री
वनवास (पुं.) वन का निवास, जंगल में रहना -- बनबास हानित-थका, निर्वासन
वनस्पति (स्त्री.) जमीन से उगने वाले पेड़, पौधे, लताएँ आदि -- बनस्पति, गछ-गछनि, उदभिद, डाँगेरगछ
वनिता (स्त्री.) औरत, स्त्री -- तिरोता, महिला
वयस्क (वि.) पूर्ण शारीरिक विकास प्राप्त, प्रौढ़ -- महिला, बयस्क, बयसीया, प्रोढ़
वयस्क (वि.) विधिक दृष्टि से आयु विशेष का वह व्यक्ति, जिसे निर्वाचन में मत देने, अपनी संपत्ति की व्यवस्था करने, कानूनन विवाह करने आदि का अधिकार प्राप्त होता है, बालिग -- प्राप्त-बयस्क, डाङर, प्रोढ़, साबालकक विशेष-बयसर
वर (पुं.) कन्या के विवाह के लिए उपयुक्त पात्र -- बर, दरा
वर (पुं.) नव विवाहित स्त्री पति, दुल्हा -- बर, स्वामी, स्वामी रुपे अधीनत स्वीकार कुर
वर (पुं.) वरदान -- बर, आशीर्वाद, कृपा
वरदान (पुं.) देवता, महापुरुष आदि के द्वारा दिया हुआ वर -- बर, आशीर्बाद
वर्ग (पुं.) स्वजातीय या समान-धर्मियों का समूह, श्रेणी -- बर्ग, समुह, समाज
वर्ग (पुं.) कुछ विशिष्ट कार्यों के लिए बना लोगों का समूह, दल -- समान दल, संघ
वर्गीकरण (पुं.) गुण-धर्म, रंग-रूप, आकार-प्रकार आदि के आधार पर वस्तुओं आदि के भिन्न-भिन्न वर्ग बनाना -- बर्गीकरण
वर्णन (पुं.) किसी विशिष्ट अनुभूति, घटना, दृश्य, वस्तु, व्यक्ति आदि के संबंध में विस्तारपूर्ण कथन -- बर्णन, बर्णना, बिबृत्ति
वर्णमाला (स्त्री.) किसी लिपि के वर्णों या अक्षरों की यथाक्रम सूची -- बर्णमाला, एटा भाषर क्रम-समूह-आखर
वर्तमान (वि.) जो इस समय अस्तित्व या सत्ता में हो अथवा लागू हो -- बर्तमान, जीवित-थका, आधुनिक, बिद्यमान
वर्तमान (वि.) उपस्थित, प्रस्तुत, विद्यमान -- उपस्थित चलिथका-काल एतिया
वर्षगाँठ (स्त्री.) जन्म की तिथि के बाद प्रतिवर्ष पड़ने वाला दिवस, जन्मदिन, सालगिरह -- जन्म दिवस, जन्म-तिथि
वसीयत (स्त्री.) वह लिखित आदेश, जिसमें मृत्यु के उपरांत उस व्यक्ति की संपत्ति के वारिस का वर्णन हो -- उइल-इच्छा-पत्र, अधिकार-पत्र, दान-पत्र
वसीयत (स्त्री.) वसीयत-नामा, इच्छापत्र -- इच्छापत्र
वसुंधरा (स्त्री.) पृथ्वी -- बसुंधरा, पृथिबी
वसूली (स्त्री.) वसूल करने की क्रिया या भाव, उगाही -- आदाय, प्राप्ति
वस्तु (स्त्री.) गोचर पदार्थ, चीज -- बस्तु
वस्त्र (पुं.) ऊन, रुई, रेशम आदि के कपड़े -- कापोर, बस्त्र
वह (सर्व.) बातचीत में दूर स्थित या परोक्ष व्यक्ति या पदार्थ को संकेत का शब्द -- सि, तेँओ, ताइ
वहाँ (अव्य.) उस स्थान में, -- तात
वांछनीय (वि.) जिसकी वांछा या कामना की गई हो या की जाने वाली हो -- बांछनीय, बांछित
वांछित (वि.) चाहा हुआ, इच्छित -- बांछित, बिचरा
वाङ्मय (पुं.) लिपिबद्ध विचारों का समस्त संग्रह या समूह, साहित्य -- बाङमय, लिखित-साहित्य
वाणिज्य (पुं.) बड़े पैमाने पर होने वाला व्यापार -- बाणिज्य, बणिज, ब्यवसाय
वाणी (स्त्री.) मुँह से निकलने वाली सार्थक बात, वचन -- बाणी, कथा
वाणी (स्त्री.) जिहवा, जीभ -- जिभा
वाणी (स्त्री.) सरस्वती -- सरस्वती, ज्ञानर अधिष्ठन्नो देवी
वातानुकूलन (पुं.) तापमान नियंत्रक उपकरण -- शीत-ताप नियंत्रण, बातानुकूल
वातावरण (पुं.) वायु की वह राशि, जो पृथ्वी, ग्रह आदि पिंडों को चारों ओर से घेरे रहती है, वायुमंडल -- बायुमंडल
वातावरण (पुं.) परिस्थिति, पर्यावरण -- परिस्थिति, बाताबरण
वात्सल्य (पुं.) माता-पिता का बच्चों के प्रति नैसर्गिक प्रेम -- बात्सल्य, संतान-प्रीति
वाद-विवाद (पुं.) तर्क-वितर्क, खंडन-मंडन, वाद-विवाद -- बाद-बिबाद, तर्क-बितर्क
वादी (पुं.) वह, जो न्यायालय में किसी के विरुद्ध कोई अभियोग उपस्थित करे, फरियादी -- बादी
वायु (स्त्री.) हवा, पवन -- बायु, बताह, पबन
वायुमार्ग (पुं.) हवाई मार्ग, विमान मार्ग -- बायु मार्ग, बिमानपथ, आकाश-मार्ग
वायु सेना (स्त्री.) वायुमार्गों की रक्षा करने वाली सेना, हवाई सेना -- बायु सेना, बिमान बाहिनी
वार्तालाप (पुं.) बातचीत, कथोपकथन, संवाद -- कथोपकथन, बार्तालाप
वार्षिक (वि.) प्रतिवर्ष होने वाला, एक वर्ष के बाद होने वाला -- बार्षिक, बछेरेकीया
वार्षिक (वि.) एक वर्ष तक चलता रहने वाला -- एबछरीया
वाष्प (पुं.) भाप -- बाष्प, भाप
वास्तविक (वि.) जो वास्तव में हो, यथार्थ, सत्य -- बास्तविक, यथार्थ, सत्य
वाहन (पुं.) सवारी, यान -- बाहन, यान-बाहन (परिबहन)
विकराल (वि.) भीषण आकृति वाला, डरावना -- भीषण, भयानक, भयंकर
विकल (वि.) बेचैन, व्याकुल -- ब्याकुल, आतुर
विकास (पुं.) उन्नति, प्रसार, अभिवृद्धि -- बिकाश, प्रसार, उन्नति
विक्रम (पुं.) पौरुष, बल, वीरता, पराक्रम -- बिक्रम, बल, बीरता
विख्यात (वि.) प्रसिद्ध, मशहूर -- बिख्यात, प्रख्यात, प्रसिद्ध
विचार (पुं.) सोचने-समझने की क्रिया या भाव, मनन, चिंतन -- बिचार, चिंता, बिबेचना
विचार (पुं.) मत, राय, धारणा -- मत, अभिमत, धारणा
विचार विमर्श (पुं.) विचारों का आदान-प्रदान, सलाह-मशवरा -- बिचार-बिलोचना, बिचार-परामर्श
विचित्र (वि.) साधारण से भिन्न, अद्भुत, अनोखा -- बिचित्र, अभिनव, अद्भुत
विजय (स्त्री.) शत्रु या प्रतिस्पर्धी को हराना, जीत -- जय, विजय
विजय (स्त्री.) सफलता, कामयाबी -- सफलता, कृतकार्यता
विजेता (पुं.) जीतने वाला, विजयी -- बिजेता, बिजयी
विज्ञान (पुं.) आविष्कृत सत्यों तथा प्राकृतिक नियमों पर आधारित क्रमबद्ध तथा व्यवस्थित ज्ञान -- बिज्ञान
विज्ञापन (पुं.) प्रचार तथा बिक्री आदि के उद्देश्य से वस्तु के गुण, कार्य-पद्धति बताते हुए पत्रिकाओं आदि में प्रकाशित कराई जाने वाली सूचना -- बिज्ञापन, जाननी
विज्ञापन (पुं.) प्रचार आदि के उद्देश्य से बाँटी जाने वाली सामग्री, इश्तहार -- जाननी, प्रचारपत्र, इस्ताहार, विज्ञप्ति
विडंबना (स्त्री.) क्रूर, परिहास -- विड़ंबना, क्रूर परिहास
विडंबना (स्त्री.) असंगति -- बिसंगति, असंगति
वितरण (पुं.) बाँटना, देना -- बितरण
विदूषक (पुं.) अपने विचित्र वेश, चेष्टा, बातचीत आदि से दूसरों की नकल उतार कर लोगों को हँसाने वाला, मसखरा, नाटकों में इस प्रकार का पात्र -- बिदुषक, बहुवा
विदेश (पुं.) दूसरा देश, परदेश -- बिदेश
विद्या (स्त्री.) अध्ययन, शिक्षा आदि से अर्जित किया जाने वाला ज्ञान -- बिद्या
विद्या (स्त्री.) किसी तथ्य या विषय का विशिष्ट और व्यवस्थित ज्ञान -- बिद्या, तथ्य
विद्यालय (पुं.) शिक्षण संस्थान, स्कूल, पाठशाला -- बिद्यालय, पाठशाला
विद्युत (स्त्री.) बिजली -- बिद्युत्, बिजली
विद्रोह (पुं.) राज्य या शासन के विरुद्ध किया जाने वाला आचरण और व्यवहार, उपद्रव -- बिद्रोह, उपद्रब
विधर्मी (पुं.) अपने धर्म के विपरीत आचरण करने वाला, धर्म-भ्रष्ट -- बिधर्मी, अधर्मी
विधर्मी (पुं.) दूसरे धर्म का अनुयायी -- बिधर्मी, अन्यधर्मी
विनती (स्त्री.) विनीत भाव से की जाने वाली प्रार्थना, अनुनय-विनय -- मिनति, प्रार्थना
विनय (स्त्री.) विनम्रता और सौजन्य -- बिनय, बिनम्रता
विनय (स्त्री.) नम्रतापूर्वक की जाने वाली प्रार्थना या विनती -- मिनति, अनुरोध
विनीत (वि.) जिसमें विनय हो, विनयी, नम्र, -- बिनीत, बिनयी, नम्र, भद्र
विनोद (पुं.) मन-बहलाव, मनोरंजन -- बिनोद, मनोरंजन
विनोद (पुं.) हँसी-ठट्ठा -- हाँहि-धेमालि
विपक्ष (पुं.) विरोधी पक्ष या दल -- बिपक्ष
विपुल (वि.) संख्या या परिमाण में बहुत अधिक -- अनेक, बिपुल, प्रचुर, अधिक
विमल (वि.) मल-रहित, निर्मल, साफ -- बिमल, निर्मल, स्वच्छ
विमोचन (पुं.) बंधन आदि खोलकर मुक्त करना, छुड़ाना या छोड़ना -- बिमोचन, मोचन
विमोचन (पुं.) प्रकाशनोद्घाटन, लोकार्पण -- उन्मोचन, अनावरण
वियोग (पुं.) प्रेमियों का एक-दूसरे से बिछुड़ना -- बिच्छैद, एराएरि
वियोग (पुं.) उक्त अवस्था का कष्ट -- बिरह, बिच्छेद
विराट (वि.) बहुत बड़ा या व्यापक -- बिराट, बिशाल, ब्यापक
विराम (पुं.) क्रिया, गति, चाल आदि में होने वाला अटकाव, ठहराव -- बिराम, बिरति
विराम (पुं.) वाक्य की समाप्ति पर लगाया जाने वाला रुकने का चिहन, पूर्णविराम -- बिराम, चिहन, यति
विराम (पुं.) विश्राम, आराम -- जिरणि, बिश्राम
विरोध (पुं.) कार्य या प्रयत्न को रोकने की कोशिश -- बिरोधिता
विलंब (पुं.) औचित्य से अधिक समय, देरी -- बिलंब, पलम
विलय (पुं.) एक पदार्थ का अथवा राज्य का किसी दूसरे पदार्थ या राज्य में घुलना-मिलना, विलीन होना -- मिल, चामिल
विलय (पुं.) सृष्टि का नष्ट होकर मूल तत्वों में मिल जाना, प्रलय अथवा ध्वंस, नाश -- लय, प्रलय, बिनाश, नाश, व्धंस,
विलास (पुं.) सुख-सुविधाओं का यथोचित मात्रा से अधिक उपभोग -- भोग-बिलास, बिलासिता
विलास (पुं.) विषय भोग -- भोग-बिलास, बिषयानंद
विलीन (वि.) जो अपनी स्वतंत्र सत्ता खोकर दूसरे में मिल गया हो -- बिलीन, लीन
विलीन (वि.) गायब, लुप्त, अदृश्य -- लुप्त, अदृश्य
विलोम (वि.) विपरीत क्रम से होने वाला -- बिलोम, बिपरीत
विलोम (वि.) विपरीत अर्थ वाला -- बिपरीत अर्थबाचक
विवश (वि.) मजबूर, बाध्य, लाचार -- बिबश, बाध्य, निरुपाय
विवाद (पुं.) कहा-सुनी, तकरार -- काजिया, तर्कातर्की
विवाद (पुं.) पारस्परिक मतभेद -- मनोमालिन्य, मतभेद
विवाह (पुं.) शादी, पाणिग्रहण -- बिबाह, बिया, परिणय
विवाह (पुं.) उक्त के अवसर पर होने वाला उत्सव या धार्मिक कृत्य -- बिबाह कार्ज्य, बिवाह बिधि, धार्मिक कृत्य
विवेक (पुं.) सत् और असत् के विवेचन निर्णय करने वाली बुद्धि, सुबुद्धि -- बिबेक, सुबुद्धि
विशाल (वि.) बड़ा, बृहद् -- बिशाल, बिराट्, बृहत
विशाल (वि.) भव्य, शानदार -- भब्य, प्रकाण्ड
विशिष्ट (वि.) (वस्तु) जिसमें औरों की अपेक्षा कोई बड़ी विशेषता हो -- बिशेष गुणयुक्त
विशिष्ट (वि.) (व्यक्ति) जिसे अन्यों की अपेक्षा अधिक आदर, मान आदि प्राप्त हो -- विशिष्ट, बिशिष्ट
विशेष (वि.) जिसमें औरों की अपेक्षा कोई नई बात अथवा कुछ अलग हो, विशेषतायुक्त -- बिशिष्ट, बिशेष
विशेष (वि.) विचित्र, विलक्षण -- बिचित्र, असाधारण, बिलक्षण
विश्राम (पुं.) आराम, चैन, सुख -- बिश्राम, आराम
विष (पुं.) जहर -- बिष, बिह
विषम (वि.) जो सम अर्थात् समान या बराबर न हों, असमान -- बिषम, असमान
विषम (वि.) जो (संख्या) दो से भाग देने पर पूरी न बँटे -- बिषम (संख्या)
विषम (वि.) (कार्य, स्थिति या विषय) जो कठिन या विकट हो -- टान, कठिन
विषय-सूची (स्त्री.) विषयों की अनुक्रमणिका या सूची -- बिषय-सूची, कार्यसूची
विसंगति (स्त्री.) संगति का न होना, असंगति -- बिसंगति, अशंगति
विस्फोट (पुं.) एकत्र गैस, बारूद आदि का अग्नि या ताप के कारण जोर का शब्द करके बाहर निकल पड़ना -- बिस्फोरण, स्फोटन
वे (सर्व.) वह’ का बहुवचन रूप -- सिहँत, सेइबोर इत्यादि
वेग (पुं.) गति या चाल की तीव्रता या तेजी, शीघ्रता -- बेग, द्रुत, गति, तीव्रता
वेतन (पुं.) तनख्वाह, पगार -- बेतन, दरमहा
वेदवाक्य (पुं.) ऐसा वाक्य या कथन, जिसकी सत्यता असंदिग्ध हो -- बेद-बाक्य, सतकथा
वेदी (स्त्री.) मांगलिक या शुभ कार्य के लिए तैयार किया हुआ चौकोर स्थान, वेदिका -- बेदी, बेदिका
वेशभूषा (स्त्री.) पहनने के कपड़े, पोशाक, पहनावा -- बेश, पोछाक, बेश-भूषा, साज-पार
वैज्ञानिक (पुं.) विज्ञान का ज्ञाता, विज्ञानवेत्ता -- बैज्ञानिक, बिज्ञानी
वैज्ञानिक (वि.) विज्ञान-संबंधी -- बैज्ञानिक
वैर (पुं.) घोर शत्रुता -- बैरिता, शत्रुता
वैश्य (पुं.) हिंदुओं में तीसरे वर्ण का व्यक्ति, जिसका मुख्य कर्म व्यापार कहा गया है -- बैश्य, ब्यवसायी
व्यंग्य (पुं.) शब्द की व्यंजना शक्ति द्वारा निकलने वाला अर्थ, कटाक्ष, ताना -- ब्यंगार्थ, श्लेष, ब्यंगोकित, कटाक्षपात
व्यंग्य (पुं.) विडंबना -- बिड़ंबना, ब्यंग
व्यंग्य-चित्र (पुं.) किसी घटना, बात, व्यक्ति आदि की हँसी उड़ाने के उद्देश्य से बनाया गया उपहासात्मक तथा सांकेतिक चित्र -- ब्यंग चित्र
व्यंजना (स्त्री.) व्यंग्यार्थ-बोधक, शब्द की तीन प्रकार की शक्तियों में से एक -- ब्यंजना
व्यंजना (स्त्री.) व्यंग्यार्थ -- ब्यंगार्थ
व्यक्त (वि.) प्रकट, प्रत्यक्ष -- ब्यक्त, प्रकट
व्यक्ति (पुं.) मनुष्य, आदमी -- ब्यक्ति, पुरुष, मानुह
व्यक्तिगत (वि.) व्यक्ति विशेष से संबंधित -- ब्यक्तिगत, निजस्व
व्यथा (स्त्री.) उग्र शारीरिक या मानसिक पीड़ा -- ब्यथा, पीड़ा, कष्ट, दुख
व्यय (पुं.) खर्च -- ब्यय, खरच
व्यय (पुं.) उपभोग आदि में आने के कारण किसी चीज का होने वाला क्षय, नाश या लोप -- क्षय, खरच
व्यवसाय (पुं.) जीविका-निर्वाह का साधन, पेशा, व्यापार -- बृत्ति, ब्यवसाय, जीबिका
व्यवस्था (स्त्री.) प्रबंध, इंतजाम -- ब्यवस्था, योगार, बंदोबस्त
व्यवस्था (स्त्री.) ठीक अवस्था, अच्छी हालत -- बंदोबस्त, अवस्था, भाल अवस्था
व्यष्टि (स्त्री.) समष्टि का एक स्वतंत्र अंग, व्यक्ति -- ब्यक्ति, समष्टि
व्यस्त (वि.) कार्य आदि में लगा हुआ अथवा उलझा हुआ -- ब्यस्त, लागि-थका
व्याकुल (वि.) बेचैन, व्यग्र, विकल -- ब्याकुल, आकुल
व्याकुल (वि.) उत्कंठित, उत्सुक -- उत्कण्ठित, ब्यग्र
व्याख्या (स्त्री.) सविस्तार वर्णन, विवेचन -- बिवरण,बिवरणी
व्याख्या (स्त्री.) अर्थ का स्पष्टीकरण, टीका -- टीका, ब्याख्या
व्याघ्र (पुं.) बाघ, शेर -- बाघ
व्याधि (स्त्री.) शारीरिक कष्ट, बीमारी -- ब्याधि, बेमार, रोग
व्यापक (वि.) चारों ओर फैला हुआ, विस्तृत -- बिस्तृत, ब्यापक
व्यापक (वि.) वृहद् -- बृहत, प्रकाण्ड
व्यापार (पुं.) रोजगार, तिजारत -- बेपार, जीविका, कारबार, ब्यवसाय
व्यायाम (पुं.) कसरत -- कछरत, ब्यायाम
व्युत्पत्ति (स्त्री.) मूल, उद्गम या उत्पत्ति का स्थान -- ब्युपत्ति, उत्स, उह
व्योम (पुं.) आकाश, अंतरिक्ष, आसमान -- ब्योम, आकाश, आकाश, महाकाश
शंका (स्त्री.) संशय, संदेह, शक -- आशंका, संदेह
शंका (स्त्री.) भय, अंदेशा, खटका -- संशय, भय, शंका, त्रास
शंख (पुं.) समुद्र में पैदा होने वाले एक जंतु का कड़ा और सफेद खोल -- शंख
शंख (पुं.) दस खरब अथवा एक लाख करोड़ की संख्या -- शंख
शकुन (पुं.) विशिष्ट पशु, पक्षी, व्यक्ति, वस्तु, व्यापार आदि के देखने-सुनने, होने आदि से मिलने वाली शुभ-अशुभ की पूर्व-सूचना -- शुभाशुभ-लक्षण बा आग-जाननी
शक्कर (स्त्री.) चीनी -- चेनि
शक्कर (स्त्री.) कच्ची चीनी, खाँड -- केचा, चेनि, खाण्ड
शक्ति (स्त्री.) पराक्रम, बल, सामर्थ्य -- शक्ति, बल, पराक्रम, सामर्थ
शक्ति (स्त्री.) दुर्गा -- दुर्गा, शक्ति
शक्तिशाली (वि.) बलवान, शक्ति संपन्न -- शक्तिशाली, बली, बलबान
शताब्दी (स्त्री.) सौ वर्षों की अवधि, शती, सदी -- शताब्दी, शतिका
शत्रु (पुं.) वैरी, दुश्मन -- शत्रु, बैरी
शपथ (स्त्री.) सौगंध, कसम -- शपथ, प्रतिज्ञा
शब्दकोश (पुं.) वह ग्रंथ, जिसमें शब्दों के सम्यक् वर्ण-विन्यास, अर्थ-प्रयोग, पर्याय आदि हों -- शब्दकोष, अभिधान
शमन (पुं.) बढ़े हुए उपद्रव, कष्ट, दोष को दबाने की क्रिया, दमन -- शमन-दमन, शेष करा
शमन (पुं.) शांति -- शांति, उपशम
शरण (स्त्री.) पनाह, आश्रय, -- शरण, आश्रय
शरणार्थी (पुं.) शरण चाहने वाला, असहाय -- आश्रय प्रार्थी, शरणार्थी
शरणार्थी (पुं.) किसी अन्य देश से भागकर शरण लेने के लिए आया हुआ, विस्थापित -- शरणार्थी
शरमाना (अ.क्रि.) झेंपना -- लाज कर, लाज-पा
शरमाना (अ.क्रि.) लज्जित होना -- लाज-पा
शराब (स्त्री.) मद्य, मदिरा -- मद, फटिका
शरीर (पुं.) देह, तन -- शरीर, देह, गा
शल्य-क्रिया (स्त्री.) शारीरिक विकार को दूर करने के लिए की जाने वाली चीर-फाड़ -- अस्त्रोपचार, शल्य क्रिया
शव-परीक्षा (स्त्री.) मृत व्यक्ति के शव की मृत्यु के कारणों की जाँच के लिए की जाने वाली परीक्षा या जाँच (पोस्टमार्टम) -- मरणोत्तर परीक्षा
शस्त्र (पुं.) हाथ में रखकर प्रयोग किया जाने वाला हथियार -- शस्त्र, अस्त्र
शहद (पुं.) मधु -- मौ, मधु
शहीद (वि.) अपने धर्म, कर्तव्य-परायणता अथवा देश की स्वतंत्रता के लिए अपने प्राण देने वाला (मार्टेअर) -- शहीद
शांत (वि.) आवेग, चंचलता, वासना अथवा विकास से रहित -- शांत, धीर, स्थिर
शांत (वि.) नि:शब्द, नीरव, चुप, मौन -- नीरब, मौन
शांति (स्त्री.) नीरवता, सन्नाटा, स्तब्धता -- नीरवता, निस्तब्धता
शांति (स्त्री.) उत्पात, उपद्रव, कलह आदि से रहित अवस्था, अमन -- शांति
शांति (स्त्री.) आराम, चैन -- आराम, शांन्ति
शाकाहारी (पुं/वि.) मांस न खाने वाला, निरामिष भोजी -- निरामि-षाहारी, शाकाहारी
शानदार (वि.) भड़कीला, तड़क-भड़क वाला -- जकमक, रंचङीया
शानदार (वि.) ऐश्वर्यपूर्ण, उच्च कोटि का -- ऐश्वर्यशाली, अत्युत्तम् सर्बोत्तम
शाप (पुं.) अनिष्ट कामना के उद्देश्य से कहा गया कथन, बद्दुआ -- शाप, शाओ
शायद (अव्य.) कदाचित, संभवत: -- संभव, संभवत: कदाच
शायिका (स्त्री.) शयनिका (स्लीपर) -- शोवार आसन, बिचाना
शालीन (वि.) लज्जाशील, शिष्ट -- इकाइथिब, चङ्खोन्बा
शाश्वत (वि.) सतत्, स्थायी, नित्य, सनातन -- शाश्वत, नित्य, स्थायी
शासक (पुं.) शासन करने वाला व्यक्ति, शासन-कर्ता -- शासक, शासनकर्त्ता
शासन (पुं.) सरकार, हुकूमत -- चरकार, प्रशासन
शासन (पुं.) सरकार या किसी अन्य द्वारा नियंत्रण, संचालन, व्यवस्था आदि -- शासन, शासन कार्य
शास्त्र (पुं.) धर्म ग्रंथ -- शास्त्र, धर्म ग्रंथ
शास्त्र (पुं.) किसी कला, विद्या या विशिष्ट विषय का सांगोपांग ग्रंथ, विज्ञान -- बिद्या, तत्व, बिज्ञान
शिकायत (स्त्री.) किसी के दोष या अनुचित काम का किसी के समक्ष किया गया कथन -- परनिंदा, टोटक, दोषारोप
शिकायत (स्त्री.) किसी के अनुचित काम के प्रति होने वाला असंतोष -- दुख, बेजार, अप्रसन्नता
शिकायत (स्त्री.) हल्का शारीरिक कष्ट या रोग -- नरिया रोग, बेमार
शिकार (पुं.) आखेट, मृगया -- चिकार, मृगया
शिकार (पुं.) आखेट में मारा या पकड़ा गया पशु-पक्षी -- चिकारत-मरा जीव-जंतु
शिक्षा (स्त्री.) किसी प्रकार के ज्ञान के सीखने-सिखाने का क्रम, पढ़ाई या उक्त प्रकार से प्राप्त ज्ञान या विद्या -- शिक्षा
शिक्षा (स्त्री.) उपदेश, सबक, नसीहत -- उपदेश
शिखर (पुं.) किसी चीज का सबसे ऊपरी भाग, सिरा, चोटी, कलश, कंगूरा (मंदिर, मकान के संदर्भ में) -- शिखर, चूड़ा
शिखर (पुं.) पर्वत की चोटी -- श्रृंग, टिं
शिथिल (वि.) जो कसकर बँधा न हो, ढीला -- शिथिल, ढिला
शिथिल (वि.) आलसी, सुस्त -- एलेहुवा
शिथिल (वि.) जिसे कुछ छूट दी गई हो, जिसका पालन दृढ़तापूर्वक न हो -- ढिला, शिथिल
शिरकत (स्त्री.) शरीक होने की अवस्था, क्रिया या भाव, शामिल होना -- मिलन, संयोग
शिरकत (स्त्री.) साझेदारी -- अंशीदारि
शिरोमणि (पुं.) सिर या मस्तक पर धारण करने का रत्न, चूड़ामणि -- शिरोमणि, शिरर-भूषण
शिरोमणि (पुं.) श्रेष्ठ पुरुष -- श्रेष्ठ पुरुष
शिरोमणि (वि.) सर्वश्रेष्ठ -- सर्बश्रेष्ठ
शिलान्यास (पुं.) नए भवन की नींव के रूप में पत्थर रखना -- भेँटि-स्थापन, शिलान्यास
शिलान्यास (पुं.) नींव रखने का कृत्य या समारोह -- आधारशिला, स्थापनर उत्सव
शिलालेख (पुं.) पत्थर पर खुदा हुआ लेख -- शिलालिपि, लिपिथका-शिल
शिलालेख (पुं.) लेख आदि से गुदा हुआ पत्थर -- लिपिथका-शिल
शिल्प (पुं.) हस्तकला, दस्तकारी -- हस्तकला, हस्तशिल्प
शिल्प (पुं.) रचना विधान, निर्माण -- निर्माणर कौशल
शिल्प (पुं.) स्थापत्य, वास्तुकला -- स्थापत्य, स्थापित बिद्या
शिल्पकार (पुं.) शिल्पी, कारीगर -- शिल्पी, कारिकर, कारिगर
शिल्पी (पुं.) शिल्प संबंधी काम करने वाला, शिल्पकार -- शिल्पी, शिल्पकार
शिविर (पुं.) पड़ाव, छावनी -- शिबिर, बाहर, छाउनी
शिविर (पुं.) खेमा, तंबू -- तंबु
शिशु (पुं.) बहुत ही छोटा बच्चा -- शिशु, केचुवा
शिष्ट (वि.) सभ्य, सज्जन -- शिष्ट, साधु, सभ्य, भद्र, सज्जन
शिष्टता (स्त्री.) शिष्ट होने की अवस्था, गुण या भाव, सौजन्य -- शिष्टता सौजन्य, भद्रता
शिष्टाचार (पुं.) शिष्टतापूर्ण आचरण और व्यवहार -- शिष्टाचार
शिष्टाचार (पुं.) औपचारिक आचरण -- सभ्य-आचरण
शिष्य (पुं.) छात्र, विद्यार्थी -- छात्र, बिद्यार्थी
शिष्य (पुं.) अनुयायी, चेला -- अनुगामी, चेला, अनुगत
शीघ्र (कि. वि) जल्द, अविलंब, तुरंत, फौरन -- शीघ्रे, तुरंत, सत्वर
शीघ्रता (स्त्री.) जल्दी -- शीघ्रता, क्षिप्रता
शीघ्रता (स्त्री.) तेजी, फुर्ती -- बेग, खरधर
शीतल (वि.) ठंडा, सर्द -- चँचा, शीतल
शीतल (वि.) आवेशरहित, शांत, सौम्य -- शांत, घीर
शीर्ष (पुं.) किसी चीज का सबसे ऊपरी तथा उन्नत सिरा -- शीर्ष
शीर्ष (पुं.) सिर -- शिर, मूर
शीर्ष (पुं.) ज्यामिति में वह बिंदु, जिस पर दो ओर से दो तिरछी रेखाएँ आकर मिलती हों -- शीर्ष, बिंदु
शीर्षक (पुं.) किसी लेख अथवा ग्रंथ आदि के ऊपर दिया जाने वाला नाम, जिससे उनके विषय का कुछ परिचय मिलता है (टाइटल) -- शिरोनामा, शितान, शीर्षक
शीशा (पुं.) दर्पण, आईना -- आइना, आर्ची
शुद्ध (वि.) पवित्र, निर्मल -- पबित्र निर्मल, विशुद्ध
शुद्ध (वि.) मिलावट रहित, असली -- आचल, निभाँज, खाँटि
शुद्ध (वि.) अशुद्धि, गलती या भूल से रहित, ठीक, सही -- शुद्ध
शुभ-चिंतक (वि.) किसी की भलाई की सोचने वाला, शुभेच्छु -- शुभाकांक्षी, शुभेच्छु
शुभागमन (पुं.) मंगलप्रद या सुखद आगमन -- शुभागमन
शुरु (पुं.) आरंभ, प्रारंभ -- आरंभ, शुरु
शुल्क (पुं.) वह धन, जो वस्तुओं की उत्पत्ति, उपभोग, आयात, निर्यात आदि करने पर कानूनन कर के रूप में देय हो -- शल्क, कर
शुल्क (पुं.) विशिष्ट सुविधा प्रदान करने पर किसी संस्था को दिया जाने वाला धन, फीस -- शुल्क, माचुल
शुल्क (पुं.) चंदा -- चांदा
शुष्क (वि.) सूखा -- शुकान, नीरस
शुष्क (वि.) सहृदयता एवं कोमलता रहित -- कर्कश, रुक्ष, निर्दय
शून्य (वि.पुं.) रिक्त, खाली -- शून्य, रिक्त
शून्य (वि.पुं.) गणित में अभाव सूचक चिहन -- शून्य
शूर (वि.पुं.) बहादुर, वीर, सूरमा -- बीर, पराक्रमी, साहसी
श्रृंखला (स्त्री.) क्रम, तारतम्य, माला, पंक्ति, कतार -- भृंखला, क्रम
श्रृंखला (स्त्री.) जंजीर, सिकड़ी -- शिकलि, श्रृंखला
श्रृंगार (पुं.) सौंदर्य वृद्धि के लिए प्रसाधनों द्वारा बनाव-सजाव -- प्रसाधन, साजन-काचन
श्रृंगार (पुं.) साहित्य में एक रस, रसराज -- श्रृंगार-रस
शेष (वि.) बचा हुआ, बाकी -- अवशेष, बाकी
शैली (स्त्री.) ढंग, तरीका, पद्धति -- प्रणाली, रीति, ढंग, पद्धति, शैली
शैली (स्त्री.) (साहित्य, कला) रचना अथवा अभिव्यक्ति का विशिष्ट ढंग -- (रचना) शैली, रीति
शैशव (पुं.) शिशु होने की अवस्था, गुण या भाव, बचपन -- शैशब, बाल्यकाल
शोक (पुं.) इष्ट वस्तु या आत्मीयजन की मृत्यु के कारण होने वाली मानसिक व्यथा, घोर दुख -- शोक, दुख
शोध (पुं.) छिपी हुई तथा रहस्यपूर्ण बातों की खोज करना, अन्वेषण -- बिचार, अन्वेषण
शोध (पुं.) जाँच, परीक्षण -- परीक्षण, निरीक्षण
शोभा (स्त्री.) कांति, चमक -- शोभा, कांति
शोषण (पुं.) परोक्ष उपायों से किसी की कमाई या धन धीरे-धीरे अपने हाथ में करना, दुखी करना (एक्सप्लायटेशन) -- शोषण
श्रद्धांजलि (स्त्री.) किसी पूज्य या बड़े व्यक्ति के संबंध में श्रद्धा और आदरपूर्वक कही जाने वाली बातें -- श्रद्धांजलि
श्रद्धा (स्त्री.) पूज्य और बड़े लोगों के प्रति आदरपूर्ण भावना, आस्था -- श्रद्धा, भक्ति
श्रम (पुं.) मेहनत, परिश्रम -- श्रम, परिश्रम
श्रम (पुं.) जीविका-निर्वाह या धन-उपार्जन के लिए किया जाने वाला कार्य -- खाटनि, श्रम
श्रमदान (पुं.) किसी सामूहिक हित के लिए स्वेच्छा से नि:शुल्क श्रम करना -- श्रमदान, खटा-कार्य
श्रमिक (पुं.) शारीरिक श्रम द्वारा जीविका चलाने वाला, मजदूर -- श्रमिक, कामीला, बनुवा
श्राद्ध (पुं.) सनातनी हिंदुओं में पितरों या मृत व्यक्तियों को प्रसन्न कराने के उद्देश्य से किया जाने वाला पिंडदान, ब्राहमण-भोज आदि -- श्राद्ध, शराध, हराध
श्राद्ध (पुं.) आश्विन मास का कृष्ण पक्ष, जिसमें विशिष्ट रूप से उक्त प्रकार के कृत्य करने का विधान है, पितृपक्ष -- सराध, पितृपक्ष
श्रीमान (श्रीमती) (पुं.) श्री’, पुरुषों के नाम के पूर्व प्रयुक्त एक आदर-सूचक विशेषण (स्त्री के नाम के पूर्व श्रीमती) -- श्रीमान्, श्रीमती
श्रुतलेख (पुं.) वह लेख, जो किसी के द्वारा बोले हुए वाक्यों को सुनकर लिखा जाए -- श्रुतिलिपि
श्रेणी (स्त्री.) कतार, पंक्ति -- शारी, लानि
श्रेणी (स्त्री.) कार्य, योग्यता, आदि के विचार से पदार्थों, व्यक्तियों आदि का वर्ग, विभाग या दर्जा -- श्रेणी, बर्ग
श्रेय (पुं.) अच्छाई, उत्तमता -- श्रेय, भाल
श्रेय (पुं.) मंगल, कल्याण -- कल्याण, मंगल
श्रेय (पुं.) यश -- यश, कीर्त्ति
श्रेष्ठ (वि.) गुण, मान आदि के विचार से बढ़कर, उत्तम, उत्कृष्ट -- श्रेष्ठ, उत्कृष्ट
श्रोता (पुं.) सुननेवाला (लिसनर) -- श्रोता, शुनोता
श्रोता (पुं.) किसी सभा, नाटक-प्रदर्शन आदि के दर्शक, सुनने वाले या पाठक (बहुवचन में ऑडेयंस) -- श्रोता, उपस्थित राइज
श्लाघनीय (वि.) प्रशंसनीय -- श्लाघनीय, प्रशंसनीय
श्लाघा (स्त्री.) प्रशंसा -- तोषामोद
श्लाघा (स्त्री.) चापलूसी -- तोषामोद
श्वास (पुं.) प्राणियों का नाक से वायु खींचकर अंदर फेफड़ों या हृदय तक पहुँचाना और फिर बाहर निकालना, साँस -- श्वास, उशाह-निशाह
श्वास (पुं.) दमा नामक रोग -- हापानि, श्वास रोग
श्वेत (वि.) धवल, उजला, सफेद, गोरा -- बगा, स्वेत
श्वेत (वि.) निर्मल, स्वच्छ, साफ -- निर्मल, परिष्कार
षड्यंत्र (पुं.) साजिश, कुचक्र -- षडयंत्र, चक्रांत
संकट (पुं.) विपत्ति, मुसीबत, आफत -- संकट, बिपद, बिपत्ति
संकलन (पुं.) एकत्र करने की क्रिया, संग्रह करना -- संकलन, संग्रह
संकलन (पुं.) ऐसी साहित्यिक कृति, जिसमें अनेक ग्रंथों या स्थानों से बहुत-सी रचनाएँ इकट्ठी करके रखी गई हों -- संकलन
संकल्प (पुं.) दृढ़ निश्चय, इरादा -- संकल्प, दृढ़ निश्चय
संकल्प (पुं.) सभा-समिति में किसी विषय में विचारपूर्वक किया हुआ पक्का निश्चय (रिजोल्यूशन) -- प्रस्ताव, सिद्धांत
संकीर्ण (वि.) तंग, संकुचित, अनुदार -- संकीर्ण, ठेक
संकेत (पुं.) अभिप्राय सूचक अंगचेष्टा, इशारा -- इंगित, संकेत
संकेत (पुं.) चिहन, निशान -- चिन, चिहन
संकोच (पुं.) सिकुड़ने की क्रिया या भाव -- संकोच, कोँच द्विधा
संकोच (पुं.) झिझक, हिचक -- द्विधा, संकोच
संक्राति (स्त्री.) सूर्य का एक राशि से दूसरी राशि में जाना -- सूर्यर राश्यांतर गमन
संक्राति (स्त्री.) वह दिन, जिसमें सूर्य का उक्त प्रकार का संचार होता है -- संक्राति, तिथि
संक्रामक (वि.) एक से दूसरे में संक्रमण करने वाला, छूत आदि से फैलने वाला (रोग) (कान्टेजियस) -- संक्रामक, सोँचरा
संक्षिप्त (वि.) छोटा किया हुआ लेख, पुस्तक आदि का रूप, सार, संक्षेप -- संक्षिप्त, सार संक्षेप
संक्षेप (पुं.) लेख आदि का काट- छाँटकर छोट किया हुआ रूप, सार -- संक्षेप, सार
संख्या (स्त्री.) गिनती, तादाद, गणना सार -- गणना, गंति
संगठन (पुं.) कार्य विशेष की सिद्धि के लिए निर्मित कोई संस्था -- संगठन, संघ, संस्था
संगति (स्त्री.) मेल-मिलाप, संग, साथ, सोहबत -- संग, मिलन, संपर्क
संगति (स्त्री.) सामंजस्य, उपयुक्तता -- संगति, मिल, सामंजस्य
संगीत (पुं.) ध्वनियों या स्वरों का कुछ विशिष्ट लय में होने वाला प्रस्फुटन (म्यूजिक) -- संगीत
संगोष्ठी (स्त्री.) किसी निर्धारित विषय पर आमंत्रित विद्वानों की चर्चा तथा उनका निबंध-पाठ -- संगोष्ठी/आलोचना-चक्र
संग्रहालय (पुं.) वह स्थान, जहाँ विशेष महत्व की वस्तुओं का संग्रह किया गया हो (म्यूजियम) -- संग्रहालय, जादुघर
संग्राम (पुं.) युद्ध, लड़ाई, समर -- संग्राम, युद्ध
संघटन (पुं.) कार्य विशेष की सिद्धि के लिए निर्मित कोई संस्था -- संघ, संस्था
संघटन (पुं.) किसी चीज के विभिन्न अवयवों को जोड़कर उसे प्रतिष्ठित करना, रचना -- रचना, गठन
संघर्ष (पुं.) स्पर्धा, होड़ -- प्रतिद्वंद्विता, स्पर्धा
संघर्ष (पुं.) कठिनाइयों या प्रबल विरोधी शक्तियों को दबाने के लिए प्राणपण से की जाने वाली चेष्टा -- प्राणपणे करा चेष्टा
संचय (पुं.) चीजें इकट्ठी करने की क्रिया या भाव -- एके ठाइते गोठोबा, साँचन, संचय
संचय (पुं.) इकट्ठी की हुई चीजों का ढेर या राशि -- थूप दम
संचार (पुं.) गमन, चलना, चलाना -- गमन, चलन
संचार (पुं.) संदेश, समाचार तथा सामान आदि भेजने की क्रिया, प्रकार और साधन -- योगायोग
संचालक (वि.) चलाने या गति देने वाला (कंडक्टर) -- परिचालक, संचालक
संचालक (पुं.) वह प्रधान अधिकारी, जो किसी कार्य, विभाग, संस्था आदि को चलाने की सारी व्यवस्था करता हो, निदेशक -- संचालक
संतति (स्त्री.) संतान, बाल-बच्चे, औलाद -- संतान, संतति
संताप (पुं.) अग्नि, धूप आदि का बहुत तीव्र ताप -- ताप, उत्ताप
संताप (पुं.) बहुत तीव्र मानसिक क्लेश या पीड़ा -- संताप
संतुलन (पुं.) वह स्थिति, जिसमें सभी अंग बराबर के हों -- संतुलन, समता, भारसाम्य
संतुलन (पुं.) तोलते समय दोनों पलड़ों का बराबर होना -- संतुलन, समानजोख
संतुष्ट (वि.) जिसको संतोष हो गया हो, तृप्त -- तुष्ट, संतुष्ट
संतुष्ट (वि.) जो समझाने-बुझाने से राजी हो गया हो -- तुष्ट, जित-योवा, तृप्ति
संतुष्टि (स्त्री.) संतुष्ट होने की क्रिया या भाव, तृप्ति -- संतुष्टि, तृप्ति
संतुष्टि (स्त्री.) संतोष -- संतोष
संतोष (पुं) वह मानसिक अवस्था, जिसमें व्यक्ति प्राप्त होने वाली वस्तु को यथेष्ट समझता है और उससे अधिक की कामना नहीं करता -- संतोष
संतोष (पुं) सब्र, धीरज, इतमीनान -- संतोष
संतोषजनक (वि.) संतोष देने वाला, संतोषप्रद -- संतोष-जनक
संतोषजनक (वि.) पर्याप्त, यथेष्ट, काफी -- यथेष्ट
संदर्भ (पुं.) पुस्तक, लेख आदि में वर्णित प्रसंग, विषय आदि, जिसका विचार या उल्लेख हो, प्रसंग -- संदर्भ, प्रसंग
संदेश (पुं.) समाचार, पैगाम, खबर -- बातरि, समाचार, खबर, बार्ता
संन्यास (पुं.) पूरी तरह से छोड़ना, परित्याग करना -- संपूर्ण वैराग्य
संन्यास (पुं.) चतुर्थ आश्रम, (हिंदुओं का) जिसमें सब प्रकार के सांसारिक संबंध छोड़कर मनुष्य त्यागी और विरक्त हो जाता है -- संन्यास
संन्यासी (पुं.) जिसने संन्यास आश्रम ग्रहण किया हो -- संन्यासी, संसार त्यागी
संन्यासी (पुं.) त्यागी और विरक्त -- बैरागी
संपन्न (वि.) पूरा किया हुआ, पूर्ण, मुकम्मल -- संपूर्ण
संपन्न (वि.) किसी गुण या वस्तु से युक्त -- संपन्ऍन, परिपूर्ण
संपन्न (वि.) खुशहाल, धनी, अमीर -- अवस्थापन्न, धनी
संपर्क (पुं.) मेल, संयोग -- मिल, संयोग
संपर्क (पुं.) आपस में होने वाला किसी प्रकार का लगाव, वास्ता या संसर्ग -- संपर्क, संसर्ग
संपर्क (पुं.) स्पर्श -- स्पर्श, संयोग
संपर्क भाषा (स्त्री.) वह भाषा, जिससे विभिन्न देशों अथवा प्रदेशों के लोग आपस में सूचना, विचारों आदि का आदान-प्रदान करते हैं -- संपर्क भाषा
संपादक (पुं.) वह, जो किसी पुस्तक, सामयिक पत्र आदि के सब लेख या विषय अच्छी तरह ठीक करके उन्हें प्रकाशन के योग्य बनाता है (एडिटर) -- संपादक
संपादकीय (वि.) संपादक संबंधी या संपादक का -- संपादकीय
संपादकीय (पुं.) संपादक द्वारा लिखी हुई टिप्पणी या अग्रलेख -- संपादकीय
संपादन (पुं.) पूरा करना, प्रस्तुत करना -- संपादन, संपन्न
संपादन (पुं.) किसी पुस्तक का विषय आदि ठीक करके उन्हें प्रकाशन के योग्य बनाना (एडिटिंग) -- संपादन, संशोधन
संपूर्ण (वि.) आदि से अंत तक सब, सारा, कुल, समूचा -- संपूर्ण, सकलो
संपूर्ण (वि.) पूरा या समाप्त किया हुआ -- समाप्त, संपूर्ण
संप्रदाय (पुं.) एक ही तरह का मत या सिद्धांत रखने वाले लोगों का समूह या वर्ग -- संप्रदाय, गोष्ठी
संप्रदाय (पुं.) परंपरा से चला आया ज्ञान या सिद्धांत, प्रथा, परिपाटी या रीति -- परंपरागत रीति बा आचार
संप्रदाय (पुं.) कोई विशिष्ट धार्मिक मत या सिद्धांत, धर्म -- धर्म मान्नबा काङ्लुप्
संबंध (पुं.) रिश्ता, नाता -- संबंध, संपर्क
संबंध (पुं.) आपस में होने वाली घनिष्ठता या मेल-जोल -- घनिष्ठता, मिला प्रीति
संभव (वि.) जो किया जा सकता हो, या हो सकता हो, मुमकिन -- संभव, संभाव्य
संभालना (सम्हालना) (स.क्रि) पालन करना, सहारा देना -- चंभाल, प्रतिपाल-कर
संभालना (सम्हालना) (स.क्रि) प्रबंध करना, भार उठाना -- परिचालना कर
संभालना (सम्हालना) (स.क्रि) गिरते हुए के बीच में रोकना -- धरि राख, आश्रय दि
संयुक्त (वि.) किसी के साथ जुड़ा, मिला, लगा या सटा हुआ -- संयुक्त, युक्त, जड़ित
संयुक्त (वि.) जिसके दो या अधिक संयुक्त भागीदार हों, साझा -- अंशीदार युक्त
संरक्षक (वि.) देखभाल, निरीक्षण करने वाला, आश्रयदाता, अभिभावक -- संरक्षक, रक्षक, अभिभावक
संरक्षक (पुं.) संस्थाओं आदि में वह बड़ा और मान्य व्यक्ति जो उसके प्रधान पोषकों और समर्थकों में माना जाता है -- पृष्ठपोषक
संरक्षक (पुं.) वह, जिसके निरीक्षण या देख-रेख में किसी वर्ग के कुछ लोग रहते हों -- अभिभावक, संरक्षण-करोता
संरक्षण (पुं.) अच्छी और पूरी तरह से रक्षा करने की क्रिया या भाव, पूरी देख-रेख और हिफांजत (कस्टडी) -- संरक्षण, रखोवा
संरक्षण (पुं.) अपने आश्रय में रखकर पालना-पोसना, आश्रय -- भरण पोषण, प्रतिपालन
संरचना (स्त्री.) कोई वस्तु ऐसी बनाने की क्रिया या भाव जिसमें अनेक प्रकार के अंगो-उपांगों को प्रयोग करना पड़ता है। -- रचना, संरचना
संरचना (स्त्री.) उक्त प्रकार से बनी हुई कोई चीज (स्ट्रक्चर) -- बनोट, गठन, निर्माण
संवाद (पुं.) बातचीत, वार्तालाप -- कथा-बार्त्ता, बार्त्तालाप
संवाद (पुं.) खबर, समाचार -- संबाद, खबर, बातरि
संवाददाता (पुं.) संवाद या समाचार भेजने वाला -- संबाददाता, खबर दिओँता, बातरिदिओंता
संवाददाता (पुं.) आजकल वह व्यक्ति, जो समाचारपत्रों में छपने के लिए स्थानिक घटनाओं का विवरण लिखकर भेजता हो (रिपोर्टर) -- संबाददाता
सँवारना (स.क्रि) सुसज्जित करना, सजाना -- सजा, सुसज्जित कर
सँवारना (स.क्रि) सुधारना, मरम्मत करना -- शुधरा, मेरामति कर
संवाहक (पुं.) एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाने वाला, सुचालक, वहनक (करियर) -- बारक, कढ़िया-ओँता
संविधान (पुं.) राजनीति और शासनतंत्र में कानून के रूप में बने वे मौलिक नियम और सिद्धांत जिनके अनुसार किसी राष्ट्र, राज्य या संस्था का संघटन और संचालन होता है (कान्स्टियूशन) -- संबिधान, शासन-बिधि
संवेग (पुं.) मन में होने वाली खलबली, उद्विग्नता, घबराहट, डर -- उद्विग्नता, भय
संवेदना (स्त्री.) मन में होने वाला बोध या अनुभूति, अनुभव -- संबेदना, अनुभूति
संवेदना (स्त्री.) दुख या सहानुभूति प्रकट करने की क्रिया या भाव (कंडोलेंस) -- समबेदना, सहानुभूति
संशय (पुं.) संदेह, शक, अनिश्चय -- संशय, संदेह
संशय (पुं.) खतरे या संकट की आशंका या संभावना -- आशंका, संभावना
संशोधन (पुं.) त्रुटि, दोष आदि दूर करके ठीक और दुरुस्त करना, सुधार -- संशोधन, संस्कार, शुधरणि, संशोधणि
संशोधन (पुं.) शुद्ध करना या साफ करना -- संस्कार साधन, सुधरणि, सशोधनि
संस्करण (पुं.) पुस्तकों आदि की एक बार में एक ही तरह की होने वाली छपाई, आवृत्ति (एडीशन) -- संस्करण, ताङरण
संस्कार (पुं.) किसी वस्तु को ठीक करके उचित रूप देने की क्रिया, परिष्कार -- संस्कार, शोधन
संस्कार (पुं.) पूर्व जन्म के आचार व्यवहार, पाप-पुण्य आदि का आत्मा पर पड़ा वह प्रभाव, जो मनुष्य के परवर्ती जन्म में उसके कार्यों, प्रवृत्तियों आदि के रूप में प्रकट होता है -- पूर्बजन्मर संस्कार, जन्मगत ज्ञान
संस्कार (पुं.) हिंदुओं में जन्म से मरण तक होने वाले वे विशिष्ट धार्मिक कृत्य जो द्विजातियों के लिए विहित हैं -- संस्कार, परिशोधन, शुचिकरण, मेरामति शरीर संशोधन करा हिंदू शास्त्रोक्त दहबिध-कार्य
संस्कृति (स्त्री.) आचरणगत परंपरा, सभ्यता (कल्चर) -- कृष्टि, संस्कृति, सत्यताजनित उत्कर्ष
संस्तुति (स्त्री.) अच्छी या पूरी तरह से होने वाली तारीफ या स्तुति -- स्तुति, प्रार्थना, गुणानुकीर्तन, तोषामोद
संस्तुति (स्त्री.) अनुशंसा, सिफारिश -- अनुमोदन, छुपारिछ
संस्था (स्त्री.) किसी उद्देश्य के लिए स्थापित संगठन -- संस्था, समाज, समिति, संघ
संस्थान (पुं.) साहित्य, कला, विज्ञान आदि की उन्नति के लिए स्थापित संस्था या संघटन -- संस्था, संस्थान, जीवनधारनर उपार, योत्र, अवस्थान
संस्थापक (पुं.) स्थापित करने वाला -- संस्थापक, स्थापन-करोँता, पतोंता
संस्थापक (पुं.) नए काम या बात का प्रवर्तन करने वाला, प्रवर्तक -- प्रबर्त्तक, चलाओंता
संस्थापक (पुं.) किसी संस्था, सभा या समाज की पहले-पहल स्थापना करने वाला -- प्रतिष्ठाता, संस्थापन-कारी
संस्मरण (पुं.) किसी व्यक्ति के जीवन की महत्वपूर्ण और मुख्य घटनाओं या बातों का उल्लेख या कथन -- सोँवरण, सोँवरणि, स्मृतिलेख
संस्मरण (पुं.) इष्ट देव आदि का बार-बार स्मरण करना या उनका नाम जपना -- स्मरण, सोँवरण, सोंवरा
संहार (पुं.) ध्वंस, नाश -- संहार, नाश, ध्वंस, बधकर
संहार (पुं.) बहुत से व्यक्तियों की युद्ध आदि में एक साथ होने वाली हत्या -- संहार, सामूहिक हत्याकांड, ध्वंस
सकपकाना (अ.क्रि.) चौंकना, चकित होना -- आचरित ह
सकपकाना (अ.क्रि.) घबराना (लज्जा आदि के कारण) -- लाजत, संकोचकर
सख्त (वि.) कठोर, कड़ा -- कठोर, टान
सख्त (वि.) कठिन, मुश्किल -- कठिन, टान
सघन (वि.) घना, अविरल, ठोस -- सघने, अनबरत बारे-बारे घटा, मेघयुक्त डावरीया
सचमुच (क्रि.वि.) यथार्थत:, वास्तव में -- यथार्थते, आचलते, प्रकृत
सचमुच (क्रि.वि.) निश्चित रूप से, अवश्य -- अवश्ये, निश्चय
सच्चरित्र (वि.) जिसका चरित्र अच्छा हो, सदाचारी -- चरित्रवान, सदाचारी, सत
सच्चा (वि.) सच बोलने वाला, सत्यवादी -- सत्यवादी, सँचाकथीया
सच्चा (वि.) ईमानदार -- बिश्वासी, बिश्वस्त
सच्चा (वि.) जो नकली या बनावटी न हो, बल्कि असली और वास्तविक हो, जिसमें खोट न हो -- खाँटि, प्रकृत
सजनी (स्त्री.) सखी, सहेली -- सखि, बांधबी
सजनी (स्त्री.) प्रेमिका -- प्रेमिका, प्रिया
सजा (स्त्री.) अपराधी को दिया जाने वाला दंड -- शास्ति, चाजा, दंड
सजाना (स.क्रि) वस्तुओं को ऐसे क्रम से रखना कि वे आकर्षक और सुंदर जान पड़ें, सँवारना -- सजा, शुवनीकै-राख, आयोजन
सजाना (स.क्रि) अलंकृत करना -- साज, सजा, उत्तम-रुपरेखा
सजावट (स्त्री.) सजे हुए होने की अवस्था, क्रिया या भाव, शोभा -- शोभा, साजन-काचन
सजीव (वि.) जीवयुक्त, जिसमें प्राण हो -- सजीव, जीवंत, जीया
सजीव (वि.) तेज, फुरतीला -- सजीव, सक्रिय, चैतन्य
सज्जन (वि./पुं.) भला आदमी, सत्पुरुष, शरीफ -- सज्जन, सतलोक, भाल-मानुह
सज्जा (स्त्री.) साज-सामान -- साज-सरंजाम
सटीक (वि.) जिस में मूल के साथ टीका भी हो, व्याख्या सहित, टीका सहित -- सटीक, टीकायुक्त
सटीक (वि.) बिलकुल ठीक, उपयुक्त -- उपयुक्त, ठिक, निर्भुल, यथार्थ, सठिक
सड़क (स्त्री.) मार्ग, रास्ता, पथ -- रास्ता, पथ, बाट, आली
सड़ना (अ.क्रि.) किसी वस्तु के संयोजक तत्वों का विकृत हो जाना -- गेला, पचा, बिकृत
सतत (क्रि.वि.) निरंतर, बराबर, लगातार -- सतते, साधारणत
सतत (क्रि.वि.) सदा, हमेशा -- सदाय, साधारणत
सतर्क (वि.) सचेत, सावधान, सजग, होशियार -- सतर्क, सावधान, सजाग
सतर्कता (स्त्री.) सावधानी, होशियारी, सजगता -- सतर्कता, सावधानता
सत्कार (पुं.) आदर-सम्मान -- मान-सत्कार
सत्कार (पुं.) आवभगत, आतिथ्य, खातिर -- आतिथ्य, अतिथि-सत्कार, सम्मान, समादर
सत्ता (स्त्री.) होने का भाव, अस्तित्व, हस्ती -- अस्तित्व, उपस्थिति, विद्यमानता
सत्ता (स्त्री.) अधिकार, शक्ति, सामर्थ्य -- अधिकार, शक्ति-सामर्थ्य, सत्ता
सत्तू (पुं.) भुने हुए जौ, चने आदि का आटा या चूर्ण -- छातुगुरि
सत्यनिष्ठा (स्त्री.) सत्य पर निष्ठा, सत्य में विश्वास, सच या वास्तविक से प्रेम -- सत्यनिष्ठा, सत्य-परायणता
सत्याग्रह (पुं.) सत्य का पालन और रक्षा करने के लिए किया जाने वाला आग्रह या हठ -- सत्याग्रह, सत्यनिष्ठा, दृढ़-प्रतिज्ञा कारणे गंभीर आग्रह
सत्याग्रह (पुं.) आधुनिक राजनीति में वह अहिंसात्मक कार्रवाई, जो किसी सत्ता या अधिकारी के व्यवहार आदि के प्रति असंतोष प्रकट करने के लिए की जाती है -- सत्याग्रह, प्रोतिरोध, न्याय प्रतिष्ठार कारणे गंभीर आग्रह
सत्यापन (पुं.) जाँच या मिलान करके देखना कि ज्यों-का-त्यों और ठीक है कि नहीं -- परीक्षण, परीक्षा, सत्यबुलि-प्रतिपादन करा
सत्रावसान (पुं.) विधान मंडल या विश्वविद्यालय आदि में दीर्घकाल के लिए किया जाने वाला स्थगन -- अधिबेशन समाप्ति, समापन, सत्र-समाप्ति
सत्संग (पुं.) अच्छे आदमियों का साथ, अच्छी सोहबत, सज्जनों के साथ उठना बैठना -- सत्संग, साधु, धार्मिक-सज्जनलोकर साहचर्य
सत्संग (पुं.) वह समाज या जन-समूह, जिसमें कथावार्ता या भगवत् पाठ होता है -- सत्संग, भक्तर-संग सतलोकर साहचर्य
सदन (पुं.) घर, मकान -- सदन, घर बासगृह
सदन (पुं.) वह स्थान, जहाँ किसी देश या राज्य के विधान बनने के कार्य होते हों -- सभा, सदन, संसद, विधान-सभा अनुष्ठित होवा घर
सदस्य (पुं.) उन व्यक्तियों में से हर एक, जिनके योग से कुटुंब, परिवार, समाज आदि बनते हैं -- सदस्य, कोनोप्रतिष्ठानर अंन्तमुक्ति होवा
सदस्य (पुं.) वह व्यक्ति, जिसका संबंध किसी समुदाय से हो और जिसका वह नियमित रूप से चंदा आदि देता हो या उसके कार्यों में सम्मिलित होता हो -- सभ्य, सदस्य, भद्र, विशिष्ट व्यक्ति
सदा (क्रि.वि.) नित्य, हमेशा, हर समय -- सदाय, नितौ, प्रतिदिने, सदा-सर्वदा
सदा (क्रि.वि.) निरंतर, लगातार -- अनबरत्, निरंतर
सदाचार (पुं.) अच्छा और शुभ आचरण, अच्छा चालचलन -- सदाचार, सज-आचरण
सदुपयोग (पुं.) अच्छा और उत्तम उपयोग -- सद्ब्यवहार
सद्भाव (पुं.) शुभ भाव, हित का भाव, छल कपट, द्वेष आदि से रहित भाव -- सदभाव
सद्भाव (पुं.) दो व्यक्तियों या पक्षों में होने वाली मैत्रीपूर्ण स्थिति -- प्रीति, मैत्री, मिल, बंधुत्व, आंतरिकता
सद्व्यवहार (पुं.) अच्छा बरताव, अच्छा सलूक या व्यवहार -- सद्ब्यवहार, बंधुत्व, सज-व्यवहार
सद्व्यवहार (पुं.) सद्वृत्ति, सदाचार -- सदाचार, सदबृत्ति, आत्मीयता
सन्नाटा (पुं.) निस्तब्धता, नीरवता -- निस्तब्धता, नीरवता, शांति
सपना (स्वप्न) (पुं.) वह घटना या दृश्य, जो सोए होने पर अंतर्मन में काल्पनिक रूप में भासित होता है -- सपोन, स्वप्न
सपरिवार (वि.) परिवार के सदस्यों के साथ -- सपरिबार, सपरियाल
सप्तक (पुं.) सात वस्तुओं का समूह -- सप्तक, सातर-समष्टि, सतोटार-समष्टि
सत्पक (पुं.) संगीत के सात स्वरों का समाहार -- सुर-सप्तक-सप्त-स्वर
सफर (पुं.) यात्रा -- यात्रा, भ्रमण, पर्यटन
सफल (वि.) जिसका अच्छा परिणाम हो -- सफल, कृतकार्य, वाञ्छत फल पोवा
सफलता (स्त्री.) सफल होने का भाव, कामयाबी, सिद्धि -- सफलता, साफल्य, कृतकार्यता
सबल (वि.) बलवान, ताकतवर, बलशाली -- सबल, बलशाली, बलवान
सभा (स्त्री.) बैठक, परिषद् -- सभा, समिति, संगठन, संघ
सभापति (पुं.) सभा का अध्यक्ष -- सभापति, सभार-परिचालक, अध्यक्ष
सभी (वि.) सार, संपूर्ण -- सकलो, गोटेइ, आटाइ
सभ्य (वि.) जिसका आचार-व्यवहार उत्तम हो, शिष्ट, विनम्र -- सभ्य, शिष्ट, भद्र, नम्र
सभ्यता (स्त्री.) सभ्य होने की अवस्था या भाव -- सभ्यता, शिष्टता, सुरुचि-संपन्नता
सभ्यता (स्त्री.) किसी जाति या देश की बाहय तथा भौतिक उन्नतियों का सामूहिक रूप -- सभ्यता, संस्कृति, सभ्यतृ-जनित उत्कर्ष कृष्टि
समकक्ष (वि.) जोड़ या बराबरी का, सब बातों में बराबरी करने वाला -- समकक्ष, समान-शक्ति वा गुन विशिष्ट समनीया
समझना (अ.क्रि.) किसी बात को ठीक और पूर्ण रूप से मन में बैठाना -- बुज, जान, बिबेक बुद्धि
समझना (अ.क्रि.) विचारना -- बिबेचना कर, चिंतन-करा
समझौता (पुं.) राजीनामा, मेल, सुलह -- आपोच, मिटमाट
समझौता (पुं.) आपस में होने वाला करार या निश्चय, संधि -- चुक्ति, संधि
समता (स्त्री.) सादृश्य, बराबरी, संतुलन -- समता, सादृश्य
समदर्शी (वि.) सब को एक-सा देखने-समझने वाला -- समदर्शी
समन्वय (पुं.) वह अवस्था, जिसमें कथनों या बातों का पारस्परिक विरोध न रहे -- समन्वय, संगति, सामंजस्य
समय (पुं.) दिन-रात के विचार से काल का कोई मान, वक्त -- समय, काल
समय (पुं.) अवसर, मौका -- अवसर
समय-सारणी (स्त्री.) समय सूचित करने के लिए बनाई हुई सारिणी -- समय-सूची, समय-फलि
समय-सारणी (स्त्री.) वह पुस्तिका, जिसमें विभिन्न स्टेशनों से छूटने और पहुँचने के समय का उल्लेख सारिणियों में किया जाता है (टाइमटेबल) -- समय-सूचि, समय-फलि
समर (पुं.) युद्ध, संग्राम, लड़ाई -- समर, युद्ध, रण
समर्थ (वि.) जिसमें कोई काम करने की शक्ति हो, योग्य, उपयुक्त -- समर्थ, बलवान, योग्य, उपयुक्त, पारग, शक्ति-संपन्न
समष्टि (स्त्री.) अनेकों का समूह, संपूर्णता -- समष्टि, समूह, संख्यम्-मूठ
समांतर (समानांतर) (वि.) जो समान अंतर पर रहे -- समांतराल, सर्वत्र समान ब्यवधान-विशिष्ट
समाचार (पुं.) खबर, वृत्तांत, संदेश -- बातरि खबर, संबाद, बार्ता
समाचार-पत्र (पुं.) नियमित समय पर प्रकाशित होने वाला वह पत्र, जिसमें अनेक प्रदेशों, राष्ट्रों आदि से संबंधित समाचार रहते हों (न्यूजपेपर) -- बातरि-काकत, संबादपत्र
समाज (पुं.) बहुत से लोगों का समूह -- समाज, संघ सभा, नियम-श्रृंखला
समाज (पुं.) किसी विशिष्ट उद्देश्य से स्थापित की हुई सभा -- समाज, संघ
समाज (पुं.) किसी प्रदेश या भूखंड में रहने वाले लोग जिनमें सांस्कृतिक एकता होती है -- समाज
समाज-विज्ञान (पुं.) मानव समाज का विकास, प्रकृति और नियम बताने वाला वैज्ञानिक अध्ययन, समाजशास्त्र (सोशिअलॉजी) -- समाज, बिज्ञान, समाज-शास्त्र
समाजी-करण (पुं.) किसी काम, बात, व्यवहार को ऐसा रूप देना कि उस पर समाज का अधिकार हो जाए और सब लोग समान रूप से उसका लाभ उठा सकें (सोशिअलाइजेशन) -- समाजीकरण
समाधान (पुं.) आपत्ति की निवृत्ति करना, संदेह निवारण करना -- समाधान, निष्पत्ति, मीमांसा, संपादन
समाधान (पुं.) समस्या का हल -- समाधान, निराकरण, निस्पादन, संपादन
समापन (पुं.) समाप्त करने की क्रिया या भाव, समाप्ति -- समाप्ति, समापन, संपूर्ण
समाप्ति (स्त्री.) खत्म या पूरा करने की क्रिया या भाव, समापन -- समाप्ति, समापन, संपूर्ण
समायोजन (पुं.) अनुकूल बनाने की क्रिया या भाव -- मिल करा, समाधान
समायोजन (पुं.) आँकड़ों का मेल बिठाना या ठीक-ठाक करने की क्रिया या भाव -- मिलोवा काम
समारोह (पुं.) कोई ऐसा शुभ आयोजन, जिसमें चहल-पहल हो -- समारोह, जकि-जमक, धूमधाम, आडंबर
समालोचक (पुं.) समीक्षक -- समालोचक समीक्षक, गुण-दोष बिबेचक, समालोचनकारी व्यक्ति
समास (पुं.) योग, मेल -- योग, मिलन
समास (पुं.) दो या अधिक पदों के मेल से बनने वाला नया पद -- समष्ट-पद, एकधिक पदर लोप-करिएटा पदकरा कार्य
समाहार (पुं.) बहुत-सी चीजों को एक जगह हकट्ठा करना, संग्रह -- समाहार, संग्रह, समूह
समाहार (पुं.) ढेर, राशि -- दम, राशि, समूह
समिति (स्त्री.) किसी विशिष्ट कार्य के लिए नियुक्त व्यक्तियों का समूह -- समिति, सभा, संघ, परिषद
समिति (स्त्री.) किसी विशेष कार्य के लिए गठित कुछ व्यक्तियों की सभा -- समिति, सभा, संघ, परिषद
समुदाय (पुं.) समाज, बिरादरी -- समाज, संप्रदाय, सकलो, समग्र
समुदाय (पुं.) समूह, राशि -- समूह, राशि, दम, समष्टि जाक गण
समुद्र (पुं.) सागर -- सागर, समुद्र, जलधि
समूह (पुं.) बहुत-सी चीजों का ढेर, राशि -- समूह, राशि, दम जाक
समूह (पुं.) झुँड, समुदाय -- दल, समाज जाक गण
समृद्ध (स्त्री.) संपन्न, धनवान -- समृद्ध, धनवान, संपन्न सम्यक् वृद्धि प्राप्त
समृद्धि (स्त्री.) बहुत अधिक संपन्नता, अमीरी, ऐश्वर्य -- समृद्धि, संपन्नता, ऐश्वर्य, संपत्ति
सम्मान (पुं.) इज्जत, आदर, प्रतिष्ठा -- सन्मान, मान, मर्यादा, श्रेष्ठत्व, स्वीकृति
सम्मेलन (पुं.) मनुष्यों का किसी विशेष उद्देश्य से अथवा किसी विषय पर विचार करने के लिए एकत्र होने वाला समाज -- सन्मिलन/सम्मिलनी, सन्मिलनी
सम्मेलन (पुं.) कोई बहुत बड़ी स्थायी संस्था -- (स्थायी) सभा, सन्मिलन, सभा समाज
सम्मोहन (पुं.) मोहित करने या लुभाने की क्रिया, मुग्ध करने की शक्ति या गुण -- सम्मोहन, माहिनी-शक्ति, मुग्ध-करण
सम्राट (पुं.) साम्राज्य का स्वामी -- महारजा, सम्राट, रजा, राष्ट्रर-अधिपति
सरकना (अ.क्रि.) जमीन से सटे हुए आगे बढ़ना, रेंगना -- चोँचर, चुँचरिया
सरकना (अ.क्रि.) धीरे-धीरे तथा थोड़ा-थोड़ा आगे बढ़ना -- लाहे-लाहे-आग बाढ़
सरकार (स्त्री.) शासन तंत्र -- चरकार, प्रशासन, सरकार
सरल (वि.) सीधा, भोला -- पोन, सहज, सरल, उजू
सरल (वि.) आसान, सहज -- सरल, सहज, उजू
सरस (वि.) रसयुक्त, रसीला -- सरस, रसाल, रसपूर्ण, आमोदजनक
सरस (वि.) रचना जो भावमयी और मोहक हो -- रसाल, आमोद-जनक
सराहना (स्त्री.) तारीफ, प्रशंसा -- प्रशंसा, गुणगान
सराहना (स्त्री.) तारीफ करना, प्रशंसा करना -- प्रशंसा कर, गुणा गा
सरोकार (पुं.) वास्ता, संबंध -- संबंध, संपर्क
सरोवर (पुं.) तालाब -- सरोवर, पुखुरी, ह्रद डाँगर पुखुरी
सर्ग (पुं.) किसी ग्रंथ विशेषत: काव्य ग्रंथ का अध्याय -- (कितापर) खण्ड बा अध्याय
सर्जन (पुं.) उत्पन्न करना या जन्म देना -- सरजन, सृजन, सृष्टि-कर साज-पार
सर्प (पुं.) साँप -- साप, सर्प
सर्वज्ञ (वि.) सब कुछ जानने वाला -- सरबजान, सकलो-विषयर जना, सर्वज्ञ
सर्वज्ञ (पुं.) ईश्वर -- ईश्वर, भगवान
सर्वत्र (क्रि. वि.) सब जगह -- सर्बत्र, सकलोते, सकलो-ठाइत
सर्वव्यापक (पुं.) जो सब स्थानों और सब पदार्थों में व्याप्त हो -- सर्बब्याप्त, सकलो ठाइत, बियपि थका
सर्वसम्मति (स्त्री.) सबकी एक सम्मति या राय, मतैक्य -- ऐक्यमत, सर्बसन्मति, सकलोरे-सम्मति थाका
सर्वांगीण (वि.) सब अंगों में व्याप्त होने वाला -- सर्बांगीण, समस्त, देहर सकलो अंगर
सर्वांगीण (वि.) जो सभी अंगों से युक्त हो -- सकलो अंगते थका
सर्वेक्षण (पुं.) किसी विषय के सही तथ्यों की जानकारी के लिए उसके सभी अंगों का किया गया आधिकारिक निरीक्षण -- जरीप, पूर्णांग जरीप
सर्वोदय (पुं.) सभी का उदय या उन्नति -- सर्बोदय, सबार-उन्नति होबा
सर्वोदय (पुं.) सब लोगों के आर्थिक, नैतिक तथा सामाजिक उत्थान के लिए चलाया गया स्वतंत्र भारत का आंदोलन -- सर्बोदय आंदोलन
सलाहकार (पुं.) राय देने वाला, परामर्शदाता -- मंत्रणदाता, उपदेष्टा
सस्ता (पुं.) कम मूल्य का -- सस्ता, सस्तीया
सस्ता (पुं.) घटिया -- निकृष्ट, बेया
सहकारिता (स्त्री.) साथ मिल कर काम करना, मदद, सहायता -- सहकारिता, सहायता, सहाय
सहज (वि.) जन्मजात, प्राकृतिक -- सहज, जन्मजात, उजू, जन्मर समयत लाग करा
सहज (वि.) आसान -- सहज, जन्मजात, उजू
सहन शक्ति (स्त्री.) सहने की शक्ति, सहिष्णुता, सहनशीलता, सहयता -- सहनशक्ति, सहिष्णुता, धैर्य
सहना (स.क्रि.) सहन करना, झेलना -- सह, सहय कर, सहि थाकिब परा
सहना (स.क्रि.) बर्दाश्त करना, कष्ट उठाना -- कष्ट कर
सहमत (वि.) जो दूसरे के मत को मान कर उसकी पुष्टि करता हो -- एकमत, ऐक्यमत
सहमति (स्त्री.) सहमत होने का भाव या अवस्था, एक मत होना -- सहमति, एकमति
सहयोग (पुं.) साथ मिलकर काम करना -- सहयोग
सहयोग (पुं.) किसी के काम में हाथ बँटाना -- सहायता, सहाय
सहयोग (पुं.) सहायता देना -- सहायता, सहाय
सहयोगी (पुं.) साथ में काम करने वाला, सहायता करने वाला -- सहयोगी, सहकर्मी
सहलाना (स.क्रि.) धीरे-धीरे मलना या हाथ फेरना -- हातबुला, हातफुरा
सहानुभूति (स्त्री.) हमदर्दी -- सहानुभूति, समबेदना, आनर दखत दुखी होबा
सहायता (स्त्री.) मदद -- सहायता, सहाय
सहिष्णु (वि.) सहने वाला, बरदाश्त करने वाला -- सहिष्णु, सहनशील
सहिष्णुता (स्त्री.) सहनशीलता -- सहिष्णुता, सहनशीलता
सहृदयता (स्त्री.) दयालुता, करुणा -- दया, करुणा, सहृदयता
सहृदयता (स्त्री.) रसज्ञता -- रसज्ञता, रसिकता, सहृदयता
सांकेतिक (वि.) संकेत संबंधी, संकेत रूप में होने वाला -- सांकेतिक, संकेत संबंधी
सांगोपांग (वि.) सभी अंगों और उपांगों सहित -- सांगोपांग, अंग आरु उपांग-सहित
सांत्वना (स्त्री.) शोकाकुल या संतप्त व्यक्ति को शांत करने या समझाने-बुझाने की क्रिया, तसल्ली -- सांत्वना, आश्वासन
साकार (वि.) मूर्त, आकारयुक्त -- साकार, मूर्त, रुपायित
साकार (वि.) बात या योजना, जिसे क्रियात्मक रूप प्राप्त हुआ हो -- रूपायित, क्रियाशील
साक्षरता (स्त्री.) पढ़े-लिखे होने का भाव -- साक्षरता, आसरर ज्ञान-थका
साजन (पुं.) पति, स्वामी -- पति, स्वामी, गिरियेक
साजन (पुं.) प्रेमी -- प्रेमिक, प्रणयी, भक्त, प्रेमसक्त
साज-सामान (पुं.) सामग्री, उपकरण, असबाब -- साज-सरंजाम, सा-सजुलि
साज-सामान (पुं.) ठाठ-बाट -- जाक-जमक
साझेदारी (स्त्री.) हिस्सेदारी, शराकत -- अंशीदारि
सात्विक (वि.) सतोगुणी, सत्वगुण-प्रधान, अनुभूति या भावनाजन्य -- सात्विक सत्व-गुण-संबंधी, उत्तम गुण विशिष्ट
सादर (क्रि.वि.) आदरपूर्वक, इज्जत से -- सन्मानपूर्बक, ससन्माने, आदर मरम आंतरिक संभाषन
सादा (वि.) खालिस, बिना मिलावट -- बिशुद्ध, खाँटि, धर्मपरायण
सादा (वि.) जिसमें किसी तरह की उलझन, पेंच की बात या बनावट न हो, सरल -- सरल होजा, उजू
सादृश्य (पुं.) समानता, तुल्यता, बराबरी -- सादृश्य, मिल, तुल्यता
साधन (पुं.) सामान, सामग्री, उपकरण -- सामग्री, उपकरण, सधाकार्मर समग्री साधन
साधन (पुं.) कोई ऐसी चीज या वस्तु, जिससे कुछ कर सकने की शक्ति आती है (मीन्स) -- उपादान, सँजुलि
साधन (पुं.) जिसके सहारे कोई काम पूरा होता है (रिसोर्सिस) -- साधन-सामग्री, साधनार सामग्री
साधना (स्त्री.) कोई कार्य सिद्ध करना -- साधन, पूरण
साधना (स्त्री.) ऐसी आराधना या उपासना, जो बहुत कष्ट सहते हुए मनोयोगपूर्वक की जाती है अथवा किसी महत्वपूर्ण कार्य को सिद्ध करने के लिए त्याग तथा परिश्रम से किया गया प्रयत्न या प्रयास -- साधना, तपस्या, उपासना
साधारण (वि.) जिसमें कोई विशेषता न हो, सामान्य, मामूली -- साधारण, गतानुगतिक, विशेषत्व-हीन, उमैहतीया
साधारण (वि.) सहज, सुगम, सरल -- सहज, सुगम, सरल, उमैहतिया
साधु (पुं.) संत, महात्मा -- सत, साधु
साधु (पुं.) बढ़िया, उत्तम -- भाल, उत्तम
साधु (पुं.) सज्जन, भला आदमी -- सत्पुरुष, भालमानुह
साध्य (वि.) जो सिद्ध या पूरा किया जा सके -- साध्य, यिटो-साधिब-करिब
साध्य (वि.) (रोग आदि) अच्छा करने योग्य -- (रोग) भाल करिब परा
सान्निध्य (पुं.) निकटता, समीपता -- सान्निध्य, समीपता, निकटता
सापेक्ष (वि.) जो किसी की अपेक्षा रखता हो, जो दूसरों पर अवलंबित हो -- सापेक्ष, अपेक्षा-करा, किहनार-उपरत निर्भर करा
साफ (वि.) स्वच्छ, शुद्ध, स्पष्ट -- चाफा, निर्मल, स्वच्छ, निर्दोष, त्रुटिहीन, नि:संदेह
साबुन (पुं.) नहाने या कपड़े धोने का एक पदार्थ (सोप) -- चाबोन
सामंजस्य (पुं.) वह स्थिति, जिसमें परस्पर किसी प्रकार की विपरीतता या विषमता न हो, संगति, अनुकूलता -- सामंजस्य, संगति
सामग्री (स्त्री.) आवश्यक वस्तुओं का समूह, सामान -- सामग्री, संजुलि
सामग्री (स्त्री.) किसी उत्पादन, निर्माण रचना आदि के सहायक अंग या तत्व -- उपादान, उत्पादक-तत्व
सामने (अव्य.) आगे, समक्ष -- समुखते, उचरते, उसरते
सामने (अव्य.) मुकाबले में -- मुखामुखिकै
सामर्थ्य (पुं.) कोई कार्य करने की योग्यता और शक्ति -- सामर्थ्य
सामयिक (वि.) समयोचित, ठीक समय में -- समयोचित
सामयिक (वि.) वर्तमान समय का -- सामयिक, बर्तमान समयर
सामाजिक (वि.) समाज का, समाज से संबंध रखने वाला -- सामाजिक
सामान्य (वि.) मामूली -- सामान्य, विशेषत्व न थका, साधारण
सामान्य (वि.) सार्वजनिक, आम -- सार्बजनिक
साम्राज्य (पुं.) वे अनेक राष्ट्र या देश, जिन पर कोई एक शासन-सत्ता राज्य करती हो -- साम्राज्य
साम्राज्य वाद (पुं.) वह सिद्धांत, जिसमें यह माना जाता है कि किसी देश को अपने अधिकृत देशों में वृद्धि करते हुए अपने साम्राज्य का विस्तार करते रहना चाहिए (इम्पीरियलिज्म) -- साम्राज्यबाद
सामुद्रिक (वि.) समुद्र संबंधी, समुद्र से संबंध रखने वाला -- सामुद्रिक, सागर-संपर्कीय
सामुद्रिक (पुं.) फलित ज्योतिष की वह शाखा, जिसमें मनुष्य की हस्त रेखाओं और शरीर के चिहनों आदि के शुभ-अशुभ फल पर विचार होता है -- (फलित ज्योतिषत) सामुद्रिक बिचार
सामूहिक (वि.) कई व्यक्तियों (समूह) द्वारा किया जाने वाला -- सामूहिक, सकलो लोक संबंधी, समूहिया
सार (पुं.) मूल भाग, सत -- सार, मूल, श्रेष्ठ-अंश
सार (पुं.) तात्पर्य या निष्कर्ष, सारांश सारणी (स्त्री.) वर्गीकृत सूची (टेबल) -- तालिका, फलि
सारांश (पुं.) संक्षिप्त रूप, सार, निचोड़, उपसंहार -- सारांश, मर्मार्थ
सारा (वि.) कुल, समस्त, पूरा, समग्र -- समष्ट, सकलो
सार्थक (वि.) जिसका कुछ अर्थ हो, अर्थवान -- अर्थयुक्त, अर्थपूर्ण, सफल
सार्वजनिक (वि.) सर्वसाधारण-संबंधी -- सार्बजनिक
सार्वजनिक (वि.) समान रूप से सब लोगों के काम आने वाला -- साधारण, सकलोरे कामत अहा
सावधान (वि.) सचेत, सतर्क, खबरदार -- सावधान, सतर्क
साहित्य (पुं.) ग्रंथों का समूह, किसी भाषा की समस्त गद्य तथा पद्यात्मक रचनाएँ -- साहित्य
साहित्यकार (पुं.) साहित्य की रचना करने वाला -- साहित्यकार, साहित्यिक
साहूकार (पुं.) बड़ा व्यापारी, महाजन -- सदागर, बर-महाजन
सिंगार (श्रृंगार) (पुं.) सजाने की क्रिया, सजधज -- प्रसाधन, साजन-काचन, धुन-पेच
सिंगारदान (पुं.) श्रृंगार की सामग्री रखने का छोटा संदूक -- प्रसाधन वस्तु, रखा चंदुक
सिंदूर (पुं.) एक प्रकार का लाल चूर्ण, जिसे सौभाग्यवती स्त्रियाँ माँग में भरती हैं -- सिंदुर, सेंदुर
सिंहनाद (पुं.) सिंह का गर्जन, युद्ध आदि के समय गरज कर की जाने वाली ललकार, जोरदार शब्दों में ललकार कर कही जाने वाली बात -- सिंहर गर्जन, रणहुंकार, रणनिनाद
सिंहासन (पुं.) राजा का आसन, राजगद्दी -- राज सिंहासन, सिंहासन
सितारा (पुं.) तारा, नक्षत्र -- तरा, नक्षत्र
सितारा (पुं.) भाग्य -- भाग्य, कपाल
सिद्धांत (पुं.) निश्चित मत जिसे सत्य के रूप में ग्रहण किया जाए (प्रिंसिपल) -- नीति, सूत्र, सिद्धांत
सिद्धांत (पुं.) विचार, तर्क और प्रयोग द्वारा सिद्ध मत; कला, विज्ञान आदि के संबंध में कोई ऐसी मूल बात जो किसी विद्वान द्वारा प्रतिपादित हो और जिसे बहुत से लोग ठीक मानते हों। (थीअरी) -- सिद्धांत, तत्व, मतबाद
सिपाही (पुं.) फौजी, सैनिक -- सैनिक
सिपाही (पुं.) पुलिस विभाग का साधारण कर्मचारी -- (पुलिचर) चिपाही
सिफारिश (स्त्री.) किसी का कोई काम करने के लिए दूसरे से कहना -- अनुरोध
सिफारिश (स्त्री.) किसी के गुण, योग्यता आदि का परिचय देने वाली बात किसी दूसरे व्यक्ति से कहना, जो उस पहले व्यक्ति का कोई उपकार कर सकता है, संस्तुति -- अनुमोदन
सिर्फ (वि.) बस, इतना ही, केवल -- केवल, मात्र
सिलसिला (पुं.) एक के बाद एक का क्रम,श्रृंखला -- श्रृंखला, क्रम, अनुक्रम
सिलाई (स्त्री.) सीने की क्रिया या भाव -- चिलाइ, सियनि
सिलाई (स्त्री.) सिलने पर दिखाई पड़ने वाले टाँके -- गाँथनि, चिलनि
सिलाई (स्त्री.) सिलने के बदले में मिलने वाली मजदूरी -- चिलाइ-खरच बा मजुरि
सिवाय (अव्य.) जो है या हो उसको छोड़कर -- तदुपरि, उपरि, बाहिरे
सींचना (स.क्रि.) खेत या पेड़े-पौधों में पानी देना -- जल सिंचन कर, पानी दिया
सीखना (स.क्रि.) किसी विषय या कला का ज्ञान प्राप्त करना, पढ़ना -- शिका, पढ़ा
सीधा (वि.) जिसमें टेढ़ापन या घुमाव न हो -- पोन, सरल
सीधा (वि.) जिस में छलकपट न हो -- खोला, निष्कपट
सीधा (वि.) सरल, सुगम, आसान -- सरल, सहज-सहजते पोवा
सीना (स.क्रि.) सिलाई करना -- सि, चिलाइ कर
सीना (पुं.) छाती, वक्षस्थल -- बुकु, बक्षस्थल, छाती
सीमा (स्त्री.) एक स्थान से दूसरे स्थान को विभाजित करने वाली रेखा, हद, सरहद -- सीमा, दाँति
सीमा (स्त्री.) वह अंतिम हद जहाँ तक कोई बात हो सकती हो या होनी उचित हो, नियम या मर्यादा की हद -- प्रांत सीमा, शेष सीमांत
सीमित (वि.) विभाजक रेखा के अंदर -- सीमित
सीमित (वि.) जिसका प्रभाव या विस्तार एक निश्चित सीमा के अंतर्गत हो -- ससीम
सुंदर (वि.) जो आँखों को अच्छा लगे, खूबसूरत -- सुंदर, धुनीया, रूपवान
सुख (पुं.) इंद्रियों को अनुकूल लगने वाली चेतना, चैन, आराम -- सुख, आराम, आनंद, संतोष
सुख-सुविधा (स्त्री.) ऐसी चीजें, जिनके होने पर मनुष्य सुखपूर्वक जीवन बिता सके -- सुख-सुब़िधा
सुगंध (स्त्री.) अच्छी गंध, खुशबू, प्रिय महक -- सुगंध, सुबास, भालगंध
सुगम (वि.) सहज में आने या पाने योग्य -- सुगम, सहज-लभ्य
सुगम (वि.) आसान, सरल -- सहज, सरल
सुघड़ (वि.) जिसकी बनावट सुंदर हो, सुडौल -- सुगढ़ी, सुठाम
सुघड़ (वि.) कुशल, निपुण, होशियार -- निपुण, पाकैत
सुचारु (वि.) अत्यंत सुंदर, मनोहर, बहुत खूबसूरत -- अति सुंदर, बरसुंदर
सुझाव (पुं.) सुझाने की क्रिया या भाव -- मंत्रणा, उपदेश
सुझाव (पुं.) वह नई बात जो किसी को सुझाई गई हो या जिसकी ओर ध्यान आकृष्ट किया गया हो (सजेशन) -- परामर्श, दिहा, उपदेश, आलोचना
सुडौल (वि.) सुंदर डीलडौल या आकार वाला -- सुगढ़ी, सुठाम
सुध-बुध (स्त्री.) होश-हवास, चेतना -- संज्ञा, चेतना, ज्ञान
सुध-बुध (स्त्री.) याद -- स्मृत्ति, स्मरण, संवरन
सुधा (स्त्री.) अमृत, पीयूष -- सुधा, अमृत
सुधार (पुं.) दोष दूर करने या होने का भाव -- संशोधन, शुधरणि
सुधार (पुं.) वह काँट-छाँट, जो किसी रचना को अच्छा रूप देने के लिए की जाती है -- संशोधन
सुधीर (वि.) धैर्यवान, जिसमें धैर्य हो -- धीर, सुधीर
सुनना (स.क्रि.) कानों से शब्द या ध्वनि ग्रहण करना -- शुन, श्रवणकर, कान पात
सुनहरा (सुनहला) (वि.) सोने के रंग का -- सोणाली रं
सुबोध (वि.) जो आसानी से समझ आ जाए, सरल और बोधगम्य -- सुबोध, सहजे बुजिपोबा
सुमति (स्त्री.) अच्छी मति या बुद्धि -- सुमति, सुबुद्धि
सुमन (पुं.) पुष्प, फूल -- फुल, पुष्प
सुरंग (स्त्री.) जमीन खोद कर उसके नीचे बनाया हुआ रास्ता -- सुरंग
सुरंग (स्त्री.) जमीन या समुद्र के नीचे बिछाया गया बारूद, जाल आदि जिससे व्यक्ति या जहाज नष्ट हो जाते हैं -- माइन बिस्फोटक खनि आकर
सुर (पुं.) गले, बाजे आदि से निकलने वाला स्वर -- सुर, स्वर
सुर (पुं.) देवता -- सुर, देवता, सूर्य
सुरक्षा (स्त्री.) समुचित रक्षा -- सुरक्षा, संरक्षण
सुरक्षा (स्त्री.) आक्रमण, आघात आदि से बचने के लिए किया जाने वाला प्रबंध -- रक्षणावेक्षण
सुरभि (स्त्री.) सुगंध, खुशबू -- सुरभि, सुबास, सुगंध: कामधेनु
सुरमा (पुं.) काजल -- चुर्मा, चुरुमा चकुत-लगोवा-अंजन
सुराही (स्त्री.) जल आदि रखने का मिट्टी का पात्र, जिसका नीचे का भाग लोटे की तरह गोल और ऊपर का भाग लंबा नल की तरह होता है -- चुराइ
सुलगना (अ.क्रि.) इस प्रकार जलना कि उसमें से लपट न निकले, बल्कि धुआँ निकले, धीरे-धीरे जलना -- उमि-उमि ज्वल
सुलझना (अ.क्रि.) किसी समस्या आदि की पेचीदगी का दूर होना -- समाधान सम्पादन, निष्पत्ति, मीमांसा
सुलभ (वि.) जो आसानी से मिल जाए -- सुलभ, सहज-लभा, सहजते-पोवा
सुवास (स्त्री.) अच्छी महक, खुशबू, सुगंध -- सुबास, सुगंध, भाल-गोंध
सुविधा (स्त्री.) आसानी -- सुबिधा, सुयोग
सुविधा (स्त्री.) आराम -- स्वाच्छंद्य
सुसज्जित (वि.) भली-भाँति सजा या सजाया हुआ -- सुसज्जित, सज्जित
सुस्ताना (अ.क्रि.) थकावट दूर करना, थोड़ी देर के लिए आराम करना -- जिरा, भागरमार जिरनो
सुहाग (पुं.) विवाहिता स्त्री की वह स्थिति, जिसमें उसका पति जीवित हो, सौभाग्य -- सुहाग, सधवा-अवस्था, भाल-भाग्य समृद्धि
सुहाग (पुं.) विवाह के समय कन्यापक्ष में गाए जाने वाले मांगलिक गीत -- बियार मांगलिक-गीत, बियानाम
सुहागा (पुं.) एक क्षार द्रव्य, जो सोना गलाने और दवा के काम आता है -- सुवगा
सूक्ष्मदर्शी (वि.) बारीकी से देखने वाला -- सूक्ष्मदर्शी
सूखा (वि.) शुष्क, निर्जल -- शुकान, नीरस
सूखा (वि.) अकाल, दुर्भिक्ष -- कर्कश, रुक्ष
सूचना (स्त्री.) कुछ बताने या जताने के लिए कही या लिखी गई बात, इत्तिला -- सूचना, जाननी, गोहारि
सूची (स्त्री.) किसी प्रकार की वस्तुओं, नामों, बातों आदि का क्रमबद्ध लेखा या विवरण -- सूची, तालिका, सूचनावली
सूजना (अ.क्रि.) शरीर के किसी अंग का अधिक फूलना या फैलना -- उफ, ओफंद, उखहि-उक
सूझना (अ.क्रि.) अचानक ध्यान में आना -- मनत-खेला
सूझना (अ.क्रि.) दृष्टि में आना, दिखाई देना -- चकुत पर, दृष्टिगोचर ह
सूत्र (पुं.) महीन सूत या धागा -- सूता, सूत्र
सूत्र (पुं.) गूढ़ अर्थयुक्त संक्षिप्त वाक्य या पद -- सूत्र, संक्षिप्त प्रकाश, नीति
सूत्र (पुं.) संकेत, पता, सुराग -- संकेत, इंगित, आँत
सूद (पुं.) ब्याज -- सुत, सुद
सूना (वि.) जनहीन, निर्जन -- जनप्राणी-हीन, निर्जन
सूराख (पुं.) छेद, छिद्र -- छिद्र, फाँक
सूर्य (पुं.) सूरज, रवि -- बेलि, सूर्य
सृजन (पुं.) सृष्टि करने अर्थात् जन्म देने की क्रिया या भाव, रचना -- स्रजन, रचना, सृज, निर्माणकर
सृष्टि (स्त्री.) सारा विश्व तथा इसके सभी प्राणी एवं पदार्थ -- सृष्टि, ब्रहमाण्ड, स्रजन कार्य
सृष्टि (स्त्री.) निर्माण, रचना -- सृष्टि, रचना, स्रजन कार्य
सेंकना (स.क्रि.) आँच के पास या आग पर रख कर गरम करना अथवा पकाना -- सेँक, भापत-दि, तपता, सिजा
सेंकना (स.क्रि.) शरीर को गरमी या धूप देना -- (गात) सेँक दि, तायदि
सेठ (पुं.) बहुत धनवान या संपन्न व्यक्ति -- शेठ, धनी-लोक, श्रेठी
सेतु (पुं.) नदी आदि पार करने के लिए बनाया हुआ रास्ता, पुल -- सेतु, दल, साँखो, बांध
सेना (स्त्री.) रण-शिक्षा प्राप्त सशस्त्र व्यक्तियों का दल, फौज -- सेना, सैन्य, रणुवा
सेनापति (पुं.) सेना का नायक, फौज का अफ़सर -- सेनापति, सेनाध्यक्ष
सेवा (स्त्री.) परिचर्या, टहल -- सेवा, परिचर्या, भक्ति-प्रदर्शन, उपासना
सेवा (स्त्री.) नौकरी -- चाकरि, सुश्रूषा
सेवा (स्त्री.) पूजा, आराधना -- सेवा, पूजा, भृत्य भक्ति
सैकड़ा (पुं.) सौ, शत की संख्या का सूचक, जो इस प्रकार (100) लिखा जाता है -- 100, एश बुजोवा संख्या
सैनिक (वि.) सेना-संबंधी, सेना का -- सेना-संबंधीय, सैन्य
सैनिक (पुं.) सेना या फौज का सिपाही, फौजी -- सैनिक, सेना, युँजारु, रनुवा
सैर (स्त्री.) मनोरंजन के लिए घूमना-फिरना, भ्रमण -- घुरि-फुरा, बिचरण, परिभ्रमण
सोचना (स.क्रि.) किसी विषय पर विचार करना -- चिंता कर, बिबेचना कर
सोचना (अ.क्रि.) चिंता या फिक्र में पड़ना -- चिंतित ह, चिंतात पर भावना
सोना (पुं.) स्वर्ण, कँचन -- सोण, स्वर्ण
सोना (अ.क्रि.) निद्राग्रस्त होना, नींद लेना -- शो, शयन कर घुमा, निद्रा
सोना (अ.क्रि.) एक ही स्थिति में रहने के कारण सुन्न होना -- सारसुर-नो होवा ह
सोपान (पुं.) सीढ़ी, ज़ीना -- जखला, सोपान, खटखटि
सौंपना (स.क्रि.) (कोई वस्तु आदि) किसी के जिम्मे या सुपुर्द करना, किसी के अधिकार में देना -- सँप, न्यस्त कर, गताइ दि दायित्व-अर्पनकर
सौजन्य (पुं.) सज्जनता, भलमनसाहत -- सौजन्य, भद्रता, सज्जनता, शिष्टता
सौतेला (वि.) सौत से उत्पन्न -- सतियै
सौतेला (वि.) सौत अथवा सपत्नी संबंधी -- सँतीया, सतिनी-गर्भत उपजा
सौभाग्य (पुं.) अच्छा भाग्य, अच्छी किस्मत -- सौभाग्य, समृद्धि, श्रीवृद्धि
सौभाग्य (पुं.) सुहाग -- सौभाग्य
स्तंभ (पुं.) खंभा -- स्तंभ, ओख-डाँगर खुँटा
स्तंभ (पुं.) पत्र-पत्रिका आदि में ऐसे विभाग, जिनमें किसी विशेष विषय का प्रतिपादन अथवा निरूपण होता है -- स्तंभ, ओख डाँगर खुँटा
स्तब्ध (वि.) जड़ीभूत, निश्चेष्ट, हक्का-बक्का -- स्तब्ध, अचल
स्तुति (स्त्री.) आदर भाव से किसी के गुणों के कथन करने का भाव, बड़ाई तारीफ -- स्तुति, स्तव, तोषामोद
स्तोत्र (पुं.) वह रचना, विशेषत: पद्यबद्ध रचना, जिसमें किसी देवता आदि की स्तुति हो, स्तव, स्तुति -- स्तोत्र, स्तुतिवाद, स्तब, माहात्म्य-पद वा श्लोक
स्त्री (स्त्री.) महिला, औरत -- स्त्री, तिरोता, महिला, भार्या
स्त्री (स्त्री.) पत्नी, जोरू -- पत्नी, घैनी, भार्या, बिया-कराइ अना तिरोता
स्थगन (पुं.) सभा की बैठक, बात की सुनवाई या विचार अथवा कोई चलता हुआ काम कुछ समय के लिए रोक रखना -- स्थगन, पाचत-करिबलै थोवा
स्थान (पुं.) जगह, स्थल -- स्थान, ठाइ, थल
स्थान (पुं.) पद, ओहदा -- पद, पदबी, उपाधि
स्थानांतरण (पुं.) किसी वस्तु या व्यक्ति का एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाना या भेजना, बदली -- स्थानांतर, बदलि, हस्तांतरण
स्थानीय (वि.) स्थान विशेष का, मुकामी, स्थानिक -- स्थानीय, स्थानिक
स्थापना (स्त्री.) स्थापित करने की क्रिया या भाव -- स्थापना, स्थापन थोवा-बा रखा-कार्य
स्थापना (स्त्री.) प्रतिपादन, निरूपण -- प्रतिपादन, निरूपण, मीमांसा प्रतिपन्न करण
स्थायी (वि.) सदा स्थित रहने वाला, हमेशा बना रहने वाला, स्थिर, अटल, नियत -- मतम चुप्पगी ओइना लेङ्दना लैबा
स्थायी (वि.) टिकाऊ -- बहु दिन टिका
स्थिति (स्त्री.) दशा, हालत, अवस्था -- दशा, अवस्थान, विद्यमानता
स्थिति (स्त्री.) पद, मर्यादा आदि के विचार से समाज में स्थान -- पदबी, मर्यादा, स्थान
स्थिति (स्त्री.) किसी कार्य आदि की प्रगति की अवस्था, चरण -- अवस्था, स्थिति, अवस्थिति
स्थिर (वि.) अटल, निश्चल -- स्थिर, अचल, निश्चल
स्थिर (वि.) स्थायी -- स्थायी, निर्धारित
स्थिर (वि.) धीर, शांत -- धीर, स्थिर
स्नेह (पुं.) प्रेमियों, हमजोलियों, बच्चों आदि के प्रति होने वाला प्रेमभाव -- प्रेम, प्रीति, चेनेह, स्नेह
स्नेह (पुं.) चिकना पदार्थ, चिकनाहट वाली चीज -- मरमू, चेनेह सेनेहिल, पिच्छल
स्पंदन (पुं.) धीरे-धीरे हिलना या काँपना -- स्पंदन,कँपनि मृदुकंपन
स्पंदन (पुं.) फड़क, प्रस्फुरण, गति -- कँपनि प्रकाश
स्पर्धा (स्त्री.) प्रतियोगिता आदि में किसी से होने वाली होड़ -- स्पदर्धा, प्रतियोगिता
स्पर्श (पुं.) त्वचा का वह गुण, जिससे छूने, दबने आदि का अनुभव होता है -- स्पर्श, परश, छोवा कार्य
स्पर्श (पुं.) एक वस्तु के तल का दूसरी वस्तु के तल से सटना या छूना, संपर्क -- स्पर्श, संसर्ग, संस्पर्श, संपर्क
स्पष्ट (वि.) जिसे देखने, समझने, सुनने आदि में नाम मात्र भी कठिनता न हो, बिलकुल साफ -- स्पष्ट, ब्यक्त, परिष्कार, जिलिका फटफटीया
स्फूर्ति (स्त्री.) तेजी, फुर्ती -- बेग, तीब्रता, उलाह, फूर्ती
स्मरण (पुं.) कोई बात फिर से याद आने की क्रिया या भाव, स्मृति, याद -- स्मरण, स्मृति, मनत-पेलोवा
स्मारक (वि.) स्मरण कराने वाला -- स्मारक, अभिनयत-मनत-पेलाइदिवा लोक
स्मारक (पुं.) स्मरण चिहन, यादगार -- स्मृति-चिहन
स्मृति (स्त्री.) स्मरण शक्ति -- सोंवरण स्मृति, स्मरण शक्ति
स्मृति (स्त्री.) याद, अनुस्मरण -- स्मरण, सोँवरण
स्मृति (स्त्री.) धर्म, आचार-व्यवहार आदि से संबंधित हिंदू धर्मशास्त्र, जिसकी रचना ऋषियों और मुनियों ने वेदों का स्मरण या चिंतन करके की थी -- स्मृति (शास्त्र), हिंदू धर्म्म विधि
स्रष्टा (वि.) सृष्टि या रचना करने वाला, रचयिता, निर्माता -- स्रष्टा, निर्माता, ईश्वर
स्रष्टा (पुं.) ब्रहमा, सृष्टि का रचयिता -- ब्रहमा, बिधाता, सृजनकारी
स्वचालित (वि.) अपने आप चलने वाला, जिसके अंदर ऐसे कल-पुरजे लगे हों कि एक पुरजा चलाने से ही वह अपने आप चलने या कोई काम करने लगे -- स्वयंचालित, स्वयंक्रिय
स्वजन (पुं.) अपने परिवार के लोग, आत्मीय जन -- आत्मीय लोक, स्वजन, ज्ञाति
स्वजन (पुं.) सगे-संबंधी, रिश्तेदार, बंधु-बांधव -- लगा-भगा, बंधु-बांधव
स्वतंत्र (वि.) जिसका तंत्र अथवा शासन अपना हो, जो किसी के तंत्र या शासन में न हो, आजाद -- स्वतंत्र, स्वाधीन, पृथक्
स्वतंत्र (वि.) किसी प्रकार के नियंत्रण, दबाव या बंधन से रहित -- मुक्त, बंधनरहित
स्वतंत्रता (स्त्री.) स्वतंत्र रहने या होने की अवस्था या भाव, आजादी, स्वातंत्र्य -- स्वाधीनता, स्वतंत्रता
स्वप्न (पुं.) सपना, ख्वाब -- स्वप्न, सपोन
स्वप्न (पुं.) मन ही मन की जाने वाली बड़ी-बड़ी कल्पनाएँ और बाँधे जाने वाले मनसूबे -- अलीक-कल्पना, स्वप्नाबिस्ट
स्वभाव (पुं.) प्रकृति, खासियत, मिजाज -- स्वभाव, प्रकृति, गुण, धर्म
स्वभाव (पुं.) आदत, बान -- अभ्यास, स्वभाव, आचरण, चरित्र
स्वयं (वि., क्रि.वि.) खुद (व्यक्ति) -- स्वयं, निजे, आपुनि, निज-इच्छामते आपोना-अंपुनि
स्वरूप (पुं.) आकृति, रूप, शक्ल -- आकृति, स्वाभाविक-आकार, गढ़ अवस्थिल
स्वरूप (पुं.) प्रकृति, स्वभाव, गुण -- प्रकृति, स्वभाव, स्वरूप, तुल्य
स्वर्ग (पुं.) देवलोक -- सुखर ठाइ, स्वर्गपुरी
स्वर्ग (पुं.) ऐसा स्थान, जहाँ सभी प्रकार के सुख प्राप्त हों और नाममात्र भी कष्ट या चिंता न हो -- देवलोक
स्वर्ण-युग (पुं.) उत्कर्ष का समय, अभ्युदय काल -- स्वर्णयुग, सोणालीयुग
स्वर्णिम (वि.) सोने, का, सुनहला -- सोणाली, स्वर्ण-कान्ति
स्वस्थ (वि.) रोग, विकार आदि से रहित -- सुस्त, निरोग
स्वागत (पुं.) सादर अभिनंदन -- स्वागत, अभ्यर्थना, शुभागमन, ग्रहण, स्वीकार, मानिलोवा
स्वाद (पुं.) खाने-पीने पर जीभ को होने वाली अनुभूति, जायका -- स्वाद, सोवाद, अस्वादु
स्वादिष्ट (वि.) जिसका जायका या स्वाद बहुत अच्छा हो -- सुस्वादु, मिटा सुवदि
स्वाभाविक (वि.) प्राकृतिक, कुदरती -- स्वाभाविक, प्राकृतिक
स्वाभाविक (वि.) जो या जैसा प्रकृति के या स्वभाव के अनुसार साधारणत: हुआ करता है -- सहज, स्वाभाविक
स्वामित्व (पुं.) मालिक अथवा स्वामी होने की अवस्था या भाव -- स्वामित्व, मालिकी स्वत्व, स्वामिर स्वत्व
स्वामित्व (पुं.) प्रभुता, आधिपत्य -- प्रभुत्व, अधिकार, कर्तव्य
स्वामी (पुं.) वह व्यक्ति, जिसे किसी वस्तु पर पूरे और सब प्रकार के अधिकार प्राप्त हों, मालिक -- गराकी, मालिक, प्रभु
स्वामी (पुं.) पति, शौहर -- स्वामी, पति
स्वार्थ (पुं.) अपना अर्थ या उद्देश्य, अपना मतलब -- स्वार्थ, निजरहित
स्वार्थी (वि.) मात्र अपने उद्देश्य की सिद्धि चाहने वाला, खुदगर्ज़ -- स्वार्थी, स्वार्थपर, स्वार्थंधि
स्वावलंबन (पुं.) अपने पर ही भरोसा रखने और दूसरे से सहायता न लेने की अवस्था, गुण या भाव; आत्मनिर्भरता -- स्वावलंबन, निजरसहायत निजे
स्वावलंबी (वि.) अपने ही बल पर काम करने वाला, दूसरे की सहायता न लेने वाला, आत्मनिर्भर -- स्वावलंबी, आत्म-निर्भरशील
स्वास्थ्य (पुं.) स्वस्थ अर्थात् नीरोग होने की अवस्था, गुण या भाव, आरोग्यता, तंदुरुस्ती -- स्बास्थ्य, नीरोगता
स्वीकार (पुं.) अपना बनाने, ग्रहण करने या लेने या अपनाने की क्रिया या भाव -- स्वीकार, स्वीकृति, सत्यता-मानिलोवा
स्वीकार (पुं.) कोई बात मान लेने की क्रिया या भाव -- ग्रहण, मानि लोवा
स्वीकृति (स्त्री.) स्वीकार करने की क्रिया या भाव, सहमति -- स्वीकृति, सम्मति
स्वीकृति (स्त्री.) प्रस्ताव, शर्त आदि मान लेने अथवा ग्रहण करने की क्रिया या भाव -- ग्रहण, स्वीकार, सै काढि-कोवा कथां हँहा, हाँङि मार
हँसना (अ.क्रि.) मुख-मुद्रा द्वारा प्रसन्नता प्रकट करना -- हँहा, हाँङि मार
हँसना (अ.क्रि.) दिल्लगी, मजाक या परिहास करना -- हाँहि, हँहाकार्य, तामचा कर
हँसमुख (वि.) जिसका मुख सदा हँसता हुआ-सा रहता हो, विनोदी -- हाँहिमूखीया, फुर्तिबाज
हँसली (स्त्री.) गले के नीचे और छाती के ऊपर की धनुषाकार हड्डी -- गला-हार
हँसली (स्त्री.) स्त्रियों का एक चंद्राकार गहना -- गलपता
हँसी (स्त्री.) हँसने की क्रिया, ध्वनि या भाव -- हाँहियार, हँहाकार्य
हँसी (स्त्री.) परिहास, दिल्लगी, मज़ाक, ठट्ठा -- हाँहि-घेमालि, ठाट्टा-मस्करा
हकलाना (अ.क्रि.) अटक-अटक कर बोलना -- खोना, खोनाइ, खोनाइ-कथा क
हटना (अ.क्रि.) एक जगह से चल कर, खिसक कर या सरक कर दूसरी जगह जाना -- आँतर, दूर-ह, पिच-होँहुक, बिमुख ह, स्थगित ह
हड़ताल (स्त्री.) विरोध प्रकट करने के लिए काम बंद करना -- हरताल, धर्मघट, बंधा, बिक्षोभ-प्रदर्शन
हड़पना (स.क्रि.) मुँह में डाल कर निगलना या पेट में उतारना -- गिल, काढ़िलोवा
हड़पना (स.क्रि.) किसी की चीज अनुचित रूप से लेकर दबा बैठना -- बेयाभावे, आत्मसात कर
हत्था (पुं.) हाथ से चलाए जाने वाले बड़े औजारों और छोटी कलों का वह हिस्सा, जिसे हाथ से पकड़ कर घुमाने या चलाने से वे चलते हैं, दस्ता -- मुठि, बस्तुर हातेरे, मुठि मारि, धरा-अंश
हथ-करघा (हाथ-करघा) (पुं.) कपड़ा बुनने का वह करघा, जो हाथ से चलाया जाता है -- ताँतशाल
हथियाना (स.क्रि.) अपने प्रभुत्व या अधिकार में कर लेना -- हातकर, हातलै हातकरिलै
हथियार (पुं.) अस्त्र-शस्त्र -- अस्त्र-शस्त्र
हथौड़ा (पुं.) धातु, पत्थर, ईंट आदि ठोकने-पीटने वाला लोहे का एक औजार -- हातुरी
हदबंदी (स्त्री.) दो खेतों, प्रदेशों, राज्यों, देशों की सीमा निर्धारण करना -- सीमा निर्धारण
हम (सर्व.) उत्तम पुरुष बहुवचन सूचक सर्वनाम ‘मैं’ का बहुवचन -- आमि
हमारा (वि.सर्व.) हम’ का संबंधकारक रूप -- आमार
हमेशा (क्रि.वि.) सदा, सर्वदा, सदैव -- सदाय, नितौ
हरण (पुं.) उठा ले जाना, छीनना या लूटना -- हरण, लुट, लुंठन चूरि पलुवाइ निया
हरा (वि.) ताजी उगी हुई घास या पत्तों के रंग का, हरित, सब्ज़ -- सेउजीया
हरा (वि.) हरियाली से भरा हुआ -- सेउजीया, घॉहनि
हरा (वि.) हरा रंग -- सेउजीय रं
हरित (वि.) हरे रंग का, हरा -- सेउजीया रङर
हरित-क्रांति (स्त्री.) फल-फूल, पौधे आदि को लगाए जाने के लिए किया जाने वाला आंदोलन -- बनमहोत्सव, बृक्षरोपण-आंदोलन
हरियाली (स्त्री.) हरे-भरे पेड़-पौधों आदि का विस्तृत फैलाव या समूह -- सेउजिया, सेउजी
हरियाली (स्त्री.) आनंद, प्रसन्नता -- आनंद, प्रसन्नता
हर्ष (पुं.) प्रसन्नता, आनंद, खुशी -- हर्ष, आनंद
हल (पुं.) खेत जोतने का एक प्रसिद्ध यंत्र -- नाङल, हाल
हल (पुं.) गणित के प्रश्न का उत्तर -- अंकर-प्रश्नोत्तर
हल (पुं.) किसी विषय या समस्या का समाधान -- समाधान, निराकरण, निस्पत्ति
हलचल (स्त्री.) दौड़-धूप -- उखल-माखल, हुलस्थूल
हवन (पुं.) देवताओं को प्रसन्न करने के लिए अग्नि में घी, जौ आदि की आहुति देने की क्रिया, होम -- होम, आहुति, दाम, यज्ञर-आहुति
हवाई-अड्डा (पुं.) वायुयानों के उतरने, रुकने या उड़ान भरने का स्थान -- बिमान बंदर, बिमान कोठ
हवाई जहाज (पुं.) हवा में उड़ने वाला यान, वायुयान, विमान -- बिमान, उरा-जाहाज
हवाई डाक (स्त्री.) वायुयान द्वारा एक स्थान से दूसरे स्थान पर भेजी जाने वाली डाक, चिट्ठियाँ आदि -- बिमान-डाक
हस्तकला (स्त्री.) हाथों के कौशल द्वारा किया जाने वाला काम -- हस्तशिल्प, हस्तकला
हस्तक्षेप (पुं.) किसी दूसरे के काम में अनावश्यक रूप से तथा बिना अधिकार दखल देना -- हस्तक्षेप
हस्तांतरण (पुं.) वस्तु, संपत्ति का एक हाथ से दूसरे हाथ में जाना -- हस्तांतर
हस्ताक्षर (पुं.) किसी व्यक्ति द्वारा लिखा जाने वाला अपना नाम, जो इस बात का सूचक होता है कि ऊपर लिखी हुई बातें मैंने लिखी हैं और उनका दायित्व मुझ पर है, दस्तखत -- स्वाक्षर, हस्ताक्षर
हाँ (अव्य.) स्वीकृति, निश्चय आदि का सूचक शब्द -- हय, अँ, सै कढ़ा कार्य
हाँकना (स.क्रि.) जानवरों को आगे बढ़ाने के लिए मुँह से कुछ कहते हुए चाबुक आदि लगाना, पशु वाली गाड़ी चलाना -- (जीव-जंतु) खेद, थका खेदा
हाँकना (स.क्रि.) बहुत बढ़-चढ़ कर बातें करना -- दांकोप मार
हाँफना (अ.क्रि.) थकावट, भय आदि के कारण फेफड़ों का जल्दी-जल्दी और लंबे साँस लेना -- हँफा, फोँपा
हाथापाई (स्त्री.) वह लड़ाई, जिसमें एक-दूसरे के हाथ को पकड़ कर खींचते और ढकेलते हैं -- हताहति
हाथी दाँत (पुं.) हाथी के मुँह के दोनों ओर निकले हुए सफेद दाँत -- हातीर दाँत, हाती-दाँत
हानि (स्त्री.) क्षति, नुकसान -- हानि, क्षति, लोकचान, नाश
हार (स्त्री.) पराजय, जीत का विपर्याय -- हारि जा, पराजित
हार (पुं.) फूलों-मोतियों आदि की माला -- हार, माला, डिंगित पिंधा अलंकार
हारना (अ.क्रि.) युद्ध, खेल आदि में पराजित होना, गँवाना, खोना -- हार, पराजित ह
हारना (अ.क्रि.) विफल होना -- विफलह
हार्दिक (वि.) हृदय में रहने या होने वाला, हृदय का -- हार्दिक, आंतरिक, हृदय-संबंधी
हालचाल (पुं.) अवस्था, दशा, वृत्तांत, समाचार -- अवस्था, खबर, दशा
हालाँकि (अव्य.) यद्यपि -- यदिओ
हालाँकि (अव्य.) अगरचे -- यदिओ
हास्य (पुं.) हँसने की क्रिया या भाव, हँसी, हास -- हाँहि, हास्य
हास्य (पुं.) दिल्लगी, मजाक -- रं तामाचा, फुचुरि
हास्य (पुं.) साहित्य में नौ स्थायी भावों या रसों में से एक -- हास्य (रस)
हिंसा (स्त्री.) हत्या, वध -- हत्या, वध
हिंसा (स्त्री.) किसी प्रकार की हानि पहुँचाने, अनिष्ट या अपकार करने, कष्ट या दुख देने की क्रिया या भाव -- हिंसा, अहित-चिंतन, शत्रुता, ईर्ष्या
हिचकी (स्त्री.) खाँसी, छींक, डकार आदि की तरह का एक शारीरिक व्यापार, जिसमें साँस लेने के समय क्षण भर के लिए फेफड़े का मुँह बंद होकर पेट की वायु कुछ रुक कर हल्का शब्द करती हुई बाहर निकलती है (हिकप) -- हिकटि, हेंकटी
हिचकी (स्त्री.) उक्त के फलस्वरूप झटके से होने वाला तीव्र शब्द, जो कंठ से निकलता है -- हिकटी-आह, हिकटीर-शब्द
हितैषी (वि.) भला चाहने वाला, कल्याण मनाने वाला, हितचिंतक -- हितैषी, हितकारी, हितचिंताकारी
हिनहिनाना (अ.क्रि.) घोड़े का हिन-हिन शब्द करना, हींसना -- (घोराँह) हिँ-हिँ-हिँ कर
हिरासत (स्त्री.) किसी को इस प्रकार अपने बंधन या देख-रेख में रखना कि वह भाग कर कहीं जाने न पाए, अभिरक्षा, परिरक्षा -- दायित्व, न्यास, तत्वावधान
हिरासत (स्त्री.) वह स्थान, जहाँ उक्त प्रकार के लोग बंद करके रखे जाते हैं -- हानोत, अभिरक्षा
हिलाना (स.क्रि.) हिलने में प्रवृत्त करना, झुलाना -- लरा, लरचर करा
हिलाना (स.क्रि.) हेल-मेल में लाना, परचाना -- लालना लरोवा हिंदोलन
हिसाब किताब (पुं.) लेखा-जोखा -- हिचाब-पत्र, खाता-बही
हिसाब किताब (पुं.) व्यापारिक लेन-देन या व्यवहार -- भाग, अंश, व्यवहार
हिस्सा (पुं.) भाग, अंश, खंड -- अंश, खण्ड
हिस्सा (पुं.) वह धन जो किसी साझे की वस्तु या व्यवसाय में किसी एक या हर एक साझेदार ने लगाया हो (शेयर) -- अंश-भाग
हिस्सा (पुं.) साझेदार को मिलने वाला आनुपातिक लाभ या अंश -- लाभांश
हुंडी (स्त्री.) एक लिखित पत्र, जिस पर लिखा रहता है कि इतने रुपए अमुक व्यक्ति, महाजन या बैंक को दे दिए जाएँ -- हुंडी
हुंडी (स्त्री.) वह महाजनी पत्र, जिस पर यह लिखा रहता है कि ऋणकर्ता इतने दिनों में ब्याज समेत चुका देगा -- ऋण-पत्र, दलिल खत
हृदय (पुं.) कलेजा, दिल -- बूकर अभ्यंतर भाग, हिया, हत्पिण्ड, हृदयम, अंतर, हृद्गति
हृदय (पुं.) अंत:करण -- अंत:करण
हृष्ट-पुष्ट (वि.) मोटा-ताजा -- डाठ, शकत, हृष्ट-पुष्ट, प्रफुल्लित आरु स्वास्थ्यवान
हेरा-फेरी (स्त्री.) चालबाजी, गड़बड़ -- चालाकि, चालबाजी, धूर्त्ताली
होना (अ.क्रि.) अस्तित्व में आना -- ह, आछ विद्यमान ह
होना (अ.क्रि.) कार्य या घटना का क्रियात्मक या वास्तविक रूप में सामने आना -- घटा सिद्धिकर
होनी (स्त्री.) ऐसी घटना या बात, जिसका होना अनिवार्य हो -- भवितब्य, होब लगा नियति
होश (पुं.) चेतना, संज्ञा -- हुच, चेतना, संज्ञा
होश (पुं.) याद, स्मृति -- स्मरण, स्मृति, सोंवरणि
होशियार (वि.) सावधान, सतर्क, सजग, चौकस -- सावधान, सतर्क
होशियार (वि.) चतुर, चालाक -- चतुर, दक्ष
होशियार (वि.) माहिर, कुशल, दक्ष -- दक्ष, कुशल, निपुण
ह्रास (पुं.) क्षय, नाश, घटती -- हरास, क्षय
ह्रास (पुं.) पतन, अवनति -- अवनति, कमिजोर अवस्था, अवक्षय, अध:पात, ध्वंस
स्रोत
[सम्पादन]यह भारतीय भाषा कोश से केवल असमिया की प्रविष्टियों को छाँतकर बनाया गया है।