शुश्रूषा संज्ञा स्त्री॰ [सं॰] [वि॰ शुश्रूष्य] १. सेवा । टहल । परिचर्या । २. खुशामद । ३. कथन । ४. किसी से कुछ सुनने की इच्छा । ५. समान (को॰) । ६. कर्तव्यनिष्ठता (को॰) । यौ॰—शुश्रूषा पद्धति ।शुश्रूषा प्रणाली=सेवा की रीति या ढंग ।