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होम

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प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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होम संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. ब्राह्मणों द्वारा नित्य करणीय पंचमहायज्ञों में एक यज्ञ जिसे देवयज्ञ कहते हैं ।

२. देवताओं के उद्देश्य से अग्नि में घृत, जौ आदि डालना । हवन । यज्ञ । आहुति देने का कर्म । क्रि॰ प्र॰—करना ।—होना । मुहा॰—होम करते हाथ जलना = सत्कार्य करने के फलस्वरूप कष्ट उठाना । अच्छा काम करते हुए बुरा बनना । होम कर देना । (१) जला डालना । भस्म कर देना । (२) नष्ट करना । बरबाद करना । (३) उत्सर्ग करना । छोड़ देना ।

होम डिपार्टमेंट संज्ञा पुं॰ [अं॰] दे॰ 'स्वराष्ट्र विभाग' ।

होम मिनिस्टर संज्ञा पुं॰ [अं॰]दे॰ 'स्वराष्ट्र मंत्री' ।

होम मेंबंर संज्ञा पुं॰ [अं॰] दे॰ 'स्वराष्ट्र मंत्री' ।

होम सेक्रेटरी संज्ञा पुं॰ [अं॰]दे॰ 'स्वराष्ट्र मंत्री' ।