झाड़
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प्रकाशितकोशों से अर्थ
[सम्पादन]शब्दसागर
[सम्पादन]झाड़ ^२ संज्ञा स्त्री॰ [हिं॰ झाड़ना]
१. झाड़ने की क्रिया । झटककर या झाड़ू आदि देकर साफ करने की क्रिया । यौ॰—झाड़ पौंछ = झाड़ और पौंछकर साफ करने की क्रिया । क्रि॰ प्र॰—करना ।—रखना ।—होना । विशेष— इस शब्द का प्रयोग यौगिक शब्दों ही में विशेषतः होता है । जैसे, झाड़पोंछ, झाड़बुहार, झाड़झूड़ ।
२. बहुत ड़ाँट या फटकारकर कही हुई बात । फटकार । ड़ाँटड़पट । क्रि॰ प्र॰—देना ।—बताना ।—सुनना ।—सुनाना ।
३. मंत्र से झाड़ने की क्रिया । यौ॰—झाड़ फूँक = मंत्रोपचार ।
झाड़ ^४ संज्ञा पुं॰ [हिं॰झाड़ना] झटका (कुश्ती) ।
झाड़ झंखाड़ संज्ञा पुं॰ [हिं॰ झाड़ + झंखा़ड़]
१. काँटेदार झाड़ियों का समूह ।
२. व्यर्थ की निकम्मी चीजों का समूह ।